Quantcast
Channel: Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)
Viewing all 74302 articles
Browse latest View live

प्रधानमंत्री प्रकाशोत्सव में शामिल होने कल पटना पहुंचेंगे

$
0
0
pm-will-attend-prakash-utsav-in-patna-tomorrow
पटना 04 जनवरी, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के श्री गुरू गोविंद सिंह जी के 350 वें प्रकाशोत्सव पर कल पटना आगमन को लेकर सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध के साथ ही चप्पे -चप्पे पर पुलिस की तैनाती की गयी है । प्रधानमंत्री बनने के बाद श्री मोदी पहली बार यहां के एतिहासिक गांधी मैदान जायेंगे जहां प्रकाशोत्सव को लेकर मुख्य समारोह चल रहा है । श्री मोदी 27 अक्टूबर 2013 को पटना के इसी गांधी मैदान में जब भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) की ओर से आयोजित हुंकार रैली को संबोधित कर रहे थे तभी आतंकियों ने एक के बाद एक कई बम धमाके किये थे । इस धमाके में जहां पांच लोगों की मौत हो गयी थी वहीं 80 से अधिक लोग घायल भी हुए थे । पंजाब के नाभा जेल ब्रेक कांड के साजिशकर्ता और खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (केएलएफ) के फरार आतंकी कश्मीर सिंह के बिहार में छिपे होने की आशंका को लेकर स्पेशल बीपन एंड टेक्टिस (एसडबल्यूएटी) की टीम भी तैनात की गयी है । इसी को देखते हुए इस बार सुरक्षा की ऐसी चाक-चौबंद व्यवस्था की गयी है कि परिंदा भी पर न मार सके । इस बार स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी ) और खुफिया एजेंसियों के साथ ही बिहार पुलिस पूरी सतर्कता बरत रही है । गांधी मैदान से लेकर पटना के जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा तक कई स्तरीय सुरक्षा व्यवस्था की गयी है । एसपीजी के अधिकारी दो दिनों से सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा कर रहे हैं । 

प्रधानमंत्री के आगमन को लेकर हवाई अड्डा से लेकर गांधी मैदान तक आज कारकेड का रिहर्सल किया गया । 
इस दौरान चप्पे-चप्पे पर सुरक्षा का जायजा भी लिया गया । प्रधानमंत्री की सुरक्षा में लगे एसपीजी के अधिकारी दो दिन पूर्व से ही सुरक्षा का जायजा ले रहे हैं । मुख्य समारोह स्थल गांधी मैदान में बने दरबार हॉल को अग्नि रोधी बनाया गया है । इसके साथ ही दीवान हॉल के चारों तरफ अग्नि रोधी सुरक्षा भी तैयार किया गया है । ब्लू बुक के अनुसार प्रधानमंत्री की सुरक्षा के सभी प्रबंध किये जा रहे हैं । प्रधानमंत्री श्री मोदी विशेष विमान से कल यहां के जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा पहुंचेंगे जहां से सीधे गांधी मैदान में बने गुरूद्वारा जायेंगे । यहां बने गुरूद्वारा में मत्था टेकने के बाद श्री मोदी मुख्य समारोह में भाग लेंगे । समारोह के दौरान प्रधानमंत्री दशमेश गुरू पर डाक टिकट जारी करेंगे । इस मौके पर पूर्व प्रधानमंत्री डा0 मनमोहन सिंह , बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविंद , गृह मंत्री राजनाथ सिंह , केन्द्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली , केन्द्रीय विधि मंत्री रविशंकर प्रसाद ,केन्द्रीय खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री रामविलास पासवान , बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार , और पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल भी उपस्थित रहेंगे । 

मलूटी के संरक्षण के लिए केन्द्र प्रतिबद्ध : सुदर्शन भगत

$
0
0
save-maluti-dumka
दुमका 04 जनवरी, केन्द्रीय राज्यमंत्री सुदर्शन भगत ने दुमका जिले में झारखंड और पश्चिम बंगाल की सीमा पर स्थित मंदिरों के गांव मलूटी को राष्ट्रीय धरोहर बताया और कहा कि इन मंदिरों के संवर्द्धन और संरक्षण के लिए केन्द्र और राज्य सरकार प्रतिबद्ध है। श्री भगत ने आज जिले के शिकारीपाड़ा प्रखंड क्षेत्र स्थित मलूटी गांव का दौरा किया और मंदिरों के सरंक्षण के लिए किये जा रहे जीणोर्द्धार कार्यों को जायजा लिया। इस दौरान श्री भगत ने संवाददाताओं से कहा कि मौलिकता को बरकार रखते हुए स्थानीय लोगों को विश्वास में लेकर नष्ट होते मंदिरों का संरक्षण और संवर्द्धन किया जाना चाहिए। श्री भगत ने झारखंड सरकार द्वारा छोटानागपुर काश्तकारी अधिनियम(सीएनटी) और संथालपरगना काश्तकारी अधिनियम (एसपीटी) की कुछ धाराओं में सुधार किये जाने के बारे में पूछने पर कहा कि आमलोगों से राय-मशविरा और गहन अध्ययन के बाद ही दोनों अधिनियमों में सुधार किया जाना चाहिए। उन्हाेंने बीते दिन खारसांवा में राज्य के मुख्यमंत्री रघुवर दास के कार्यक्रम में बाधा डालने और कुछ संगठनों द्वारा विरोध प्रकट किये जाने की घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया और कहा कि विरोध का तरीका गलत है। इस तरह से विरोध प्रकट करना लोकतांत्रिक व्यवस्था के प्रतिकूल है। 

नमी का बहाना बनाकर धान खरीदने में आनाकानी कर रही नीतीश सरकार

$
0
0
nitish-ignorance-dhan-purchase-modi
पटना 04 जनवरी, बिहार भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) ने आज कहा कि महागठबंधन की सरकार कभी नोटबंदी तो कभी नमी का बहाना बना कर किसानों से धान खरीदने में आनाकनी कर रही है और अब अपनी विफलता छुपाने के लिए केन्द्र सरकार पर दोषारोपण कर रही है। भाजपा विधान मंडल दल के नेता एवं पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने यहां कहा कि निबंधन के लिए आवेदन दिए ढाई लाख किसानों में से दो माह बाद मात्र 58 हजार किसानों के आवेदन की ही जांच हो सकी है। सर्वाधिक धान उत्पादक भोजपुर, बक्सर और कैमूर में तो प्रति जिला 1500 किसानों के निबंधन के कागजात की भी अब तक जांच नहीं हुई है। श्री मोदी ने कहा कि चुनावी वर्ष में किसानों को बोनस की घोषणा करने वाली राज्य सरकार अब तक मौन है जबकि प्राथमिक कृषि साख एवं सहकारी समिति (पैक्सों ) के साथ मिलों की टैगिंग नहीं होने से बिहार में कहीं भी धान की कुटाई नहीं हो रही है। ड्रायर से धान सूखा कर किसानों से खरीदने के बजाय राज्य सरकार केन्द्र को पत्र लिख कर अधिक नमी वाले धान खरीदने की अनुमति मांग कर मामले को उलझा रही है जबकि राज्य सरकार चाहे तो अधिक नमी होने पर नमी के अनुपात में वजन काट कर किसानों से धान की खरीद कर सकती है।

