नयी दिल्ली 02 दिसंबर, पूर्व केंद्रीय मंत्री कुमारी सैलजा की गुजरात के एक मंदिर में जाति पूछे जाने को लेकर बिजली मंत्री पीयूष गोयल के बयान पर कांग्रेस के हंगामे के कारण आज राज्यसभा की कार्यवाही कई बार बाधित हुयी और अपराह्न साढे तीन बजे तक काेई कामकाज नहीं हो सका तथा इस विवाद का अंतत: कोई हल नहीं निकल पाया। इस मुद्दे पर उप सभापति पी जे कुरियन के कक्ष में सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच कई दौर की बातचीत चली लेकिन जब इसका कोई समाधान नहीं निकला तो दोनो पक्ष के सदस्य सदन में तमिलनाडु में हुयी भारी बारिश से उत्पन्न स्थिति पर चर्चा कराने के लिए सहमत हो गये और इसके बाद अपराह्न साढे तीन बजे सदन की कार्यवाही शुरू हो सकी। श्री कुरियन ने सदन को सूचित किया कि अभी तक यह मामला लंबित है और कल इस संबंध में सभापति अंतिम निर्णय लेंगे।
सुबह में सदन की कार्यवाही जब शुरू हुयी तो वित्त मंत्री अरूण जेटली ने सुश्री सैलजा के सोमवार को दिये गये बयान को उदृ़घत करते हुये कहा कि उन्होंने द्वारिका के मंदिर की आगन्तुक पुस्तिका में प्रशंसा की है। तब सुश्री सैलजा ने कहा कि उन्होंने अपने बयान में उस मंदिर का नहीं बल्कि दूसरे मंदिर का जिक्र किया था। इसी दौरान श्री गोयल ने कहा कि कहा कि सदस्या ने मनगठंत तरीके से समस्या खड़ी कर रहीं है। इस पर कांग्रेस सदस्य आसन के समक्ष आ गये और “दलित महिला का अपमान बंद करो” के नारे लगाने लगे । इसी समय भारतीय जनता पार्टी के सदस्य भी अपनी सीट के निकट खड़े हो गये और जोर-जोर से बोलने लगे। इसके बाद सदन में हंगामे की स्थिति बनी रही और सदन की कार्यवाही लगातार स्थगित होती रही। इसी दौरान दोहपर दो बजे के बाद हंगामे के बीच ही श्री कुरियन ने सदन और विपक्ष के नेताआें के साथ अपने कक्ष में मामले को सुलझाने के लिए बातचीत की और इस दौरान सुबह से लेकर अपराह्न साढे तीन बजे तक कुल मिलाकर सात बार कार्यवाही स्थगित की गयी।