Quantcast
Channel: Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)
Viewing all 74188 articles
Browse latest View live

कोडरमा को शिक्षा हब बनाने का सपना साकार हुआ :- डॉ रवीन्द्र राय

$
0
0
kodarma-education-hub
कोड़रमा 23 सितम्बर 2018 कोड़रमा के लिए एक ऐतिहासिक दिवश के रूप में स्थापित हुआ है । आयुष्मान भारत कार्यक्रम के प्रारम्भ होने के साथ ही प्रधानमंत्री  नरेन्द्र भाई मोदी के हाथो जहाॅ पूरे देश के नागरिको के लिए आयुष्मान भारत का कार्यक्रम प्रारम्भ हुआ है । वही कोड़रमा में  पिछले चार वर्षो से कर्मा श्रमिक अस्पताल को मेडिकल काॅलेज में परिवर्तित करने के लिए लगातार अथक प्रयास हो रहे थें ।  भारत सरकार के पूर्व श्रम मंत्री  बडारू दतात्रेय, झारखण्ड़ सरकार के मंत्री राज परिवाल को बहुत-बहुत धन्यवाद । इन लोगो ने मेडिकल काॅलेज बनाने में बड़ी महत्वूपर्ण भूमिका अदा की थी ।  रामचन्द्र चद्रंवशी  स्वास्थ्य मंत्री और बाद में भारत सरकार और राज्य सरकार के प्रयास से सवा तीन सौ करोड़ से कोडरमा में मेडिकल काॅलेज की स्थापना का सपना संभव हुआ है । वास्तव में कोड़रमा और आसपास के जिलो के लिए बहुत ही अहमियत का दिन है ।  ह्दय से जनता को  बधाई देता हॅू । कोड़रमा जैसे जिले में मेडिकल काॅलेज की स्थापना होना अपने आप में एक विस्मयकारी विषय है । सचमुच भविष्य में बिहार को भी सेवा देने का कार्य झारखण्ड़ करेगा । इस मेडिकल काॅलेज के माध्यम से । इस क्षेत्र की जनता का भी सपना साकार हुआ है, और एक अविश्वसनीय कार्य विश्वास के साथ प्रारम्भ हुआ है, कोड़रमा को शिक्षा का हब बनाने का वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में जो सपना देखा था वह पूर्णता की ओर तेजी से अग्रसर है, आज कोड़रमा में इन्जिनियरिंग काॅलेज, कृषि काॅलेज, कृषि विश्वविद्यालय, माॅडल महिला काॅलेज, मेडिकल काॅलेज, और कुछ ही दिनो में केन्द्रीय विद्यालय ये सभी आने वाले कोड़रमा के शेैक्षिण भविष्य को और महत्व बनाने के लिए कारगर सिद्व होगा ।

चुनाव आयोग ने वीवीपेट और ईवीएम की आपूर्ति के बारे में आश्वस्त किया

$
0
0
ec-ssure-about-vvpat
नयी दिल्ली, 26 सितंबर, चुनाव आयोग ने अगले साल लोकसभा चुनाव में वीवीपेट युक्त ईवीएम की कमी की आशंकाओं को खारिज करते हुये भविष्य में होने वाले सभी चुनाव पूरी तरह से वीवीपेट से ही कराने का भरोसा दिलाया है। आयोग द्वारा बुधवार को जारी आधिकारिक बयान में कहा गया है कि लोकसभा चुनाव तक मतदान पर्ची से जुड़ी वीवीपेट मशीनों की आपूर्ति नहीं हो पाने की आशंकायें निराधार हैं। आयोग लोकसभा चुनाव और इसके पहले विधानसभा चुनाव तथा उपचुनाव पूरी तरह से वीवीपेट युक्त ईवीएम से कराने के लिये प्रतिबद्ध है। आयोग ने कहा कि आगामी आम चुनाव में देश में सभी मतदान केन्द्रों पर जरूरत के मुताबिक 17 .45 लाख वीवीपेट मशीनों की आपूर्ति की जिम्मेदारी सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों बीईएल और ईसीआइएल को सौंपी गयी है। इनमें से अब तक 9 .45 लाख मशीनों का निर्माण हो चुका है और दोनों कंपनियों ने शेष आठ लाख मशीनों की आपूर्ति इस साल नवंबर तक सभी संबद्ध राज्यों को कर देने का आश्वासन दिया है। आयोग ने मशीनों के निर्माण और पूर्ति पर स्वयं नजर रखने की जानकारी देते हुये बताया पिछले चुनावों में मतदान के दौरान ईवीएम में गड़बड़ियों की शिकायतों को देखते हुये अगले आम चुनाव के लिये मशीनों की संख्या में 125 से 135 प्रतिशत तक बढ़ोतरी की गयी है। जिससे कि मतदान के दौरान मशीनों में गड़बड़ी होने पर इन्हें अविलंब बदला जा सके। आयोग ने कहा कि कैराना और भंडारा गोंदिया लोकसभा सीट के उपचुनाव में अत्यधिक धूप के कारण कुछ मशीनों में गड़बड़ी की शिकायतों के मद्देनजर नयी मशीनों के लिये सॉफ्टवेयर में भी सुधार किया गया है जिससे मौसम संबंधी कारकों का मशीन की कार्यप्रणाली पर कोई असर न हो। पिछले दो दशक में तीन लोकसभा और 113 विधानसभा चुनावों में ईवीएम के सफल इस्तेमाल को सराहनीय बताते हुये आयोग ने भविष्य में भी इसके बेहतर परिणामों के प्रति विश्वास व्यक्त किया है।

भारत में 40 फीसदी लड़कियां स्‍कूलों से बाहर हैं : एनसीपीसीआर

$
0
0
40-percent-girl-out-of-school-ncpcr
नयी दिल्ली, 26 सितंबर,राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने मंगलवार को कहा कि देश में 40 फीसदी लड़कियां स्‍कूलों से बाहर हैं। बच्चों की तस्करी से निपटने में शिक्षा की भूमिका पर आयोजित राष्ट्रीय सम्मेलन में एनसीपीसीआर के सदस्य प्रियंक कानूनगो ने कहा, ‘‘भारत में 18 साल से कम उम्र की 40 फीसदी लड़कियां और 35 फीसदी लड़के स्‍कूलों से बाहर हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ जो बच्चे स्कूल नहीं जाते हैं वे बाल दुर्व्‍यापार के शिकार हो सकते हैं। वे गरीब परिवारों से आते हैं और उनके माता-पिता स्‍कूलों की फीस जमा करने में असमर्थ होते हैं। ऐसे बच्चों के लिए मुफ्त और अनिवार्य शिक्षा, उनमें आत्म-सम्मान पैदा करेगी और उन्‍हें उनके अधिकारों के बारे में जागरूक करेगी।’’ कैलाश सत्यार्थी चिल्‍ड्रेन्‍स फाउंडेशन (केएससीएफ) द्वारा आयोजित सम्मेलन में कानूनगो ने कहा, ‘‘ शिक्षा से सशक्तिकरण होगा और उस सशक्तिकरण से बाल दुर्व्‍यापार से निपटने में मदद मिल सकती है। इस दिशा में कारगर प्रयास के तहत 15-18 वर्ष की लड़कियों के लिए मुफ्त और अनिवार्य शिक्षा की जरूरत को राज्‍य को समझना होगा।"  बाल अधिकार कार्यकर्ता भुवन रिभु ने सामूहिक जिम्‍मेदारी की जरूरत पर बल देते हुए कहा, “जब एक बच्चे की तस्करी की जाती है तो उस बच्चे के हर मौलिक अधिकार को छीन लिया जाता है। यह हमारी सामूहिक जिम्‍मेदारी होनी चाहिए कि हर बच्‍चा मुफ्त और अनिवार्य शिक्षा पाए और उसका बचपन सुरक्षित और खुशहाल हो।” 

बेंगलुरू में सनी लियोनी के शो का फिर से विरोध

$
0
0
sunny-leone-show-protest-in-bangalore
बेंगलुरू, 26 सितंबर, नवंबर में यहां होने वाला सनी लियोनी का शो कुछ कन्नड संगठनों के विरोध के बाद एक बार फिर परेशानी में घिरता दिख रहा है। एक अन्य संगठन ने इस शो में स्थानीय भाषा को ज्यादा तवज्जो दिए जाने की भी मांग की है। इससे पहले 2017 में नववर्ष की पूर्व संध्या पर ऐसे ही विरोध के बाद सनी का शो रद्द कर दिया गया था।  सनी का यहां मान्यता टेक पार्क में टाइम क्रियेशंस द्वारा तीन नवंबर को ‘प्योरिटी एंड एक्सप्रेशन’ शीर्षक से शो प्रस्तावित था जिसमें उन्हें पेशकश देनी थी। टाइम क्रियेशंस के मुताबिक पुलिस ने आगामी कार्यक्रम के लिये मंजूरी दे दी है और इसे बेंगलुरू की ‘सबसे बड़ी पार्टी’ के तौर पर पेश किया जा रहा है। पिछले साल के कार्यक्रम का आयोजक भी टाइम क्रियेशंस ही था।  कुछ कन्नड संगठनों द्वारा विरोध प्रदर्शनों के बाद प्रदेश सरकार ने 31 दिसंबर 2017 को यहां आयोजित लियोनी के शो को रद्द कर दिया था। विरोध करने वाले संगठनों में कर्नाटक रक्षणा वेदिके (केआरवी) भी शामिल था जिसकी दलील थी कि यह शहर की संस्कृति पर ‘‘हमला’’ है। इस बार केआरवी से संबद्ध युवा सनी सनी लियोनी के कार्यक्रम का विरोध कर रही है।  संगठन के अध्यक्ष आर हरीश ने बुधवार को प्रेट्र को बताया, ‘‘पुलिस की मंजूरी होने दीजिए। हम इस का विरोध करेंगे। इसे लेकर कोई संदेह नहीं है। प्रदेश भर में हम इसका विरोध करेंगे।’’ 

