पटना। पूर्व केन्द्रीय ग्रामीण विकास समिति जयराम रमेश ने कहा था कि केन्द्रीय मंत्रिपरिषद की बैठक में राष्ट्रीय भूमि सुधार नीति को मंजूरी देकर नीति को लागू कर दिया जाएगा। लगातार जन संगठन एकता परिषद के साथ दोस्ताना संबंध रखने के बावजूद भी राष्ट्रीय भूमि सुधार नीति को कानून का रूप नहीं दिलवा सकें। इसका खामियाजा यूपीए-2 सरकार को भुगतनी पड़ी।
जब राष्ट्रीय संचालन समिति के सदस्य रमेश शर्मा पटना में आए थे। तब उन्होंने पूर्ण विश्वास के साथ कहा कि आम जनता को बहुत जल्द ही राष्ट्रीय भूमि सुधार नीति मिल जाएगी। पटना में शनिवार को रमेश शर्मा आए थे। अनुग्रह नारायण सिन्हा समाज अध्ययन संस्थान में क्षेत्रीय स्तर पर आयोजित आवासीय भूमिहीनों को घर का अधिकार बिल-2013 पर परामर्श में भाग लिए। जब रमेश शर्मा से राष्ट्रीय भूमि सुधार नीति के बारे में पूछा गया। तब पूर्व केन्द्रीय ग्रामीण विकास समिति जयराम रमेश के माथे पर डालकर कहा कि उन्होंने कानून बनाने में दिलचस्पी नहीं लिए। इसके कारण यूपीए-2 सरकार रसातल में चली गयी। अभी भी यूपीए-2 सरकार के द्वारा किए गए भूमि सुधार संबंधित कार्रवाही जीर्वित है। उसे लागू करने का आग्रह मोदी सरकार से की गयी है।
इसके पहले विभिन्न प्रदेशों में आवासीय भूमिहीनों को घर का अधिकार बिल-2013 पर परामर्श करके बिल को मजबूत बनाया जा रहा है। इसे दिल्ली की बैठक में रखी जाएगी। वहीं पर निर्णय होगा कि कब बिल को मोदी सरकार को सौंपा जाए।
आलोक कुमार
बिहार