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मधुबनी : उर्दू भाषी छात्र/छात्राओं के द्वारा वाद-विवाद प्रतियोगिता का आयोजन

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मधुबनी (आर्यावर्त डेस्क) 12 जुलाई, उर्दू निदेशालय के निदेशक, पटना के निर्देश के आलोक में कल 11 जुलाई को मिल्लत शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय मधुबनी के सभाकक्ष में वर्ष 16-17 एवं 17-18 हेतु उर्दू भाषी विद्यार्थी प्रोत्साहन राज्य योजना के तहत उर्दू भाषी छात्र/छात्राओं के द्वारा वाद-विवाद प्रतियोगिता का आयोजन किया गया. जिसमें वर्ग मैट्रिक/समक्ष, इंटर/समकक्ष, स्नातक/समकक्ष के छात्र छात्राओं ने भाग लिया. कार्यक्रम का उदघाटन श्री मो तमन्ने, प्रो इश्तियाक, प्रो काजी जावेद, प्रो सदरे आलम गौहर, प्रो करिमुल्लाह, प्रो अशरफ जलील, प्रो हैदर इमाम, एवं प्रो वासिफ जमाल द्वारा दीप जला कर किया गया. कार्यक्रम का सञ्चालन वासिफ जमाल द्वारा किया गया. सभी उपस्थित छात्र/छात्राओं द्वारा मैट्रिक हेतु तालीम अहमियत, इंटर हेतु उर्दू जुबान अहमियत/जहेज की लानत एवं स्नातक हेतु उर्दू ग़ज़ल की लोकप्रियता पर लेख पढ़ा. उसके बाद निर्णायक मंडल द्वारा मूल्यांकन के पश्चात सभी वर्ग समूह के प्रत्येक समूह से 16-16 छात्र/छात्राओं का प्रथम द्वितीय एवं तृतीय स्थान हेतु चयन किया गया और उन्हें प्रोत्साहन राशि, प्रशस्ति पत्र, एवं मैडल से सम्मानित किया गया. मैट्रिक वर्ग में प्रथम स्थान शुश्री शगुफ्ता परवीन एवं श्री मेराज, इंटर वर्ग में प्रथम स्थान सुश्री अक्सा ज़बीन एवं सुश्री चांदनी परवीन, एवं स्नातक वर्ग में प्रथम स्थान असलम हुसैन एवं इरशाद आलम ने प्राप्त किया. 

मधुबनी : आंदोलन को सफल बनाने के लिए युवाओं ने चलाया जन सम्पर्क अभियान

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मधुबनी (आर्यावर्त डेस्क) 12 जुलाई, आज दिनांक 12 जुलाई को मधुबनी शहर के विभिन्न वार्ड में युवाओं की टोली ने जन सम्पर्क अभियान चलाया। समाजसेवी सह अधिवक्ता अजय झा यश के नेतृत्व में आज युवाओं की टोली ने मधुबनी शहर के वार्ड संख्या 15, 17 और 29 में जन सम्पर्क अभियान चलाया। अजय झा ने शहर वासियों से अपील किया कि मधुबनी नगर परिषद के भ्रष्ट पदाधिकारी को बर्खास्त कराने एवं जेल भेजने को लेकर 14 जुलाई को एकदिवसीय उपवास का आयोजन जिला समाहरणालय के समक्ष रखा गया है, जिसमें शहरवासियों की सहभागिता अनिवार्य है। अजय झा ने जनसंपर्क के दौरान बुद्धिजीवियों के बीच सारे कागजात प्रस्तुत किये। अजय झा यश ने कहा कि जिस तरह से जनता का साथ और सहयोग मिल रहा है उसे देखकर लगता है कि ये आंदोलन ऐतिहासिक होगा और मधुबनी को न्याय मिलेगा। उन्होंने कहा कि जब तक मांगे नही मानी जायेगी आंदोलन अनवरत जारी रहेगा। युवाओं की भागीदारी उत्साहवर्धक है। लोग अब खुल कर साथ दे रहे हैं। बहुत जल्द शहर को भ्रष्ट पदाधिकारी से मुक्ति मिलेगी। जन सम्पर्क करने वालों में रवि शंकर, मोहम्मद आजाद, मोहम्मद शकील, मोहम्मद यूनुस हमजा, पंकज झा, सूरज मिश्रा, राकेश प्रजापति, विवेक गौतम आदि शामिल हुए।

बिहार : फा० फुलजेन्स का विदाई सह सम्मान समारोह का आयोजन

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बेतिया धर्मप्रान्त का चुहड़ी पल्ली में आयोजित-  फा० फुलजेन्स की विशप पद के लिए चयन होने पर सम्मान सह विदाई समारोह का आयोजन चुहड़ी पल्ली में किया गया। बेतिया धर्मप्रान्त के चुहड़ी पल्ली के आवर लेडी ऑफ असम्पसन गिरजाघर में विशप स्वामी गोवियास पीटर और फा० फुलजेन्स ने संयुक्त रूप से मिस्सा बलिदान चढ़ाया। मिस्सा बलिदान चढ़ाते हुए विशप स्वामी ने कहा बेतिया धर्मप्रांत के साथ- साथ सभी धर्मप्रान्त के ईसाई श्रद्धालुओं के लिये काफी हर्ष और गर्व की बात है कि हमारे धर्मप्रान्त के फा० फुलजेन्स का चयन रायगंज के विशप के लिए हुआ है। फा० फुलजेन्स का विशप के लिए चयन पोप फ्रांसिस के द्वारा रोम में 8 जून 2018 को किया गया। विशप स्वामी ने कहा एक पुरोहित का जीवन ईश्वर की महिमा करने के साथ- साथ लोगों की, समाज की सेवा करने में व्यतीत होता है। किसी भी पुरोहित का जीवन उतना आसान नहीं होता, ईश्वर की बुलाहट के बाद पुरोहिताई जीवन मे प्रवेश करने के साथ ही वे अपने जीवन को पूर्णरूप से ईश्वर और समाज के लिए खुद को समर्पित कर देते है। फा० फुलजेन्स ने कहा परमपिता परमेश्वर की महिमा अपरंपार है। मैं ईश्वर को धन्यवाद देता हूँ कि उन्होंने मुझे एक पुरोहित के लिए चुना और मानवता की सेवा करने के लिए मुझे प्रेरित किया। ईश्वर मेरा मार्गदर्शक बनकर मुझे मार्ग दिखाते रहे ताकि मैं आजीवन प्रभु की सेवा करते हुए त्याग और तपस्या के साथ मानवता की सेवा करता रहूं। मिस्सा पूजा में चुहड़ी पल्ली के फा० तोबियास फा० पाकिया राज, बेतिया पल्ली के फा० हेनरी, फा० सुशील साह, फा० अनूप, फ० रोबर्ट, के० आर० कम्युनिटी के रेक्टर फा० जो० मारिमपुर, फा० क्रिस्टोफर, चनपटिया पल्ली के फा० विंसेंट लुक्स, रामनगर से फा० सचिन, नरकटियागंज पल्ली से फा० जॉन राज, रामपुर पल्ली से फा० येसुदास, फा० अमित, चखनी पल्ली से फा० पॉल जिसेफ, फा० हरमन, सिरिसिया पल्ली से फा० जौम्बरलीन, मोतिहारी पल्ली से फा० विलियम, छपरा से फा० मोसेस डेविड, सिवान से फा० सुरेन्द्र, गोपालगंज पल्ली से फा० नॉर्बेर्ट, भितहाँ पल्ली से फा० राजेश्वर सहित मदर तरेसा समाज, पवित्र हृदय समाज, होली क्रॉस समाज सहित अन्य समाज की धर्मबहनें और ईसाई श्रद्धालु मिस्सा बलिदान और विदाई समारोह में शामिल हुए। इस अवसर पर पूरा गिरजाघर और परिसर रंग-बिरंगे फूल और रंगीन बत्तियों से सजाया गया था। साथ ही सिस्टर नीलिमा, लीना संजय संगीत मंडली के द्वारा खूबसूरत और मधुर गानों की प्रस्तुति किया गया। 
मिस्सा पूजा के समापन के उपरांत लोयोला विद्यालय के हॉल में विदाई समारोह हेतु सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। सबसे पहले धर्माध्यक्ष गोवियास पीटर, फा० फुलजेन्स के साथ- साथ विभिन्न धर्मप्रांत और पल्लियों से आये पुरोहितगण और धर्मबहनों और पल्लीवासियों का स्वागत किया गया। उसके बाद छोटी - छोटी बच्चियों ने प्रार्थना नृत्य प्रस्तुत किया। विशप स्वामी गोवियास पीटर ने उपस्थित अतिथियों को संबोधित किया और फा० फुलजेन्स के जीवन बारे में विस्तार से बताया और उनके विशप पद के चयन के लिए बधाइयाँ और शुभकामनाएं दिया। वहीं फा० फुलजेन्स ने उपस्थित दर्शकों को संबोधित करते हुए अपने व्यक्तिगत जीवन और पुरोहिताई जीवन के बारे में बताते हुए कहा कि मैंने काफी संघर्षरत जीवन भी व्यतीत किया है। पुरोहित बनने के बाद से लेकर अब तक का सफर ईश्वर और मानवता के लिये मैंने गुजारा है। फा० फुलजेन्स ने कहा कई बार, कितने लोगों से मुझे सुनने को मिलता रहा कि मुझे धर्माध्यक्ष पद के लिए चुना जा रहा है। लेकिन मुझे इस बात को लेकर मैंने किसी प्रकार की बेचैनी या घमंड महसूस नहीं किया। मैं ईश्वर से सिर्फ यही प्रार्थना करता हूँ कि मेरा पुरोहिताई जीवन सदैव सफल रहे, मैं पूरी ईमानदारी, लग्न, त्याग और सेवा भाव से ईश्वर की महिमा, समाज की सेवा करता और मानवता धर्म निभाता रहूं। अब नए जिम्मेदारी मुझे मिलने जा रही है, इसके लिए मैं ईश्वर को धन्यवाद देता हूं। आप सभी मेरे लिए प्रार्थना कीजियेगा कि मैं निःस्वार्थ भाव से अच्छी तरह इसका निर्वहन कर सकूं। कार्यक्रम में फा० फुलजेन्स के बारे में अभिनंदन प्रत्र पढ़ गया, शिक्षिका रोज मेरी के द्वारा बधाई और विदाई पत्र पढा गया। एलिसा कुमारी की वंदना नृत्य प्रस्तुति किया गया, संत आग्नेस विद्यालय चुहड़ी की सिस्टर और शिक्षिकाओं के द्वारा विदाई गीत की प्रस्तुति किया गया। शिक्षिका जसिंता नताल के द्वारा धन्यवाद ज्ञापन दिया गया।