न्यायालय ने आधार योजना को संवैधानिक रूप से वैध करार दिया

$
0
0
sc-make-adhar-legal
नयी दिल्ली, 26 सितंबर, उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को अपने फैसले में केन्द्र की महत्वाकांक्षी योजना आधार को संवैधानिक रूप से वैध करार दिया।  प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने अपने फैसले में कहा कि आधार का लक्ष्य कल्याणकारी योजनाओं को समाज के वंचित तबके तक पहुंचाना है और वह ना सिर्फ व्यक्तिगत बल्कि समुदाय के दृष्टिकोण से भी लोगों के सम्मान का ख्याल रखती है। शीर्ष अदालत ने कहा कि आधार जनहित में बड़ा काम कर रहा है और आधार का मतलब है अनोखा और सर्वश्रेष्ठ होने के मुकाबले अनोखा होना बेहतर है। संविधान पीठ ने आधार योजना संबंधी कानून और इसे वित्त विधेयक के रूप में पारित कराने को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई की थी। इस मामले में तीन अलग अलग फैसले सुनाये गये। पहला निर्णय संविधान पीठ के सदस्य न्यायमूर्ति ए के सीकरी ने न्यायमूर्ति सीकरी ने प्रधान न्यायाधीश, न्यायमूर्ति ए. एम. खानविलकर और अपनी ओर से फैसला पढ़ा।

न्यायमूर्ति सीकरी ने कहा कि जितनी जल्दी संभव हो आंकड़ों/सूचनाओं की सुरक्षा के लिए मजबूत रक्षा प्रणाली विकसित की जाए। उन्होंने कहा कि आधार के खिलाफ याचिकाकर्ताओं के आरोप संवैधानिक अधिकारों के उल्लंघन पर आधारित हैं, जिनके कारण राष्ट्र शासकीय निगरानी वाले राज्य में बदल जायेगा। न्यायालय ने कहा कि आधार के लिए यूआईडीएआई ने न्यूनतम जनांकीकीय और बायोमिट्रिक आंकड़े एकत्र किये हैं। साथ ही आधार योजना के सत्यापन के लिए पर्याप्त रक्षा प्रणाली है। पीठ ने कहा कि आधार समाज के वंचित तबके को सशक्त बनाता है और उन्हें पहचान देता है। पीठ ने निजी कंपनियों को आधार के आंकड़े एकत्र करने की अनुमति देने वाले आधार कानून के प्रावधान 57 को रद्द कर दिया है। न्यायालय ने कहा कि सीबीएसई, नीट, यूजीसी आधार को अनिवार्य नहीं कर सकते हैं और स्कूलों में दाखिले के लिए भी यह अनिवार्य नहीं है। पीठ ने सरकार को निर्देश दिया कि वह अवैध आव्रजकों को आधार नंबर नहीं दे। न्यायमूर्ति सीकरी ने कहा, किसी भी बच्चे को आधार नंबर नहीं होने के कारण लाभ/सुविधाओं से वंचित नहीं किया जा सकता है। न्यायालय ने लोकसभा में आधार विधेयक को धन वियेयक के रूप में पारित करने को बरकरार रखा और कहा कि आधार कानून में ऐसा कुछ भी नहीं है जो किसी व्यक्ति की निजता का उल्लंघन करता हो। इस निर्णय के अनुसार आधार कार्ड/नंबर को बैंक खाते से लिंक/जोड़ना अनिवार्य नहीं है। इसी तरह टेलीकॉम सेवा प्रदाता उपभोक्ताओं को अपने फोन से आधार नंबर को लिंक कराने के लिये नहीं कह सकते। पीठ ने कहा कि आयकर रिटर्न भरने और पैन कार्ड बनवाने के लिए आधार अनिवार्य है। संविधान पीठ के सदस्य न्यायमूर्ति धनन्जय चन्द्रचूड़ और न्यायमूर्ति अशोक भूषण भी शामिल थे और इस दोनों न्यायाधीशों ने अपने फैसले अलग-अलग लिखे हैं।

आधार संशोधन को धन विधेयक में लाया गया तो न्यायालय में देंगे चुनौती : कांग्रेस

$
0
0
if-amendment-comes-in-aadhar-congress-challenged-in-court
नयी दिल्ली, 26 सितंबर, कांग्रेस ने आधार से संबंधित उच्चतम न्यायालय के फैसले का मंगलवार को स्वागत किया और कहा कि अगर सरकार आने वाले दिनों में आधार से जुड़े संशोधन विधेयक को धन विधेयक के तौर पर लाएगी तो उसे वह शीर्ष अदालत में चुनौती देगी। पार्टी ने यह भी दावा किया कि आधार कानून की धारा 57 का निरस्त होना ‘भाजपा के मुंह पर तमाचा’ है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘आज उच्चतम न्यायालय ने हमारी बात मान ली और धारा 57 को असंवैधानिक ठहराया है। न्यायालय ने ये भी कहा कि सरकार को कोई अधिकार नहीं है कि राष्ट्रीय सुरक्षा का बहाना बनाकर किसी का आधार नंबर लें।’’ 

उन्होंने धन विधेयक के संबंध में उच्चतम न्यायालय के एक न्यायाधीश के फैसले का हवाला देते हुए कहा कि आने वाले दिनों में अगर आधार विधेयक में किसी संशोधन को धन विधेयक के तौर पर लाया गया तो हम न्यायालय जाएंगे।’’ उन्होंने कहा, 'मोदी जी ने बिना सोचे-समझे नोटबंदी की, फिर इसी तरह जीएसटी लागू कर दिया, राफेल खरीद लिया। आधार कानून को लेकर भी बिना सोचे-समझे कदम उठाया।'सिब्बल ने आरोप लगाया, 'यह आधार नहीं, सरकारी अधिकार कानून और निजी कंपनियों का अधिकार कानून बन गया। अगर वे उस वक्त हमारी बात मान लेते तो करोडों लोगों का डेटा निजी कंपनियों के पास नहीं जाता।'  उन्होंने कहा कि आधार विधयेक को धन विधेयक के तौर पर लाना असंवैधानिक ही नहीं, बल्कि लोकतंत्र के खिलाफ फैसला था।

पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, 'उच्चतम न्यायालय के ‘आधार’ निर्णय ने कांग्रेस पार्टी द्वारा उठाए सवालों पर नागरिकों के ‘निजता के अधिकार’ को स्वीकार किया।"उन्होंने कहा, 'न्यायालय ने मोदी सरकार की निजता का ‘गला घोंटू’ धारा 57 को ख़ारिज किया-अब सरकार आधार को बैंक खातों,मोबाइलफ़ोन,स्कूल आदि से नहीं जोड़ सकेगी।'कांग्रेस प्रवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा , ‘‘यह भाजपा के मुंह पर तमाचा है। न्यायमूर्ति सीकरी के फैसले ने आधार अधिनियम की धारा 57 को निरस्त कर दिया और कहा कि यह असंवैधानिक है। बायोमैट्रिक डेटा का व्यावसायिक उपयोग करने की योजना विफल हुई।’’ दरअसल , उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को अपने फैसले में केन्द्र की महत्वाकांक्षी योजना आधार को संवैधानिक रूप से वैध करार दिया। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने अपने फैसले में कहा कि आधार का लक्ष्य कल्याणकारी योजनाओं के लाभ को समाज के वंचित तबके तक पहुंचाना है और वह ना सिर्फ व्यक्तिगत बल्कि समुदाय के दृष्टिकोण से भी लोगों के सम्मान का ख्याल रखती है। इस निर्णय के अनुसार, आधार कार्ड/नंबर को बैंक खाते से लिंक/जोड़ना अनिवार्य नहीं है। इसी तरह टेलीकॉम सेवा प्रदाता उपभोक्ताओं को अपने फोन से आधार नंबर को लिंक कराने के लिये नहीं कह सकते। पीठ ने कहा कि आयकर रिटर्न भरने और पैन कार्ड बनवाने के लिए आधार अनिवार्य है।

कांग्रेस आज उसी तरह जीती, जैसे 2014 का लोकसभा चुनाव जीता था: अमित शाह

$
0
0
amit-shah-comment-on-congress-for-aadhar
नयी दिल्ली, 26 सितंबर, भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने आधार को लेकर राहुल गांधी के बयान पर चुटकी लेते हुए बुधवार को कहा, ‘‘ हां, कांग्रेस आज उसी तरह से जीत गई, जैसे कि उसने 2014 का लोकसभा चुनाव जीता था ।’’ इससे पहले राहुल गांधी ने दावा किया कि आधार पर उच्चतम न्यायालय का फैसला उनकी पार्टी की सोच का समर्थन करती है । अमित शाह ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने आधार को परास्त करने के लिये हर हथकंडा अपनाया क्योंकि वह बिचौलियों और भ्रष्टाचार की अगुवा है । भाजपा अध्यक्ष ने अपने ट्वीट में कहा, ‘‘ उन्होंने :कांग्रेस ने: निजता के उल्लंघन का भय दिखाने समेत विभिन्न आधारों पर लोगों को गुमराह करने का प्रयास किया । आज उनके रूख का पर्दाफाश हो गया और वे पराजित हो गये हैं । ’’  शाह ने कहा कि संप्रग सरकार के दौरान ‘आधार’ पूरी तरह से ‘‘निराधार’’ था और उसका कोई मतलब नहीं था । संप्रग सरकार के शासन के दौरान बिना कानून लोगों का पंजीकरण किया गया और समीक्षा (तथ्यों की) में करोड़ों रूपये खर्च किये गए । उन्होंने कहा, ‘‘ मोदी सरकार ने इसे मजबूती कानूनी समर्थन दिया और सेवा निष्पादन से जोड़ने का काम किया । इससे 90 हजार करोड़ रूपये की बचत हुई और गरीबों को लाभ हुआ ।’’ उल्लेखनीय है कि उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को अपने फैसले में केन्द्र की महत्वाकांक्षी योजना आधार को संवैधानिक रूप से वैध करार दिया। लेकिन उसने बैंक खाते, मोबाइल फोन और स्कूल दाखिले में आधार अनिवार्य करने सहित कुछ प्रावधानों को रद्द कर दिया। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा के नेतृत्व वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने बहुमत के आधार पर दिये अपने फैसले में आधार को आयकर रिटर्न भरने और पैन कार्ड बनाने के लिए अनिवार्य बताया। हालांकि अब आधार कार्ड को बैंक खाते से लिंक करना जरूरी नहीं है और मोबाइल फोन का कनेक्शन देने के लिए दूरसंचार कंपनियां लोगों से आधार नहीं मांग सकतीं।

