सर्वोच्च न्यायालय ने कहा है कि नामांकन के समय आपराधिक पृष्ठभूमि और शैक्षणिक योग्यता सहित अपनी संपत्ति एवं देनदारियां, पत्नी और आश्रित बच्चों के बारे में जानकारी छिपाने पर जनप्रतिनिधि की कुर्सी छिन सकती है। न्यायमूर्ति सुरिंदर सिंह निज्जर (अब सेवानिवृत्त) और न्यायमूर्ति ए. के. सीकरी ने एक हालिया फैसले में कहा है, "यदि गलत सूचना या तथ्यात्मक सूचना को दबाने का मामला होने पर यह पता चलता है कि यह असंगत स्वीकृति का मामला है तो वैसी स्थिति में बाद में भी अस्वीकृति हो सकती है।"
अदालत ने कहा कि यदि कोई प्रत्याशी आपराधिक पृष्ठभूमि, शैक्षणिक योग्यता और संपत्ति एवं देनदारियों के बारे में जानकारी के लिए दिए गए कॉलम को खाली छोड़ता है तो जांच के स्तर पर रिटर्निग अधिकारी ही नामांकन खारिज कर सकता है। लेकिन यदि कोई सूचना छिपाई गई या गलत सूचना दी गई तो अदालत में चुनाव याचिका के जरिए विस्तृत जांच के द्वारा फैसला लिया जाएगा।