- किसान, सीनियर सिटीजन, युवाओं, शिक्षा व स्वास्थ्य पर रहा विशेष नजर
- सेवाकर या अन्यकर में किसी तरह की कोई वृद्धि न होने से चिकित्सक से लेकर उद्यमी तक महसूस कर रहे राहत
- बनारसी बुनकरों को 50 करोड़ मिलने से गदगद
- सारनाथ, गया व वाराणसी के बीच बनेगा बौद्ध सर्किट
- हर कमजोर तबकों को मुहैया होगा सस्ता चावल-गेहूं
- निवेश के लिए एक ही डीमैट एकाउंट और एक ही केवाईसी का प्राविधान
- गंगा घाटों की सफाई के लिए मिला 10 करोड़
- पूर्वांचल में बनेगा एम्स, काशी होगी स्मार्ट सीटी
- इलाहाबाद से हंडिया तक बनेगा जलमार्ग, चलेगा पानी का जहाज
- वाराणसी वाया जौनपुर-सुल्तानपुर मार्ग होगा फोरलेन
देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से अच्छे दिनों की उम्मीद लगाई जनता को वित मंत्री अरुण जेटली ने अपने बजट आम आदमी, उद्यमी सहित अन्य तबके को कोई खास राहत नहीं देने वाला। मगर बजट में किसान, सीनियर सीटीजन, युवाओं, शिक्षा, उच्च शिक्षा व स्वास्थ्य खासकर सेवाकर या अन्यकर में किसी तरह की कोई वृद्धि न करने सहित आधारभूत व मूलभूत सुविधाओं का जो प्राविधान किया है, उससे कहा जा सकता है- ये टेलर है, पिक्चर तो अभी बाकी है। मतलब साफ है- महंगाई, बेरोजगारी व व्याप्त भ्रष्टाचार का हवाला देकर, अच्छे दिन आने वाले है, का जो सपना मोदी ने दिखाया, जेटली ने उसकी झलक अपने बजट में दे दी है। बजट में बनारस सहित कई धार्मिक स्थलों को पर्यटक स्थल का दर्जा देने का विशेष ध्यान रखा गया है।
मंदी के दौर से गुजर रहे बुनकरों को 50 करोड़ व हथकरघा क्षेत्र प्रोत्साहन के लिए व्यापार सुविधा केन्द्र बनाने का प्राविधान, गंगा घाटों की सफाई के लिए 10 करोड़, पूर्वांचल में एम्स की स्थापना, बनारस को स्मार्ट सीटी बनाने, सारनाथ, गया व वाराणसी के बीच बौद्ध सर्किट बनाने, हर कमजोर तबकों को सस्ता चावल-गेहूं मुहैया कराने व निवेश के लिए एक ही डीमैट एकाउंट और एक ही केवाईसी का प्राविधान, इलाहाबाद से हंडिया तक जलमार्ग बनाकर पानी का जहाज चलाने, वाराणसी वाया जौनपुर-सुल्तानपुर मार्ग को फोरलेन करने, बालिकाओं व महिलाओं की सुरक्षा सहित अन्य सुविधाएं मुहैया कराने की घोषणा से कहा जा सकता है कि पूर्वांचल में अब अच्छे दिन आने वाले है। गांव-गांव में ई-क्रांति लाने के लिए डिजिटल इंडिया कार्यक्रम के तहत 500 करोड़ की मंजूरी, महंगाई पर काबू पाने के लिए पहली बार किसी सरकार ने 500 करोड़ की फंड का प्राविधान किया है, जो आम आदमी के हित में होगा। गंगा को बचाने के लिए नमामि गंगा प्रोजेक्ट के लिए 2037 करोड़ का प्रस्ताव का प्राविधान वादे को पूरा करने की कोशिश की गयी है।