विशेष : मां भगवती जगराते में माता रानी के भजनों पर झूमे श्रद्धालु

$
0
0
विशाल भंडारे में बड़ी संख्या में लोगों ने प्रसाद ग्रहण कर लिया माता का आर्शीवाद  
jagran-jagrata-varanasi
वाराणसी (सुरेश गांधी)  ‘रंग बरसे दरबार अंबे जी के रंग बरसे‘, ‘कजरारे तेरे मोटे मोटे नैन‘, ‘बम बोले बम बोले बम बम‘ जैसे कई भजनों पर लोग झूमते रहे। कभी जागरण के बीच कलाकारों द्वारा भगवान शिव पार्वती व राधा कृष्ण की आर्कषक झांकियां निकाली तो कभी माता भगवती की। पूरी रात चले जागरण में कलाकारों ने मां भगवती के एक के बाद एक भजन प्रस्तुत कर न सिर्फ समा बांधा, बल्कि अपने अंदाज में नृत्य प्रस्तुत कर माहौल को भक्तिमय बना दिया। मौका था मध्य प्रदेश के सतना स्थित मल्लाहटोला-धवारी में रेलवे कांट्रैक्टर दिलीप जायसवाल के आवास पर भगवती जागरण का। इसमें कलाकारों ने सुंदर भजन प्रस्तुत कर ऐसा समां बांधा कि श्रद्धालु भाव विभोर होकर नृत्य करने लगे। जागरण में माता रानी के भव्य स्वरूप को आकर्षक अंदाज में सजाया गया था। आसपास के इलाके से श्रद्धालुओं ने दरबार में नतमस्तक होकर अपने परिवार की सुख शांति के लिए मन्नतें भी मांगी। अलसुबह जागरण का आरती के साथ समापन हुआ। इसके पहले आयोजित भंडारा में हजारों श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया। देर शाम शुरु हुए जागरण में कलाकारों ने मां की महिमा का गुणगान कर जागरण में आए लोगों का मनोरंजन किया। पूरी रात चले जागरण में मां भगवती के भजन गूंजते रहे। मां भगवती के भजनों पर जागरण में बैठे लोग झूमने लगे कुछ भक्त तो डांस करने लगे। गायक कलाकारों की ओर से मां भगवती के भजनों की प्रस्तुति कर भक्तों का मन मोह लिया। मां जिन्दगी उधार देती है, एक लाल रानी मां हमका तू दै दे सोने का छत्र चढ़ाइब। भजन की तर्ज पर उपस्थित भक्तगण भाव-विभोर हो गए। कलाकारों की मनमोहक प्रस्तुतियों से लोग रात भर पंडाल में डटे रहे। जय माता दी के जयकारों से पूरा पंडाल गुंजायमान होता रहा। भजनों पर थिरकते हुए भक्तों ने खूब मस्ती भी की। इसके पहले दिलीप जायसवाल के घर में श्री गणेश की मूर्ति स्थापना कर दस दिन तक पूजा पाठ एवं हवन आदि किया गया। इसके बाद दसवें दिन बैंडबाजे व डीजे की धुन पर थिरकते हुए दिलीप जायसवाल के बडे पुत्र विशाल जायसवाल उर्फ भोलू व छोटा भाई विकास जायसवाल उर्फ सोनू के नेतृत्व बड़ी संख्या में युवकों विसर्जन जुलूस निकाला। जुलूस पूरे शहर में भ्रमण के बाद मूर्तियों को नदी में विसर्जित किया गया। 


आधार को नौ न्यायाधीशों की ओर से निर्धारित मानदंडों पर परखा गया : न्यायालय

$
0
0
adhar-law-verified-by-9-judges-bench
नयी दिल्ली, 27 सितंबर, उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को कहा कि उसने नौ न्यायाधीशों द्वारा निर्धारित मानदंडों पर परखने के बाद आधार योजना को वैध ठहराया।  नौ न्यायाधीशों की पीठ ने निजता के अधिकार को मौलिक अधिकार बताया था। नौ न्यायाधीशों की पीठ ने तीन कसौटियां निर्धारित की थी जिसे किसी कानून की वैधता के लिये निजता के हनन की स्वीकृत सीमा पर फैसला करने के लिये पूरा करने की आवश्यकता होती है। उसने कहा था कि निजता का एक स्वीकृत सीमा तक हनन किया जा सकता है अगर कल्याणकारी कदम कानून से समर्थित हों और ‘राज्य का वैध हित हो।’  न्यायालय ने कहा था कि इसे ‘आनुपातिकता की कसौटी’ पर खरा उतरना चाहिये। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ ने आधार कानून की वैधता को बरकरार रखते हुए कहा कि यह निजता मामले में सुनाए गए फैसले की तीन कसौटियों पर खरा उतरता है।

द्रमुक अध्यक्ष स्टालिन की हुई मामूली सर्जरी

$
0
0
dmk-suprimo-stalin-minor-surgery
चेन्नई, 27 सितंबर, द्रमुक अध्यक्ष एम के स्टालिन की ‘मामूली शल्यक्रिया’ की गई है। अपोलो अस्पताल ने गुरुवार को यह जानकारी दी। अस्पताल ने यहां जारी एक वक्तव्य में बताया कि स्टालिन को कल देर रात अस्पताल में भर्ती करवाया गया था। अस्पताल ने कहा, ‘‘ उनकी दायीं जांघ से एक गांठ को निकालने के लिए एक मामूली ऑपरेशन किया गया । उन्हें आज दोपहर में छुट्टी दे दी जाएगी।’’  एमडीएमके प्रमुख वाइको अस्पताल पहुंचे, उन्होंने कहा कि स्टालिन स्वास्थ्य लाभ कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री मोदी को संयुक्त राष्ट्र का सर्वोच्च पर्यावरण सम्मान

$
0
0
pm-modi-get-un-enviroment-award
संयुक्त राष्ट्र, 27 सितंबर, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन के नेतृत्व और 2022 तक भारत को एकल इस्तेमाल वाले प्लास्टिक से मुक्त कराने के संकल्प को लेकर संयुक्त राष्ट्र के सर्वोच्च सम्मान से सम्मानित किया गया है। यह सम्मान पांच अन्य व्यक्तियों और संगठनों को भी दिया गया है।  दुनिया के छह सबसे उत्कृष्ट पर्यावरण परिवर्तकों को संयुक्त राष्ट्र के सर्वोच्च पर्यावरण सम्मान ‘‘चैंपियंस ऑफ द अर्थ अवार्ड’’ से सम्मानित किया गया है।  संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम के मुताबिक, ‘‘इस साल के पुरस्कार विजेताओं को आज के समय के कुछ बेहद अत्यावश्यक पर्यावरणीय मुद्दों से निपटने के लिये साहसी, नवोन्मेष और अथक प्रयास करने के लिये सम्मानित किया जा रहा है।’’  नीतिगत नेतृत्व की श्रेणी में फ्रेंच राष्ट्रपति एमैनुअल मैक्रों और मोदी को संयुक्त रूप से इस सम्मान के लिये चुना गया है। 

नई दूरसंचार नीति को मंजूरी, 100 अरब डालर निवेश, 40 लाख नये रोजगार होंगे पैदा

$
0
0
new-telcome-policy-acepted-40-lac-job-creadet
नयी दिल्ली, 27 सितंबर, सरकार ने बुधवार को नयी दूरसंचार नीति को मंजूरी दे दी। इस नयी नीति को राष्ट्रीय डिजिटल संचार नीति (एनडीसीपी) 2018 का नाम दिया गया है। इससे सरकार को 2022 तक क्षेत्र में 100 अरब डॉलर का निवेश आकर्षित करने और 40 लाख रोजगार के नये अवसर पैदा होने की उम्मीद है। नीति में प्रत्येक नागरिक को पांच साल में 50 एमबीपीएस ब्राडबैंड कनेक्टिविटी उपलब्ध कराने पर जोर दिया गया है। दूरसंचार मंत्री मनोज सिन्हा ने कहा, ‘‘मंत्रिमंडल ने राष्ट्रीय डिजिटल संचार नीति को आज मंजूरी दे दी।’’ सिन्हा ने कहा कि वैश्विक स्तर पर संचार प्रणालियों में तेजी से प्रगति हो रही है। 5जी, इंटरनेट आफ थिंग्स और मशीन टु मशीन संचार आदि क्षेत्रों में यह प्रगति विशेष रुप से तेज है।  उन्होंने कहा कि इस समय उपभोक्ताओं पर केंद्रित एप्लिकेशन (उपयोग से प्रेरित) नीति लाने की जरूरत महसूस की जा रही थी।  नीति के मसौदे के तहत एनडीसीपी द्रुत गति की ब्रॉडबैंड पहुंच बढ़ाने, 5 जी और आप्टिकल फाइबर जैसी आधुनिक प्रौद्योगिकी के उचित मूल्य में इस्तेमाल पर केंद्रित है।  एनडीसीपी 2018 के कुछ उद्देश्यों में सभी को ब्रॉडबैंड तक पहुंच उपलब्ध कराना, 40 लाख नए रोजगार के अवसरों का सृजन तथा वैश्विक आईसीटी इंडेक्स में भारत की रैंकिंग सुधारकर उसे 50 स्थान पर लाना शामिल है।  सिन्हा ने कहा, ‘‘हमें उम्मीद है कि सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में दूरसंचार क्षेत्र का हिस्सा बढ़कर आठ प्रतिशत पर पहुंच जाएगा जो अभी छह प्रतिशत है। हमें क्षेत्र में 100 अरब डॉलर का निवेश आने की उम्मीद है।’’  उन्होंने कहा कि हमारी सोच एक देशव्यापी, लचीले, सुरक्षित और उचित मूल्य वाले संचार ढांचे की है।  इसमें डिजिटल संचार तक सतत और कम मूल्य में पहुंच सुनिश्चित करने के लिए ‘स्पेक्ट्रम के महत्तम मूल्य’ के प्रावधान को शामिल किया गया है। स्पेक्ट्रम का ऊंचा मूल्य तथा अन्य संबंधित शुल्क दूरसंचार सेवा क्षेत्र की प्रमुख चिंता है। इस क्षेत्र पर करीब 7.8 लाख करोड़ रुपये के कर्ज का बोझ है। 

आधार को चुनौती देने वालों में सेवानिवृत्त न्यायाधीश, कार्यकर्ता, नेता, पूर्व सैनिक भी थे

