महाराज के कंधे पर बहुगुणा की राजनैतिक बंदूक!
- मुख्यमंत्री कैंप ने कुर्सी बचाने के लिए सतपाल के पक्ष में किया हस्ताक्षर अभियान
देहरादून, 10 जनवरी। उत्तराखण्ड में नेतृत्व परिवर्तन को लेकर उठी चर्चाओं के बाद अब बहुगुणा कैंप ने हस्ताक्षर अभियान चलाकर गढ़वाल सांसद सतपाल महाराज के पक्ष में लॉबिंग तेज कर दी है। इस कसरत की भनक दिल्ली दरबार तक चले जाने के बाद वहां से उन नेताओं को कड़ी फटकार लगाई गई है, जो प्रदेश में इस तरह की लॉबिंग कर कांग्रेस हाईकमान की उन कोशिशों को नाकाम करना चाहते हैं, जो कांग्रेस प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन का खाका तैयार करने के साथ-साथ आगामी लोकसभा चुनाव में विजयश्री हासिल करने का फार्मूला इजाद कर रही है। उत्तराखण्ड में नेतृत्व परिवर्तन की चर्चाएं पिछले कई महीनों से राजनीति के गलियारों में दौड़ रही हैं, वहीं इन चर्चाओं को उस वक्त और अधिक बल मिला जब कांग्रेस के उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने कई राज्यों में नेतृत्व परिवर्तन किए जाने के संकेत खुलकर दिए। तभी से माना जा रहा था कि उत्तराखण्ड के साथ-साथ कई कांग्रेस शासित राज्यों में परिवर्तन तय है। प्रदेश की कांग्रेस में नेताओं के कई गुट पहले से ही खेमेबाजी में जुटे हुए हैं और अब मुख्यमंत्री बहुगुणा ने गढ़वाल सासंद सतपाल महाराज को अपने पक्ष में करने का हस्ताक्षर अभियान जैसे ही शुरू किया, तो इसकी भनक विरोधी कैंप लगते ही वहां राजनैतिक घमासान मचना शुरू हो गया। इसी महीने विधानसभा सत्र शुरू होने से पहले बहुगुणा नाराज विधायकों को अपने पक्ष में करने के लिए हर संभव कोशिश में जुटे थे और बहुगुणा के इस मैंनेजमेंट की जिम्मेदारी खुद बहुगुणा के पुत्र सौरभ बहुगुणा एवं नरेन्द्रनगर विधायक सुबोध उनियाल के जिम्मे लगाई गई थी। इतना ही नहीं कुछ विधायकों को जो सरकार से नाराज चल रहे हैं को हैलीकाप्टर से देहरादून बुलाए जाने का खाका भी तैयार किया गया था, लेकिन विधायकों के साफ इंकार के बाद बहुगुणा का यह फार्मूला अब चलता नजर नहीं आ रहा है। वहीं मुख्यमंत्री बहुगुणा नेतृत्व परिवर्तन से पहले मुख्यमंत्री के पद पर अपने उत्तराधिकारी के रूप में गढ़वाल सांसद सतपाल महाराज को आगे कर सियासी चाल चल चुके हैं। बीते दिन गोपेश्वर में विजय बहुगुणा और सतपाल महाराज की बढ़ती नजदीकीयों को लेकर भी राजनैतिक गलियारों में तरह-तरह की चर्चाएं आम है। राजनैतिक विश्लेषकों का मानना है कि मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा द्वारा सतपाल महाराज का नाम अचानक यूं ही आगे नहीं किया गया, इसके पीछे उनकी सोची-समझी साजिश है, क्योंकि मुख्यमंत्री की कुर्सी संभालने के बाद से कुछ महीनों तक सतपाल महाराज और बहुगुणा के बीच अच्छी जुगलबंदी रही। विजय बहुगुणा और सतपाल महाराज के बीच शीतयुद्ध तब से ही जारी हो गया था, जब प्रदेश में बहुगुणा ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी और सतपाल महाराज द्वारा अपनी पत्नी को उर्जा निगम, लोक निर्माण विभाग जैसे विभाग देने के लिए दबाव बनाया गया, लेकिन बहुगुणा ने उनको पर्यटन और उद्यान विभाग देकर झुनझुना पकड़ा दिया, इसके बाद से ही इन दोनों के बीच छत्तीस का आंकड़ा हो गया। वहीं प्रदेश में आपदा के बाद राहत कार्यों को लेकर सतपाल महाराज ने अपनी ही सरकार के मुख्यमंत्री पर ढिलाई बरतने के आरोप तो लगाए ही, साथ ही उनके लोकसभा क्षेत्र में आपदा के दौरान प्रदेश सरकार द्वारा उनके मुताबिक कार्यों का न किया जाना भी दोनों के बीच खाई के रूप में महाराज के बयानों से कई बार साफ झलका है। वहीं मुख्यमंत्री की ताजपोशी के बाद सितारगंज से चुनाव लड़ने की रणनीति तय होने के चलते बहुगुणा और यशपाल आर्य के बीच चल रही गुटरगूं से भी सतपाल महाराज खासे खफा हुए थे, क्योंकि इससे पहले यशपाल आर्य के सतपाल महाराज से मधुर संबंध रहे थे। विश्लेषकों का कहना है कि विजय बहुगुणा ने जानबूझकर सतपाल महाराज का नाम इसलिए आगे किया कि उन्हें पता है कि कई गुटों में बंटी प्रदेश कांग्रेस सतपाल महाराज के नाम पर एक नहीं होगी और मुख्यमंत्री बदलने का आलाकमान का निर्णय नेताओं के आपसी द्वंद में फंसने के बाद ठंडे बस्ते में चला जाएगा, लेकिन जानकारों का मानना है कि मुख्यमंत्री का यह दांव उन पर उल्टा पड़ने वाला है। जानकारों का यह भी कहना है कि यदि कांग्रेस आलाकमान इस बार मुख्यमंत्री नहीं बदलता है, तो इससे कांग्रेस के भीतर की गुटबाजी सतह पर आकर कांग्रेस को ही खासा नुकसान पहुंचा सकती है। सूत्रों का तो यह भी दावा है कि ऐसी परिस्थिति में कांग्रेस के ऐसे कई वरिष्ठ नेता जिनकी छवि स्वच्छ व ईमानदार की है वे आप पार्टी का दामन थाम सकते हैं। इसलिए आलाकमान के लिए अब यह जरूरी हो गया है कि वह प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन कर अपनी गिरती साख को बचाने का प्रयास करे। गौरतलब हो कि उत्तराखण्ड में विजय बहुगुणा के साथ-साथ हरीश रावत और सतपाल महाराज के अपने-अपने कुनबे हैं और सभी में आपस में छत्तीस का आंकड़ा है, पार्टी आलाकमान के सामने अब सबसे बड़ी समस्या यह है कि वह किस नेता के उपर विश्वास कर उत्तराखण्ड की कमान उसको सौंपती है। ऐसे में आलाकमान के सामने यह सबसे बड़ी चुनौती होगी कि वह ऐसे नेता को मुख्यमंत्री की कुर्सी सौंपे जिस पर तीनों कुनबे सहमत हों।
उत्तराखण्ड सचिवालय कार्मिको पर लटकी हाईकोर्ट की तलवार
- प्रोन्नति में मानकों को पूरा न किए जाने का आरोप