पूर्व उप मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने ही वायदा किया था कि 17 प्रतिशत की निर्धारित मात्रा से अधिक नमी होने पर भी नमी काट कर धान की खरीद की जाएगी। राज्य सरकार बतायें कि 8-10 पैक्सों पर एक ड्रायर लगाने की घोषणा के बाद कितने ड्रायर लगाए गए। उन्होंने कहा कि धान सूखाने की अब तक क्या व्यवस्था की गई है। श्री मोदी ने कहा कि चुनावी वर्ष 2015 में किसानों को प्रति क्विंटल 300 रुपये बोनस देने वाली सरकार इस साल अब तक बोनस की घोषणा क्यों नहीं कर पाई है जबकि पड़ोसी राज्य झारखंड में किसानों को प्रति क्विंटल धान पर 130 रुपये बोनस मिल रहा है। पूर्व उप मुख्यमंत्री ने कहा कि नोटबंदी के बावजूद बिहार में पिछले साल से ज्यादा जहां रबी की बुआई हुई है वहीं खाद की रिकार्ड बिक्री भी हुई है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार बतायें कि अब तक मात्र 58 हजार निबंधित किसानों के कागजातों की जांच ही क्यों हो पाई है। बिहार से प्रतिदिन सैकड़ों ट्रक बाहर जा रहे धान को रोकने में सरकार विफल क्यों है। 

धोनी ने छोड़ी कप्तानी लेकिन खिलाड़ी के रूप में खेलेंगे

$
0
0
dhoni-resign-from-captaincy
नयी दिल्ली ,04 जनवरी, भारत के सबसे सफल और विश्व कप विजेता कप्तान महेन्द्र सिंह धोनी ने वनडे और ट्वंटी-20 टीमों की कप्तानी छोड़ दी है लेकिन इंग्लैंड के खिलाफ इसी महीने दोनों फार्मेट में होने वाली सीरीज में खिलाड़ी के रूप में खेलने के लिये वह उपलब्ध रहेंगे। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने बुधवार रात यह जानकारी दी। बीसीसीआई ने एक बयान जारी कर बताया कि धोनी ने बोर्ड को सूचित किया है कि वह वनडे और ट्वंटी-20 फार्मेट के लिये भारतीय टीमों के कप्तान पद से हट रहे हैं। धोनी ने यह भी कहा है कि वह इंग्लैंड के खिलाफ वनडे और ट्वंटी-20 सीरीज के लिये उपलब्ध रहेंगे। यह बात बीसीसीआई की सीनियर चयन समिति को प्रेषित कर दी गयी है। इंग्लैंड के खिलाफ तीन वनडे और तीन ट्वंटी-20 मैचों की सीरीज के लिये भारतीय टीमों का चयन शुक्रवार को होना है। यह सीरीज 15 जनवरी से एक फरवरी तक खेली जायेगी। टेस्ट कप्तानी काफी पहले ही छोड़ चुके धोनी ने नये साल में सीमित आेवरों की कप्तानी छोड़कर सबको चौंका दिया। बीसीसीआई के मुख्य कार्यकारी राहुल जौहरी ने धोनी के कप्तानी छोड़ने की जानकारी देते हुये एक बयान में कहा,“ हर भारतीय क्रिकेट प्रशंसक और बीसीसीआई की तरफ से मैं एम एस धोनी को सभी फार्मेट में भारतीय कप्तान के रूप में अभूतपूर्व योगदान देने के लिये धन्यवाद देता हूं।” जौहरी ने कहा,“ धोनी के नेतृत्व में भारतीय टीम ने नयी ऊंचाइयों को छुआ और उनकी उपलब्धियां भारतीय क्रिकेट में स्वर्णाक्षरों में अंकित रहेंगी।” धोनी के सीमित ओवरों की कप्तानी से हटने का मतलब है कि टेस्ट कप्तान विराट कोहली शुक्रवार को नये भारतीय वनडे और ट्वंटी -20 कप्तान भी बन जायेंगे। 

35 वर्षीय धोनी ने सीमित ओवरों की कप्तानी तो छोड़ दी है लेकिन वह दोनों फार्मेट में विकेटकीपर बल्लेबाज के रूप में खेलने के लिये उपलब्ध रहेंगे। धोनी ने 283 वनडे में 9110 रन बनाये हैं और विकेट के पीछे 359 शिकार किये हैं। उन्होंने 73 ट्वंटी-20 मैचों में 1112 रन बनाये हैं और विकेट के पीछे 63 शिकार किये हैं। भारत के सबसे सफल कप्तान धोनी ने अपनी कप्तानी में भारत को 2011 में 28 साल के अंतराल के बाद विश्व कप जिताया था। भारत ने धोनी की कप्तानी में 2007 में पहला ट्वंटी-20 विश्व कप भी जीता था। कप्तान के रूप में धोनी अब वनडे में 199 पर नाटआउट रह जायेंगे। धोनी ने 199 मैचों में भारत का नेतृत्व किया जिनमें से उन्होंने 110 जीते ,74 हारे ,चार टाई रहे और 11 में कोई परिणाम नहीं निकला। धोनी के बाद देश के दूसरे सबसे सफल कप्तान मोहम्मद अजहरुद्दीन हैं जिन्होंने 174 मैचों में 90 मैच जीते। ट्वंटी-20 में धोनी ने 72 मैचों में भारत की कपतानी की जिनमें से उन्होंने 41 जीते,28 हारे, एक टाई रहा और दो में कोई परिणाम नहीं निकला1 अपनी शांत कप्तानी के लिये ‘मिस्टर कूल’ के नाम से प्रसिद्ध धोनी ने पहली बार 2007 में भारत की कप्तानी ट्वंटी-20 विश्वकप के लिये संभाली थी और उन्होंने भारत को विश्व चैंपियन भी बनाया। एक दिवसीय मैचों में इसी साल उन्हें कप्तान बनाया गया और उन्होंने चार साल बाद 2011 में भारत को विश्व चैंपियन बना दिया। झारखंड के धोनी का शुमार दुनिया के सबसे सफल कप्तानों में होता है। उन्होंने दिसंबर 2014 में मेलबोर्न टेस्ट के बाद कप्तानी छोड़ दी थी और खेल के बड़े प्रारूप से संन्यास ले लिया था लेकिन इसके बाद वह वनडे और ट्वंटी-20 के कप्तान बने रहे। उनके नेतृत्व में भारत 2015 में आस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड में हुये एकदिवसीय विश्व कप के सेमीफाइनल में और 2016 में अपनी मेजबानी में हुये ट्वंटी-20 विश्व कप के सेमीफाइनल में पहुंचा। 

करिश्माई कप्तानी के लिये मशहूर धोनी को पिछले कुछ समय में छोटे फार्मेट में अपनी कप्तानी को लेकर आलोचनाओं का सामना भी करना पड़ रहा था और कई पूर्व क्रिकेटरों ने विराट को तीनों फार्मेट का कप्तान बनाने की मांग भी उठायी थी। धोनी हाल में झारखंड की रणजी टीम के लिये मेंटर की भूमिका भी निभा रहे थे लेकिन उन्होंने ऐसा कोई संकेत नहीं दिया था कि वह नये साल में कोई चौंकाने वाला फैसला करने वाले हैं। धोनी से जब पिछले वर्ष 2019 विश्वकप में कप्तानी के बारे में पूछा गया था तो उन्होंने इसका कोई सीधा जवाब नहीं दिया था। लगता है कि वह अब खिलाड़ी के रूप में खेल का आनंद उठाना चाहते हैं। वनडे कप्तानी में वह दोहरा शतक पूरा करने से एक मैच दूर रह गये। उनसे आगे न्यूजीलैंड के स्टीफन फ्लेमिंग ने 218 मैचों और आस्ट्रेलिया के रिकी पोटिंग ने 230 मैचों में कप्तानी की है। टवंटी-20 फार्मेट में अभी तक उनके नाम सबसे ज्यादा 72 मैचों में कप्तानी करने का रिकार्ड है। उनके बाद आयरलैंड के विलियम पोर्टरफील्ड आते हैं जिन्होंने 49 मैचों में कप्तानी की है। धोनी के कप्तानी छोड़ने से भारतीय क्रिकेट में कप्तानी का एक सुनहरा समय गुजर गया लेकिन क्रिकेट प्रेमी उम्मीद करेंगे कि धोनी विकेटकीपर बल्लेबाज के रूप में भारतीय टीम में अगले विश्वकप तक डटे रहेंगे। 