$
0
0
aadhar-challenged-by-ex-judges-leader-ex-army
नयी दिल्ली, 27 सितंबर,केंद्र के महत्वपूर्ण कार्यक्रम आधार की संवैधानिक वैधता को लेकर कानूनी लड़ाई में उच्च न्यायालय के एक सेवानिवृत्त न्यायाधीश, सामाजिक कार्यकर्ता, नेता और कुछ राज्य सरकारों ने उच्चतम न्यायालय का रूख किया था। कानून की वैधता को चुनौती देने वालों में पहले और अग्रणी याचिकाकर्ता न्यायमूर्ति के एस पुत्तास्वामी (92) थे। उन्होंने अपनी दलीलों के लिए वरिष्ठ अधिवक्ता श्याम दीवान की सेवाएं लीं। कुल 31 याचिकाकर्ताओं में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश, माकपा के वरिष्ठ नेता वी एस अच्युतानंदन और भाकपा नेता बिनय विश्वम भी थे जिन्होंने आधार के विभिन्न पहलुओं को चुनौती दी।  न्यायमूर्ति पुत्तास्वामी ने अक्तूबर 2012 में उच्चतम न्यायलय का रूख किया था। उस वक्त संप्रग-दो सत्ता में थी सामाजिक कार्यकर्ता अरूणा राय ने आधार के लिए बायोमेट्रिक संग्रह को चुनौती दी थी।  सैन्य कर्मी रह चुके एक्टिविस्ट मेजर जनरल सुधीर जी वोम्बटकेरे ने उच्चतम न्यायालय का रूख कर कहा था कि आधार के जरिए सरकार को लोगों की निगरानी की अनूठी ताकत मिल गयी है। मैगसायसाय पुरस्कार विजेता और बाल अधिकार कार्यकर्ता शांता सिन्हा भी याचिकाकर्ताओं में शामिल थीं। कार्यकर्ता और सफाई कर्मचारी आंदोलन के संस्थापकों में एक और राष्ट्रीय संयोजक बेजवडा विल्सन भी मामले में याचिकाकर्ता थे। पश्चिम बंगाल सरकार ने भी आधार कार्यक्रम को चुनौती दी थी।

आधार संवैधानिक खामियों की शिकार, इससे मौलिक अधिकारियों का उल्लंघन : न्यायमूर्ति चंद्रचूड़

$
0
0
adhar-enclose-fundamental-right-justice-chandrachud
नयी दिल्ली, 27 सितंबर, आधार पर पांच सदस्यीय संविधान पीठ में शामिल न्यायमूर्ति डी. वाई. चन्द्रचूड़ ने बहुमत से इतर अपने फैसले में कहा कि आधार योजना संवैधानिक खामियों से ग्रस्त है क्योंकि यह निजता के अधिकार सहित मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करती है।  उन्होंने कहा कि निजी कंपनियों द्वारा बिना सहमति के व्यक्तिगत सूचनाओं के इस्तेमाल से इसका कारोबारी मकसद से इस्तेमाल हो सकता है। उन्होंने आदेश दिया कि दूरसंचार सेवा प्रदाताओं द्वारा संग्रहित बायोमेट्रिक सूचना और आधार विवरण को तत्काल समाप्त किया जाना चाहिए और उन्हें या किसी अन्य को किसी भी उद्देश्य से सूचना का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। अपने अलग फैसले में न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ ने सरकार को निर्देश दिया कि संविधान के अनुच्छेद 142 के तहत संग्रहित डाटा को एक साल तक नष्ट नहीं करना चाहिए या किसी अन्य उद्देश्य से इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। इस दौरान सरकार को फैसले में परिभाषित सिद्धांतों के अनुरूप एक नया कानून बनाना चाहिए।  कुल 1448 पन्नों के फैसले के तहत उनके द्वारा लिखित 481 पन्नों के फैसले में कहा गया है कि एक साल बाद अगर सरकार नया कानून नहीं बनाती है तो डाटा को नष्ट करना होगा।  उन्होंने कहा कि आधार विधेयक को लोकसभा में धन विधेयक के रूप में पारित नहीं होना चाहिए था क्योंकि यह संविधान के साथ धोखा के समान है और निरस्त किये जाने के लायक है। पीठ में शामिल न्यायमूर्ति चन्द्रचूड़ ने अपना फैसला अलग लिखा है जिसमें उन्होंने बहुमत से अलग अपने विचार व्यक्त किये हैं। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा, न्यायमूर्ति ए. एम. खानविलकर और न्यायमूर्ति ए. के. सीकरी के बहुमत वाले फैसले को न्यायमूर्ति सीकरी ने पढ़ा। न्यायमूर्ति चन्द्रचूड़ ने अपने फैसले में कहा कि आधार कानून को पारित कराने के लिए राज्यसभा को दरकिनार करना एक प्रकार का धोखा है और इस कानून को संविधान के अनुच्छेद 110 का उल्लंघन करने के लिये निरस्त कर दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 110 में धन विधेयक के लिए विशेष आधार हैं। आधार कानून उससे आगे चला गया। इस कानून को मौजूदा स्वरूप में संवैधानिक नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने कहा कि महज कानून बना देने से केन्द्र की आधार योजना नहीं बच सकती है। मोबाइल फोन के जीवन का महत्वपूर्ण अंग बन जाने और उसे आधार से जोड़ने को निजता, स्वतंत्रता, स्वायत्तता के लिए गंभीर खतरा बताते हुए न्यायमूर्ति चन्द्रचूड़़ ने मोबाइल सेवा प्रदाताओं से कहा कि वे ग्राहकों का आधार डाटा नष्ट कर दें। उन्होंने कहा कि यूआईडीएआई ने स्वीकार किया है कि वह महत्वपूर्ण सूचनाओं को एकत्र और जमा करता है और यह निजता के अधिकार का उल्लंघन है। इन आंकड़ों का व्यक्ति की सहमति के बगैर कोई तीसरा पक्ष या निजी कंपनियां दुरूपयोग कर सकती हैं। उन्होंने यह भी कहा कि आधार नहीं होने तक सामाजिक कल्याण योजनाओं का लाभ नहीं देना नागरिकों के मूल अधिकारों का उल्लंघन है। उन्होंने कहा कि आधार योजना अपने अंदर की खामियों को दूर करने में असफल रही है। आंकड़ों की मजबूत सुरक्षा के लिए नियामक प्रणाली मौजूद नहीं है। उन्होंने कहा कि नागरिकों के डाटा की रक्षा के लिये यूआईडीएआई की कोई सांस्थानिक जवाबदेही नहीं है।

विशेष आलेख : वृद्ध जीवन के उजालों का स्वागत करें

$
0
0
welcome-senior-citizen
एक अक्टूबर को सम्पूर्ण विश्व में अंतरराष्ट्रीय वृद्ध दिवस मनाया जाता है। समाज और नई पीढ़ी को सही दिशा दिखाने और मार्गदर्शन के लिए वरिष्ठ नागरिकों के योगदान को सम्मान देने के लिए इस आयोजन का फैसला संयुक्त राष्ट्र ने 1990 में लिया था। इस दिन पर वरिष्ठ नागरिकों और बुजुर्गाें का सम्मान किया जाता है। वरिष्ठों के हित के लिए चिन्तन भी होता है। प्रश्न है कि दुनिया में वृद्ध दिवस मनाने की आवश्यकता क्यों हुई? क्यों वृद्धों की उपेक्षा एवं प्रताड़ना की स्थितियां बनी हुई है? चिन्तन का महत्वपूर्ण पक्ष है कि हम पतन के इस गलत प्रवाह को रोके। क्योंकि सोच के गलत प्रवाह ने न केवल वृद्धों का जीवन दुश्वार कर दिया है बल्कि आदमी-आदमी के बीच के भावात्मक फासलों को भी बढ़ा दिया है। वृद्ध अपने ही घर की दहलीज पर सहमा-सहमा खड़ा है, उसकी आंखों में भविष्य को लेकर भय है, असुरक्षा और दहशत है, दिल में अन्तहीन दर्द है। इन त्रासद एवं डरावनी स्थितियों से वृद्धों को मुक्ति दिलानी होगी। सुधार की संभावना हर समय है। हम पारिवारिक जीवन में वृद्धों को सम्मान दें, इसके लिये सही दिशा में चले, सही सोचें, सही करें। इसके लिये आज विचारक्रांति ही नहीं, बल्कि व्यक्तिक्रांति की जरूरत है। 

आज का वृद्ध समाज-परिवार से कटा रहता है और सामान्यतः इस बात से सर्वाधिक दुःखी है कि जीवन का विशद अनुभव होने के बावजूद कोई उनकी राय न तो लेना चाहता है और न ही उनकी राय को महत्व देता है। समाज में अपनी एक तरह से अहमितय न समझे जाने के कारण हमारा वृद्ध समाज दुःखी, उपेक्षित एवं त्रासद जीवन जीने को विवश है। वृद्ध समाज को इस दुःख और कष्ट से छुटकारा दिलाना आज की सबसे बड़ी जरुरत है। आज हम बुजुर्गों एवं वृद्धों के प्रति अपने कर्तव्यों का निर्वाह करने के साथ-साथ समाज में उनको उचित स्थान देने की कोशिश करें ताकि उम्र के उस पड़ाव पर जब उन्हे प्यार और देखभाल की सबसे ज्यादा जरूरत होती है तो वो जिंदगी का पूरा आनंद ले सके। वृद्धों को भी अपने स्वयं के प्रति जागरूक होना होगा, जैसाकि जेम्स गारफील्ड ने कहा भी है कि यदि वृद्धावस्था की झूर्रियां पड़ती है तो उन्हें हृदय पर मत पड़ने दो। कभी भी आत्मा को वृद्ध मत होने दो।’ प्रश्न है कि आज हमारा वृद्ध समाज इतना कुंठित एवं उपेक्षित क्यों है? अपने को समाज में एक तरह से  निष्प्रयोज्य समझे जाने के कारण वह सर्वाधिक दुःखी रहता है। वृद्ध समाज को इस दुःख और संत्रास से छुटकारा दिलाने के लिये ठोस प्रयास किये जाने की बहुत आवश्यकता है। संयुक्त राष्ट्र ने विश्व में बुजुर्गों के प्रति हो रहे दुव्र्यवहार और अन्याय को समाप्त करने के लिए और लोगों में जागरूकता फैलाने के लिए अंतरराष्ट्रीय बुजुर्ग दिवस मनाने का निर्णय लिया। वृद्धों की समस्या पर संयुक्त राष्ट्र महासभा में सर्वप्रथम अर्जेंटीना ने विश्व का ध्यान आकर्षित किया था। तब से लेकर अब तक वृद्धों के संबंध में अनेक गोष्ठियां और अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन हो चुके हैं। वर्ष 1999 को अंतर्राष्ट्रीय बुजुर्ग-वर्ष के रूप में भी मनाया गया। इससे पूर्व 1982 में ‘विश्व स्वास्थ्य संगठन’ ने ‘वृद्धावस्था को सुखी बनाइए’ जैसा नारा दिया और ‘सबके लिए स्वास्थ्य’ का अभियान प्रारम्भ किया गया। 

