पटना। आप क्या कहेंगे। आवंटन राशि भेजे नहीं और वित्त विभाग ने 15 मार्च तक ही कोषागारों में बिल जमा लेने की अंतिम तिथि निर्धारित की है, वहीं निगरानी विभाग ने राज्य के सभी कोषागारों पर पैनी नजर रखने के लिए अधिकारियों की टीम गठित कर दी है।
खैर, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राज्यकर्मियों को चुनाव एलान के पूर्व ही खुश कर दिए। आंदोलन करने के दरम्यान आंदोलनकारियों को अवरूद्ध राशि देने का फैसला कर दिए। मगर सरकारी तंत्र की विफलता के कारण आवंटित राशि कोषागार तक ही नहीं पहुंच पायी है। फलतः राज्यकर्मियों के बीच में संशय की स्थिति बन गयी है। इसको लेकर अब राज्यकर्मी कहने लगे हैं कि अगर यूंहि चलता रहा तो निश्चय ही होली बदरंग हो ही जाएगा।
जानकारी के अनुसार राज्यकर्मी आवंटन के अभाव में माह दिसम्बर 2013 से ही वेतनादि से महरूम हैं। किसी बैंक से कर्ज लेने वाले राज्यकर्मियों को बैंक से लगातार एसएमएस आने लगा है। एसएमएस आने से लोग परेशान होने लगे हैं। सरकार के पास नियमित कार्य करते हैं और सरकार के पास से नियमित वेतनादि नहीं मिल पा रहा है। इसके कारण बैंक लेने वालों को बैंक को अधिक व्याज देना पड़ेगा।
बताते चले कि मार्च में वित्तीय वर्ष 2013-14 का समापन होना है। वित्तीय वर्ष के समापन के पूर्व ही सरकार मार्च लूट रोकने के लिए कोषागार को बंद करा देती है। तो इस हाल में वेतनादि निकालने में दिक्कत निश्चित ही है। हालांकि विभाग के कर्मचारी वेतनादि बनाकर दुरूस्त कर रखे हैं। आवंटन आते ही सरासर एडवाइस को कोषागार में भेज दिया जाएगा। सरासर भेजने से कोषागार और बैंक पर कार्यभार पड़ जाएगा। तक मार्च के अंत तक वेतनादि मिलना मुश्किल जान पड़ता है।
पटना के जिलाधिकारी डा. एन सरवण कुमार और सिविल सर्जन डॉ.केके मिश्र से आग्रह किया गया है कि जल्द से जल्द अघतन वेतनादि वितरण करने की व्यवस्था करें।
आलोक कुमार
बिहार