दरभंगा : मधुबनी के प्रेम कुमार बने सी एम् साइंस कालेज के प्राचार्य

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  • एलएनएमयु में आधे दर्जन प्रधानाचार्यों का तबादला

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दरभंगा (आर्यावर्त डेस्क) 12 जुलाई, ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सुरेन्द्र सिंह ने आज विश्वविद्यालय अधिनियम में मिले अधिकार का उपयोग करते हुए आधा दर्जन महाविद्यालयों के प्रधानाचार्यों का स्थानांतरण एवं पदस्थापन किया है. कुलसचिव कर्नल एन.के राय ने इस आशय की अधिसूचना जारी कर दी है. अधिसूचना के अनुसार एमआरएम कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ. विद्यानाथ झा को एमएलएसएम कॉलेज, दरभंगा का प्रधानाचार्य बनाया है. सीएम साइंस कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ. अरविंद कुमार झा को एमआरएम कॉलेज, दरभंगा का प्रधानाचार्य बनाया है. वहीं एमएलएसएम के प्रधानाचार्य डॉ. मुश्ताक अहमद को सीएम कॉलेज, दरभंगा का प्रधानाचार्य बनाया है. सीएमडी कॉलेज, घोघडीहा डॉ. श्यामचंद्र गुप्ता को मारवाड़ी कॉलेज का प्रधानाचार्य बनाया है. जेएन कॉलेज, मधुबनी के प्रधानाचार्य डॉ. प्रेम कुमार प्रसाद को सीएम साइंस कॉलेज, दरभंगा का प्रधानाचार्य बनाया गया है. जबकि सीएम कॉलेज, दरभंगा के प्रधानाचार्य डॉ. विरेन्द्र कुमार चौधरी को एएनडी कॉलेज, शाहपुर पटोरी, समस्तीपुर का प्रधानाचार्य बनाया गया है. वहीं सीएमबी कॉलेज, घोघडीहा और जेएन कॉलेज, मधुबनी में वरिष्टतम शिक्षक को प्रभार देने का आदेश दिया गया है.

मधुबनी : सावन की तैयारी को लेकर बैठक

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जयनगर/मधुबनी (आर्यावर्त डेस्क) 12 जुलाई  :सावन माह की तैयारी को लेकर बोलबम सेवा समिति की बैठक कमला नदी के पास पर्णकुटी मंदिर में महंथ बाबा बालक दास की अध्यक्षता में हुई. जिसमे हर साल की तरह इस बार भी कमला नदी से जल भर कर बाबा कपिलेश्वरधाम जाने वाले कावरियों के लिये रहने खाने, लाइट, पीने का पानी, सुरक्षा, के इंतजाम पर विचार विमर्श हुआ एवं बोलबम सेवा समिति के नए कमिटी का गठन हुआ. जिसमें सर्व सहमति से उमेश यादव को अध्यक्ष, अनुराग ठाकुर को सचिव, अजय कुमार को कोषाध्यक्ष, चुना गया. वहीं इस बैठक मे सुमन कुमार, पंकज, पप्पू चोरवाड़, रामदास हाजरा, शम्भु यादव, शशी शेखर सहित कई सदस्य उपस्थित थे. सनद हे की हर साल भारत नेपाल के लाखों कावरियों सावन मे हर शनिवार-रविवार को कमला नदी से जल भरकर कपिलेश्वरधाम जा कर जल अर्पण करते है.

मधुबनी : कमला नहर से युवक का शव बरामद

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जयनगर/मधुबनी (आर्यावर्त डेस्क) 12 जुलाई,  : मधुबनी के मनीष राय अपने एक दोस्त के साथ किसी काम से जयनगर के लिए निकला था. दूसरे दिन गुरुवार को पुलिस ने वाटर वेज चौक के नजदीक कमला नदी की पश्चिमी नहर से मनीष का लाश बरामद किया. अहले सुबह कुछ लोगो की नजर नहर के ऊपर बनी पुल के नीचे पड़ी लाश पर नजर पड़ी. सूचना मिलते ही पुलिस घटना स्थल पर पहुंचकर लाश को अपने कब्जे में ले लिया. तब तक पुलिस के नजर में लाश अज्ञात था. मृतक के परिजन को इसकी जानकारी मिलते ही जयनगर थाना पहुंचा. मृतक के परिजनों ने लाश को पहचान लिया. मृतक मनीष राय मधुबनी लक्ष्मीसागर निवासी शिव कुमार राय के पुत्र के रूप में पहचान की गई. मृतक के छोटे भाई दिनेश कुमार राय के बयान पर पुलिस ने हत्या का केस दर्ज की है. दर्ज बयान में उन्होंने शंकर राय के ऊपर हत्या का मामला दर्ज किया है. मृतक के भाई दिनेश कुमार राय दर्ज बयान में कहा है कि मृतक मनीष राय बीते बुधवार के करीब 9 बजे सुबह में ये कह कर बाहर निकला कि मैं दोस्त के साथ किसी काम से जयनगर जा रहा हूं. बुधवार को देर शाम तक घर नही लौटने पर परिजनों ने मुहल्ले में ही शंकर राय निवास स्थान पर पहुंचकर मनीष राय को घर नही पहुंचने के सम्बंध में पूछा. इसके बाद भी खोजबीन जारी रखा, लेकिन दूसरे दिन जयनगर में नहर से एक लाश पुलिस के द्वारा बरामद करने की सूचना परिजन को मिला. जयनगर थाना पहुंचने पर परिजनों ने लाश को पहचान लिया. थाना प्रभारी उमाशंकर राय ने बताया कि मनीष का लाश वाटर वेज चौक स्थित कमला नहर के ऊपर बनी पुल के नीचे से बरामद किया गया है. उनके सर पर चोटे की निशानी था. प्रथम दृष्टया से यह हत्या का मामला प्रतीत होता है. मृतक के भाई दिनेश राय के बयान पर हत्या का केस दर्ज कर लिया गया. शंकर राय के ऊपर हत्या के केस दर्ज किया गया है.