welcome-senior-citizen
एक पेड़ जितना ज्यादा बड़ा होता है, वह उतना ही अधिक झुका हुआ होता हैय यानि वह उतना ही विनम्र और दूसरों को फल देने वाला होता है, यही बात समाज के उस वर्ग के साथ भी लागू होती है, जिसे आज की तथाकथित युवा तथा उच्च शिक्षा प्राप्त पीढ़ी बूढ़ा कहकर वृद्धाश्रम में छोड़ देती है। वह लोग भूल जाते हैं कि अनुभव का कोई दूसरा विकल्प दुनिया में है ही नहीं। अनुभव के सहारे ही दुनिया भर में बुजुर्ग लोगों ने अपनी अलग दुनिया बना रखी है। जिस घर को बनाने में एक इंसान अपनी पूरी जिंदगी लगा देता है, वृद्ध होने के बाद उसे उसी घर में एक तुच्छ वस्तु समझ लिया जाता है। बड़े बूढ़ों के साथ यह व्यवहार देखकर लगता है जैसे हमारे संस्कार ही मर गए हैं। बुजुर्गों के साथ होने वाले अन्याय के पीछे एक मुख्य वजह सामाजिक प्रतिष्ठा मानी जाती है। तथाकथित व्यक्तिवादी एवं सुविधावादी सोच ने समाज की संरचना को बदसूरत बना दिया है। सब जानते हैं कि आज हर इंसान समाज में खुद को बड़ा दिखाना चाहता है और दिखावे की आड़ में बुजुर्ग लोग उसे अपनी शान-शौकत एवं सुंदरता पर एक काला दाग दिखते हैं। बड़े घरों और अमीर लोगों की पार्टी में हाथ में छड़ी लिए और किसी के सहारे चलने वाले बुढ़ों को अधिक नहीं देखा जाता, क्योंकि वह इन बूढ़े लोगों को अपनी आलीशान पार्टी में शामिल करना तथाकथित शान के खिलाफ समझते हैं। यही रुढ़िवादी सोच उच्च वर्ग से मध्यम वर्ग की तरफ चली आती है। आज बन रहा समाज का सच डरावना एवं संवेदनहीन है। आदमी जीवनमूल्यों को खोकर आखिर कब तक धैर्य रखेगा और क्यों रखेगा जब जीवन के आसपास सबकुछ बिखरता हो, खोता हो, मिटता हो और संवेदनाशून्य होता हो। आज के समाज में मध्यम वर्ग में भी वृद्धों के प्रति स्नेह की भावना कम हो गई है। डिजरायली का मार्मिक कथन है कि यौवन एक भूल है, पूर्ण मनुष्यत्व एक संघर्ष और वार्धक्य एक पश्चाताप।’ वृद्ध जीवन को पश्चाताप का पर्याय न बनने दे।

वृद्धावस्था जीवन का अनिवार्य सत्य है। जो आज युवा है, वह कल बूढ़ा भी होगा ही, लेकिन समस्या की शुरुआत तब होती है, जब युवा पीढ़ी अपने बुजुर्गों को उपेक्षा की निगाह से देखने लगती है और उन्हें अपने बुढ़ापे और अकेलेपन से लड़ने के लिए असहाय छोड़ देती है। आज वृद्धों को अकेलापन, परिवार के सदस्यों द्वारा उपेक्षा, तिरस्कार, कटुक्तियां, घर से निकाले जाने का भय या एक छत की तलाश में इधर-उधर भटकने का गम हरदम सालता रहता। वृद्धों को लेकर जो गंभीर समस्याएं आज पैदा हुई हैं, वह अचानक ही नहीं हुई, बल्कि उपभोक्तावादी संस्कृति तथा महानगरीय अधुनातन बोध के तहत बदलते सामाजिक मूल्यांे, नई पीढ़ी की सोच में परिवर्तन आने, महंगाई के बढ़ने और व्यक्ति के अपने बच्चों और पत्नी तक सीमित हो जाने की प्रवृत्ति के कारण बड़े-बूढ़ों के लिए अनेक समस्याएं आ खड़ी हुई हैं। इसीलिये सिसरो ने कामना करते हुए कहा था कि जैसे मैं वृद्धावस्था के कुछ गुणों को अपने अन्दर समाविष्ट रखने वाला युवक को चाहता हूं, उतनी ही प्रसन्नता मुझे युवाकाल के गुणों से युक्त वृद्ध को देखकर भी होती है, जो इस नियम का पालन करता है, शरीर से भले वृद्ध हो जाए, किन्तु दिमाग से कभी वृद्ध नहीं हो सकता।’ वृद्ध लोगों के लिये यह जरूरी है कि वे वार्धक्य को ओढ़े नहीं, बल्कि जीएं। दरअसल, नई जीवनशैली और नए मूल्य बूढ़ों को समाज में कोई जगह नहीं देते, बल्कि उन्हें उनकी जगह से भी विस्थापित करते हैं। विकास की अबाध गति उन्हें असहाय छोड़ देती है और वे निसहाय से अपने अतीत के गलियारों में डोलने लगते हैं। आज का समाज सेवानिवृत्त होते ही उस व्यक्ति को नकार देता है, वह चाहे जितना ही साधनसंपन्न हो, उसकी पूछ कम हो जाती है और लोग उसे अभिवादन की सामान्य औपचारिकता प्रदान करने में भी कोताही करने लगते हैं।

आज जहां अधिकांश परिवारों में भाइयांे के मध्य इस बात को लेकर विवाद होता है कि वृद्ध माता-पिता का बोझ कौन उठाए, वहीं बहुत से मामलों में बेटे-बेटियां, धन-संपत्ति के रहते माता-पिता की सेवा का भाव दिखाते हैं, पर जमीन-जायदाद की रजिस्ट्री तथा वसीयतनामा संपन्न होते ही उनकी नजर बदल जाती है। इतना ही नहीं संवेदनशून्य समाज में इन दिनों कई ऐसी घटनाएं प्रकाश में आई हैं, जब संपत्ति मोह में वृद्धों की हत्या कर दी गई। ऐसे में स्वार्थ का यह नंगा खेल स्वयं अपनों से होता देखकर वृद्धजनों को किन मानसिक आघातों से गुजरना पड़ता होगा, इसका अंदाजा नहीं लगाया जा सकता। वृद्धावस्था मानसिक व्यथा के साथ सिर्फ सहानुभूति की आशा जोहती रह जाती है। इसके पीछे मनोवैज्ञानिक परिस्थितियां काम करती हैं। वृद्धजन अव्यवस्था के बोझ और शारीरिक अक्षमता के दौर में अपने अकेलेपन से जूझना चाहते हैं पर इनकी सक्रियता का स्वागत समाज या परिवार नहीं करता और न करना चाहता है। बड़े शहरों में परिवार से उपेक्षित होने पर बूढ़े-बुजुर्गों को ‘ओल्ड होम्स’ में शरण मिल भी जाती है, पर छोटे कस्बों और गांवों में तो ठुकराने, तरसाने, सताए जाने पर भी आजीवन घुट-घुट कर जीने की मजबूरी होती है। यद्यपि ‘ओल्ड होम्स’ की स्थिति भी ठीक नहीं है। पहले जहां वृद्धाश्रम में सेवा-भाव प्रधान था, पर आज व्यावसायिकता की चोट में यहां अमीरों को ही प्रवेश मिल पा रहा है। ऐसे में मध्यमवर्गीय परिवार के वृद्धांे के लिए जीवन का उत्तरार्द्ध पहाड़ बन जाता है। वर्किंग बहुओं के ताने, बच्चों को टहलाने-घुमाने की जिम्मेदारी की फिक्र में प्रायः जहां पुरुष वृद्धों की सुबह-शाम खप जाती है, वहीं महिला वृद्ध एक नौकरानी से अधिक हैसियत नहीं रखती। यदि परिवार के वृद्ध कष्टपूर्ण जीवन व्यतीत कर रहे हैं, रुग्णावस्था में बिस्तर पर पड़े कराह रहे हैं, भरण-पोषण को तरस रहे हैं तो यह हमारे लिए वास्तव में लज्जा एवं शर्म का विषय है।

पर कौन सोचता है, किसे फर्सत है, वृद्धांे की फिक्र किसे हैं? भौतिक जिंदगी की भागदौड़ में नई पीढ़ी नए-नए मुकाम ढूंढने में लगी है, आज वृद्धजन अपनो से दूर जिंदगी के अंतिम पड़ाव पर कवीन्द्र-रवीन्द्र की पंक्तियां गुनगुनाने को क्यों विवश है-‘दीर्घ जीवन एकटा दीर्घ अभिशाप’, दीर्घ जीवन एक दीर्घ अभिशाप है। वृद्ध व्यक्तियों को सुखद एवं खुशहाल जीवन प्रदत्त करने के लिये हमें सर्वप्रथम तो उन्हें आर्थिक दृष्टि से स्वावलम्बी बनाने पर ध्यान देना होगा। बेसहारा वृद्ध व्यक्तियों के लिए सरकार की ओर से आवश्यक रूप से और सहज रूप मे मिल सकने वाली पर्याप्त पेंशन की व्यवस्था की जानी चाहिए। ऐसे वृद्ध व्यक्ति जो शारीरिक और मानसिक दृष्टि से स्वस्थ हैं, उनके लिए समाज को कम परिश्रम वाले हल्के-फुल्के रोजगार की व्यवस्था करनी चाहिए। वृद्धों के कल्याण के कार्यक्रमों को विशेष महत्व दिया जाना चाहिए, जो उनमें जीवन के प्रति उत्साह उत्पन्न करे। स्वयं वृद्धजन को भी अपने तथा परिवार और समाज के हित के लिए कुछ बातों को ध्यान में रखना चाहिए। उदाहरणार्थ- युवा परिजनों के मामलों में अनावश्यक हस्तक्षेप न करें और उन्हें अपने ढंग से जीवन जीने दें। गांवों से निकलकर कस्बों तथा नगरों मंे आने वाले अधिकांश युवाओं की सोच इस रूप में पुख्ता हो जाती है कि संयुक्त परिवार व्यक्तिगत उन्नति में बाधक होते हैं। चीजों की ललक में स्वहित इतने हावी हो जाते हैं कि संवेदनहीनता मानवीय रिश्तों की महक को क्षण में काफूर कर देती है और तन्हा बुढ़ापा घुटनभरी सांसों के साथ जीने को बाध्य हो जाता है। हमें समझना होगा कि अगर समाज के इस अनुभवी स्तंभ को यूं ही नजरअंदाज किया जाता रहा तो हम उस अनुभव से भी दूर हो जाएंगे, जो इन लोगों के पास है। वृद्ध दिवस मनाना तभी सार्थक होगा जब हम उन्हें परिवार में सम्मानजनक जीवन देंगे, उनके शुभ एवं मंगल की कामना करेंगे।