देहरादून, 10 जनवरी। उत्तराखण्ड सचिवालय के लगभग 450 कार्मिको पर हाईकोर्ट में दर्ज एक याचिका की तलवार लटक गई है। उत्तर प्रदेश सचिवालय से राज्य निर्माण के दौरान उत्तराखण्ड आए लगभग 450 कार्मिको के प्रोन्नति को मानकों को बिना पूरा किए सहायक समीक्षा अधिकारी, समीक्षा अधिकारी, अनु सचिव, अपर सचिव, संयुक्त सचिव, टंकक, व्ययक्तिक सहायक, अवरवर्ग सहायक, सहायक लेखाकार, अनुसेवक, वाहन चालक इत्यादि के विरूद्ध सन् 2011 बैच के समीक्षाधिकारियों द्वारा उच्चतम न्यायालय नैनीताल में दर्ज की गई याचिका के जवाब में डिप्टी रजिस्ट्रार हाईकोर्ट द्वारा धर्म कुमार द्विवेदी व अन्य बनाम स्टेट ऑफ उत्तराखण्ड व अन्य पिटिशन संख्या 1997/2013(एस/एस) में निर्देश जारी किए गए हैं कि उक्त कार्मिक फरवरी माह के तीसरे सप्ताह तक इस याचिका का न्यायोचित जवाब दें। ज्ञात हो कि नौ नवम्बर 2000 को राज्य स्थापना के पश्चात् उत्तराखण्ड सचिवालय में उत्तर प्रदेश सचिवालय से विकल्प के आधार पर विभिन्न पदों पर कार्यरत लखनऊ सचिवालय से उत्तराखण्ड आए कार्मिको जिनमें 164 कार्मिक उत्तराखण्ड सचिवालय में आए और सचिवालय जैसे महत्वपूर्ण संस्थान में नवसृजित राज्य में कार्य की अधिकता को देखते हुए भी रात-दिन कार्य किया। वहीं जिलों में कार्यरत कर्मचारियों को भी सचिवालय में सम्बद्ध किया गया। जिनकी संख्या कुल मिलाकर लगभग 450 बताई गई है। सचिवालय संघ के एक शपथ ग्रहण समारोह में पूर्व मुख्यमंत्री डा. रमेश पोखरियाल निशंक द्वारा इन कार्मिको के कार्यों की भी सराहना की गई है। चूंकि सरकार द्वारा व्यवस्था के अंतर्गत इन कार्मिको का संविलियन सचिवालय सेवा में किया गया। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इनके संविलियन के विरूद्ध वर्ष 2011 में नवनियुक्त सहायक समीक्षा अधिकारी एवं समीक्षा अधिकारी के द्वारा उच्चतम न्यायालय में दायर याचिका में यह कहा गया है कि इन कार्मिको को ऑउट ऑफ टर्न प्रमोशन दिया गया, अतः इन्हें इनके पुराने पदों पर इन्हें इनके मूल विभागों में प्रत्यापित किया जाए। वर्ष 2002 की संविलियन नियमावली के आधार पर कार्मिको को उनके पैतृक विभाग में वापस भेजने की भी मांग की गई है। याचिका का विरोध करने वाले कर्मचारियों का कहना है कि याचिका दायर करने वाले इन अधिकारियों में उत्तराखण्ड से बाहर के अधिकारी प्रमुख हैं, जिनका आशय इस राज्य को उत्तर प्रदेश का उपनिवेश बनाना है और यह सच भी साबित हो रहा है कि नवनिर्मित यह राज्य उपनिवेश का गढ़ बनता ही नजर आ रहा है। वहीं उनका कहना है कि जिस अवधारणा के लिए राज्य की मांग हुई, वह पूरी होती नजर नहीं आ रही है, क्योंकि इस राज्य का निर्माण उत्तराखण्ड के पानी और जवानी को रोकने के लिए किया गया था। जिसके लिए कई जनआंदोलन हुए और इन जनआंदोलनों में इन संविलियन कार्मिको ने अधिसंख्या में राज्य आंदोलन हेतु आंदोलन में सक्रिय भागीदारी निभाई थी। इन समस्त कार्मिको का मानना है कि याचिकाकर्ताओं की अवधारणा है कि उत्तराखण्ड के अंदर उत्तराखण्ड का व्यक्ति महत्वपूर्ण पदों पर न रहे। उनका मानना है कि इससे पूर्व भी वर्ष 2004 में चयनित समीक्षा अधिकारियों में से लगभग चार-पांच ऐसे अभ्यर्थी हैं, जिनका चयन उत्तराखण्ड सचिवालय के लिए नहीं हुआ है और उच्चतम न्यायालय द्वारा उन्हंे बाहर किए जाने के बावजूद भी वे सचिवालय में पदोन्नति पाकर अनुभाग अधिकारी के रूप में आसीन है। इससे प्रतीत होता है कि उत्तराखण्ड लोक सेवा आयोग की चयन प्रक्रिया में कोई न कोई छेद है। क्योंकि जिसका चयन ही नहीं है, वह चयन सूची में कैसे शामिल हो गया। वर्ष 2011 में चयनित इन अधिकारियों के चयन पर भी प्रश्नचिन्ह लगना स्वाभाविक है। सूत्र बताते हैं कि संविलियन की प्रक्रिया को सचिवालय में कार्य संचालन हेतु कार्मिको को राज्यपाल, उच्चतम न्यायालय नैनीताल में भी शामिल किया गया है और संविलियन किया जाना राज्य सरकार का स्वाधिकार है। राज्य गठन से पूर्व उत्तर प्रदेश सचिवालय लिपिकीय वर्गीय कर्मचारी सेवानियमावली 1999 लागू थी, राज्य निर्माण के बाद भी उत्तर प्रदेश पुर्नगठन अधिनियम 2000 सुसंगत धारा के अंर्तगत उत्तराखण्ड सचिवालय में भी जारी रही। उत्तराखण्ड सरकार द्वारा अधिसूचना 226-2002 को उत्तराखण्ड सचिवालय संविलियन नियमावली बनाई गई। इन कार्मिको का कहना है कि महामहिम राज्यपाल भारत के संविधान के अनुच्छेद 209 के द्वारा अधिकार प्राप्त है कि वह शक्ति का प्रयोग करके कोई भी नियमावली प्रतिपादित एवं बना सकते हैं। इसी शक्ति का प्रयोग करते हुए उत्तर प्रदेश सचिवालय से राज्य निर्माण के दौरान उत्तराखण्ड आए लगभग 450 कार्मिको के प्रोन्नति को मानकों को बिना पूरा किए सहायक समीक्षा अधिकारी, समीक्षा अधिकारी, अनु सचिव, अपर सचिव, संयुक्त सचिव, टंकक, व्ययक्तिक सहायक, अवरवर्ग सहायक, सहायक लेखाकार, अनुसेवक, वाहन चालक इत्यादि के पदों पर संविलियन नियमावली 2002, 22 जून 2002 को अधिसूचित हुई। जिसके नियम -2 में अध्यारोही प्रभाव किसी अन्य सेवा नियमावली आदेश में दी गई किसी बात के प्रतिकूल होते हुए भी यह नियमावली प्रभावी होगी। इससे स्पष्ट है कि इन कार्मिको का संविलियन सुसंगत नियमों के तहत किया गया है। जिस पर 1999/2004 नियमावली का कोई प्रभाव नहीं पड़ता है।
विधानसभा सत्र को लेकर सर्वदलीय बैठक
- भाजपा व बसपा के नेताओं ने की सत्र की समयावधि बढ़ाने की मांग
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। विधानसभा सत्र के लिए हुई सर्वदलीय बैठक में बसपा व भाजपा ने विधानसभा सत्र को और लम्बी अवधि का किए जाने की मांग उठाई। बीएसपी सदस्यों ने कहा कि 15 जनवरी को उनकी राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक लखनऊ में आहूत की गई है, जबकि भाजपा की ओर से नेता प्रतिपक्ष अजय भट्ट ने कहा कि विधानसभा सत्र को और आगे बढ़ाया जाना चाहिए, क्योंकि संक्षिप्त सत्र में विधायकों की पूरी बात सदन में नहीं आ पा रही है। विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल ने दोनों दलों के नेताओं को कहा कि सत्र की अवधि तो नहीं बढ़ाई जा सकती, लेकन सत्र के कार्यवाही का समय अवश्य बढ़ाया जा सकता है। शुक्रवार को विधानसभा सत्र को लेकर विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल की अध्यक्षता में विधानभवन सभागार में सर्वदलीय बैठक में फिलहाल 13 जनवरी को राज्यपाल के अभिभाषण के ही कार्यक्रम को अंतिम रूप दिया जा सका है, विधानसभा के शेष कार्यक्रम के लिए 13 जनवरी को कार्य मंत्रणा समिति की बैठक में निर्णय लिया जाएगा, ऐसा कहना है विधानसभा अध्यक्ष का। सर्वदलीय बैठक शुरू होते ही बहुजन समाज पार्टी के नेता का कहना था कि 15 जनवरी को उनकी राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक लखनऊ में बुलाई गई है, लिहाजा सत्र को आगे बढ़ाया जाना चाहिए। वहीं भाजपा की ओर नेता प्रतिपक्ष अजय भट्ट ने कहा कि कांग्रेस जानबूझकर लम्बी अवधि का सत्र नहीं चलाना चाहती है, क्योंकि उसके पास विधायकों के सवालों का जवाब नहीं है और वह