आर्थिक विशेषज्ञ केपी दुबे की मानें तो बजट सराहनीय है। मोदी के सपनों को पूरा करने के लिए अरुण जेटली का बजट सराहनीय है। सरकार वेतनभोगी और आम आदमी को राहत देते हुए व्यक्तिगत आयकर में छूट की सीमा को 50 हजार रुपये से बढ़ाकर ढाई लाख रुपये कर दी है। वरिष्ठ नागरिकों की भ्ज्ञी आयकर छूट की सीमा को ढाई लाख से बढ़ाकर 3 लाख कर दिया गया है। इसके अलावा मकान खरीदने के वास्ते लिया जाने वाले ऋण पर ब्याज छूट को डेढ़ लाख से बढ़ाकर दो लाख रुपये कर दिया गया है। रोजगारपरक कौशल विकास का स्किल इंडिया कार्यक्रम से बेरोजगारों को काफी लाभ होगा। सिगरेट, तंबाकू, गुटका, पान मशाला, कास्मेटिक, कोल्ड डिंक, बोतल बंद जूस, रेडीमेड कपड़ों को महंगा व रोजमर्रा की जरुरतों की चीजें खाद्य तेल, साबून, सामान्य टीवी, स्टेनलेस स्टील के सामान, वायु व सौर उर्जा उपकरण, मोबाइल-कंप्यूटर उपकरण, गाडियां, डिब्बाबंद खाना आदि सस्ता करना आम आदमी के लिए लाभकारी है।
स्मार्ट कार्ड पर लगने वाला शुल्क कम होंगे। यूपी आर्गेनिक फूड विकास के लिए 100 करोड़ का प्राविधान, दिल्ली में बिजली-पानी के लिए 700 करोड़ का प्रस्ताव, महिला खिलाडि़यों के प्रशिक्षण के लिए 100 करोड, विस्थापित कश्मीरीयों के लिए 500 करोड, 5 टूरिस्ट सर्किटों के लिए 500 करोड़, ठप पड़े सेज फिर से शुरु करने, किसानों को 7 प्रतिशत की दर ऋण, 8500 किमी नेशनल हाईवे निर्माण के लिए 3700 करोड़, हर परिवार को दो बैंक एकाउंट खोलने का प्रस्ताव, वार मेमोरियल के लिए 100 करोड, नेशलन पुलिस मेमोरियल के लिए 50 करोड, 16 नए बंदरगाह, थर्मल पावर के लिए 100 करोड, गंगा जलमार्ग विकास के लिए 4200 करोड़ व 6 साल में गंगा विकास मार्ग को पूरा करने, कोयला उत्पादन बढ़ाने, देशभर में 24 घंटे बिजली देने, किसानों के लिए कर्ज योजना को आसान बनाने, कृषि ऋण के लिए 8 लाख करोड़, मदरसों के लिए 100 करोड़, महंगाई घटाने के लिए खुला बाजार योजना व इससे निपटने के लिए 500 करोड़, किसान टीवी चैनल की शुरु करने के लिए 100 करोड़, 100 स्मार्ट सीटी बनाने, मिट्टी हेल्थ कार्ड के लिए 100 करोड़, दिल्ली में हस्तकला एकेडमी बनाने, 100 शहरों के विकास के लिए 7060 करोड, 100 करोड की लागत से वन बंधु योजना की शुरुवात, गावों की शहरीकरण के लिए श्यामा प्रसाद मुखर्जी योजना, बैंकों को और जवाबदेह बनाने, बेटी पढाओं-बेटी बचाओं योजना के तहत 100 करोड, प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना शुरु करने, एससी योजनाओं के लिए 500 करोड, 12 सरकारी मेडिकल कालेजों का प्राविधान, 4 नए एम्स का प्रस्ताव, सुशासन के लिए 100 करोड, लखनउ व अहमदाबाद तक के लिए मेटो परियोजना का प्रस्ताव, अनुसूचित जाति कल्याण के लिए 50548 करोड, मदन मोहन मालवीय के नाम से नई शिक्षा योजना, स्वच्छ पानी पीने के लिए 3600 करोड, सभी बड़े शहरों में मेटो सेवा शुरु करने की घोषणा स्वागत योग्य है।
--सुरेश गांधी--