(ललित गर्ग)
बी-380, प्रथम तल, 
निर्माण विहार, दिल्ली-110092
ः 22727486, 9811051133

अभिरंग ने दिया स्वच्छता का सन्देश

$
0
0
abhirang-clean-india-messege
दिल्ली (आर्यावर्त डेस्क) ।  देश भर में चल रहे स्वच्छता अभियान के अंतर्गत हिन्दू कालेज में हिंदी नाट्य संस्था 'अभिरंग'द्वारा एक नुक्कड़ नाटक का प्रदर्शन किया गया। कालेज की राष्ट्रीय सेवा योजना की इकाई के सहयोग से हुए इस नाटक में सफाई, स्वास्थ्य और नागरिक दायित्व बोध का सन्देश दिया गया था। तीन छोटी छोटी कहानियों का आधार लेकर अभिरंग के विद्यार्थी कलाकारों विनीत काण्डपाल, श्वेता, राहुल, ओशिमा, उषा, अजीत यादव, काजल साहू, विकाश मौर्या, अमित शाह, आशीष कुमार, सोनू कुमार, अमन पटेल, पीयूष मीणा, कमलेश और शुभम यादव ने विभिन्न भूमिकाओं में अपने प्रभावी अभिनय से दर्शकों का मन मोह लिया। नाटक में लोकप्रिय फिल्मी गीतों के आधार पर सफाई का सन्देश देने वाले गीतों की पैरोडी को दर्शकों ने विशेष पसंद किया। रंगकर्मी और अभिनेता आशीष मोदी के निर्देशकीय सहयोग से मंचित इस नाटक को देखने के लिए कालेज के विद्यार्थी बड़ी संख्या में उपस्थित थे। मंचन में राष्ट्रीय सेवा योजना प्रभारी डॉ विजया सती, अभिरंग के परामर्शदाता डॉ पल्लव, नेशनल केडेट कोर के डॉ हरींद्र कुमार, हिंदी विभाग की प्रभारी डॉ रचना सिंह सहित अनेक शिक्षक भी उपस्थित थे।  आयोजन के बाद अभिरंग के विद्यार्थी संयोजक विनीत कांडपाल ने बताया कि आगामी 5 अक्टूबर में अभिरंग के तत्वावधान में प्रसिद्ध कथाकार प्रवीण कुमार की कहानी 'छबीला रंगबाज का शहर'का मंचन महाविद्यालय के प्रेक्षागृह में होगा। 

सीहोर (मध्यप्रदेश) की खबर 27 सितंबर

$
0
0
कंफेडरेशन ऑल इंडिया टे्रडर्स केट के आहवान पर आज शहर बंद 
राष्ट्रीय व्यापारी परिषद ने दिया भारत बंद को समर्थन 
सीहोर। अंतरराष्ट्रीय हिन्दू परिषद के अनुशंागिक संगठन राष्ट्रीय व्यापारी परिषद  द्वारा व्यापारियों के हित मेंं तथा सरकार की गलत व्यापारिक नीतियों के विरोध में भारत बंद को समर्थन दिया जाए्रगा। ईकामर्स फुड सेप्टी एक्ट ऑनलाईन शॉपिंग वायदा कारोबार एवं वालमार्ट और फ्लिप कार्ट जैसी डील के विरोध में कंफेडरेशन ऑल इंडिया टे्रडर्स केट के राष्ट्रीय व्यापी आहवान पर शुक्रवार को सीहोर बंद रहेगा। राष्ट्रीय व्यापारी परिषद जिलाध्यक्ष युवा व्यापारी नवीन आर्य बंटी ने कहा कि केंद्र सरकार के द्वारा देश में व्यापार नीति बनाई गई है उस से छोटे लेकर बड़े व्यापारी आत्महत्या करने को मजबूर है। व्यापारी श्री आर्य ने बताया कि  राष्ट्रीय व्यापारी परिषद ने जिले के समस्त व्यापारियों से बंद में सहयोग देने की अपील परिषद सदस्य अमित राठौर, दिनेश राठौर, सचिन गुप्ता, रितेश राठौर, अरविंद मेवाड़ा, शेलेंद्र राठौर, विकास राठौर, रूपेश तोमर, नितिन जोशी, कमलेश गौर, भूपेंद्र ठाकुर ने की है। 

शैक्षणिक संस्थानों ने निकाली मतदाता जागरुकता रैली , निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण मतदान करने की ली शपथ 

sehore news
मतदाता जागरुता कार्यक्रम के तहत जिला निर्वाचन कार्यालय द्वारा आवासीय स्कूल से छात्र-छात्राओं की मतादाता जागरुकता रैली निकाली गई। अभियान के प्रभारी मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत श्री अरुण कुमार विश्वकर्मा ने हरी झंडी दिखाकर रैली को रवाना किया एवं स्वयं भी रैली में शामिल हुये। मतादाताओं को जागरुक करने के लिये अनेक प्रकार के नारे लगाते हुये रैली नगर के प्रमुख मार्गों से होते हुये स्थानीय बाल विहार मैदान पहुंची जहां कार्यक्रम के मुख्य अतिथि मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत श्री अरुण कुमार विश्वकर्मा ने निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण मतदान के लिये शपथ दिलाई। इस अवसर पर अतिरिक्त मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत श्री गगन सक्सेना, अनुविभागीय अधिकारी राजस्व श्री वरुण अवस्थी, तहसीलदार श्री सुधीर सिंह, जिला शिक्षा अधिकारी सहित अन्य अधिकारी व बड़ी संख्या एवं शासकीय एवं निजी स्कूलों के छात्र-छात्राऐं उपस्थित थे। 

बैठक में राजनीतिक दल प्रतिनिधियों को मतदाता सूची की गई वितरित 

sehore news
कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री तरुण कुमार पिथोड़े के निर्देश पर चुनाव की तैयारियों को लेकर कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों/ अध्यक्ष्र के साथ बैठक आयोजित की गई।  बैठक में उप जिला निर्वाचन अधिकारी श्री मेहताब सिंह गुर्जर ने दल प्रतिनिधियों के साथ आगामी विधानसभा चुनावों को लेकर निर्वाचन द्वारा की जा रही तैयारियों से अवगत कराया एवं उनसे सुझाव भी साझा किये। इस असवर पर रातनीतिक दल के प्रतिनिधियों को चुनाव प्रक्रिया संबंधी डीवीडी एवं मतादता सूचियां वितरित की गई।

कलेक्टर कार्यालय की विभिन्न शाखाओं का प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रारंभ 

राज्य प्रशासनिक सेवा के सीधी भर्ती के परिवीक्षाधीन अधिकारियों का जिला स्तरीय प्रशिक्षण के संबंध में दिशा निर्देश दिये गये हैं कि राज्य प्रशासनिक सेवा अधिकारियों का जिला स्तरीय कार्यक्रम 52 सप्ताह का होगा। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम 2018 एवं तदन्तर भविष्य में राज्य प्रशासनिक सेवा के सीधी भर्ती के अधिकारियों के लिये आयोजित होने वाले जिला स्तरीय प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आगामी आदेश लागू रहेगा। कलेक्टर कार्यालय की विभिन्न शाखाओं का प्रशिक्षण 25 सितंबर 2018 से प्रारंभ हो चुका है जो कि 05 जनवरी 2019 तक जारी रहेगा। तहसील कार्यालय प्रशिक्षण 09 से 22 अक्टूबर, भू-अभिलेख कार्यालय 23 अक्टूबर से 05 नवंबर, कलेक्टर न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी न्यायालय में प्रक्रियाओं के प्रशिक्षण के लिये संलग्नीकरण 6 से 19 नवबंर, भू-अर्जन अधिनियम एवं भू-अर्जन संबंधी प्रक्रियाओं का प्रशिक्षण 20 से 26 नवबंर, अनुविभागीय अधिकारी प्रशिक्षण 27 नवबंर से 11 दिसंबर, जिले में लोक सेवाओं के प्रदाय एवं जनशशिकायत निवारण तथा सूचना का अधिकार अनिनियम अन्तर्गत प्राप्त आवेदनों के निराकरण की व्यवस्थाओ एवं प्रक्रियाओं का प्रशिक्षण 12 से 25 दिसंबर, जिले में आयोजित लोक कल्याण शिविर, अन्त्योदय मेला एवं अन्य वृहद शासकीय आयोजनों की तैयारियों एवं प्रबंधन का प्रशिक्षण 26 से 31 दिसंबर 2018 तथा प्रोटोकाल, व्हीआईपी भ्रमण एवं शिष्टाचार संबंधी प्रशिक्षण 01 जनवरी से 05 जनवरी 2019 तक आयोजित होंगे।

ग्राम पंचायत निर्वाचन हेतु जनपद स्तर पर स्वीप समिति का गठन 

निर्वाचन आयोग के आदेशानुसार त्रिस्तरीय ग्राम पंचायत निर्वाचन 2018 के लिये मतदाताओं को जागरुक करने को लेकर मतदाता जागरुकता अभियान स्वीप के क्रियान्वयन के लिये जनपद स्तर पर स्वीप समिति का गठन किया गया है।  मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत श्री अरुण कुमार विश्वकर्मा द्वारा जनपद स्तर पर स्वीप समिति में अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को अध्यक्ष, मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत को नोडल अधिकारी, विकासखंड शिक्षा अधिकारी को सहायक नोडल अधिकारी, विकासखंड स्वास्थ्य अधिकारी को सचिव एवं सदस्य के रूप में वरिष्ठ कृषि विस्तार अधिकारी, वन परिक्षेत्र अधिकारी, उद्यानिकी विस्तार अधिकारी, सीडीपीओ एकीकृत महिला बाल विकास, विकासखंड अधिकारी, विकास विस्तार अधिकारी, सहायक कार्यक्रम अधिकारी मनरेगा, ब्लाक समन्वयक (एसबीएम, एनआरएलएम), सहायक विकास विस्तार अधिकारी, पंचायत सामाजिक संगठक अधिकारी, पंचायत इंस्पेक्टर को नियुक्त किया गया है। यह समिति मतदाता अभियान के अन्तर्गत विभिन्न गतिविधियों को क्रियान्वयन अनुविभागीय अधिकारी के मार्गदर्शन में कार्य करेगी। 