बीसीसीआई अध्यक्ष के लिये सी के खन्ना का दावा मजबूत

$
0
0
c-k-khanna-strong-containder-bcci-chief
नयी दिल्ली, 04 जनवरी, भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड(बीसीसीआई) के नये अध्यक्ष के लिये सरगर्मियां तेज हो गयी हैं और बीसीसीआई के वरिष्ठ उपाध्यक्ष सी के खन्ना का इस पद के लिये दावा मजबूत माना जा रहा है। बीसीसीआई के शीर्ष अधिकारी इस संदर्भ में खन्ना के संपर्क में हैं और सूत्रों के अनुसार बीसीसीआई कार्यालय ने इस मामले में खन्ना से पूछा भी है। उच्चतम न्यायालय ने बीसीसीआई के अध्यक्ष अनुराग ठाकुर और सचिव अजय शिर्के को बर्खास्त किये जाने के अपने फैसले में यह साफ कहा था कि बोर्ड के सबसे वरिष्ठ उपाध्यक्ष अध्यक्ष पद के कर्तव्यों का निर्वाह कर सकते हैं। बोर्ड सूत्रों के अनुसार खन्ना को वरिष्ठ उपाध्यक्ष के रूप में संबोधित करते हुये एक पत्र भेजा गया है जिसमें उनसे उच्चतम न्यायालय के आदेश के अनुसार उनसे बीसीसीआई अध्यक्ष पद के लिये पूछा गया है। उच्चतम न्यायालय ने जिस दिन ठाकुर को बर्खास्त किया था उसी दिन यह बात सामने आयी थी कि 64 वर्षीय खन्ना अध्यक्ष पद संभाल सकते हैं। बीसीसीआई के उपाध्यक्षों में खन्ना सबसे वरिष्ठ हैं। खन्ना दिल्ली एवं जिला क्रिकेट संघ(डीडीसीए) के भी उपाध्यक्ष हैं। बोर्ड के अन्य उपाध्यक्षों में पश्चिमी क्षेत्र के टीसी मैथ्यू, पूर्वी क्षेत्र के गौतम रॉय, उत्तरी क्षेत्र के एमएल नेहरू और दक्षिण क्षेत्र के जी गंगा राजू शामिल हैं। 64 वर्षीय खन्ना लाेढा समिति की सिफारिशों में तय किये गये मापदंडों के आधार पर अध्यक्ष पद के लिये उपयुक्त हैं। उनके भारतीय बोर्ड में अपने पद पर नौ वर्ष पूरे करने में अभी ढाई वर्ष का समय बचा है तथा उच्चतम न्यायालय की पदाधिकारी की 70 वर्ष की उम्र की सीमा से भी वह अभी छह वर्ष दूर हैं। बीसीसीआई और राज्य संघ में कार्यकाल संभालने को लेकर किसी तरह के टकराव के मुद्दे पर लोढा पैनल पहले ही यह साफ कर चुका है कि दोनाें संघाें में टकराव जैसी कोई स्थिति नहीं है। राज्य संघ के पदाधिकारी के कार्यकाल को बीसीसीआई के कार्यकाल के साथ जोड़ा नहीं जाएगा।

लोढा पैनल ने कहा“ तकनीकी रूप से एक व्यक्ति राज्य संघ में नौ साल के लिये पदाधिकारी हो सकता है और वह बीसीसीआई के लिये भी नौ वर्षाें के लिये अलग से पदाधिकारी हो सकता है बशर्ते हर कार्यकाल के बाद वह कूलिंग अवधि को पूरा करता हो।” खन्ना लोढा पैनल की इस शर्त पर खरे उतरते हैं। उनके भारतीय बोर्ड में अपने पद पर नौ वर्ष पूरे करने में अभी ढाई वर्ष का समय बाकी है जबकि 70 वर्ष की अधिकतम आयु सीमा से वह अभी छह वर्ष दूर हैं। बीसीसीआई के पूर्व अध्यक्ष जगमोहन डालमिया के कार्यकाल में भी उपाध्यक्ष रह चुके खन्ना ने मई में भी बोर्ड की विशेष आम बैठक (एसजीएम) की अध्यक्षता की थी जब ठाकुर को बोर्ड का अध्यक्ष और शिर्के को सचिव चुना गया था। बीसीसीआई के मौजूदा संविधान के अनुसार उसके पदाधिकारी अध्यक्ष, सचिव, संयुक्त सचिव, कोषाध्यक्ष और पांच उपाध्यक्ष होते हैं। लोढा समिति ने अपनी सिफारिशों में योग्यता मापदंड तय करते हुये कहा था कि पदाधिकारी तभी अयोग्य हो सकता है जब वह भारत का नागरिक न हो, उसकी उम्र 70 वर्ष या उससे अधिक हो, वह कोई मंत्री या नौकरशाह हो, उसने किसी अन्य खेल संगठन में कोई पदभार संभाल रखा हो या बीसीसीआई के पदाधिकारी के रूप में उसका कोई कार्यकाल नौ वर्ष का हो चुका हो। 

बुमराह की घातक गेंदबाजी ,गुजरात 67 साल बाद फाइनल में

$
0
0
bumrah-leads-gujrat-enter-ranji-final
नागपुर, 04 जनवरी, तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह(29 रन पर छह विकेट) की घातक गेंदबाजी की बदौलत गुजरात ने झारखंड को सेमीफाइनल के चौथे ही दिन बुधवार को 123 रन से पीटकर 67 साल के लंबे अंतराल के बाद रणजी ट्राफी के खिताबी मुकाबले में जगह बना ली। गुजरात ने इससे पहले 1950-51 के सत्र में फाइनल में जगह बनाई थी जहां उसे होलकर टीम से हारकर उपविजेता रहना पड़ा था। गुजरात की टीम उसके बाद अब जाकर 2016-17 सत्र में रणजी ट्राफी के फाइनल में पहुंची जहां उसका मुकाबला गत चैंपियन मुंबई और तमिलनाडु के बीच दूसरे सेमीफाइनल के विजेता से होगा। गुजरात ने झारखंड के सामने 235 रन का लक्ष्य रखा जिसका पीछा करते हुये झारखंड की टीम 41 ओवर में 111 रन पर सिमट गयी। बुमराह ने 14 ओवर की घातक गेंदबाजी में 29 रन देकर छह विकेट हासिल किये। आरपी सिंह ने 25 रन पर तीन विकेट और हार्दिक पटेल ने 46 रन पर एक विकेट लिया। 23 वर्षीय बुमराह ने इस तरह अपने प्रथम श्रेणी करियर का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन कर डाला। उन्होंने छठी बार पारी में पांच विकेट हासिल किये। झारखंड की टीम ने पहली पारी में 408 रन बनाए थे लेकिन दूसरी पारी में उसके बल्लेबाजों ने आश्चर्यजनक रूप से समर्पण कर दिया।