रायगंज के नए विशप होंगे फा० फुलजेन्स अलोसियस तिग्गा -

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8 जून 2018 शुक्रवार के दिन रोम में पोप फ्रांसिस के द्वारा प० बंगाल के रायगंज धर्मप्रान्त के नए विशप के लिए फा० फुलजेन्स अलोसियस तिग्गा का चयन किया गया और उनके नाम की घोषणा पोप फ्रांसिस के द्वारा किया गया।

फा० फुलजेन्स की जीवनी- फा० फुलजेन्स का जन्म तीन मार्च उन्नीस सौ पैसठ को गुमला धर्मप्रान्त के चेरिंग पल्ली के भेलवा कला गांव में हुआ। उन्होंने पुरोहित बनने के लिए सबसे पहले पटना महाधर्मप्रान्त के डिबरा नामक जगह से अपनी पुरोहिताई की शिक्षा ग्रहण किया। ततपश्चात चक्काराम माइनर सेमिनरी में रहकर आई० ए० की पढ़ाई पूरी करने के बाद दो वर्षों तक मुज्जफरपुर के मसीही गुरुकुल में रहे। इलाहाबाद से स्नातक करने के पश्चात विश्व ज्योति गुरुकुल वाराणसी से फिलॉसफी और भोपाल रीजनल सेमिनरी से थेलोगी किया। सभी शिक्षा - दीक्षा ग्रहण करने के बाद फा० फुलजेन्स का पुरोहिताभिषेक तीन मई उन्नीस सौ सन्तानवे को मुजफ्फरपुर धर्मप्रान्त में हुआ। 

पुरोहिताभिषेक के बाद का सफर - वर्ष 1997- 2000 तक विभिन्न पदों को सुशोभित करते हुए फा० फुलजेन्स ने वर्ष 2000- 2004 तक चुहड़ी पल्ली में सहायक पल्ली पुरोहित रहे। 2004- 2009 तक चनपटिया पल्ली में पल्ली पुरोहित रहे। 2209- 2015 तक दुसैया पल्ली में पल्ली पुरोहित के साथ- साथ संत पीटर माइनर सेमिनरी के रेक्टर पद पर रहे। वर्ष 2015- 2017 तक चखनी पल्ली के पल्ली पुरोहित रहे, वर्ष 2017 से रामनगर पल्ली के पल्ली पुरोहित के साथ - साथ बेतिया पल्ली के विकर जेनरल और प० चम्पारण जिले के डीन बने। इसके अतिरिक्त फा० फुलजेन्स पुरोहित कौंसिल के सदस्य, धर्मप्रान्त के सलाहकार, वोकेशन कमीशन के इंचार्ज और वोकेशन प्रमोटर पद को भी सुशोभित किये।

जब किडनी की अदला-बदली कर पत्नियों ने बचाई जान

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नयी दिल्ली , 12 जुलाई, अभी तक हमने सुना है कि पत्नी सावित्री बनकर यमराज से भी पति के प्राण बचा लेती है , लेकिन राजधानी में शायद ऐसा पहली बार हुआ है जब तीन पुरूषों को उनकी नहीं बल्कि एक - दूसरे की पत्नियों ने जीवनदान दिया है।  दिल्ली के निजी अस्पताल पुष्पावती सिंघानिया हास्पिटल एंड रिसर्च इंस्टीट्यूट में गुर्दा प्रतिरोपण के जरिए जीवनदान पाने की आशा में आये तीन पुरूष चिकित्सकीय कारणों से अपनी - अपनी पत्नियों की किडनी प्राप्त नहीं कर सकते थे। लेकिन तभी एक चमत्कार सा हुआ और डॉक्टरों के माध्यम से तीनों की पत्नियों को पता चला कि वह भले ही अपने - अपने पति को अंगदान नहीं कर सकती हैं , लेकिन अगर एक - दूसरे की मदद करें तो वह अपने पतियों की जीवन रक्षा कर सकती हैं। डॉक्टरों द्वारा लगातार 14 घंटे में की गयी तीन सर्जरियों में दिल्ली निवासी सना खातून (26) ने अजय शुक्ला (40) को अपनी किडनी दान की। जबकि उनके पति मोहम्मद उमर युसुफ (37) की जान मधुबनी निवासी लक्ष्मी छाया (40) का गुर्दा बचाया। वहीं छाया के पति कमलेश मंडल (54) को शुक्ला की पत्नी माया शुक्ला (37) ने अपनी किडनी दी। तीनों की सर्जरी आठ जुलाई को अस्पताल के गुर्दा प्रतिरोपण विभाग के प्रमुख डॉक्टर पी . पी . सिंह की टीम ने सुबह आठ बजे से रात दस बजे के बीच की। इस टीम में सात सर्जन , छह एनेस्थिसिया विशेषज्ञ , 18 स्टाफ नर्स और 20 ओटी तकनीकी विशेषज्ञ शमिल रहे। 

सेंसेक्स 282 अंक उछलकर रिकार्ड ऊंचाई पर, निफ्टी 11,000 अंक के पार

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मुंबई, 12 जुलाई, बाजार में आज लगातार पांचवें दिन तेजी आयी और ऊर्जा तथा वित्तीय कंपनियों के शेयरों में लिवाली से बंबई शेयर बाजार का सेंसेक्स 282 अंक उछलकर अब तक के सर्वोच्च स्तर 36,548.41 अंक पर बंद हुआ। नेशनल स्टाक एक्सचेंज का निफ्टी भी 70 अंक मजबूत होकर 11,000 अंक के पार पहुंच गया।  पेट्रोलियम, दूरसंचार समेत विभिन्न कारोबार में लगी रिलायंस इंडस्ट्रीज का शेयर 4.42 प्रतिशत मजबूत होकर अब तक की रिकार्ड ऊंचाई पर पहुंच गया। इसके साथ ही कंपनी का बाजार पूंजीकरण 100 अरब डालर के दायरे में पहुंच गया है। कारोबारियों के अनुसार रुपये में मजबूती, घरेलू संस्थागत निवेशकों की लिवाली, ताजा विदेशी पूंजी प्रवाह तथा कंपनियों के वित्तीय परिणाम की बेहतर शुरूआत से बाजार धारणा को बल मिला। बंबई शेयर बाजार का तीस शेयरों वाला सूचकांक मजबूती के साथ खुला और कारोबार के दौरान 36,699.53 की रिकार्ड ऊंचाई तक पहुंच गया। हालांकि, बाद में इसमें कुछ गिरावट आयी और अंत में यह 282.48 अंक या 0.78 प्रतिशत की बढ़त के साथ कारोबार की समाप्ति पर अब तक के सर्वोच्च स्तर 36,548.41 अंक पर बंद हुआ। इससे पहले 29 जनवरी को सेंसेक्स रिकार्ड 36,283.25 अंक पर बंद हुआ था। पिछले पांच सत्रों में सेंसेक्स 973.86 अंक मजबूत हुआ है।