ए.एन.एम.ने खून देकर बचाई हाईरिस्क प्रसूता की जान 
बुदनी ब्लाक के अंतर्गत ग्राम डोबी की निवासी एक प्रसूता की जान ए.एन.एम.श्रीमती वंदना राठौर ने अपना खून देकर बचाई। प्रसूता श्रीमती गीताबाई का हिमोग्लोबिन 6.5 ग्राम होने की वजह से वह अति गंभीर (हाईरिस्क) श्रेणी में थी तथा वह सातवीं पारा होने के कारण प्रसव कराना मां और बच्चे दोनों के लिए खतरे से खाली नहीं था। प्रसूता जिला चिकित्सालय होशंगाबाद में भर्ती थी और उसके इस स्थिति की जानकारी जैसे ही एएनएम वंदना राठौर को पता चली तो वह तुरंत होशंगाबाद के लिए रवाना हुई और अपना खून दिया। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.प्रभाकर तिवारी ने बताया कि प्रसूता ने जिला चिकित्सालय होशंगाबाद में स्वस्थ बच्ची को जन्म दिया है। जिसका वजन 3 किलोग्राम है तथा जच्चा-बच्चा दोनो स्वस्थ है। ए.एन.एम.श्रीमती वंदना राठौर के इस सराहनीय कार्य की उन्होंने प्रशंसा की है और जिम्मेदारीपूर्वक किए गए पूनीत कार्य के लिए बधाई दी।

एन.एस.एस.स्वंयसेवक मोहित राज्य स्तरीय पुरस्कार से सम्मानित 
चंद्रशेखर आजाद शासकीय स्नातकोत्तर अग्रणी महाविद्यालय प्राचार्य डॉ पुष्पा दुबे ने बताया कि राष्ट्रीय सेवा योजना छात्र ईकाई के स्वंयसेवक श्री मोहित विश्वकर्मा को राष्ट्रीय सेवा योजना में उनके उत्कृष्ट योगदान के लिये म.प्र. शासन के राज्य स्तरीय पुरस्कार से सम्मानित किया गया । श्री मोहित विश्वकर्मा ने गणतंत्र दिवस परेड शिविर नई दिल्ली 2016, पूर्व गणतंत्र दिवस परेड षिविर रांची 2015, राष्ट्रीय एकता शिविर कर्नाटक 2018, राष्ट्रीय युवा महोत्सव रोहतक तथा अनेक राज्य स्तरीय, जिला स्तरीय व इकाई स्तरीय शिविरों में सहभागिता की। 

खण्ड स्तरीय लोक कल्याण शिविर संपन्न , 89 प्रकरणों का हुआ निराकरण 

जनपद पंचायत नसरुल्लागंज द्वारा खण्ड स्तरीय लोक कल्याण शिविर का आयोजन ग्राम पिपलानी में किया गया।। शिविर में 192 आवदेन प्राप्त हुये जिसमें से 89 प्रकरणों का निराकरण किया गया। अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी श्री विनोद कुमार चतुर्वेदी द्वारा ग्रामीणों की समस्या सुनकर त्वरित कार्यवाही कर निराकरण किया। साथ ही प्राप्‍त पट्टे के आवेदनों में 15 दिन के अंदर कार्यवाही कर निराकरण के लिये निर्देशित किया। जो आवेदन लंबित हैं उन्हें 7 दिवस के अंदर निराकरण करने हितग्राहियों को सूचित करने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिये। शिविर के दौरान विद्युत विभाग के 26, जल संसाधन विभाग के 01, वन विभाग 72, राजस्व विभाग 35 एवं पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के 58 सहित कुल 192 प्रकरण प्राप्त हुये।  

चुनावी खर्चे पर निगरानी के लिये अधिकारियों को दिया गया प्रशिक्षण 
उप जिला निर्वाचन अधिकारी श्री मेहताब सिंह गुर्जर की उपस्थिति में निर्वाचन व्यय अनुवीक्षण के संबंध में जिले के अधिकारियों का प्रशिक्षण जिला पंचायत सभाकक्ष में संपन्न हुआ। प्रशिक्षण के दौरान बताया गया कि विधानसभा चुनाव के लिये उम्मीदवारों की व्यय सीमा 28 लाख रुपये है। यदि पेड न्यूज का कोई प्रकरण व्यय समिति के समक्ष आता है तो उसे उम्मीदवार के खर्चे में जोड़ा जायेगा। इस संबंध में जिला पेंशन अधिकारी द्वारा विस्तार से जानकारी दी गई। 

मिशन अंत्योदय अन्तर्गत हुआ बुधनी विकासखंड की 62 ग्राम पंचायतों का चयन 
जिला हाथकरघा कार्यालय सहायक संचालक ने बताया कि मिशन अंत्योदय अन्तर्गत जिले के बुधनी विकसखण्ड की चयनित 62 ग्राम पंचायतों के पात्र हितग्राहियों से हाथकरघा विभाग द्वारा संचालित मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना, मुख्यमंत्री आर्थिक कल्याण योजना तथा माटीकला बोर्ड द्वारा एमपी ऑनलाईन के माध्यम से आवेदन पत्र आमंत्रित किये गये हैं। योजनाओं की जानकारी के लिये सहायक ग्रामोद्योग विस्तार अधिकारी, नोडल अधिकारी से संपर्क करें।

विदिशा (मध्यप्रदेश) की खबर 27 सितंबर

$
0
0
मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग अध्यक्ष एवं सदस्य द्वारा सुनवाई आज
जिला पंचायत के सभागार कक्ष में प्रातः 11 बजे से शुरू होगी
मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग की फुल बैच 28 सितम्बर शुक्रवार की प्रातः 11 बजे से विदिशा के जिला पंचायत सभागार कक्ष में मानव अधिकार हनन के आवेदनों पर सुनवाई कार्यक्रम आयोजित किया गया है। मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग के अध्यक्ष श्री नरेन्द्र कुमार जैन, आयोग के सदस्यद्वय श्री मनोहर ममतानी एवं श्री सरबजीत सिंह जी 28 सितम्बर को विदिशा आएंगे। इसके पश्चात फुल बैच के द्वारा आहूत जनसुनवाई कार्यक्रम में प्रातः 11 बजे से आयोग से संबंधित प्रकरणों एवं नए आवेदन पत्रों पर सुनवाई जिला पंचायत के सभागार कक्ष में की जाएगी। आयोग अध्यक्ष एवं सदस्यों का प्राप्त दौरा भ्रमण कार्यक्रम अनुसार 28 सितम्बर की सुबह नौ बजे भोपाल से कार द्वारा प्रस्थान कर सुबह 10.30 बजे विदिशा आएंगे और आयोग से संबंधित प्रकरणों की सुनवाई करेंगे। आयोग के अध्यक्ष एवं सदस्यगण दोपहर तीन बजे विदिशा से भोपाल के लिए प्रस्थान करेंगें। 

मतदाता सूची का अंतिम प्रकाशन हुआ

भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशों के अनुरूप एक जनवरी 2018 की आर्हत तिथि के अनुसार जिले की पुर्नरीक्षित मतदाता सूची का आज 27 सितम्बर 2018 को अंतिम प्रकाशन कर दिया गया है। कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री केव्ही सिंह ने राष्ट्रीय मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के पदाधिकारियों की बैठक आहूत कर मतदाता सूची के अंतिम प्रकाशन की जानकारी अपने चैम्बर में की। उन्होंने इस दौरान प्रतिनिधियों को विधानसभा की अपडेट निर्वाचक नामावली सूची की प्रतियां उपलब्ध कराई है। उप जिला निर्वाचन अधिकारी श्री संदीप अष्ठाना ने बताया कि मतदाता सूची की हार्ड काॅपी प्रति पृष्ठ दो रूपए की दर पर विक्रय हेतु उपलब्ध रहेगी। इसके अलावा प्रत्येक विधानसभा की मतदाता सूची संबंधी जानकारी सीडी में एक सौ रूपए में प्राप्त कर सकते है। 

निर्वाचन कार्यो को सम्पादित कराने वाले प्रशिक्षित हुए

vidisha news
विदिशा विधानसभा क्षेत्र में आगामी विधानसभा निर्वाचन प्रक्रिया को सम्पादित कराने हेतु नियुक्त किए गए पुलिस सेक्टर आफीसर और अन्य सेक्टर आफीसर के साथ-साथ व्यय लेखा परीक्षणकर्ता तथा आरो एवं एआरओ के लिए संयुक्त प्रशिक्षण आज विदिशा जनपद पंचायत के सभागार कक्ष में आयोजित किया गया था। कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री केव्ही सिंह ने पुलिस सेक्टर आफीसर एवं सेक्टर आफीसर से कहा कि जिन मतदान केन्द्रों का दायित्व सौंपा गया है। उनका संयुक्त रूप से ही भ्रमण करें। उन्होंने क्रिटिकल और बल्नरेबिल मतदान केन्द्रो का मापदण्ड कैसे करें कि विस्तारपूर्वक जानकारी दी। उन्होंने कहा कि हर मतदाता को स्वेच्छा से मत देने का अधिकार है और इस अधिकार से कोई भी वंचित नही होगा। मतदान को प्रलोभन, भय अथवा अन्य संसाधनों से डराने वाले के खिलाफ सख्त कार्यवाही की जाएगी। इसके लिए उन्होंने भ्रमण के दौरान गांव में ग्रामसभा के माध्यम से ओपन फीडबैक लेने की बात कही। इसके पश्चात संदेह होने पर उन्होंने गोपनीय तरीको से तमाम जानकारी प्राप्त की जाएगी और प्रभावित करने वालो के खिलाफ सख्त कठोर कार्यवाही की जाएगी। कलेक्टर श्री सिंह ने अधिकारियों से कहा कि चुनाव का कोई भी कार्य शार्टकट मैथर्ड से करने का प्रयास ना करें। आयोग के द्वारा जो दिशा निर्र्देश जारी किए गए है उनका अक्षरशः पालन करना सुनिश्चित करें। प्रशिक्षण में राज्य स्तरीय मास्टर टेªनर्स श्री राजेश पाटीदार ने पावर प्रेजेन्टेशन के माध्यम से निर्वाचन सामग्री वितरण, मतदाता सूची का मिलान, सीयू, बीयू और व्हीव्हीपैट की कार्यप्रणाली, कनेक्शन करने की सरल प्रक्रिया तथा माॅकपोल कब कैसे करें कि जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि मतदान प्रक्रिया के दौरान सीयू और बीयू में कही कोई त्रुटि होती है अथवा कार्य करना बंद कर देता है तो अविलम्ब दूसरे सीयू, बीयू का उपयोग करने से पहले उनका माॅकपोल के माध्यम से प्रदर्शन किया जाएगा जबकि उक्त कार्यवाही व्हीव्हीपैट में नही करनी होगी। प्रशिक्षणार्थियों को एसएसटी, एफएसटी के तहत सम्पादित किए जाने वाले कार्यो के लिए अभी से स्थलों का चिन्हांकन करना, पर्याप्त दल तैनात करना, इत्यादि की जानकारी दी गई। वही आदर्श आचरण संहिता का सर्व पालन करने की हिदायत दी गई है। इस दौरान अभ्यर्थियों के व्यय लेखा संबंधी कार्यो का अपडेट कैसे करना है ओर किन प्रपत्रों में करना है कि भी जानकारी दी गई।