विधायकों के सवालों का जवाब देने से बचना चाहती है। उन्होंने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार ने आनन-फानन में लोकपाल विधेयक को लेकर यह सत्र बुलाया है और यह सरकार की मजबूरी बन गया है। उन्होंने कहा कि भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक भी इसी दौरान आहूत की गई है, लिहाजा विधानसभा सत्र की अवधि को और अधिक लम्बा किया जाना चाहिए। सभी दलों के नेताओं की बात सुनने के बाद विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल ने सभी दलों के नेताओं का विधानसभा सत्र चलाने के लिए सहयोग मांगते हुए कहा कि सदन की कार्यवाही नियमानुसार और सौहार्दपूर्ण माहौल में चलाने के लिए सभी का सहयोग जरूरी है। उन्होंने कहा कि विधानसभा सत्र की अवधि तो नहीं बढ़ाई जा सकती, लेकिन विधानसभा सत्र की कार्यवाही की अवधि जरूर बढ़ाई जा सकती है। उन्होंने बताया कि हो सकता है कि यह सत्र प्रातः 11 बजे से शुरू होकर देर रात्रि तक चले, लेकिन इस पर सभी दलों का सहयोग जरूरी है।
मुख्यमंत्री की दौड़ में शामिल तो नहीं, लेकिन दावा मेरा भी: इंदिरा
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। उत्तराखण्ड में चल रही राजनैतिक हलचलों के बीच प्रदेश की कद्दावर नेता व कैबिनेट मंत्री डा. इंदिरा हृदयेश पाठक ने कहा कि वो कोई मुख्यमंत्री की दौड़ में शामिल नहीं हैं। उन्होंने कहा कि मुझे भी समाचार पत्रों व चल रही चर्चाओं से पता चला कि मुख्यमंत्री बदला जा रहा है। शुक्रवार को यहां विधानसभा में सर्वदलीय बैठक में शामिल होने आई प्रदेश की ससंदीय कार्य मंत्री डा. इंदिरा हृदयेश पाठक ने कहा कि यदि प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन होता है तो उनका सबसे पहले दावा भी बनता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश विधानसभा में वे सबसे वरिष्ठतम सदस्य भी हैं। प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन के सवाल पर जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि वे मुख्यमंत्री पद की दौड़ में शामिल नहीं है, लेकिन मुख्यमंत्री के लिए सर्वाधिक उपयुक्त अपने को मानती हैं। इसके पीछे उनका राजनैतिक जीवन और राजनैतिक अनुभव है। उन्होंने प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन की अटकलों का जवाब देते हुए कहा कि हो सकता है कि प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन हो और यह कांग्रेस की कार्यसमिति की बैठक के बाद सम्भव होगा। उल्लेखनीय है कि 17 जनवरी को कांग्रेस का महाधिवेशन बुलाया गया है, जिसमें राहुल गांधी को प्रधानमंत्री पद के दावेदार के रूप में घोषित किया जा सकता है, वहीं इसके बाद प्रदेश में नेतृत्व परिवर्तन भी हो सकता है। वहीं कांग्रेस ने आगामी लोकसभा चुनाव की स्क्रीनिंग कमेटी का ऐलान कर दिया है, जिसके तहत राहुल गांधी के करीबी माने जाने वाले जितेन्द्र सिंह को उत्तर प्रदेश की कमान सौंपी गई है, वहीं गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे बिहार, पश्चिम बंगाल, असम, अण्डमान निकोबार, पीसी चाको दिल्ली, चड़ीगढ़, हरियाणा, पंजाब, भुवनेश्वर कुमार कलिता, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखण्ड, जम्मू कश्मीर की स्क्रीनिंग का काम देखेंगे। वहीं स्क्रीनिंग कमेटी के लिए राज्यों में वी. नारायण सामी, रेल मंत्री मल्लिकार्जुन, वायलर रवि, गुलाम नबी आजाद और आस्कर फर्नाडिस को अध्यक्ष बनाया गया है। इसके साथ ही पूर्व रेल मंत्री पवन कुमार बंसल को गुजरात व राजस्थान की स्क्रीनिंग कमेटी की कमान सौंपी गई है।
लोकसभा चुनाव के मद्देनजर आप ने की बैठक
रुद्रपुर/देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। आज देश में आम आदमी पार्टी की आयी लोकप्रियता के परिपेक्ष में मौसमी बदलाव में वाइवेरियन पक्षियों की तरह मित्र-मित्र तरह से राजनैतिक महत्वांकाक्षी लोगों का पलायान बहुत तेजी से शुरू हो चुका है। इस क्रम में पार्टी को होने वाले नफा नुकसान का आंकलन वर्तमान में करना सम्भव नहीं है। आगामी चुनाव को मद्देनजर रखते हुए प्रत्याशियों के आवेदन आन-लाईन दिये गये प्रारूप पर आमन्त्रित किये हैं। जिसमें मांगी गई जानकारी के अनुसार अपने को अनुरूप साबित करने के लिये आपराधिक प्रवति के लोग भी अपने प्रयास करने में लगे है। इस सन्दर्भ आज एक बैठक का आयोजन पार्टी के पूर्व कायार्लय व फाउन्डर प्रतिनिधि समाज सेवी डा0 मनमोहन सिंह की उपस्थिति में आयोजित की गई, जिसमें मान्यता प्राप्त पत्रकार अशोक कुमार सागर ,प्रदीप कुमार अग्रवाल, एडवोकेट सुरेश कुमार मुंजाल, ईशवर सिंह, बलवीर कौर, राजेश शर्मा, निशान सिंह, अरूण कुमार, दीपक कुमार के साथ-साथ स्वतंत्रता सैनानियों के आश्रितों, वरिष्ठ नागरिकों, पत्रकारों व कुछ सेवा निवृत कर्मचारियों एवं अधिकारियों द्वारा आयोजित की गई, साथ ही यह विचार विमर्श किया गया कि आज पार्टी अपनी ईमानदारी के चलते पूरे देश में लोकप्रिय हो चुकी है, और लोग पार्टी को पंसद भी कर रहंे है, जिससे स्पष्ठ है कि आगामी लोग सभा चुनाव मंे पार्टी और मजबूत होगी। पार्टी की लगातार बड़ रही लोकप्रियता के कारण, पार्टी कार्यकर्ता व सदस्यों के माध्यम से जानकारी मिल रही है कि पार्टी में कुछ आपराधिक प्रवृति के लोगों का भी पदारपण हो चुका है, वह बेरोजगार लोगों को कुछ लालच देकर अपने साथ जोड़कर उन्हे वेतन भुगतान कर विभिन्न विधान सभाओं में लोगों से जोड़ने का अभियान तेजी से चलाकर बांछित संख्या को पूरा करने में जुटे हैं उनमें से बहुत से कार्यकर्ता 2-3 माह पूर्व तक प्रारम्भिक सदस्य बनने में संकोच करते थे, पार्टी मंे जो आवेदन का प्रारूप दिया है उसमें विभिन्न विधानसभा क्षेत्रों में कार्यकर्ताओं की अच्छी संख्या का विवरण दिया गया है, क्योकि वही सदस्य पार्टी का सही प्रतिनिधित्व कर सकता है। वर्तमान में इस अभियान में शायद काफी तादात में इस प्रवृति के सदस्य शामिल हो जायेंगे जो अपनी-अपनी राजनैतिक महत्वकांशा रखते हो, इससे पार्टी की लोकप्रियता में भारी कमी ही नही आयेगी, वरन् राजनैतिक नुकसान का खामियाजा भी पार्टी को भुगतना पड़ेगा। कई लोग राष्ट्रीय, प्रदेशिक कार्यकारिणी में पहुंचकर अपने को एक सच्चा कार्यकर्ता साबित करने में जुड़े हैं। इन लोगों