सितंबर 2010 में जामा मस्जिद आतंकवादी हमले के मामले में दिल्ली की एक अदालत ने इंडियन मुजाहिदीन के सह-संस्थापक यासीन भटकल और उसके साथी असादुल्ला अख्तर को जमानत देने से इनकार कर दिया। अदालत ने उनके खिलाफ जांच पूरी करने के लिए 15 दिन का समय देने की पुलिस की अर्जी को मंजूर कर लिया।
अदालत ने सितंबर 2008 में दिल्ली में हुए सीरीयल बम विस्फोटों के सिलसिले में कल भटकल और अख्तर को जमानत देने से इंकार कर दिया था। अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश दया प्रकाश ने आज भटकल और अख्तर की जमानत अर्जी खारिज कर दी। इससे पहले दिल्ली पुलिस के विशेष प्रकोष्ठ ने कहा था कि उनके खिलाफ जांच चल रही है और उन्हें तफ्तीश पूरी करने के लिए 15 दिन का वक्त और चाहिए। पुलिस ने अदालत में याचिका दाखिल कर जांच का समय बढ़ाने की मांग की थी।
भटकल और अख्तर की ओर से वकील एम एस खान ने कहा कि अदालत 25 फरवरी को जांच पूरी करने के लिए 15 दिन का वक्त पहले ही दे चुकी है और पुलिस अब फिर से समय बढ़ाने की मांग कर रही है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने भटकल और अख्तर को पिछले साल 28 अगस्त को भारत-नेपाल सीमा से गिरफ्तार किया था।