झारखंड की पारी में सर्वाधिक स्कोर कौशल सिंह का रहा जिन्होंने 24 रन बनाए। इशान किशन ने 19 ,विराट सिंह अौर कप्तान सौरभ तिवारी ने 17-17 रन और विकास सिंह ने 18 रन बनाए। झारखंड के दोनों ओपनर प्रत्युष सिंह और सुमित कुमार खाता भी नहीं खोल सके जबकि तीन बल्लेबाजों ने एक एक रन बनाए। गुजरात ने सुबह अपनी दूसरी पारी में चार विकेट पर 100 रन से आगे खेलना शुरू किया और उसकी दूसरी पारी 81 ओवर में 252 रन पर समाप्त हुई। मनप्रीत जुनेजा ने 125 गेंदों में 12 चौकों की मदद से 81 रन की बेशकीमती पारी खेली जो गुजरात के लिये जीत दिलाने में निर्णायक साबित हुई। जुनेजा ने सुबह दो रन से आगे खेलना शुरू किया। जुनेजा ने हार्दिक पटेल (06) और रूजुल भट(02) को जल्दी ही गंवा दिया। उन्होंने चिराग गांधी(51) के साथ सातवें विकेट की साझेदारी में 80 रन जोड़े। यह साझेदारी मैच के फैसले में निर्णायक साबित हुई। गांधी ने 105 गेंदों की पारी में चार चौके और एक छक्का लगाया। जुनेजा 217 के स्कोर पर और गांधी नौवें बल्लेबाज के रूप में 252 के स्कोर पर आउट हुये। रश कलारिया चोट की वजह से बल्लेबाजी करने नहीं उतरे। लेफ्ट आर्म स्पिनर शाहबाज नदीम ने 69 रन पर पांच विकेट लिये। विकास सिंह को दो विकेट मिले। संक्षिप्त स्कोर- गुजरात-390 और 252 झारखंड- 408 और 111 

प्रकाशोत्‍सव पर गुरूनगरी में सांस्‍कृतिक विविधताओं का समागम

$
0
0
prakash-utsav-patna
पटना 04 जनवरी, सिखों के दसवें गुरू श्री गुरूगोविंद सिंहजी के 350वें प्रकाशोत्‍सव के मौके पर राजधानी पटना में देश की सांस्‍कृतिक विविधताओं का समागम देखने को मिल रहा है। मुख्य समारोह स्थल एतिहासिक गांधी मैदान से चंद कदम की दूरी पर श्रीकृष्‍ण मेमोरियल हॉल में चल रहे कार्यक्रम में ख्यातिलब्ध कलाकार राम प्रसाद मिश्रा की ठुमरी ने समां बांध दिया। आज के कार्यक्रम की शुरूआत ही श्री मिश्रा के ठुमरी से हुई और तबले पर उनका साथ पंडित मदन मोहन उपाध्‍याय ने दिया। ठुमरी के बाद समरिन सन्‍याल ने महान साहित्‍यकार एवं नोबेल पुरूस्‍कार विजेता रविंद्र नाथ ठाकुर द्वारा गुरू गोविंद सिंहजी पर रचित कविता का पाठ किया। वहीं गुरिंदर हरनाम सिंह ने ख्‍याल- दसम वाणी की प्रस्तुति दी, जिसमें उनके साथ तबला पर मदनील सिसोदिया, हारमोनिया पर ललित सिसोदिया, वोकल हरसिमरन कौर और सारंगी पर घनश्‍याम सिसोदिया ने दिया। सुखविंदर अमृत ने काव्‍य पाठ, सुवीर मिश्रा ने रूद्र वाणी और मोहनश्‍याम शर्मा ने पखावज पर संगीत के सुर छेड़े। अंत में, डॉ मदन गोपाल सिंह ने बाबा फरीद से बुल्‍ले शाह का भव्‍य सूफी गायन प्रस्‍तुत किया, जिसे देख हॉल में लोगों सूफीज्‍म के रंग सराबोर हो गए। 

राजधानी पटना के प्रेमचंद रंगशाला में आयोजित कार्यक्रम की शुरूआत हिमांशु त्रिवेदी के काव्‍य पाठ से हुई। पटना के कलाकार सुरेंद्र नारायण यादव ने रंग - ए - बिहार कार्यक्रम के तहत मैथिली लोकगीत ‘जब तक सुग्‍गा वेद पढ़ावें चाकर शिव भगवान, तोहे जनी जाह विदेश और नवका नेवानक चुरा खोयेवऊं’ जैसे गीतों से लोगों का दिल जीत लिया। इसके बाद पटना के ही मनोरंजन ओझा, सत्‍येंद्र संगीत और नीतू कुमारी नूतन ने शानदार लोकगीतों की प्रस्‍तुति दी और पूनम ठाकुर ने उप शास्‍त्रीय गायन किया। उधर रविंद्र भवन में लोक संगम कार्यक्रम के अंतर्गत दुर्ग, छत्तीसगढ़ से आई प्रेमाशीला ने पंडवानी, उत्तर प्रदेश के सोनभद्र के सोना ने गदरबाज, धार मध्‍यप्रदेश के गोविंद गहलौत ने भगौरिया, रांची की सृष्टिधर महतो ने पुरूलिया छऊ और पटना की इतु घोष ने झिझिया नृत्‍य पेश कर लोगों को झूमने पर मजबूर कर दिया। भारतीय नृत्‍य कला मंदिर में भारत - भारती कार्यक्रम में झारखंड की प्राचीन संस्‍कृति शिकार प्रथा पर आधारित शिकारी नृत्‍य का मंचन हुआ। प्रथा के अनुसार, झारखंड के लोगों के बीच साल में एक बार शिकार करने की प्रथा है। इसे सेंदरा कहते हैं। वन परिवेश में रचित इस परंपरा में शिकारी शिकार को नकलते हैं। बहुत असफलता के बाद जब शिकारी विलुप्‍त होते हिरण का शिकार करने के लिए आगे बढ़ते हैं, तब उनकी गृहिणयां उन्‍हें ऐसा करने से रोकती हैं। आखिरकार गृहणियां सफल होती हैं और शिकारी शिकार न करने का प्रणाम लेते हैं। राजकीय छऊ नृत्‍य कला केंद्र ( खरसांवा झारखंड) के कलाकारों ने इसकी प्रस्‍तुति दी। वहीं दूसरी तरफ महाराष्‍ट्र से आए कलाकारों ने तमाश और लावणी नृत्‍य की प्रस्‍तुति देकर देश-विदेश से राजधानी पहुंचे लोगों का मन मोह लिया। 

मेरा नया साल जैसे शुरु हुआ है, मैं ही जानता हूं : अखिलेश

$
0
0
i-know-how-new-year-starts-akhilesh
लखनऊ, 04 जनवरी, शायद आप यह जानकार हैरान हों कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने लोगों से नये साल का मुबारकबाद बहुत ही हिचकिचाहट के बाद लिया। श्री यादव ने आज स्वयं स्वीकार किया कि नये साल का मुबारकबाद लेने से उन्होंने इस बार गुरेज किया। उन्होंने कहा, “मैं ही जानता हूं कि मेरा नया साल कैसे शुरु हुआ। मन में तमाम आशंकाएं चल रही थीं, जो लोग मुबारकबाद देते थे मैं उनको मना कर देता था और कहता था कि बधाई बाद में दे लेना।” एक कार्यक्रम में उन्होंने इशारों इशारों में पिता मुलायम सिंह यादव से चल रही लडाई की ओर संकेत किया। गौरतलब है कि इस साल एक जनवरी को ही उनके समर्थकों ने जनेश्वर मिश्र पार्क लखनऊ में मुलायम सिंह यादव के स्थान पर उन्हें पार्टी का अध्यक्ष घोषित कर दिया। पिता-पुत्र का विवाद अब लखनऊ और सैफई से निकलकर चुनाव आयोग दिल्ली पहुंच गया है। समझौते की संभावनाएं भी क्षीण लगती है। 