को क्षेत्र के लोगों का कितना सहयोग है इसका आकंलन भली-भॉती होना चाहिए, जो व्यक्ति दूसरी पाटियों से उपेक्षित गलत मानसिकता रखने वाले धर्मिक, राजनैतिक व प्रशासिनक लोग इस नई पार्टी में अपना-अपना प्रतिनिधित्व दिखने का प्रयास कर रहे हैं, जिसे हर किमत पर रोकना चाहिए। बैठक में उपस्थित सभी सदस्यों ने इस बात पर अपनी पूर्ण सहमति जताई। समाज सेवी डा0 मनमोहन सिंह ने बताया कि वह पूर्व में आम आदमी पार्टी को प्रेषित रिपोर्ट में हर लोकसभा क्षेत्र में एक निगरानी सेल का सुझाव दे चुके है, और बिना किसी महत्वाकांशा वाले सदस्य को अपनी सहमति दे सके व इस मिशान में अनियंत्रित तरीके से विभिन्न राजनैतिक पार्टियों, दलों की घुसपैठ को रोका जा सके, क्योकि यदि इन पार्टियों की घुसपैठ इसी क्रम में जारी रही तथा ऐसे लोगों को पार्टी का प्रतिनिधित्व ना मिला उस दशा में यह निश्चित तौर में उस समय पार्टी के लिए घातक साबित होगें। शायद यह हमारा व देश का दुर्भाग्य होगा। उन्होंने बताया कि वह स्वयं विदेश में रह रहे विद्याथियों व लोगों के सम्पर्क में है व उनसे आप का हाथ मजबूत करने का अपना प्रयत्न जारी रखे हुए है।
ईओ ने जिला प्रशासन के निर्देशों की अवहेलना
- नगर में नहीं जलवाये अलाव, जनता व व्यापारियों में रोष,
गदरपुर/देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। कपकपाती ठंड से बचाव के लिये जिलाधिकारी ने सभी नगर पालिकाओं को अलाव जलवाने के संबधिंत एसडीएम को आदेश दिये थे। लेकिन इन आदेशों के बाद भी पालिका के सिरों पर कोई जूं नहीं रेंगी। ईओ दिलीप कपूर ने पालिका कर्मियोें से लकड़ी हेतु धनराशि निकालने पर संस्तुति न देकर यह लिख दिया कि अलाव किसके आदेश पर जलाए जायेंगे। वहीं अलाव न जलने से नगर वासियों में भी काफी रोष व्याप्त है। वहीं पूर्व विधानसभा अध्यक्ष कांग्रेस सिद्धार्थ भुसरी ने अपने जारी बयान में कहा कि इतनी कपकपाती ठंड के बाद भी पालिका प्रशासन द्वारा कोेई नगर में एक भी जगह अलाव नहीं जलवाये गये है। पालिका द्वारा नगर की जनता के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। जिससे नगरवासियों को ठंड का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने शीघ्र नगर में अलाव जलवाने की मांग की है। इधर पालिकाध्यक्ष अंजू भुड्डी ने ईओ को पत्र लिखकर स्पष्टीकरण मांगा है कि प्रशासन के निर्देश के बावजूद भी नगर पालिका क्षेत्र में अलाव की व्यवस्था क्यों नहीं की गयी है। उन्होंने कहा कि उनके निर्देशों के साथ-साथ जिला प्रशासन के निर्देशों की भी ईओ द्वारा अवहेलना की जा रही है। वहीं नगर के मुख्य बाजार में अभी तक अलाव न जलाने से व्यापारियों में भी काफी रोष व्याप्त है। व्यापारियों का कहना है कि पालिका द्वारा अभी तक मुख्य बाजार के एक भी स्थान पर अलाव न जलाने से व्यापारियों व आने-जाने वाले राहगीरों को ठंड का सामना करना पड़ रहा है। व्यापारियों ने चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र ठंड के चलते पालिका द्वारा अलाव नहीं जलवाये गये तो समस्त व्यापारी पालिका के खिलाफ सड़कों पर उतरकर आंदोलन के लिये बाध्य होंगे।
छात्रों ने किया कोतवाल का घेराव
काशीपुर/देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। छात्रों पर हुए हमले के हमलावरों को गिरफ्तार न करने पर आज छात्र नेता बौखला गए। दर्जनों की संख्या में छात्र नेताओं ने कोतवाल उत्तम सिंह जिमिवाल का घेराव कर कार्यवाही की मांग की। इस दौरान कोतवाल जिमिवाल ने हमलावरों को शीघ्र गिरफ्तार किए जाने का आश्वासन दिया। सूरज काम्बोज पुत्र राकेश काम्बोज निवासी स्टेडियम के निकट ने बीती 8 जनवरी को कटोराताल चौकी में तहरीर देकर कहा था कि वह अपने चचेरे भाई विपिन काम्बोज पुत्र विजय काम्बोज के साथ चौकी के निकट ही स्थित वर्मा इंस्टीट्यूट से पढ़ाई कर अपने घर वापिस जा रहा था कि इसी दौरान बाईक पर सवार होकर आये नीझड़ा निवासी राजवीर सिंह पुत्र रतन सिंह, गुरजीत व रविन्द्र ने 15/16 अन्य लड़कों के साथ उनपर हमला बोल दिया और जमकर मारपीट करते हुए उनकी सोने की चैन लूटकर ले गये। साथ ही जान से मारने की धमकी भी दी। पुलिस ने तहरीर लेकर मामला दर्ज कर लिया। आज हमलावरों की गिरफ्तारी न होने पर गुस्साएं छात्रों ने कोतवाल जिमिवाल का घेराव कर बताया कि उक्त हमलावरों की तरफ से समझौते के लिए दबाव बनाया जा रहा है। छात्र नेताओं ने जल्द से जल्द हमलावरों की गिरफ्तारी की मांग की। मांग करने वालों में छात्र संघ सचिव शिखर खुराना, पूर्व छात्र संघ अध्यक्ष वासू शर्मा, गगन काम्बोज, चेतन अरोरा, सर्वजीत सिंह, राजीव चौधरी, प्रभात साहनी, अतुल पाण्डेय, विक्रम परिहार, सरफराज, अमित मनचंदा, दिव्य माहेश्वरी, निखिल सेतिया, पुलकीत सेठी आदि दर्जनों छात्र नेता शामिल थे।
चुनाव को लेकर कांग्रेस ने कसी कमर
रुद्रपुर/देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। आगामी लोकसभा चुनाव और पंचायत चुनाव फतह करने के मकसद से कांग्रेस की तैयारी चरम पर पहुंचने लगी है। वार्ड स्तर के साथ ही बस्तियों में भी पार्टी की नींव को मजबूत बनाने की दिशा में तेजी से काम प्रारंभ कर दिया गया। इस क्रम में संजयनगर और शास्त्रीनगर में बस्तियों के अध्यक्ष मनोनीत किए गए हैं ताकि पार्टी को और अधिक सशक्त और मजबूत बनाया जा सके। महानगर अध्यक्ष हिमांशु गाबा ने पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ गहन मंथन किया। उन्होंने पार्टी को वार्ड के साथ ही बस्ती स्तर पर मजबूत बनाने के लिए कार्यकर्ताओं से एकजुट होने का आहवान किया है। कार्यकर्ताओं संग विचार विमर्श कर संजयनगर का बस्ती अध्यक्ष का दायित्व डा. नीरज को सौंपा गया है। इसके अलावा शास्त्री नगर बस्ती का जिम्मा जफर को सौंपा गया है। पार्टी ने यह कदम आगामी त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव और लोकसभा चुनाव को देखते हुए उठाया है ताकि पार्टी और अधिक सषक्त और मजबूत बनकर उभर सके। महानगर अध्यक्ष हिमांशु गाबा ने कहा कि क्षेत्र में कांग्रेस को और अधिक मजबूत बनाने की दिशा में काम तेजी से शुरू कर दिया गया है। इसी के तहत वार्ड अध्यक्षों की तर्ज पर पार्टी ने बस्ती स्तर पर अध्यक्षों की ताजपोशी की है। उन्होंने नव मनोनीत बस्ती अध्यक्षों से पार्टी को और अधिक मजबूत बनाने की दिशा में काम करने का आहवान किया है ताकि आगामी त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में कांग्रेस अपना परचम लहरा सके। उन्होंने सभी कार्यकर्ताओं से पूर्ण मनोयोग से पार्टी को मजबूती प्रदान करने की भी अपील की। कहा कि केन्द्र सरकार की महत्वपूर्ण योजनाओं का लाभ आम जनता को मिल रहा है। