धोती पहने एक न्यायाधीश को चेन्नई के एक क्लब में प्रवेश न दिए जाने के बाद तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जे.जयललिता ने बुधवार को कहा कि क्लबों को तमिल संस्कृति के खिलाफ जाने से रोकने के लिए एक उचित कानून लाया जाएगा। जयललिता ने कहा कि राज्य विधानसभा में इसी सत्र में कानून पारित कराया जाएगा, जिसमें तमिल संस्कृति के खिलाफ जाने वाले क्लबों का लाइसेंस रद्द कर दिया जाएगा।
तमिलनाडु क्रिकेट एसोसिएशन (टीएनसीए) क्लब ने 11 जुलाई को मद्रास उच्च न्यायालय के न्यायाधीश डी.हरिपरंतामन और दो वरिष्ठ वकीलों को धोती पहने होने के कारण प्रवेश से रोक दिया था। वे क्लब में पुस्तक विमोचन कार्यक्रम में हिस्सा लेने आए थे। मुख्यमंत्री ने इस घटना पर टीएनसीए क्लब की निंदा की और कहा कि धोती पहने लोगों को क्लब के अंदर न जाने देना तमिल सभ्यता और संस्कृति का अपमान है। "यह तानाशाही है।"
जयललिता ने इस बात पर चुटकी ली कि पहले भी इस तरह के मामले प्रकाश में आए और विधानसभा में भी उठा, लेकिन पिछली द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) की सरकार ने कोई कदम नहीं उठाया। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर टीएनसीए क्लब को एक नोटिस जारी किया जाएगा।