एक फरवरी को बजट पेश करने से रोके चुनाव आयोग : मायावती

$
0
0
ec-stop-for-budget-mayawati
लखनऊ, 04 जनवरी, उत्तर प्रदेश समेत देश के पांच राज्यों में चुनाव के शंखनाद के बीच बहुजन समाज पार्टी (बसपा) ने चुनाव आयोग से एक फरवरी को आम बजट पेश करने से केन्द्र सरकार को रोकने का आग्रह किया है। सुश्री मायावती ने आज यहां कहा “मतदान की तारीखाें का एलान चुनाव आयोग ने किया जिसका हम तहेदिल से स्वागत करते हैं। निष्पक्ष और पारदर्शी चुनाव के लिये आयोग से हमारा अनुरोध है कि वह केन्द्र को एक फरवरी को आम बजट पेश करने से राेके ताकि उत्तर प्रदेश की सत्ता में काबिज होने के लिये लालायित भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) केन्द्र में अपनी सरकार की मदद से इसका अनुचित लाभ न/न उठा सके।” उन्होंने कहा वर्ष 2012 की तरह आयोग को सभी पांच राज्यों में मतदान की आखिरी तारीख यानी आठ मार्च बीतने के बाद आम बजट पेश करने की इजाजत देनी चाहिये ताकि नरेन्द्र मोदी सरकार के मतदाताओं को प्रभावित करने के मंसूबों पर रोक लगायी जा सके और निष्पक्ष चुनाव हो सके। उत्तर प्रदेश में चुनाव के दौरान सरकारी मशीनरी के दुरूपयोग की आशंका जाहिर करते हुये बसपा अध्यक्ष ने कहा कि अन्तर्कलह से जूझ रही समाजवादी पार्टी (सपा) चुनाव को अपने पक्ष में करने के लिये सभी हथकंडे अपना सकती है। मौजूदा सरकार के शासनकाल में अपराध और अराजकता चरम पर है। मतदान को अपने पक्ष में करने के लिये राज्य की कामचलाऊ सरकार पुलिस और प्रशासन का इस्तेमाल करने से तनिक भी नहीं हिचकिचायेगी।

बसपा अध्यक्ष ने कहा कि निष्पक्ष चुनाव के लिये जरूरी है कि केन्द्रीय सुरक्षा बलाें की अधिक से अधिक तैनाती हो तथा स्थानीय पुलिस पर भी पैनी नज़र रखी जाये। इसके अलावा प्रशासनिक अधिकारियों को मनमाना और पक्षपाती रवैया अपनाने से रोका जाना चाहिये ताकि गरीब, कमजोर और उपेक्षित वर्ग के लोग निर्भीक होकर मताधिकार का इस्तेमाल कर सकें। सुश्री मायावती ने कहा कि बसपा उत्तर प्रदेश के साथ-साथ उत्तराखण्ड और पंजाब में विधानसभा चुनाव अपने बूते लडेगी। अपने आंदोलन को धार देने के पक्के इरादे पर डटी बसपा किसी भी दल के साथ कोई गठबंधन अथवा समझौता नहीं करेगी। उन्होंने कहा कि बसपा एक अनुशासित पार्टी है और चुनाव के दौरान आदर्श आचार संहिता का सख़्ती से पालन करती है। इस बारे में पार्टी कैडरों की एक बैठक जल्दी ही बुलायी जायेगी। इसके विपरीत भाजपा, सपा और कांग्रेस हर चुनाव में जान बूझकर आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन करती हैं। आयोग को ऐसे दलों से निपटने में काफी दुश्वारी का सामना करना पड़ता है। आयोग को ऐसा कटु अनुभव 2014 के लोकसभा चुनाव में हो चुका है। ऐसे में निर्वाचन आयोग को विशेष सावधानी बरतने की जरूरत है। 

नारे वाली सरकार चाहिये या काम करने वाली, तय करेगी जनता : अखिलेश

$
0
0
akhilesh-coment-on-modi
लखनऊ 04 जनवरी, समाजवादी पार्टी (सपा) में वर्चस्व को लेकर ‘यादव परिवार’ में छिडी रार के बीच उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने अपनी सरकार की उपलब्धियों का बखान करते हुये कहा कि अब वह समय आ गया है जब जनता को तय करना है कि लुभावने नारे देने वाली सरकार चाहिये अथवा काम के जरिये सूबे को विकास के पथ पर ले जाने वाली उनकी पार्टी को फिर से सत्ता की चाभी सौंपनी है। चुनाव का बिगुल बजने के बाद मुख्यमंत्री ने अपने पहले कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर कटाक्ष करते हुये कहा कि श्री मोदी दो बार लखनऊ आये। लोगों को उम्मीद थी कि कुछ देकर जायेंगे मगर जनता को क्या मिला सबको पता है। लोग ढूंढ रहे होंगे कि अच्छे दिन कहां है। अब तो आकलन करना होगा कि लैपटॉप किसने बांटा और डिजिटल इंडिया का नारा किसने दिया। उत्तर-प्रदेश प्रवासी दिवस 2017 सम्मेलन को संबोधित करते हुये श्री यादव ने आज यहां कहा “ मैं आपसे ऐसे दिन मिल रहा हूं जब हम जनता के बीच जाने वाले हैं। मुझे लगता है कि यह पहला चुनाव है जब लोगों ने मन बना लिया है कि किसको लेकर आना है। अगली बार सत्ता में आने पर विकास कार्यो को और गति दी जायेगी। ” उन्होने दावा किया कि 23 महीनों में इतना बड़ा एक्सप्रेस-वे बनाने वाली देश में उनकी इकलौती सरकार है। सूबे में सबसे बड़े मेट्रो रेल परियोजना पर काम चल रहा है। लखनऊ मेट्रो का काम पूरा होने वाला है। गाजियाबाद मेट्रो का काम चल रहा है और नोएडा-ग्रेटर नोएडा को जोड़ा गया। श्री यादव ने कहा कि अच्छे दिन के नारे को उनकी सरकार ने जमीन पर उतारा है। राज्य सरकार ने शहर में 24 घंटे और गांव में 18 घंटे बिजली दी। उन्होंने प्रवासी भारतीयों से कहा कि उनका भारत से गहरा रिश्ता है और उन्हे मिलकर ऐसी चीज तैयार करनी चाहिए जिससे देश के लोगों का भला हो सके।