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार की खाद्य सुरक्षा योजना, मनरेगा सहित तमाम योजनाएं क्रियान्वित की हैं जिसका लाभ आम जनता को मिल रहा है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस गरीबों की सच्ची हितैषी है और उनके कल्याण के लिए ही सरकार ने जन कल्याणकारी योजनाओं को धरातल पर उतारा है। महानगर अध्यक्ष हिमांशु गाबा ने जानकारी देते हुए बताया कि अभी और बस्तियों में भी पार्टी को सशक्त बनाने के लिए काम किया जाएगा और जल्द ही वहां भी बस्ती अध्यक्ष मनोनीत किए जाएंगे। इससे पूर्व संजय नगर पहुंचने पर महानगर अध्यक्ष हिमांशु गाबा का पार्टी कार्यकर्ताओं ने जोरदार स्वागत किया। इस मौके पर नामित पार्षद एवं महामंत्री राकेश वर्मा अक्कू, राजकुमार भुसरी, पप्पू, नियाज अहमद, प्रेमपाल, जमुना प्रसाद, छोटे लाल, जम्मन लाल, भूरा खां, शाकिर अली, रफीक खां, गुड्डू खां, जमील अहमद, पार्षद विकास मल्लिक, सुनील विश्वास, सतनाम सिंह, रंजीत तिवारी, पियूष सरकार, सपन राय, सत्यजीत विश्वास, बलई विश्वास, निरोद अधिकारी, भूपाल राय, परिमल विश्वास, डा. दीपक सरकार, अखिल राय, दुर्गा मल्लिक, उत्तम चौधरी सहित तमाम कार्यकर्ता मौजूद थे।
25 जनवरी 2014 को राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाया जायेगा
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। जिला निर्वाचन अधिकारी/जिलाधिकारी देहरादून बी.वी.आर.सी. पुरूषोतम ने आगामी 25 जनवरी 2014 को ’’राष्ट्रीय मतदाता दिवस’’ मनाये जाने के सम्बन्ध में जनपद के समस्त उप जिलाधिकारियों, नगर मजिस्टेªट, तहसीलदारों, निर्वाचक/सहायक निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारियों तथा जनपद के समस्त बीएलओं को निर्देश दिये कि 25 जनवरी 2014 को राष्ट्रीय मतदाता दिवस मनाया जायेगा। उन्होने कहा कि इस अवसर पर 11 बजे पूर्वाहन मतदेय स्थल, तहसील, जनपद मुख्यालय पर कार्यक्रम आयोजित किये जायेगें, कार्यक्रम में प्रत्येक तहसील पर उपजिलाधिकारी/तहसीलदार एवं मतदेय स्थल पर बी.एल.ओ द्वारा प्रथमबार मतदाता के रूप में पंजीकृत हुए 18-19 वर्ष के मतदाताओं को मतदाता प्रमाण पत्र उपलब्ध कराये जाने के साथ-2 आयोग द्वारा नियत बैज लगाकर सम्मानित करने के साथ ही राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर 100 वर्ष या इससे अधिक की आयु पूर्ण करने वाले मतदाताओं को शाल भेट किया जायेगा। उन्होने सम्बन्धित अधिकारियों/ कर्मचारियों को निर्देश दिये कि राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर आयोग द्वारा नियत ’’मतदाता हेतु प्रतिज्ञा’’ को तहसील व मतदेय स्थल पर उपस्थित नागरिकों/मतदाताओं के साथ पढा जायेगा साथ ही इस दिन तहसील व मतदेय स्थल पर पर्याप्त मात्रा में प्रारूप 6, 6क ,7 ,8 व 8क उपलब्ध रखें जाये। बीएलओ अपने क्षेत्र में व्यापक प्रचार-प्रसार करें यदि किसी परिवार का कोई सदस्य जिसका भारत में निवास हो व उसने किसी अन्य देश की नागरिकता प्राप्त नही की हो वह अपना नाम फोटोयुक्त निर्वाचक नामावली में सम्मिलित करवाना चाहता हो तो प्रारूप 6क संबन्धित निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी के कार्यालय में पासपोर्ट में अंकित निवास स्थान पर अपना फोटोयुक्त विधानसभा नामावली में सम्मिलित करवा सकते है, साथ ही प्रत्येक बीएलओ अपने क्षेत्र के सेना में कार्यरत परिवारो से सम्पर्क कर उन्हे अवगत कराये कि उनका जो सदस्य सेना में कार्यरत है उससे सम्पर्क कर प्रारूप 13च के माध्यम से आगामी प्रत्येक निर्वाचन में सैनिक सदस्य का वोट देने के लिए तत्काल च्तवगल (प्रतिनिधि) नियुक्त करा लें, जिससे आगामी चुनाव में प्रत्येक निर्वाचनों में मतदान के दिन अपना व सेना में कार्यरत अपने रिश्तेदार का वोट इवीएम (02 वोट ) मशीन में डाल सकें। उन्होने कहा कि बीएलओ अपने क्षेत्र के मतदाताओं को अपना व अपने परिवार के सदस्यों का नाम मतदाता सूची में अवश्य देखने का अनुरोध करे। प्रत्येक बीएलओ इस बात का विशेष ध्यान रखें कि जो नागरिक सेना में भर्ती है और वह वर्तमान में जनपद से बाहर कार्यरत है उसका नाम किसी भी दशा में प्रारूप 6 द्वारा फोटोयुक्त निर्वाचक नामवली में दर्ज न होने दें क्योंकि सेना में भर्ती सैनिको के नाम सर्विस मतदाता सूची में प्रारूप-2 द्वारा दर्ज किये जाते है और उन्हे वोट देने हेतु डाक मतपत्र भेजा जाता है। प्रत्येक बीएलओ विशेष ध्यान रखें कि जो मतदाता उसके क्षेत्र से शादी/नौकरी/स्थानान्तरण/मृत्यु/सेना में भर्ती या अन्य किसी कारण से शिफ्ट हो गये है उनका नाम मतदाता सूची से नियमानुसार हटवाये तथा जहां अशुद्धिया है उन्हे ठीक करवायें ताकि मतदाता सूची अद्यावधिक त्रुटिरहित हो सकें। उन्होने जनपद के समस्त उप जिलाधिकारियों को निर्देश दिये कि ’’राष्ट्रीय मतदाता दिवस’’ को तहसील मुख्यालय के अतिरिक्त विकास खण्ड मुख्यालय पर खण्ड विकास अधिकारी के माध्यम से तथा सभी कैम्पस अम्बेसडर के माध्यम से इस कार्यक्रम को अपने-2 शिक्षण संस्थानों में भी आयोजित करवाना सुनिश्चित करने के साथ ही क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों, गणमान्य नागरिकों, युवाओं, स्वंयसेवी संगठनों, नवयुवकों/महिला मंगल दलों व राजनैतिक दलों को आमंत्रित करें तथा निर्धारित शपथ भी अनिवार्य रूप से ग्रहण करवायें तथा पूरे कार्यक्रम की साफ व स्वच्छ फोटोग्राफ एंव सूक्ष्म वीडियोग्राफी भी तैयार करे। उन्होने स्पष्ट किया कि आयोग के निर्देशानुसार ’’राष्ट्रीय मतदाता दिवस’’ को सफल बनाने के लिए अपना पूर्ण सहयोग प्रदान करें, इस कार्य में किसी भी प्रकार की शिथिलता एंव लापरवाही न बरती जाये, प्रत्येक बीएलओ अपने-2 बूथ पर राष्ट्रीय मतदाता दिवस 25 जनवरी को पूर्वाहन 10 बजे से मध्यान्ह 12 बजे तक अनिवार्यतः उपस्थित रहकर उक्त कार्यक्रम के साथ ही दावे व आपत्तियां भी प्राप्त करें, सभी तहसीलदार अपने अधीनस्थ बीएलओ एंव मतदेय स्थल स्वामियों/प्राधानाचार्यों को उक्त सूचना एंव प्रत्येक बीएलओ को व्यापक प्रचार-प्रसार हेतु पोस्टर व पम्पलेट समय से देना सुनिश्चित करें तथा किसी के द्वारा किसी भी प्रकार की लापरवाही बरतने पर लोक प्रतिनिधत्व अधिनियम, 1950 की धारा 32 के तहत तत्काल आवश्यक कार्यवाही की जायेगी।