एनएसई निफ्टी भी 74.90 अंक या 0.68 प्रतिशत मजबूत होकर 11,023.20 अंक पर बंद हुआ। इससे पहले कारोबार के दौरान यह 11,078.30 अंक की ऊंचाई को छू गया था।  निफ्टी का 31 जनवरी के बाद यह सर्वोच्च स्तर है। उस समय यह 11,027.70 अंक पर बंद हुआ था। इस बीच, अस्थायी आंकड़ों के अनुसार विदेशी संस्थागत निवेशकों ने कल शुद्ध रूप से 636.27 करोड़ रुपये मूल्य के शेयर खरीदे जबकि घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने इस दौरान मात्र 15.33 करोड़ रुपये मूल्य के शेयर खरीदे। जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, ‘‘कंपनियों के बेहतर वित्तीय परिणाम तथा तेल कीमतों में गिरावट से बाजार में तेजी रही। इसके अलावा अमेरिका तथा चीन के बीच व्यापार बातचीत की संभावना से भी वैश्विक बाजारों की धारणा पर सकारात्मक प्रभाव पड़ा।’’  कच्चे तेल के दाम में एक दिन में पिछले दो साल की सर्वाधिक गिरावट से तेल कंपनियों तथा विमानन कंपनियों के शेयर चमके। कारोबार के दौरान आज भारत पेट्रोलियम कारपोरेशन 2.61 प्रतिशत, हिंदुस्तान पेट्रोलियम कारपोरेशन 1.53 प्रतिशत तथा इंडियन आयल कारपोरेशन 1.10 प्रतिशत चढ़ गये वहीं इंटरग्लोब एविएशन लि. 4.70 प्रतिशत तथा जेट एयरवेज 1.80 प्रतिशत मजबूत हुए। लाभ में रहने वाले अन्य प्रमुख शेयरों में विप्रो, एल एंड टी, एचडीएफसी लि., एसबीआई, एचयूएल, आईसीआईसीआई बैंक, इंडसइंड बैंक तथा यस बैंक शामिल हैं। वहीं दूसरी तरफ वेदांता, इन्फोसिस, बजाज आटो, महिंद्रा एंड महिंद्रा, हीरो मोटो कार्प, अडाणी पोर्ट, टाटा मोटर्स, भारती एयरटेल, मारुति सुजुकी, टीसीएस तथा पावर ग्रिड में गिरावट दर्ज की गयी। वैश्विक बाजारों में शंघाई कंपोजिट सूचकांक 2.16 प्रतिशत, हांगकांग का हैंग सेंग 0.60 प्रतिशत जबकि जापान का निक्केई 1.17 प्रतिशत मजबूत हुए। यूरोपी बाजारों में फ्रैंकफर्ट का डीएएक्स 0.58 तथा पेरिस सीसीए 0.65 प्रतिशत तथा लंदन का एफटीएसई 0.73 प्रतिशत मजबूत हुए।

टकराने से बाल-बाल बचे इंडिगो के दो विमान

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मुंबई : बेंगलुरू, 12 जुलाई, विमानन कंपनी इंडिगो के दो विमान मंगलवार को बेंगलुरु के आकाश में टकराने से बाल-बाल बच गए। दोनों विमान में करीब 330 यात्री सवार थे। विमानन क्षेत्र के सूत्रों ने बताया कि अधिकारियों ने 10 जुलाई की इस घटना की जांच शुरू कर दी है।  इस घटना में शामिल विमान कोयंबटूर-हैदराबाद और बेंगलुरु- कोचीन हवाई मार्ग पर जा रहे थे। इंडिगो के एक प्रवक्ता के साथ साथ बेंगलुरू अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा लि. (बीआईएएल) ने घटना की पुष्टि की है।  हैदराबाद जा रहे विमान में 162 यात्री सवार थे जबकि दूसरे विमान में 166 यात्री सवार थे। सूत्रों ने  बताया कि दोनों विमानों में बस 200 फुट की दूरी थी जब यह हवा में एक-दूसरे के सामने आ गए थे और ‘‘ट्रैफिक कोलिजन एवॉयडेंस सिस्टम’’ (टीसीएएस) अलार्म के बजने के बाद इस हादसे को टाला जा सका। सूत्रों ने बताया कि विमान दुर्घटना जांच बोर्ड (एएआईबी) ने इस घटना की जांच शुरू कर दी है।  विमानन कंपनी के प्रवक्ता ने एक बयान में कहा कि औपचारिक प्रक्रिया का पालन करते हुए इस घटना की जानकारी नियामक को दी गयी है। नागर विमानन महानिदेशालय विमानन क्षेत्र का नियामक है।  बेंगलुरू में जारी एक बयान में बीआईएएल प्रवक्ता ने कहा कि इस घटना में दोनों विमान ए320 थे और दोनों इंडिगो एयरलाइंस द्वारा संचालित थे।

मैक्सिको में भूकंप से प्राचीन मंदिर का पता चला

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कुर्नावका , 12 जुलाई, पिछले साल सितंबर में मध्य मैक्सिको में आए विनाशकारी भूकंप के बाद एज्टेक पिरामिड के भीतर एक मंदिर के अवशेष सामने आए हैं।  मोरेलोस राज्य के कुर्नावका में तीपनजोल्को पिरामिड के भीतर तलालोक नामक देवता को समर्पित मंदिर क्षेत्र के तल्हाहुइया संस्कृति से जुड़ा है। तलालोक को वर्षा का देवता माना जाता है।  नेशनल इन्स्टीट्यूट ऑफ एंथ्रोपोलोजी एंड हिस्ट्री (आईएनएएस) की पुरातत्वविद बारबरा कोनिकजा ने कहा कि भूकंप के कारण पिरामिड की भीतरी संरचना में बड़ा फेरबदल हुआ।  सबसे ज्यादा नुकसान पिरामिड के ऊपरी हिस्से को पहुंचा। इस हिस्से में दो मंदिरों का पता चला। इसमें से एक मंदिर सूर्य को और दूसरा मंदिर युद्ध के देवता को समर्पित है।  आईएनएएस ने पिरामिड की संरचना का पता लगाने के लिए रडार के जरिए अध्ययन किया तो तलालोक मंदिर का पता चला।  माना जाता है कि संरचना साल 1150 के आसपास की तारीख है । 

बिहार : कैबिनेट ने बिहार मद्य निषेध और उत्पाद अधिनियम में संशोधन को मंजूरी दी

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पटना, 11 जुलाई, बिहार राज्य मंत्रिपरिषद ने बिहार मद्य निषेध और उत्पाद अधिनियम 2016 में संशोधन विधेयक 2018 सहित तीन अन्य संशोधन विधेयकों को विधानमंडल सत्र में पेश किए जाने को आज मंजूरी दे दी है। संशोधन विधेयक में शराबबंदी कानून का उल्लंघन करने वालों के लिए मौजूदा सजा के प्रावधान में बदलाव कर उसे कम किया जाना है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में आज संपन्न मंत्रिपरिषद की बैठक के बाद पत्रकारों को संबोधित करते हुए मंत्रिमंडल सचिवालय विभाग के प्रधानसचिव अरूण कुमार सिंह ने बताया कि मंत्रिपरिषद ने आज कुल 33 विषयों पर विचार कर उन्हें मंजूरी प्रदान कर दी है। उन्होंने बताया कि मंत्रिपरिषद ने बिहार मद्य निषेध और उत्पाद अधिनियम 2016 में संशोधन विधेयक 2018, बिहार मूल्यवर्द्धित कर अधिनियम 2005, बिहार होटल विलासवस्तु काराधान अधिनियम एवं बिहार मनोरंजन कर अधिनियम को संशोधित करने से संबंधित विधेयक तथा बिहार राज्य दहेज प्रतिषेध बिहार संशोधन अधिनियम 1975 के निरसन के लिए बिहार राज्य दहेज प्रतिषेध बिहार संशोधन अधिनियम 2018 को विधानमंडल सत्र में पेश किए जाने को आज मंजूरी प्रदान कर दी। उल्लेखनीय है कि बिहार विधानमंडल का मानसून सत्र आगामी 20 जुलाई से शुरू होने वाला है। बिहार में पांच अप्रैल 2016 से पूर्ण शराबबंदी लागू है और इसे कड़ाई से लागू किए जाने के लिए नीतीश कुमार सरकार ने बिहार मद्य निषेध और उत्पाद अधिनियम 2016 को सर्वसम्मिति से विधानमंडल से पारित करवाया था पर बाद में इसके कुछ प्रावधानों को कड़ा बताए जाने तथा इस कानून का दुरूपयोग किए जाने का आरोप लगाते हुए विपक्ष द्वारा इसकी आलोचना की जाती रही है।