प्रदेश में कोई भी गरीब इलाज से वंचित नहीं रहेगा : शिवराज सिंह

$
0
0
no-one-will-be-treatment-less-shivraj
उज्जैन,4 जनवरी, मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश का कोई भी गरीब इलाज से वंचित नहीं रहेगा। श्री चौहान ने आज यहां पुलिस कम्युनिटी हॉल में कहा कि प्रदेश का कोई भी गरीब इलाज से वंचित नहीं रहेंगा। पूरे प्रदेश में चिकित्सा शिविर लगाये जा रहे हैं। इन शिविरों में बाल हृदय रोगियों, श्रवण-बाधितों को कॉक्लियर इम्प्लांट, कैंसर और किडनी रोग के मरीजों की पहचान कर उनका नि:शुल्क उपचार किया जायेगा। उन्होंने यहां एक बालक मयंक व्यास का जन्म दिन मनाया और सभी बच्चों को उनके उज्ज्वल भविष्य के लिये शुभकामनाएँ भी दी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि रोगमुक्त हुए बच्चों से मिलकर उन्हें आत्मिक संतुष्टि हो रही है। उन्होंने मुख्यमंत्री बाल हृदय योजना में बड़ी संख्या में नि:शुल्क ऑपरेशन करवाने पर बधाई देते हुये कहा कि ऐसे बच्चों, जो जीवन में कभी सुन नहीं पाते, को सुनने योग्य बनाना और ऐसे बच्चों को चिन्हित करने की आवश्यकता है। उन्होंने श्रवण-बाधित बच्चों को श्रवण यंत्र भी वितरित किये। मुख्यमंत्री बाल हृदय योजना में जिले में अब तक 51 बच्चों का सफल ऑपरेशन किया गया है। इस योजना में 51 बच्चों के हृदय के ऑपरेशन पर 68 लाख 20 हजार रूपये तथा 05 बच्चों के कॉक्लियर इम्प्लांट करने पर 32 लाख 50 हजार रूपये का व्यय जिला प्रशासन एवं स्वास्थ्य विभाग ने किया है। कॉक्लियर इम्प्लांट पर प्रति बच्चे व्यय 6 लाख 50 हजार रूपये है। श्री चौहान ने यहां इन ऑपरेशनों पर आधारित सफलता की कहानी पुस्तक का विमोचन किया। उन्होंने हाल ही में मुख्यमंत्री कन्या विवाह-निकाह योजना में निकाह करने वाले नव दम्पत्ति शाइना बी एवं इरफान को आशीर्वाद दिया एवं उपहार भेंट किये। शाइना बी का निकाह मुख्यमंत्री के निर्देश पर विगत दिसम्बर माह में किया गया था। यहां प्रदेश के ऊर्जा मंत्री पारस जैन सहित वरिष्ठ नागरिक उपस्थित थे। 

शत्रुघ्न ने प्रकाशोत्सव के बेहतर व्यवस्था के लिये नीतीश की तारीफ की

$
0
0
shatrughan-sinha-appriciate-nitish-for-prakash-utsav
पटना 04 जनवरी, पूर्व केन्द्रीय मंत्री और बिहार के पटना साहिब से भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) के सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने आज प्रकाशोत्सव में आये श्रद्धालुओं के लिये बेहतर व्यवस्था किये जाने को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की प्रशंसा की हैं । श्री सिन्हा ने यहां के एतिहासिक गांधी मैदान में बने टेंट सिटी में विशेष रूप से तैयार गुरूद्वारा में मत्था टेकने के बाद पत्रकारों से बातचीत में कहा कि श्री गुरू गोविंद सिंह जी के 350 वें प्रकाशोत्सव में शामिल होने के लिये देश- विदेश से बड़ी संख्या में श्रद्धालु आये हुए हैं और की गयी व्यवस्था से काफी खुश हैं । मुख्यमंत्री श्री कुमार ने श्रद्धालुओं को किसी भी तरह की कठिनाई न हो ,इसकी पूरी व्यवस्था की है । पटना साहिब के सांसद ने कहा कि श्री कुमार ने व्यक्तिगत रूचि लेते हुए इस महान पर्व के लिये किये जा रहे व्यवस्था के सभी बिन्दुओं पर विशेष रूप से ध्यान दिया है जिसके कारण श्रद्धालुओं को किसी भी तरह की कठिनाई नहीं हो रही है । उन्होंने कहा कि खाने-पीने से लेकर ठहरने और सुरक्षा का भी पूरा ख्याल रखा गया है । श्री सिन्हा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की प्रशंसा करते हुए कहा कि केन्द्र और राज्य सरकार के बेहतर तालमेल से प्रकाशोत्सव का आयोजन काफी अच्छे तरीके से चल रहा है । उन्होंने श्री मोदी को डायनमिक नेता बताया ।

जीएसटी पर नहीं बनी बात, टल सकती है डेडलाइन

$
0
0
gst-council-fails-to-build-consensus-on-dual-coutrol
नयी दिल्ली, 04 जनवरी, वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) संग्रह के कुछ प्रावधानों पर राज्यों तथा केंद्र सरकार में सहमति नहीं बन पाने के कारण जीएसटी परिषद् की आठवीं बैठक भी विफल रही। इससे जीएसटी के इस साल 01 अप्रैल से लागू करने के सरकार के प्रयास काे धक्का लग सकता है। परिषद् की अगली बैठक 16 जनवरी से होगी। करदाताओं तथा गहरे समुद्र के रास्ते होने वाले व्यापार पर कर लगाने के अधिकार जैसे मुद्दों पर राज्यों तथा केंद्र सरकार के बीच सहमति नहीं बन पा रही है। बैठक के बाद केरल के वित्त मंत्री थॉमस आइजैक ने बताया कि जिन मुद्दों पर अभी भी सहमति नहीं बना पायी है, उनमें राज्यों को होने वाले राजस्व नुकसान की भरपाई तथा समेकित जीएसटी में राज्यों की भागीदारी शामिल है। उन्होंने कहा कि कुछ राज्य चाहते हैं कि सर्वाधिक कर स्लैब में राज्यों और केंद्र की हिस्सेदारी तीन अनुपात दो की हो जबकि वर्तमान जीएसटी प्रावधान बराबर-बराबर हिस्सेदारी का है। श्री आइजैक ने कहा “यदि हम दिन-रात एक कर दें तो 01 सितंबर तक (जीएसटी) लागू करना संभव होगा। जून या जुलाई में भी इसे लागू करने को लेकर मैं काफी आशान्वित नहीं हूँ।” परिषद् की आज समाप्त दो दिवसीय बैठक के बाद श्री जेटली ने कहा “हमें पता है कि दिक्कत कहाँ है। हम समय से होड़ लगा रहे हैं और इसीलिए हमने अगली बैठक 16 जनवरी को बुलाई है।” क्षेत्राधिकार तथा दोहरा नियंत्रण दो प्रमुख मुद्दे हैं जिन पर अभी सहमति नहीं बन पायी है।” उल्लेखनीय है कि जीएसटी परिषद् ने नयी कर व्यवस्था 01 अप्रैल 2017 से लागू करने का निर्णय लिया था। लेकिन, इससे जुड़े कानूनों के प्रारूप को अंतिम रूप नहीं दिये जाने के कारण इसके 01 अप्रैल से लागू होने की संभावना समाप्त होती जा रही है। श्री जेटली पहले ही कह चुके हैं कि 16 सितंबर 2017 तक इसे लागू करने की संवैधानिक अनिवार्यता है। उनका कहना है कि यह अप्रत्यक्ष कर है और इसलिए इसे वित्त वर्ष के बीच में भी लागू किया जा सकता है।