प्लास्टिक निर्मित राष्ट्रीय ध्वज न बनाये जाय, ताकि राष्ट्रीय ध्वज के अपमान न हो: जिलाधिकारी
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। जिलाधिकारी देहरादून बीवीआरसी पुरूषोतम ने अवगत करया है कि वीर सावरकर युवा संगठन उत्तरांचल द्वारा राष्ट्रीय ध्वज के दुरूपयोग के सम्बन्ध में ज्ञापन प्रस्तुत किया गया जिसमें प्लास्टिक से निर्मत राष्ट्रीय ध्वज बाजार तथा चौराहों पर बेचे जाते हैं किन्तु राष्ट्रीय समारोह के उपरान्त राष्ट्रीय ध्वज सड़क के किनारे, कूड़े व नालियों में पड़े रहते है जिससे राष्ट्रीय ध्वज का अपमान होता है, जबकि जनपद में पूर्व से ही पालीथीन के उपयोग को प्रतिबन्धित किया गया है तथा संस्था के उचित सुझाव को देखते प्लास्टिक निर्मित राष्ट्रीय ध्वज बनाने पर प्रतिबन्धित लगाया जाता है। भविष्य में प्लास्टिक निर्मित राष्ट्रीय ध्वज न बनाये जाये जिससे राष्ट्रीय ध्वज के अपमान की कोई घटना न हो।
हंस फाउंडेशन करेगा मकर सक्रांति के अवसरपर पहली भजन संध्या
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। उत्तरायण मकर सक्रांति के अवसर पर भोले जी महाराज एवं माता मंगला की प्रेरणा से हंस कल्चर संस्था द्वारा आमखाला तपोवन में पहली बार भजन एंव सांस्कृतिक संध्या का आयोजन किया जायेगा।उक्त जानकारी संस्था के संयोजक प्रदीप राणा ने देते हुए बताया कि उक्त भजन संध्या में विख्यात लोकगायिका कल्पना चौहान व युवा गायक रोहित चौहान गढ़वाल की संस्कृति पर आधारित लोक गीतों की प्रस्तुति देगें। इस अवसर पर राजेन्द्र चौहान, सोबन सिंह नेगी, महावीर खरोला, आदि उपस्थित थे।
महिला सुरक्षा पर हस्ताक्षर अभियान चलाया
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। महिला सुरक्षा पर डीएवी पीजी कॉलेज के पट्टू ग्रुप नेहस्ताक्षर अभियान चलाया। इस अभियान का उद्देश्य महिलाओं के प्रति हो रहे उत्पीड़न के खिलाफ आवाज मुखर करना है। पट्टू ग्रुप ने छात्र नेता राघव के नेतृत्व में डीएवी पीजी कॉलेज में हस्ताक्षर अभियान चलाया गया। छात्रनेता का कहना था कि सभी राजनीतिक पार्टियों व विभिन्न छात्र संगठनों को एक मंच पर आ कर महिलाओं का उत्पीड़न रोकने के लिए कदम उठाना चाहिए। महिलाओं पर हो रही उत्पीड़न के विरूद्ध कई कानून बन चुके हैं इसके बावजूद उनके साथ होने वाले अत्याचार को रोका नहीं जा सका है। छात्रों को एकजुट हो कर इसके खिलाफ आंदोलन छेड़ना चाहिए। उन्होंने कहा कि कानून के साथ-साथ जनमानस को भी इस संबंध में जागरूक होने की आवश्यकता है। कॉलेज में आयोजित इस हस्ताक्षर अभियान में जितेन्द्र कुमार रिंकू, मयंक खण्डूरी, दिव्यांशु भण्डारी, नितिन चौहान, पंकज पटवाल, गोविंद सिंह, राघव, अंकित भारद्वाज, शुभम ठाकुर, राजेश, रॉबिन पंवार, बसंत, गणेश धामी, सचिन, सलमान, अमन, मुकरम, आलोक तथा सचिन राणा सहित कई छात्र-छात्राओं ने भाग लिया।
लोनिवि कर्मचारियों ने दिया धरना
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। लोनिवि के संरचनात्मक ढांचे का पुनर्गठन करने की मांग को लेकर उत्तराखण्ड लोक निर्माण विभाग कर्मचारी महासंघ ने लोनिवि कार्यालय में धरना दिया। धरने पर बैठे लोनिवि कर्मचारियों का कहना था कि वर्तमान में लोनिवि का कार्यभार आवश्यकता से अधिक बढ़ गया है तथा कार्यालय में कार्य की अधिकता हो गयी है। अधिकतर कार्मिकों के सेवानिवृत्त हो जाने के कारण वर्तमान में स्वीकृत पदों के विरूद्ध कार्यरत संख्या काफी अधिक घट गयी है। जिसकारण मिनिस्टीरियल कार्मिकों पर कार्य का अतिरिक्त बोझ हो गया है। ऐसी स्थिति में जहां अतिरिक्त पद सृजित किये जाने चाहिए थी वहां पदों की संख्या घटा दी गयी है। महासंघ द्वारा मांग की जा रही है कि लोनिवि में संरचनात्मक ढांचे को संशोधित करते हुए मानक के अनुरूप मिनिस्टीरियल कर्मियों, वाहन चालकों, कनिष्ठ अभियंता, मानचित्रकार के पद सृजित किये जायें। जारी शासनादेशों में प्रतिनियुक्ति, आउट सोर्सिंग की व्यवस्था समाप्त करते हुए संवर्ग के अंतर्गत ही पद स्वीकृत किये जायें। चतुर्थ श्रेणी, वाहन चालक के पदोन्नति के लिए निर्धारित 50 प्रतिशत कोटे के अंतर्गत शीघ्र पदोन्नतियां की जाये। नवसृजित कार्यालयों में मिनिस्टीरियल संवर्ग के पद तब तक न भरे जायें जब तक अतिरिक्त पद सृजित न हो जाये। धरने पर बैठने वालों में सुनील दत्त कोठारी, पंचत सिंह बिष्ट, महावीर सिंह तोमर व अनंत राम शर्मा आदि शामिल थे।
पीडब्ल्यूडी के मुख्य अभियंता कार्यालय पर पर गरजे भाजपाई
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। भाजपा कार्यकर्ताओं ने पीडब्ल्यूडी के मुख्य अभियंता कार्यालय पर शहर की टूटी फूटी सड़कों को ठीक करने सहित अनेक मांगों को लेकर प्रदर्शन करते हुए धरना दिया और इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि विभाग की अर्कमण्यता के कारण आज विकास कार्य पूर्ण रूप से ठप्प पडे हुए है और सडकों का निर्माण नहीं किया जा रहा है जिससे लोगों को परेशानियों का सामना करना पड रहा है। यहां भाजपा के कार्यकर्ता कैंट विधायक हरबंस कपूर के नेतृत्व में पीडब्ल्यूडी के मुख्य अभियंता कार्यालय में पहंुचे और वहां पर प्रदर्शन करते हुए धरना दिया। इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि पूर्व में लगातार धरने प्रदर्शन के बाद विभाग के मुख्य अभियंता ने आश्वासन दिया था लेकिन आज भी शहर की सड़कें टूटी फूटी है और उन सडकों को बनाया नहीं जा रहा है। वक्ताओं ने कहा कि भाजपा जीएमएस मंडल कैंट विधानसभा क्षेत्र में पिछले काफी समय से लोनिवि के निकम्मेपन की वजह से बदहाल सडकों के खिलाफ लगातार संघर्ष एवं जागरूकता अभियान छेडे हुए है और इस बारे में कई बार विभाग को अवगत कराया गया लेकिन आज समस्या जस की तस बनी हुई है। उनका कहना है कि विभाग में व्याप्त कमीशनखोरी एवं भ्रष्टाचार के कारण स्वीकृत कार्य दो वर्ष बीतने के बाद भी