गत 11 जून को लोकसंवाद कार्यक्रम के बाद पत्रकारों से बातचीत के दौरान शराबबंदी कानून में कुछ तब्दीली से संबंधित प्रश्न के संबंध में मुख्यमंत्री ने कहा था कि हमलोगों ने राज्य में पूरी ईमानदारी से शराबबंदी कानून को लागू किया है। इसमें कुछ कड़े प्रावधान हैं, इसके लिए कार्यक्रम में एक राय बनाने के लिए ऑल पार्टी मीटिंग की गई थी। उन्होंने कहा था कि उक्त कानून का दुरुपयोग न हो, इसके लिए मुख्य सचिव ने अधिकारियों की एक कमिटी बनायी है। कमिटी अध्ययन के आधार पर यह जानकारी देगी कि इसमें क्या सुधार किया जा सकता है। उच्चतम न्यायालय में इससे संबंधित मामला चल रहा है। अतः अपने सीनियर एडवोकेट और एडवोकेट जनरल से विचार करेंगे और उसके बाद ही कुछ निर्णय लिया जाएगा। कानूनी एवं संवैधानिक पहलू को ध्यान में रखते हुए इन सब चीजों पर विचार-विमर्श किया जा रहा है। नीतीश ने कहा था कि शराबबंदी कानून का प्रभावकारी ढंग से पालन हो, इसके किसी अंश का दुरुपयोग न हो। अंततः हमलोगों का लक्ष्य शराबबंदी से आगे बढ़ते हुए नशामुक्त समाज बनाना है।

बिहार के महाधिवक्ता ललित किशोर ने मीडिया के एक वर्ग से बातचीत करते हुए बिहार मद्य निषेध और उत्पाद अधिनियम 2016 में संशोधन विधेयक 2018 के बारे में आज बताया कि पहले शराब के उत्पादनकर्ता, परिवहनकर्ता, विक्रेता के लिए दस साल से लेकर उम्रकैद तक की सजा का प्रावधान था, को अब दो स्लैब में किया गया है। उन्होंने बताया कि पहली बार यह जुर्म करने वाले को उन्हें कम से कम पांच के कारावास की सजा का प्रावधान किया गया है तथा उसके बाद भी वही जुर्म करते हैं तो उनके लिए दस साल के कारावास की सजा का प्रावधान किया गया है। किशोर ने बताया कि शराब पीने वाले के लिए पहले पांच साल के कारावास की सजा थी पर अब पहली बार यह जुर्म करने पर 50 हजार रुपये का जुर्माना और जुर्माना नहीं भरने पर तीन महीने के कारावास की सजा का प्रावधान किया गया है। उन्होंने बताया कि पहली बार शराब पीते पकड़े जाने पर उसे जमानती और असंज्ञेय बना दिया गया है। हालांकि दोबारा शराब पीते पकड़े जाने पर सजा बढ़ जाएगी। यह पूछे जाने पर कि बिहार मद्य निषेध और उत्पाद अधिनियम 2016 के तहत वर्तमान में पकड़े गए आरोपियों को भी क्या इसका लाभ मिलेगा, किशोर ने कहा कि सभी ऐसे लंबित मामलों में आरोपियों को इसका लाभ मिलेगा।

BCCI को RTI अधिनियम के तहत क्यो नहीं लाया जाये : CIC

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नयी दिल्ली , 12 जुलाई, केंद्रीय सूचना आयोग ने बीसीसीआई और खेल मंत्रालय से यह बताने के लिये कहा है कि विभिन्न न्यायिक फैसलों और विधि आयोग की ताजा रिपोर्ट के मद्देनजर बीसीसीआई को आरटीआई अधिनियम के तहत क्यों नहीं लाया जा सकता ।  सूचना आयुक्त श्रीधर आचार्युलू ने कहा ,‘‘ लंबी चली आ रही इस अनिश्चितता पर रोक लगाना सीआईसी का काम है । इसके चलते बीसीसीआई में पारदर्शिता और जवाबदेही का अभाव है। ’’  यह मसला उनके समक्ष तब आया जब खेल मंत्रालय आरटीआई आवेदक गीता रानी को संतोषजनक जवाब नहीं दे सका । गीता रानी ने उन प्रावधानों और निर्देशों की जानकारी मांगी थी जिनके तहत बीसीसीआई भारत का प्रतिनिधित्व और देश की टीम का चयन करता है ।  आवेदक ने पूछा था कि बीसीसीआई द्वारा चुने गए खिलाड़ी उसके लिये खेलते हैं या भारत के लिये और एक निजी संघ अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का प्रतिनिधित्व कैसे कर सकता है । इसके अलावा अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंटों के लिये टीम चुनने का अधिकार बीसीसीआई को देने में सरकार का क्या फायदा है ।  मंत्रालय ने कहा था कि उसके पास कोई जानकारी नहीं है क्योंकि बीसीसीआई आरटीआई अधिनियम के तहत सार्वजनिक प्राधिकरण नहीं है लिहाजा आरटीआई आवेदन उसे नहीं दिया जा सकता ।  आचार्युलू ने कहा कि यह जानना जरूरी है कि बीसीसीआई आरटीआई अधिनियम के तहत जवाबदेह है या नहीं । 

बिहार : शाह मिले नीतीश से, कहा-जद (यू) से गठबंधन अटूट

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पटना, 12 जुलाई, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अध्यक्ष अमित शाह अपने दो दिवसीय दौरे के पहले दिन गुरुवार को अगले लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा कार्यकर्ताओं में जहां उत्साह का संचार किया, वहीं जद (यू) के अध्यक्ष और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से दो मुलाकातों से विपक्ष को यह भी संदेश देने की कोशिश की कि राजग में कहीं कोई मतभेद नहीं है, जद (यू) से गठबंधन अटूट है। भाजपा अध्यक्ष शाह ने भाजपा कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि विपक्षी महागठबंधन 'लार टपकाता रहे'मगर नीतीश कुमार के साथ गठबंधन नहीं टूटेगा। उन्होंने दावा किया कि अगले लोकसभा चुनाव में बिहार की 40 में से 40 सीटें राजग जीतेगा। कार्यकर्ताओं में जोश भरते हुए उन्होंने कहा, "हमने जिस जीत की आदत डाली है, उसे बनाए रखना होगा।"पटना में भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ बैठक के बाद भाजपा शक्ति केंद्र प्रभारियों को संबोधित करते हुए शाह ने बिहार के गौरवशाली इतिहास की चर्चा की और देश को कांग्रेस मुक्त करने के अपने अभियान की चर्चा कहते हुए कहा, "कांग्रेस मुक्त भारत बनाने की शुरुआत बिहार से ही हुई है। कांग्रेस के आपातकाल के दौरान इसी धरती पर जयप्रकाश नारायण निकले और कांग्रेस को हटा दिया। बिहार के राजेंद्र प्रसाद, कर्पूरी ठाकुर जी और जय प्रकाश नारायण ने देश को दिशा दी है।"यह बात दीगर है कि कांग्रेस मुक्त भारत की कल्पना करने वाले अमित शाह अपने गृहराज्य को अब तक कांग्रेस मुक्त नहीं कर पाए हैं। गुजरात के 77 विधानसभा क्षेत्रों पर कांग्रेस और तीन पर इसके सहयोगी दलों का कब्जा है।

भाजपा को एक विचारधारा बताते हुए शाह कहा, "भाजपा एक परिवार की नहीं, बल्कि विचारधारा की पार्टी है। विचारधारा के संघर्ष में कार्यकर्ताओं पर अत्याचार हुए और हमारे कार्यकर्ता आज भी बलिदान दे रहे हैं। 10 सदस्यों वाली पार्टी आज 11 करोड़ सदस्यों की सबसे बड़ी पार्टी बन गई है।"उन्होंने साढ़े चार वर्ष के राजग सरकार के विकास कार्यो की चर्चा करते हुए कार्यकर्ताओं से सरकार की योजनाओं को सोशल मीडिया के माध्यम से आम जनता को बताने की सलाह दी। शाह ने 2013 में कांग्रेस कार्यकाल की चर्चा करते हुए कहा, "उस समय देश में नीतिगत लकवा मार गया था। देश का हर मंत्री खुद को प्रधानमंत्री मानता था, परंतु प्रधानमंत्री खुद को प्रधानमंत्री नहीं मानता था। इसके बाद नरेंद्र मोदी की हवा आई जो आंधी बनी और फिर सुनामी बन गई और फिर पूर्ण बहुमत के साथ सरकार बनी।"उन्होंने कांग्रेस के साथ राजद पर भी निशाना साधते हुए कहा, "वर्ष 2014 में सभी विपक्षी पार्टियां हमारे खिलाफ लड़ी थीं और हमने सभी को हराकर ही सत्ता पाई थी। हम इन सभी को फिर से हराएंगे।"शाह ने जोर देकर कहा, "एनडीए से सिर्फ चंद्रबाबू नायडू गए हैं, लेकिन उनके बदले नीतीश कुमार आ गए हैं, तो क्या फर्क पड़ा।"