सपा संग चुनाव पूर्व गठबंधन के लिये कांग्रेस में संभावना बरकरार

$
0
0
possibility-of-pre-poll-alliance-in-congress-with-sp
लखनऊ 04 जनवरी, उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी (सपा) के साथ चुनाव पूर्व गठबंधन को लेकर कांग्रेस ने अब तक अपने दरवाजे खोल रखे हैं। कांग्रेस के नेता इस बारे में हालांकि खुलकर बोलने से बच रह हैं मगर पार्टी महासचिव और उत्तर प्रदेश के प्रभारी गुलाम नबी आजाद ने आज यहां पहली राज्य कार्यकारिणी की बैठक में इसके स्पष्ट संकेत दिये। श्री आजाद ने कहा “कांग्रेस भाजपा की पूरी तरह खिलाफत करती है। भाजपा को हराने के लिए 40 से 60 फीसदी सीटों का बंटवारा अन्य दलों के साथ किया जा सकता है।” उन्होंने कहा कि कल से अगले तीन दिन 36 सदस्यीय केन्द्रीय चुनाव समिति प्रत्याशियों के नाम पर मुहर लगाने के लिये लखनऊ में बैठेगी। करीब तीन घंटे तक चली कार्यकारिणी की बैठक में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष राजबब्बर समेत अन्य नेता नोटबंदी को लेकर भाजपा पर जमकर बरसे। इस दौरान सपा के साथ गठबंधन को लेकर नेता कुछ बोलने से बचते रहे। राज्यसभा सदस्य संजय सिंह ने कहा कि परिवार में जारी विवाद सपा को ले डूबेगा। पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष और राज्य चुनाव स्क्रीनिंग कमेटी के अध्यक्ष निर्मल खत्री ने कहा कि कांग्रेस को किसी गठबंधन के लिये नहीं जाना चाहिये और अपने बूते चुनाव मैदान में उतरना चाहिये। कांग्रेस अपने बूते चुनाव जीतकर सरकार बनाने में सक्षम है। दूसरी ओर कांग्रेस की मुख्यमंत्री पद की प्रत्याशी शीला दीक्षित ने नई दिल्ली में अखिलेश यादव के नेतृत्व वाली समाजवादी पार्टी के साथ नेतृत्व की वकालत की।

आरोपी नेताओं को चुनाव लड़ने से रोकने की याचिका पर होगी सुनवाई

$
0
0
नयी दिल्ली 05 जनवरी, उच्चतम न्यायालय ने गंभीर अपराधों के आरोपी राजनेताओं को चुनाव लड़ने से अमान्य कर देने संबंधी याचिका पर सुनवाई करने का आज फैसला किया। 


भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) नेता एवं अधिवक्ता अश्विनी उपाध्याय ने शीर्ष अदालत से गुहार लगायी थी कि गंभीर अापराधिक मामलों के उन आरोपी राजनेताओं को चुनाव लड़ने से अयोग्य ठहरा दिया जाना चाहिए जिनके विरुद्ध अदालतों में आरोप तय किये जा चुके हैं। 



मुख्य न्यायाधीश जगदीश केहर की अध्यक्षता वाली खंड पीठ ने इस याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा,“ हम इस मसले पर सुनवाई करेंगे।” 

श्री उपाध्याय ने अदालत से इस मामले की सुनवाई पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ से करवाने का भी अनुरोध किया । उन्होंने कहा कि चुनाव बहुत नजदीक हैं और मामले की गंभीरता को देखते हुए इस याचिका पर सुनवाई चुनावों से पहले की जानी चाहिए । 



भाजपा नेता ने अपनी याचिका पर सुनवाई जल्द से जल्द करने की मांग करते हुए कहा कि देश में कम से कम 33 प्रतिशत राजनेता ऐसे हैं जिनके विरुद्ध गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं ।

चिकित्सीय गुणों से भरपूर ‘असली हीरा’ है अलसी

$
0
0
नयी दिल्ली 05 जनवरी, चिकित्सकीय और सौंदर्यवर्धक गुणों से भरपूर अलसी कैंसर एवं अन्य घातक बीमारियों से लोहा लेने में ‘अव्वल’ रहने के कारण वैज्ञानिकों और वैद्यों की बराबरी से मनपंसद रही है। भारत, जर्मनी ,ब्रिटेन , अमेरिका आदि देशों के वैज्ञानिक अपने शोधों से अलसी के असली गुणों को ‘निखार’ कर लोगों काे लाभान्वित कर रहे हैं। 


भारत में ‘दैविक’ भोजन के ‘पद्मविभूषण’से अलंकृत अलसी सभी प्रकार के कैंसर, उच्च रक्तचाप , मधुमेह, गठिया,भूलने, दिल आदि बीमारियों में करगर तो है ही यह हमें चिर युवा बनाए रखने में भी मददगार है। 



अमेरिका के ड्यूक यूनीवर्सिटी के शोधकर्ताओं की प्रमुख वेंडी डेमार्क वह्वेनफ्राइड के अनुसार अलसी यानी फ्लेक्ससीड में मौजूद ‘ओमेगा थ्री फैटी एसिड’ और लिगनेन कोशिकाओं के अनियमित रूप से विकसित होने से रोकने में मददगार है। शोधकर्ताओं ने एक माह तक नियमित रूप से 30 ग्राम असली पाउडर को लो फैट डाइट में मिलाकर दो समूह के लोगाें को दिया। इस दौरान कैंसर ट्यूमर को आश्चर्यजनक रूप से कम होते पाया गया। 

अमेरिका के ही लोवा स्टेट यूनीविर्सिटी में हाल ही में किये गये अध्ययन में अलसी को हाई कोलेस्ट्रॉल से लोहा लेने में कारगर पाया गया है। वैज्ञानिकों के अनुसार “अगर हम प्रतिदिन अपने भोजन में कुछ मात्रा में असली पाउडर को शामिल करते हैं तो दिल के लिए खतरनाक हाई कोलेस्ट्राॅल पर दवाओं के बिना ही नियंत्रण पाया जा सकता है।

गोवा में एमजीपी ने भाजपा से समर्थन वापस लिया

$
0
0

पणजी 05 जनवरी, महाराष्ट्र गोमांतक पार्टी (एमजीपी) ने गोवा में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार से आज समर्थन वापस लेने की घोषणा की। 


गोवा के राज्यपाल मृदुला सिन्हा को एमजीपी ने पत्र लिखा है और उसकी प्रति आज यहां संवाददाताओं को भी दी गयी। एमजीपी के अध्यक्ष दीपक धावलीकर ने कहा कि पत्र में लिखा है कि “हमारी पार्टी गोवा में वर्ष 2012 में हुए विधानसभा चुनाव पूर्व भाजपा से गठबंधन किया था जिसका पालन हमने अब तक किया और चुनाव आयोग द्वारा गोवा में वर्ष 2017 में विधानसभा चुनाव की तारीख की घोषणा के बाद अब हमारा भाजपा के साथ कोई गठबंधन नहीं है। पार्टी ने आज भाजपा से गठबंधन तोड़ने का निर्णय तुरंत प्रभाव से लिया है।” 


श्री धावलीकर और उनके भाई सुदिन धावलीकर मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पार्सेकर की सरकार में हाल तक मंत्री थे लेकिन श्री पार्सेकर की आलोचना करने के कारण उन्हें पार्टी से बर्खास्त कर दिया गया था। धावलीकर बंधुओं ने श्री पार्सेकर पर आरोप लगाते हुए कहा था कि श्री पार्सेकर के नेतृत्व में राज्य का विकास दस वर्ष पीछे चला गया। इसके अलावा उन्होंने कहा कि निर्णय लेते समय श्री पार्सेकर उनकी अवहेलना करते हैं। 