पूरे नहीं किये गये है, विभाग में बडे पैमाने पर व्याप्त भ्रष्टाचार व कमीशनखोरी के कारण न तो उच्च अध्किारियों का छोटे अधिकारियों पर अंकुश है और न ही ठेकेदारों पर किसी भी प्रकार का कोई अंकुश है जिस कारण जो सडकें दस वर्ष तक चलनी चाहिए थी वह अब मात्र कुछ ही महीनों में ही क्षतिग्रस्त हो जाती है। उनका कहना है कि एस्टीमेंट बनाते समय सडकों के ढलान एवं पानी निकासी का ध्यान नहीं रखा जाता है जिस कारण बरसात आने पर सडकें तालाब बन जाती है इसका भी विशेष रूप से ध्यान रखा जाना चाहिए। उनका कहना है कि स्वीकृत एवं अधूरे कार्य को तत्काल किये जाने की आवश्यकता है और कार्य पूरे होने के बाद हुई क्षतिग्रसत सडकों को ठीक किया जाये तथा दोषी अधिकारियों के खिलाफ त्वरित कार्यवाही की जाये, उनका कहना है कि दोषी ठेकेदारों से क्षतिपूर्ति की कर्यवाही की जाये तथा ऐसे ठेकेदारों को काली सूची में डाला जाये अन्यथा सडकों पर उतरकर आंदोलन किया जायेगा। इस दौरान धरने में विधायक हरबंस कपूर, पूर्व मंत्री प्रकाश पंत, विनोद शर्मा, विनय गोयल, आदित्य चौहान, विकास कुमार, रमजान अली, अमिता सिंह, नंदिनी शर्मा, सचिन गुप्ता, सुनील उनियाल गामा, संजय गुप्ता, अरूण गोयल, मंजीत, मीरा कठैत, शारदा गुप्ता, हरीश कोहली, भजराम सहित अनेक कार्यकर्ता मौजूद थे।
एबीवीपी ने किया डीएवी पीजी कालेज विश्वविद्यालय बनाये जाने के विरोध
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। डीएवी पीजी कालेज को तीन महाविद्यालयों को मिलाकर प्राइवेट विश्वविद्यालय बनाये जाने के विरोध में एबीवीपी ने कालेज परिसर में प्रदर्शन करते हुए गढवाल विश्वविद्यालय एवं दयानंद शिक्षण संस्थान के खिलाफ जमकर प्रदर्शन करते हुए धरना दिया। इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि शीघ्र ही इस मामले पर कार्यवाही नहीं की गई तो आंदोलन किया जायेगा। यहां एबीवीपी के कार्यकर्ता व छात्र डीबीएस कालेज परिसर में इकठठा हुए और वहां उन्होंने जमकर प्रदर्शन करते हुए धरना दिया। इस दौरान वक्ताआंे ने कहा कि राज्य में पहले से ही कई विश्वविद्यालय है और इस प्रकार से अनावश्यक रूप से विश्वविद्यालय नहीं खोला जाना चाहिए, यह कालेज हित में नहीं है और इसका पुरजोर विरोध किया जायेगा। वक्ताओं का कहना है कि राज्य में 26 विश्वविद्यालय पहले से ही है और जिसमें दो सेंट्रल यूनिवर्सिटी, 16 अन्य, आठ स्टेट व आठ प्राईवेट व डीम्ड विश्वविद्यालय अस्तित्व में है, और अब एक नये विश्वविद्यालय की शुरूआत करने की साजिश डीएवी कालेज प्रबंध तंत्र रच रहा है, जिसे किसी भी दशा में पूरा नहीं होने दिया जायेगा, इसका लगातार विरोध किया जायेगा। उनका कहना है कि कालेज प्रबंधन तंत्र यूनिवर्सिटी खोलने के नाम पर छात्रों का उत्पीडन कर रहा है और सेल्फ फाइनेंस के नाम पर वसूली भी की जायेगी। कि डीएवी कालेज, डीबीएस कालेज तथा डीडब्ल्यूटी कालेज को मिलाकर एक प्राइवेट विश्वविद्यालय का प्रस्ताव मैनेजमेंट के द्वारा शासन को दिया गया है जिसमें इन तीनों महाविद्यालयों को मिलाकर एक प्राइवेट विश्वविद्यालय का निर्माण किये जाने की योजना है जिसका पुरजोर विरोध किया जायेगा। उनका कहना है कि इस प्रकार के प्रस्ताव के लिए जनादंदोलन किया जायेगा। उनका कहना है कि निजी स्वार्थों की पूति के लिए एवं अपने पक्ष को ही ध्यान में रखा गया है व छात्र हितों को अनदेखा किया जा रहा है जिसे किसी भी दशा में स्वीकार नहीं किया जायेगा। वक्ताओं का कहना है कि मैनेंजमेंट महाविद्यालय को सैल्फ फाइनेंस कराने के पक्ष में है जिससे उत्तराखंड का गरीब छात्र अपने आप को ठगा सा महसूस करेगा। उनका कहना है कि छात्र हितों को ध्यान में रखते हुए तत्काल इस प्रस्ताव को खारिज करे और इस संबंध में छात्र हितों को ध्यान में रखते हुए यदि कार्यवाही नहीं की गई तो आर पार की लडाई लडी जायेगी। धरने में प्रदीप कुमार, संकेत नौटियाल, सुदीप थापा, विनय रावत, सागर भटट, संदीप ध्ीमान, आशीष सिंह, विजय सिंह, मोहन, दिनेश जोशी, गौतम, रोहन आदि मौजूद थे।
20 डंपर सीज
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। अब ओवर लोडिंग से अपने नुकसान की भरपाई करने की तरकीब खनन तस्करों ने निकाल ली है। पूरे प्रदेश में ओवर लोडिंग का ध्ंाधा जोर शोरसे चल रहा है। जहां एक तरफ पूरे प्रदेश में अवैध खनन के खिलाफ एंटी माइनिंग फोर्स ने अभियान छेड़ा हुआ है वहंी दून पुलिस ने भी गुरूवार को ओवर लोड के खिलाफ पूरी रात अभियान चलाया और बीस डंपर सीज किए गए। पटेलनगर थाना क्षेत्र में पुलिस की इस कार्रवाई से कई डंपर आधे रास्ते से ही वापस मुड कर भाग गए जबकि बीस डंपरों के खिलाफ कार्रवाई की गयी है। पुलिस अधिकारियों के अनुसार अन्य थाना क्षेत्रंो मंे भी इस प्रकार की कार्रवाई तेजी से की जाएगी। प्रदेश भर में अवैध खनन से जहां एक और खुलेआम लूट की जा रही है वहीं ओवरलोडिंग से भी सरकार को मोटा चूना लगाया जा रहा है। राज्य की एंटी माईनिंग फोर्स ने कल हरिद्वार में अवैध खनन के खेल में पुलिस एवं वन विभाग की सांठगांठ का भांडाफोड़ किया था। उत्तराखंड से बड़ी मात्रा में अवैध तरीके से चार सौ से अधिक डंपर उत्तर प्रदेश जाते हैं जिनसे वनकर्मी एवं पुलिस प्रति गाड़ी सुविधा शुल्क वसूल रहे थे। एंटी माईनिंग फोर्स के छापे के बाद यह सारा घालमेल सामने आया है। उधर न केवल अवैध खनन से बल्कि अब ओवर लोडिंग से भी खनन में सरकार को मोटा चूना लगाया जा रहा है। सीमित मात्रा के रवन्नों में खननकर्मियांे की मिलीभगत से तय सीमा से अधिक माल डंपरों मंे भरा जा रहा है। नदियों से सैटिंग-गैटिंग के खेल के ओवर लोडिंग अब खनन का नया खेल बन रही है। पटैलनगर पुलिस ने गुरूवार कल रात शिमला बाईपास पर ओवर लोडिंग के खिलाफ अभियान शुरू किया तो पुलिस की भी आंखे फटी रह गयीं। जिस संख्या से ओवर लोडिंग के डंपर इस मार्ग में आ रहे थे उससे साफ हो गया था कि महज ओवर लोडिंग से ही सरकार को अब तक कितने करोड़ांे का चूना लगाया जा चुका होगा। पूरी रात कार्रवाई के दौरान कुल बीस डंपर सीज किए गए जबकि चालीस से अधिक अन्य बडे लोडिंग वाहनांे की चैकिंग की गयी। बताया जा रहा है कि सीज किए गए यह सभी डंपर यमुना एवं पौंटा से खनिज लेकर निकले थे, लेकिन नदी से ही शुरू होने वाले इस फर्जीवाड़े को पूरे रास्ते कहीं रोका नहीं गया। उधर रात ग्यारह बजे से शुरू हुए इस अभियान को सुबह पांच बजे तक चलाया गया। कुछ डंपर तो जरूर पुलिस की कार्रवाई का शिकार बने लेकिन बताते हैं कि कुछ ही देर में डंपर संचालकों के नेटवर्क ने इस चैकिंग की सूचना अपने ड्राईवरों तक पहुंचा दी जिससे मार्ग में लगे डंपर अन्य दूसरे रास्तांे से रफूचक्कर हो गए। पूरे प्रदेश में अवैध खनन का खेल पूरे जोर-शोर से चल रहा है। एंटी माईनिंग फोर्स ने जिस प्रकार से अब तक कार्रवाई की है उससे सहज ही समझा जा सकता है कि अब खनन के इस खेल में क्या चल रहा था और सरकार को क्या हासिल हो रहा था।