सिटीवाॅक के माध्यम से नगर की धरोहरों से वाकिफ हुए

vidisha news
विदिशा जिले में सिटीवाक कार्यक्रम के तहत आज स्कूली छात्रों को विश्व पुरातत्व धरोहर दिवस पर बीजामंडल से रायसेन गेट तक वाॅक कर स्थानीय पुरातत्व धरोहरों की जानकारी गाईड द्वारा दी गई। इस अवसर पर जिला शिक्षा अधिकारी श्री एचएन नेमा, डीपीसी श्री संजय खाण्डेकर, सिटीवाॅक कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डाॅ पीके मिश्रा के अलावा संस्थाओं के गुरूजन एवं विद्यार्थी साथ मौजूद रहें। गाइड का दायित्व श्री अरविन्द शर्मा ने निभाया।

तीन प्रकरणों में जिला बदर की कार्यवाही 

जिला दण्डाधिकारी एवं कलेक्टर श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने तीन प्रकरणों में जिला बदर के आदेश जारी कर दिए है पुलिस अधीक्षक श्री विनीत कपूर के प्रतिवेदन पर जिन तीन प्रकरणों में जिला बदर की कार्यवाही की गई है। उनमें सलीम खां उर्फ छोटे खां पुत्र सरदार खां निवासी रंगियापुरा विदिशा, इसी प्रकार राजकुमार पुत्र नोतीराम रघुवंशी निवासी सुभाष नगर गली नम्बर दो विदिशा तथा अफरोज मियां पुत्र जफर मोहम्मद निवासी टोरी बागरोद थाना सिरोंज शामिल है। इन तीनों के विरूद्व मध्यप्रदेश राज्य सुरक्षा अधिनियम के अंतर्गत जिला बदर की कार्यवाही एक वर्ष के लिए की गई है। उक्त अवधि में विदिशा जिला एवं सीमावर्ती जिला रायसेन, भोपाल, गुना, अशोेकनगर, सागर, राजगढ़ की राजस्व सीमा से एक वर्ष की कालावधि के लिए उसे निष्कासित किया गया है। 

हिट एण्ड रन के एक प्रकरण में आर्थिक मदद जारी 

कलेक्टर श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने सड़क दुर्घटना में घायल को बारह हजार पांच सौ रूपए की आर्थिक मदद जारी कर दी है। जारी आदेश में उल्लेख है कि ग्यारसपुर तहसील के ग्राम तेवरी निवासी रतन सिंह पुत्र भंवरलाल की अज्ञात वाहन से गंभीर घायल हो जाने पर घायल श्री रतन सिंह को बारह हजार पांच सौ रूपए की आर्थिक सहायता जारी कर दी गई है।

खण्ड स्तरीय अन्त्योदय मेला 29 को गुलाबगंज में

ग्यारसपुर विकासखण्ड के ग्राम गुलाबगंज में 29 सितम्बर शनिवार को खण्ड स्तरीय अन्त्योदय मेला का आयोजन  किया गया है। खण्ड स्तरीय अन्त्योदय मेला गुलाबगंज कृषि उपज मंडी प्रागंण में प्रातः 11 बजे सेे आयोजन किया गया है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि विदिशा विधायक श्री कल्याण सिंह ठाकुर, बासौदा विधायक श्री निशंक जैन होंगे तथा जिला पंचायत अध्यक्ष श्री तोरण सिंह दांगी कार्यक्रम की अध्यक्षता करेंगे। खण्ड स्तरीय अन्त्योदय मेला कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथियों काॅ-आपरेटिव बैंक के अध्यक्ष श्री श्यामसुन्दर शर्मा, पूर्व विधायक बासौदा श्री हरिसिंह रघुवंशी, जिला अन्त्योदय समिति के अध्यक्ष श्री मनोज कटारे, ग्यारसपुर जनपद पंचायत की अध्यक्ष श्रीमती ममता राकेश कटारे, जिला पंचायत विदिशा की उपाध्यक्ष श्रीमती गुड्डीबाई लालाराम अहिरवार, जिला पंचायत सदस्य श्रीमती कोमलबाई और श्री कैलाश रघुवंशी, ग्यारसपुर जनपद पंचायत उपाध्यक्ष श्री कमलेश लोधी, बासौदा कृषि उपज मंडी के अध्यक्ष श्री नरेन्द्र सिंह रघुवंशी, ग्यारसपुर जनपद पंचायत के पूर्व अध्यक्ष श्री छत्रपाल शर्मा, गुलाबगंज कृषि उपज मंडी अध्यक्ष श्री हरि सिंह दांगी, ग्यारसपुर खण्ड अन्त्योदय समिति के अध्यक्ष श्री गजराज सिंह, ग्यारसपुर जनपद पंचायत सदस्य श्रीमती रामवती अहिरवार और गुलाबगंज ग्राम पंचायत के सरपंच श्री मोहन सिंह रघुवंशी होंगे। खण्ड स्तरीय अन्त्योदय मेला में विभिन्न विभागों के माध्यम से क्रियान्वित योजनाओं के चयनित सुपात्र हितग्राहियों को मौके पर अतिथियों द्वारा लाभांवित किया जाएगा इसके अलावा विभागीय योजनाओं एवं कार्यक्रमों की जानकारियां ग्रामीणजनो ंको दी जाएगी। वही विभाग से संबंधित शिकायते, व्यक्तिगत, सार्वजनिक हितार्थ से संबंधितों का निराकरण विभागीय अधिकारियों द्वारा किया जाएगा।

बेगूसराय : पूर्व मंत्री मंजू वर्मा की जमानत याचिका पर पटना हाईकोर्ट ने मांगी केश डायरी।

$
0
0
hc-ask-case-diary-of-ex-minister-manju-verma
बेगूसराय (अरुण शाण्डिल्य) बिहार सरकार के पूर्व समाज कल्याण मंत्री एवं चेरिया बरियारपुर की विधायक कुमारी मंजू वर्मा की अग्रिम जमानत अर्जी पर सुनवाई के बाद पटना हाई कोर्ट ने केस डायरी मांगी है।साथ ही मामले पर अगली सुनवाई की तारीख 3 अक्टूबर तय की है।न्यायमूर्ति सुधीर सिंह की एकल पीठ ने बुधवार को अग्रिम जमानत अर्जी पर आंशिक सुनवाई की।सुनवाई के दौरान सीबीआई ने इस केस में खुद को पार्टी नहीं बनाए जाने पर आपत्ति उठाई।सीबीआई के आपत्ति को एक सिरे से खारिज करते हुए कहा कि इस केस में सीबीआई सूचक है ,न की अभियोजक है। इस केस का अभियोजक राज्य सरकार है। सरकार का पक्ष सुनकर ही कोई आदेश पारित किया जाएगा।वहीं राज्य सरकार की ओर से एपीपी अजय मिश्रा ने इस केस डायरी की आवश्यकता की और कोर्ट का ध्यान आकृष्ट कराया।कोर्ट ने केस डायरी की मांग करते हुए सुनवाई अगले बुधवार तक के लिए टाल दी । गौरतलब है कि मुजफ्फरपुर बालिका गृह कांड में सीबीआई ने पूर्व मंत्री कुमारी मंजू वर्मा के बेगूसराय जिले के चेरिया बरियारपुर श्रीपुर पंचायत के अर्जुन टोल स्थित घर पर छापा मारा था,तो वहां से 50 गोलियां बरामद हुई थी।इसके बाद सीबीआई ने स्थानीय चेरिया बरियारपुर थाना में थाना कांड संख्या 143 /18  गत 17 अगस्त को केस दर्ज कराया था। इसी मामले में पूर्व मंत्री ने हाई कोर्ट में अपनी अग्रिम जमानत अर्जी दायर की है।

बेगूसराय : शहर में अपराध नियंत्रण को मद्देनजर मोटर बाइक से पुलिस कप्तान ने लिया शहर का जायजा

$
0
0
begusaray-sp-visit-sity-on-bikeबेगूसराय (अरुण शाण्डिल्य)जिले में बढ़ते अपराध को नियन्त्रित करने के लिये पुलिस कप्तान ने खुद मोटर बाइक से उतरे सड़क पर। ये नजारा बेगूसराय शहर की है जहाँ स्वयं पुलिस कप्तान आदित्य कुमार अपने पलटनों के साथ विधि व्यवस्था का जायजा लेने के दौरान उन्होंने जगह जगह पर घूमकर अपराधिक गतिविधियों का भी जायजा लिया।एस पी आदित्य कुमार खुद बाइक ड्राइव कर रहे थे,और उनके पीछे पूरी काफिला भी मोटर बाइक से ही चल रही थी इस दौरान बेगूसराय के सड़कों की नजारा ही कुछ नजर आ रही थी जिस काफिले में ए एस पी अभियान अमृतेश भी अपनी अहम भूमिका में बाइक से एस पी आदित्य कुमार के साथ नजर आ रहे थे।जगह जगह पर तैनात पुलिस जवान अचानक अपने आलाकमान और उनके साथ चल रहे पूरे काफिले को देख आश्चर्य चकित हो रहे थे।वहीं आम लोगों में भी बड़ा सुखानुभूति साफ साफ देखी जा रही थी।एस पी ने बताया कि अधिकतर अपराधी अब जेल में बंद हैं।बाकी बचे अपराधियों को भी पकड़ने के लिये पुलिस योजनाओं पर काम कर रही है।
Viewing all 74188 articles
Browse latest View live




Latest Images