इससे पहले, शाह के पटना स्थित ज्ञानभवन पहुंचने पर 101 शंख ध्वनियों से उनका स्वागत किया गया। इसके बाद उन्हें मखाने का माला पहनाकर सम्मानित किया गया। इसके बाद शाह भाजपा प्रदेश कार्यालय पहुंचे और फिर राजकीय अतिथिशाला में भाजपा के वरिष्ठ नेताओं और चुनाव तैयारी समिति के नेताओं के साथ बैठक की। इससे पहले, अपने दो दिवसीय बिहार दौरे पर गुरुवार को पटना पहुंचे अमित शाह और राजग में शामिल जद (यू) के अध्यक्ष नीतीश कुमार के साथ पटना के राजकीय अतिथिशाला में मुलाकात हुई। दोनों नेताओं ने साथ में सुबह का नाश्ता किया। इस दौरान करीब एक घंटे तक दोनों नेताओं ने सियासी चर्चा की। नीतीश के रात्रिभोज निमंत्रण पर शाह रात में मुख्यमंत्री आवास पहुंचे। दोनों नेता एक बार फिर रात के भोजन पर मिले। इस भोज में दोनों दलों के कई वरिष्ठ नेता भी शामिल हुए। वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव को देखते हुए यह मुलाकात काफी अहम मानी जा रही है। कयास लगाया जा रहा है कि अपने-अपने पार्टी के दोनों प्रमुखों के बीच सीट बंटवारे को लेकर भी चर्चा होगी। इस बीच, जद (यू) के वरिष्ठ नेता क़े सी़ त्यागी ने बताया कि एक ही गठबंधन में शामिल दोनों वरिष्ठ नेताओं के बीच सौहार्दपूर्ण वातावरण में बातचीत हुई है, लेकिन अभी यह पहले ही दौर की बातचीत है। ऐसे में सीट बंटवारे को लेकर सारी बातें तय हो जाएंगी, इस पर संशय है। इससे पहले, शाह गुरुवार की सुबह करीब 10 बजे पटना हवाईअड्डे पहुंचे, जहां भाजपा के नेता और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी, प्रदेश अध्यक्ष नित्यानंद राय सहित कई केंद्रीय मंत्री और बिहार के मंत्री सहित बड़ी संख्या में कार्यकताओं ने उनका स्वागत किया। इधर, शाह के आगमन को लेकर पटना की सड़कें भाजपा के बैनर, पोस्टरों से भरी पड़ी हैं। शाह के आगमन को लेकर सुरक्षा के भी कड़े प्रबंध किए गए हैं। शाह शुक्रवार की सुबह दिल्ली के लिए प्रस्थान करेंगे।

दिल्ली : कचरा मामले में कुछ नहीं करने पर उप राज्यपाल को फटकार

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नई दिल्ली, 12 जुलाई, सर्वोच्च न्यायालय ने गुरुवार को दिल्ली के उप राज्यपाल द्वारा शहर में कूड़े की समस्या के समाधान के लिए जरूरी कदम नहीं उठाने पर नाखुशी जाहिर की। उप राज्यपाल कार्यालय ने स्वीकार किया था कि कूड़ा प्रबंधन उनके अधिकार क्षेत्र में आता है। न्यायालय ने सुनवाई के दौरान उप राज्यपाल अनिल बैजल को 'सुपरमैन'कहा। न्यायमूर्ति मदन बी.लोकुर और न्यायमूर्ति दीपक गुप्ता ने उप राज्यपाल को दिल्ली में ठोस कचरा प्रबंधन के मुद्दे में उचित कार्रवाई नहीं करने पर आड़े हाथ लिया और कहा कि वह मामले में महत्वपूर्ण बैठक में शामिल नहीं हुए और कोई भी निर्देश जारी नहीं किया। मंगलवार को पीठ ने पूछा था कि कौन 'कचरे के पहाड़'को हटाने के लिए जिम्मेदार है। जवाब में दिल्ली सरकार और उप राज्यपाल ने गुरुवार को अदालत को बताया कि दिल्ली नगर निगम अधिनियम के प्रावधानों के अंतर्गत उप राज्यपाल को अधिकारियों को इस संबंध में आदेश जारी करने का अधिकार है। पीठ ने कहा कि दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री द्वारा की जाने वाली किसी बैठक में उप राज्यपाल शामिल नहीं होंगे क्योंकि वह कहेंगे कि इसकी अध्यक्षता वह कर रहा है जिसके पास कोई अधिकार नहीं है। अदालत ने कहा, "उप राज्यपाल के अनुसार स्वास्थ्य मंत्री कौन है?" 

पीठ ने कहा, "उप राज्यपाल कार्यालय से कोई भी बैठक में शामिल नहीं हुआ और वह कहते हैं कि मेरे पास शक्ति है। मैं सुपरमैन हूं...यह अपनी जिम्मेदारी दूसरे पर थोपना है। वह कहते हैं कि मैं जिम्मेदार हूं, मैं कुछ भी नहीं करूंगा, लेकिन आप पर आरोप लगेगा।"पीठ ने कहा, "आपका (उप राज्यपाल का) शपथ पत्र कहता है कि यह (ठोस कचरा प्रबंधन) आपकी जिम्मेदारी है। इसलिए इस मामले में मुख्यमंत्री को न घसीटें।"शहर में ठोस कचरा प्रबंधन के लिए कोई योजना न होने से निराश अदालत ने कहा कि गाजीपुर, ओखला, भारद्वाज लैंडफिल स्थलों में'कचरे के पहाड़'यह दर्शाते हैं कि दिल्ली एक गंभीर खतरे का सामना कर रही है। अदालत ने उपराज्यपाल कार्यालय को 16 जुलाई तक इस स्थिति से निपटने के लिए शपथ पत्र दाखिल करने के लिए कहा जिसमें इस समस्या से निपटने की समय सीमा का जिक्र हो।

आयुष्मान भारत के लिए आधार अनिवार्य नहीं : स्वास्थ्य मंत्रालय

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नई दिल्ली, 12 जुलाई, केंद्र सरकार ने गुरुवार को साफ किया कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य सुरक्षा मिशन-आयुष्मान भारत के तहत लाभ लेने के लिए आधार कार्ड अनिवार्य नहीं है। किसी को भी आधार नंबर नहीं होने से स्वास्थ्य सुविधाओं से इनकार नहीं किया जाएगा। स्वास्थ्य मंत्रालय की एक विज्ञप्ति में कहा गया कि एबीएनएचपीएम के दिशानिर्देर्शो में लाभार्थी की पहचान पर साफ कहा गया है कि लोगों के पास अगर आधार नहीं है तो राज्य द्वारा मान्य कोई भी वैध पहचान प्रमाण पत्र ला सकते हैं। आयुष्मान भारत 10 करोड़ गरीब व कमजोर परिवारों को हर साल द्वितीयक व तृतीय श्रेणी के अस्पतालों में देखभाल के लिए 5 लाख रुपये प्रति परिवार का कवरेज प्रदान करेगा। मंत्रालय का यह स्पष्टीकरण आयुष्मान भारत के तहत लाभ लेने के लिए आधार कॉर्ड को जरूरी बताने की रिपोर्ट के मद्देनजर आया है। विज्ञप्ति में कहा गया कि स्वास्थ्य मंत्री जे.पी.नड्डा ने इसकी पुष्टि की है कि हम सभी योग्य लाभार्थियों को आधार कार्ड के साथ या बिना आधार के सुविधाएं प्रदान करेंगे। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि केंद्र ने अपनी महत्वाकांक्षी स्वास्थ्य बीमा योजना के तहत लाभार्थियों के लिए राजपत्रित अधिसूचना प्रकाशित कर आधार अनिवार्य को अनिवार्य बनाया है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि रिपोर्ट वास्तव में गलत है। इस योजना का लाभ लेने के लिए पहचान के दस्तावेज के विकल्पों में राशन कार्ड, वोटर आईडी कार्ड व मनरेगा कार्ड मान्य है।

दिल्ली के सरकारी स्कूलों में अगले सप्ताह से 'खुशी पाठ्यक्रम'