धावलीकर बंधुओं की मंत्रिमंडल से बर्खास्तगी के बाद रक्षा मंत्री मनोहर पार्रिकर ने कहा था कि एमजीपी के साथ गठबंधन जारी है और आगामी चुनाव के लिए पूर्व गठबंधन के दरवाजे अभी खुले हुए हैं। उन्होंने कहा कि एमजीपी द्वारा भाजपा से समर्थन वापस लेने के बावजूद भाजपा सरकार पर कोई फर्क नहीं पड़ेगा क्योंकि भाजपा के खुद के 21 विधायक हैं तथा उन्हें कुछ अन्य निर्दलीय विधायकों का भी समर्थन प्राप्त है।

गरीब चाहते हैं शोषणमुक्त समाज बनाने में सक्रिय भागीदारी: प्रणव

$
0
0
नयी दिल्ली 05 जनवरी, राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने आज कहा कि गरीबों को राहत देने में तेजी लाए जाने की जरूरत है ताकि भूख, बेरोजगारी और शोषण मुक्त समाज बनाने के लिए किए जा रहे राष्ट्रीय प्रयासों में वे सक्रिय भागीदारी कर सकें। 

श्री मुखर्जी ने राष्ट्रपति भवन से वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए राज्यपालों और उपराज्यपालों को नये साल के संदेश में कहा कि काले धन और भ्रष्टाचार के विरुद्ध संघर्ष से अर्थव्यवस्था में कुछ समय के लिए मंदी आ सकती है। गरीबों के कष्टों को दूर करते समय अतिरिक्त सावधानी बरतनी होगी। उन्हें राहत देने में तेजी लाए जाने की जरूरत है ताकि भूख, बेरोजगारी और शोषण मुक्त समाज के लिए किए जा रहे राष्ट्रीय प्रयासों में वे सक्रिय भागीदारी कर सकें। 

उन्होंने कहा कि इस साल सात राज्यों में विधानसभा चुनाव होंगे और पांच राज्यों में चुनाव की घोषणा हो चुकी है। स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनावों ने देश के लोकतंत्र को दुनिया का एक सबसे जीवंत लोकतंत्र बनाया है। चुनाव से पता चलता है कि देश की राजनीति के प्रति लोगों का रुख क्या है और इससे उनके मूल्यों और विश्वास का भी पता लगता है। 

श्री मुखर्जी ने कहा कि राज्यपाल और उपराज्यपाल अपने संवाद और बुद्धिमत्तापूर्ण परामर्श से समाज में तनाव कम करने में सहायक हो सकते हैं। भारत जैसे बहुलवादी लोकतंत्र में विरोधी विचारों के प्रति सम्मान और धैर्य बहुत जरूरी है और इन मूल्यों को कायम रखा जाना चाहिए। राज्यपाल और उपराज्यपाल अपने राज्यों में देश की सभ्यता के बहुविध धर्म, विश्वास और संस्कृति की विविधता को लोगों के जीवन में उतारने के लिए अपनी भूमिका निभा सकते हैं। उन्होंने कहा कि राज्यपालों को अपने राज्यों में उच्च शिक्षा में सुधार लाने में भी अति महत्वपूर्ण भूमिका निभानी है। विभिन्न विश्वविद्यालयों के कुलाधिपति और अभ्यागतों के रूप में वे उच्चतर शिक्षा के संस्थानों में शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने में शैक्षिक जगत के प्रमुखों के साथ मिलकर काम कर सकते हैं ।

मार्च तक 15000 किमी सड़कों के निर्माण का ठेका : गडकरी

$
0
0
नयी दिल्ली 05 जनवरी, सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने आज कहा कि चालू वित्त वर्ष के अंत तक 15000 किलोमीटर सड़कों के निर्माण के लिए ठेके की प्रक्रिया पूरी कर दी जाएगी। 

श्री गडकरी ने यहां संवाददाताओं से कहा कि उनकी सरकार देश में ढांचागत विकास को प्राथमिकता के आधार पर पूरा कर रही है। इसके लिए उनके मंत्रालय ने मार्च 2017 तक 15 हजार किलोमीटर सड़कों पर काम शुरू करने के लिए जरूरी कार्यवाही पूरा करने का लक्ष्य तय किया था और उन्हें उम्मीद है कि यह लक्ष्य निर्धारित अवधि तक पूरा कर दिया जाएगा। 

उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने सत्ता में आने के साथ ही सड़क तथा जल परिवहन के लिए ढांचागत विकास के निर्माण को सबसे ज्यादा महत्व दिया था और उसके अनुरूप सड़क तथा नौवहन परियोजनाओं के लिए अब तक 4.5 लाख करोड़ रुपए आवंटित किए जा चुके हैं। श्री गडकरी ने कहा कि बंदरगाहों तथा आदिवासी क्षेत्रों को सड़क मार्ग से जोड़ने के लिए सरकार ने विशेष कार्यक्रम चलाए हैं और कई बंदरगाहों का आधुनिकीकरण किया जा रहा है। इसी तरह से सरकार की राष्ट्रीय राजमार्गों को सभी टोल प्लाजा पर पूरी तरह से कैशलेश बनाने की योजना है और उन्हें उम्मीद है कि मार्च तक इस दिशा में बड़ी सफलता हासिल हो जाएगी। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में चार धामों को जोड़ने की परियोजना के लिए तीन हजार करोड रुपए की 17 परियोजनाओं के लिए काम ठेके दिए जा चुके हैं। यह परियोजना 12 हजार करोड़ रुपए की है। चार धाम परियोजना 2018 तक पूरी की जानी है और उन्हें उम्मीद है कि इस परियोजना के पूरा होने से चार धाम की यात्रा करने वाले तीर्थयात्रियों को सुविधा होगी।

मुद्दाविहीन विपक्ष पराजय निकट देख बजट रोक रहा है -भाजपा

$
0
0
नयी दिल्ली 05 जनवरी, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने पांच राज्यों में विधानसभा के चुनावों के पहले बजट लाये जाने का विरोध कर रहे विपक्षी दलों को आज आड़े हाथों लिया आैर कहा कि मुद्दाविहीन और हताश विरोधी दल भाजपा की जीत सुनिश्चित समझ कर अब बजट रोकने की कोशिश कर रहे हैं। 


भाजपा के राष्ट्रीय सचिव एवं मीडिया विभाग के प्रमुख श्रीकांत शर्मा ने यहां संवाददाताओं से कहा कि विरोधी दलों को अहसास हो गया है कि पांचाें राज्यों में भाजपा की जीत सुनिश्चित है। उनका बीते ढाई साल में नकारात्मक राजनीति का इतिहास है। उनके पास आज जनता का कोई मुद्दा नहीं बचा है। निराधार और झूठे आरोपों के सहारे राजनीति करने वाले विरोधी दल अपनी पराजय निश्चित जानकर बजट काे रोकने का प्रयास कर रहे हैं । 



श्री शर्मा ने कहा कि विपक्षी दल गरीब, किसान, आम आदमी विरोधी हैं। उन्होंने कहा कि बजट लाना सरकार का संवैधानिक दायित्व है। बजट रोकने से गरीब एवं आम जनता के हिताें के लिये फैसलों को लंबित रखना कतई उचित नहीं होगा। इसलिये सरकार अपने संवैधानिक दायित्व को अवश्य पूरा करना चाहिये। उन्होंने कहा कि विधानसभा चुनावों को देखते हुए बजट में उन राज्यों से संबंधित घोषणायें अवश्य रोकी जा सकतीं हैं।
Viewing all 74302 articles
Browse latest View live




Latest Images