राहुल को पीएम कैंडिडेट बनाने को जुटी महिला कांग्रेस
देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाने को लेकर महिला कांग्रेस पूरी तरह से जुट गयी है। इस हेतु महिला कांग्रेस द्वारा बकायदा प्रदेश स्तर से प्रस्ताव तक मांगे जा रहे है। आगामी 17 जनवरी को अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के प्रस्तावित सम्मेलन को मद्देनजर रखते हुए महिला कांग्रेस द्वारा राहुल को पीएम कैडिडेट बनाने के लिए प्रस्ताव पेश करने की कवायद को मूर्तरूप देना शुरू कर दिया है। अपनी इसी कवायद के तहत महिला कांग्रेस द्वारा प्रदेश स्तर पर प्रस्ताव तक मांगे जा रहे है, जिसके तहत उत्तराखंड महिला कांग्रेस द्वारा भी राहुल को पीएम कैंडिडेट बनाने के लिए प्रस्ताव पारित कर पत्र आला नेताआंे को प्रेषित कर दिया गया है। पार्टी सूत्रों के मुताबिक उत्तराखंड महिला कांग्रेस कमेटी की प्रदेश अध्यक्ष सरोजनी कैन्त्यूरा द्वारा प्रेषित किये गये पत्र में कहा गया है कि महिला कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष, प्रदेश पदाधिकारी, जिला, नगर, ब्लाक, वार्ड अध्यक्ष तथा महिला कांग्रेस के समस्त कार्यकर्ता सर्वसम्मति से यह प्रस्ताव पारित करते है कि आगामी लोकसभा चुनाव-2014 को दृष्टिगत रखते हुए अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष राहुल गांधी को कांग्रेस पार्टी की ओर से प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया जाएगा। इस बाबत महिला कांग्रेस की अध्यक्ष सरोजनी कैन्त्यूरा ने आज खबर से बातचीत के दौरान इस बात को स्वीकारा कि राहुल को पीएम कैंडिडेट घोषित करने के लिए उत्तराखंड महिला कांग्रेस द्वारा एक प्रस्ताव पार्टी के आला नेताओं को प्रेषित किया गया है। गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव सहित अन्य कई मुद्दो को लेकर कांग्रेस का आगामी 17 जनवरी को दिल्ली में अखिल भारतीय कांग्रेस समिति का सम्मेलन होने जा रहा है। बीजेपी ने जहां लोकसभा चुनाव के लिए अपने प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के रूप में नरेन्द्र मोदी के नाम की घोषणा इस साल सितम्बर में ही कर दी थी, वहीं इस बात की आलोचना हो रही थी कि कांग्रेस अपना उम्मीदवार घोषित करने से कतरा रही है। सरकार और कांग्रेस के बड़े नेता राहुल को पीएम पद का उम्मीदवार बनाने की बात कह चुके हैं, फिर भी पार्टी के नेताओं में दुविधा बरकरार है। मगर एक बात तय है कि १७ जनवरी की एआईसीसी की बैठक में राहुल को पीएम उम्मीदवार बनाने की मांग कार्यकर्ता से लेकर छोटे बड़े नेता मंच से उठा सकते हैं।
अमृता ने किया महिला छात्रावास का शिलान्यास
देहरादून//देहरादून, 10 जनवरी (राजेन्द्र जोशी)। महिलाओं की सुरक्षा हमारी सरकार की प्राथमिकता है और इस दिशा में कामकाजी महिला छात्रावास का शिलान्यास एक महत्वपूर्ण कदम है। यह बात प्रदेश की मंत्री महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास मंत्री अमृता रावत ने बहादराबाद, हरिद्वार में इंदिरा प्रियदर्शिनी कामकाजी महिला छात्रावास का शिलान्यास करते हुई कही। इसके साथ ही उन्होंने तीन आंगनबाड़ी केंद्रों अकोड़ा खुर्द, डांडापट्टी एवं अवधीपुर का लोकार्पण भी किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि इस छात्रावास का शिलान्यास हरिद्वार की कामकाजी महिलाओं के लिए नववर्ष का तोहफा है जिसके लिए उन्होंने मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा का भी आभार व्यक्त किया। उन्होंने बताया कि इस छात्रावास में १५० कमरों का निर्माण किया जाएगा जिसमें हर कमरे में दो-दो महिलाएं रहेंगी। अतिथियों के लिए अलग से कमरों का निर्माण किया जाएगा साथ ही सुरक्षा का पूरा प्रबंध किया जाएगा। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड के भूकंप जोन में होने के इस छात्रावास का निर्माण भूकंपरोधी तकनीक से किया जाएगा तथा इसका निर्माण कार्य जल्द से जल्द पूर्ण कर लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि देहरादून एवं हरिद्वार के बाद रूद्रपुर में भी इसी प्रकार कामकाजी महिलाओं के लिए छात्रावास का निर्माण जल्द ही किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सरकार ने आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों का मानदेय १००० रूपये एवं सहायिकाओं का मानदेय ५०० रूपये बढ़ा दिया है साथ ही सी.डी.पी.ओ. का ग्रेड पे ५४०० रूपये तथा कार्यक्रम अधिकारी का ग्रेड पे ६६०० रूपये कर दिया गया है जिसका शासनादेश १० दिनों के अन्दर जारी कर दिया जाएगा। इस अवसर पर विधायक ज्वालापुर चन्द्रशेखर ने कामकाजी महिलाओं के लिए छात्रावास के शिलान्यास को एक सराहनीय पहल बताया एवं अपर सचिव, महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास निधि मणि त्रिपाठी छात्रावास के निर्माण की मंजूरी के लिए मंत्री जी का आभार व्यक्त किया। मुख्य विकास अधिकारी वी.एस. धानिक ने इस अवसर पर कहा कि सरकार ने हरिद्वार जनपद के अंदर १ वर्ष में हर घर में शौचालय बनाने का संकल्प लिया है। साथ ही उन्होंने आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों से इस विषय पर लोगों को जागरूक करने का अनुरोध किया। कार्यक्रम के अंत में मंत्रीजी द्वारा गर्भवती महिलाओं एवं ७ माह से ३ साल तक के बच्चों को माँ राजराजेश्वरी अनुपूरक पोषाहार योजना के तहत पोषाहार वितरण किया गया। कार्यक्रम में पूर्व महिला आयोग उत्तराखण्ड की अध्यक्ष संतोष चौहान, प्रदेश अध्यक्ष कांग्रेस दीप जखमोला, सुशांत पाल, तेलूराम प्रधान सहित अनेक गणमान्य लोग उपस्थित थे।