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नई दिल्ली, 12 जुलाई,  दिल्ली के शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने गुरुवार को कहा कि दिल्ली सरकार द्वारा अगले सप्ताह से संचालित स्कूलों में'खुशी पाठ्यक्रम'शुरू किया जाएगा। सिसोदिया ने संवाददाताओं को बताया, "हमारे 18,000 शिक्षक शिशु से कक्षा आठ तक 'खुशी पाठ्यक्रम'की कक्षाएं लेंगे।"सरकार ने पाठ्यक्रम का लक्ष्य तथा सामग्री के बारे में बताने के लिए शिक्षकों का तीन दिवसीय प्रशिक्षण सत्र आयोजित किया है। उन्होंने कहा, "वर्तमान सत्र आज समाप्त हुआ। हम और शिक्षकों, प्रधानाचार्यो तथा उप प्रधानाचार्यो के लिए एक और प्रशिक्षण सत्र आयोजित करेंगे।"उन्होंने कहा, "मुझे विश्वास है कि इससे हमारे युवाओं में बढ़ रहे अवसाद, चिंता तथा असहनशीलता को कम करने में मदद मिलेगी।"दिल्ली के सरकारी स्कूलों में 45 मिनट का 'खुशी काल'हुआ करेगा जिसमें ध्यान, कहानियां, प्रश्नोत्तर सत्र, मूल शिक्षा तथा मानसिक अभ्यास को शामिल किया जाएगा। आध्यात्मिक गुरु दलाई लामा द्वारा दो जुलाई को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल तथा उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की उपस्थिति में शुरू किए गए 'गतिविधि आधारित पाठ्यक्रम'में कोई औपचारिक परीक्षा नहीं होगी। हालांकि इस विषय में बच्चों की प्रगति का मूल्यांकन 'खुशी सूचकांक'का उपयोग करके किया जाएगा।

भोजपुरी गायिका कल्पना ने थामा भाजपा का 'कमल'

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पटना, 12 जुलाई, भोजपुरी फिल्मों की गायिका और असम की रहने वाली कल्पना पटवारी ने यहां गुरुवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सदस्यता ग्रहण कर ली। पटना में आयोजित भाजपा के एक समारोह में राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह, राष्ट्रीय महासचिव भूपेंद्र यादव, केंद्रीय मंत्री रवि शंकर प्रसाद, बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी सहित कई नेताओं की मौजूदगी में कल्पना ने भाजपा की सदस्यता ली। भाजपा की सदस्यता ग्रहण पर शाह ने उनका पार्टी में स्वागत किया। सांस्कृतिक कार्यो में लगी रहने वाली कल्पना पटवारी ने आईएएनएस से कहा कि उनका संबंध बिहार और असम राज्य से है। इन दोनों राज्यों में आज भाजपा की सरकारें हैं। उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के क्रिया कलाप, उनकी नेतृत्व क्षमता और विजन ने मुझे राजनीति में आने के लिए प्रेरित किया और आज मैं उनके साथ हूं।"उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर दो ही राजनीतिक दल हैं- कांग्रेस और भाजपा। पटवारी ने कहा कि भाजपा कांग्रेस से बेहतर सामाजिक कार्य करती है। उन्होंने कहा कि कार्यकर्ता होने के नाते वह अपनी कला से भाजपा के हित में काम करेंगी। उल्लेखनीय है कि भोजपुरी फिल्म जगत से मनोज तिवारी और रवि किशन दो बड़े दिग्गज पहले से ही भाजपा के सदस्य हैं। मनोज तिवारी दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष हैं। कल्पना पटवारी एक लोक गायिका हैं, जो मूलरूप से असम के बारपेटा की रहने वाली हैं। कल्पना भोजपुरी के अलावा कई भाषाओं में गाना गाती हैं। हालांकि, भोजपुरी भाषा उनके लिए प्राथमिकता है। अब तक उन्होंने 30 भाषाओं में गाना गा चुकी हैं। इसके अलावा कल्पना कई रियलटी शो में जज (निर्णायक) की भी भूमिका निभा चुकी है।

नीतीश के साथ गठबंधन नहीं टूटेगा, जीतेंगे सभी सीटें : अमित शाह

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पटना, 12 जुलाई, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अध्यक्ष अमित शाह ने यहां गुरुवार को कहा कि विपक्षी महागठबंधन 'लार टपकाता रहे'मगर नीतीश कुमार के साथ गठबंधन नहीं टूटेगा। उन्होंने दावा किया कि अगले लोकसभा चुनाव में बिहार की 40 में से 40 सीटें राजग जीतेगा। भाजपा कार्यकर्ताओं में जोश भरते हुए उन्होंने कहा, "हमने जिस जीत की आदत डाली है, उसे बनाए रखना होगा।"पटना में भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ बैठक के बाद भाजपा शक्ति केंद्र प्रभारियों को संबोधित करते हुए शाह ने बिहार के गौरवशाली इतिहास की चर्चा की और देश को कांग्रेस मुक्त करने के अपने अभियान की चर्चा कहते हुए कहा, "कांग्रेस मुक्त भारत बनाने की शुरुआत बिहार से ही हुई है। कांग्रेस के आपातकाल के दौरान इसी धरती पर जयप्रकाश नारायण निकले और कांग्रेस को हटा दिया। बिहार के राजेंद्र प्रसाद, कर्पूरी ठाकुर जी और जय प्रकाश नारायण ने देश को दिशा दी है।"अमित शाह हालांकि अपने गृहराज्य को 'कांग्रेस मुक्त'नहीं कर पाए हैं। गुजरात के 77 विधानसभा क्षेत्रों पर कांग्रेस का कब्जा है। भाजपा अध्यक्ष ने भाजपा को एक विचारधारा बताते हुए कहा, "भाजपा एक परिवार की नहीं, बल्कि विचारधारा की पार्टी है। विचारधारा के संघर्ष में कार्यकर्ताओं पर अत्याचार हुए और हमारे कार्यकर्ता आज भी बलिदान दे रहे हैं। 10 सदस्यों वाली पार्टी आज 11 करोड़ सदस्यों की सबसे बड़ी पार्टी बन गई है।"उन्होंने साढ़े चार वर्ष के राजग सरकार के विकास कार्यो की चर्चा करते हुए कार्यकर्ताओं से सरकार की योजनाओं को सोशल मीडिया के माध्यम से आम जनता को बताने की सलाह दी।

शाह ने 2013 में कांग्रेस कार्यकाल की चर्चा करते हुए कहा, "उस समय देश में नीतिगत लकवा मार गया था। देश का हर मंत्री खुद को प्रधानमंत्री मानता था, परंतु प्रधानमंत्री खुद को प्रधानमंत्री नहीं मानता था। इसके बाद नरेंद्र मोदी की हवा आई जो आंधी बनी और फिर सुनामी बन गई और फिर पूर्ण बहुमत के साथ सरकार बनी।"उन्होंने कांग्रेस के साथ राजद पर भी निशाना साधते हुए कहा, "वर्ष 2014 में सभी विपक्षी पार्टियां हमारे खिलाफ लड़ी थीं और हमने सभी को हराकर ही सत्ता पाई थी। हम इन सभी को फिर से हराएंगे।"शाह ने जोर देकर कहा, "सिर्फ चंद्रबाबू नायडू गए हैं, लेकिन उनके बदले नीतीश कुमार आ गए हैं, तो क्या फर्क पड़ा।"इससे पहले, अपने दो दिवसीय बिहार दौरे पर गुरुवार को पटना पहुंचे अमित शाह और राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) में शामिल जद (यू) के अध्यक्ष नीतीश कुमार के साथ पटना के राजकीय अतिथिशाला में मुलाकात हुई। दोनों नेताओं ने साथ में सुबह का नाश्ता किया। इस दौरान करीब एक घंटे तक दोनों नेताओं ने सियासी चर्चा की। दोनों नेता एक बार फिर रात के भोजन पर मुख्यमंत्री आवास में मिलेंगे और अगले दौर की बातचीत करेंगे। इससे पहले, शाह गुरुवार की सुबह करीब 10 बजे पटना हवाईअड्डे पहुंचे, जहां भाजपा के नेता और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी, प्रदेश अध्यक्ष नित्यानंद राय सहित कई केंद्रीय मंत्री और बिहार के मंत्री सहित बड़ी संख्या में कार्यकताओं ने उनका स्वागत किया। इधर, शाह के आगमन को लेकर पटना की सड़कें भाजपा के बैनर, पोस्टरों से भरी पड़ी हैं। शाह के आगमन को लेकर सुरक्षा के भी कड़े प्रबंध किए गए हैं।

विशेष : समाज में उजालें कम क्यों हो रहे हैं?

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स्वार्थ चेतना अनेक बुराइयांे को आमंत्रण है। क्योंकि व्यक्ति सिर्फ व्यक्ति नहीं है, वह परिवार, समाज और देश के निजी दायित्वों से जुड़ा है। अपने लिए जीने का अर्थ है अपने सुख की तलाश और इसी सुख की तलाश ने अनेक समस्याएं पैदा की हैं।  सामाजिक जीवन का एक आधारभूत सूत्र है सापेक्षता। निरपेक्ष व्यक्तियों का समूह भीड़ हो सकती है, समाज नहीं। जहां समाज होगा वहां सापेक्षता होगी। और जहां सापेक्षता होगी वहां सहानुभूति, संवेदनशीलता और आत्मीयता होगी। किसी भी संस्था, समाज, देश या राष्ट्र की शक्ति एवं सफलता का आधार है सापेक्ष सहयोग, आपसी प्रतिबद्धताएं। जिस समाज से जुड़े हुए व्यक्ति समूह के हितों के दीयों में अपनी जिंदगी का तेल अर्पित करने की क्षमता रखते हों वही समाज संचेतन, प्रगतिशील, संवेदनशील और संजिदा होता है।  स्वस्थ एवं उन्नत समाज वह है जिसमें सामाजिक चेतना एवं संवेदनाओं की अनुभूति प्रखर हो और उसकी क्रियान्विति के प्रति जागरूकता बरती जाती हो। 

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अनेक संगठनों ने सेवा, सहयोग एवं संवेदना की दृष्टि से एक स्वतंत्र पहचान बनाई है। स्वामिनारायण वाले हो या इस्कान वाले, कोई अणुव्रत का मिशन हो या सुखी परिवार अभियान-इनकी विभिन्न संस्थाएं सेवामूलक जनकल्याणकारी प्रवृतियों से जन-जन को अभिप्रेरित कर रही है। रोग या बुढ़ापे की स्थिति मंे हमारा क्या होगा, इस चिंता से ये संस्थाएं और उनसे जुडे़ लोग निश्चिंत करते हैं। वे पूरी जागरूकता से इस दायित्व को निभाते हैं। हमें भी सेवा का दर्शन अपनाते हुए  अपने जीवन के साथ इसे जोड़ना है। इसे जोड़ने का अर्थ है कि हम खुद के लिए जीते हुए औरों के लिए भी जीने का प्रयत्न करें। व्यक्तिगत स्वार्थों से ऊपर उठकर समूहगत भावना से जहां, जब, जो भी हो उसमें हिस्सेदार बने। इस भावना के विकास का अर्थ होगा कि हमारी संवेदनशीलता जीवंत होगी। सड़क पर पड़े आदमी की सिसकन, भूखे-प्यासे-बीमार की आहंें, बेरोजगार की बेबसी, अन्याय और शोषण से प्रताड़ित आदमी की पीड़ा-ये सब स्थितियां हमारे मन में करुणा और संवेदना को जगाएगी। और यह जागी हुई करुणा और संवेदना हमें सेवा और सहयोग के लिए तत्पर करेगी। इस तरह की भावना जब हर व्यक्ति में उत्पन्न होगी तो समाज उन्नत बनेगा, सुखी बनेगा और सुरक्षित बनेगा। न असुरक्षा की आशंका होगी, न अविश्वास, न हिंसा, न संग्रह, न शत्रुता का भाव। एक तरह से सारे निषेधत्मक भावों को विराम मिलेगा और एक नया पथ प्रशस्त होगा। 

हम अपनी महत्वाकांक्षाओं से इतने बंध गए कि इस स्वार्थ में हमारी संवेदना भी खो गई। आज दूषित राजनीति में सिर्फ अपने को सुरक्षित रखने के सिवाय राजनेताओं का कोई चरित्र नहीं है। यही वजह है कि राष्ट्रीय समस्याओं, फैलती बुराइयों, अंधविश्वासों और अर्थशून्य परंपराओं के सामूहिक विरोध की ताकत निस्तेज पड़ती जा रही है फिर सेवा और सहयोग के आयाम कैसे पनपे? जरूरत है दिशा बदलने की। परार्थ और परमार्थ चेतना जगाने की। दोनों हाथ एक साथ उठेंगे तो एकता, संगठन, सहयोग, समन्वय और सौहार्द की स्वीकृति होगी। कदम-से-कदम मिलाकर चलेंगे तो क्रांतिपथ का कारवां बनेगा। यही शक्ति है समाज में व्याप्त असंतुलन एवं अभाव को समाप्त करने की। व्यक्ति प्रमाद या जड़ता से चरित्र भ्रष्ट हो सकता है, पुनरावर्तन के अभाव में पढ़ा हुआ, सीखा हुआ ज्ञान भी विस्मृत हो सकता है, किंतु सेवा कभी नष्ट नहीं होती। सेवाजनित लाभ कभी कहीं नहीं जाता। राजस्थानी कहावत है-‘करें सेवा मिलें मेवा।’ समाज स्तर पर सेवा के लाभ की मीमांसा करते हुए स्थानांग सूत्र के टीकाकार लिखते हैं-सेवा के व्यावहारिक लाभ हैं, शारीरिक या मानसिक दृष्टि से रुग्ण तथा वृद्ध व्यक्तियों के चित्त में समाधि पैदा करना, उन्हें भविष्य के प्रति आश्वस्त करना, ग्लानि का निवारण करना, वात्सल्य प्रकट करना, रोगी या वृद्ध को निःसहायता अनाथता का अनुभव न होने देना।  

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निशीथ भाष्यकार लिखते हैं-समाज के सदस्यों की सेवा करने वाला धर्म-वृक्ष की सुरक्षा करता है। सबकी प्रियता प्राप्त करता है और महान निर्जरा, चित्त शुद्धि का भागी बनता है। मेरी दृष्टि में यही सच्ची धार्मिकता है। समाज में उजालों की जरूरत आज ज्यादा महसूस की जा रही है, क्योंकि वास्तविक उजाला जीवन को खूबसूरती प्रदान करता है, वस्तुओं को आकार देता है, शिल्प देता है, रौनक एवं रंगत प्रदान करता है। उजाला इंसान के भीतर ज्ञान का संचार करता है और अंधकार को खत्म कर जीवन को सही मार्ग दिखाता है। नकारात्मक दृष्टिकोण दूर कर सकारात्मक दृष्टि और सोच प्रदान करता है। खुली आंखों से सही-सही देख न पाएं तो समझना चाहिए कि यह अंधेरा बाहर नहीं, हमारे भीतर ही कहीं घुसपैठ किये बैठा है और इसीलिये हम अंधेरों का ही रोना रोते हैं। जबकि जीवन में उजालों की कमी नहीं हैं। महावीर का त्याग, राम का राजवैभव छोड़ वनवासी बनना और गांधी का अहिंसक जीवन -ये उजालों के प्रतीक हैं जो भटकाव से बचाते रहे हैं। महान् दार्शनिक आचार्यश्री महाप्रज्ञ ने सेवा की प्रवृतियों को प्रोत्साहन दिया है। उन्होंने कहा है प्राचीनकाल में स्वार्थ कम तथा स्नेह व सौहार्द ज्यादा था। आज उसमें कमी आई है। इसका एक कारण है धन के प्रति आकर्षण और नकारात्मक चिंतन। जहां सकारात्मक चिंतन का विकास होता है वहां संबंधों मंे सौहार्द बढ़ता है। इसके लिए जरूरी है व्यक्ति अपने भीतर झांके। अंतर्दृष्टि को जागृत कर नया प्रकाश प्राप्त करें।’ अपेक्षा है कि समाज का हर अंग सेवा की विभिन्न प्रवृतियों के साथ जुड़कर उसी नये प्रकाश को प्राप्त कर सकते हैं, वह ईश्वरत्व का बीज है, स्वयं से स्वयं के साक्षात्कार का मार्ग है। 


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(ललित गर्ग)
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