प्रदेश में फिर होगा स्टार वाॅर,तीन विधानसभा सीटों के उपचुनाव का दंगल होगा साक्षी
देहरादून, 5 जुलाई (राजेन्द्र जोशी)।लोकसभा चुनावा 2014 के बाद एक बार फिर प्रदेश की जनता नेताओं के स्टार वाॅर की साक्षी बनने के लिए तैयार है। प्रदेश की तीन खाली विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनाव को जीतने के लिए कांग्रेस और बीजेपी ने पूरी ताकत झांेक दी है। दोनो पार्टियों ने इस चुनाव में जनता को रिझाने के लिए अपने स्टाॅलवर्ट और स्टार नेताओं की सूची जारी की है। कांग्रेस ने जहां पिछले दिनों लगभग 40 लोगों की सूची जारी की थी जिसमें बीमार मुख्यमंत्री समेत अन्य केन्द्रीय नेताओं के नाम भी शामिल है। अब कांग्रेस की सूची के दो दिन बाद उप-चुनावों में भाजपा ने भी कांग्रेस के बराबर ४० स्टार प्रचारकों की सूची जारी कर दी है। सितारों की सूची में भारी भरकम नामों की भरमार है। प्रधानमंत्री, गृहमंत्री के अलावा आधा दर्जन केंद्रीय मंत्री के नाम भी सूची में शामिल हैं। भाजपा कार्यालय से मिली जानकारी के मुताबिक पार्टी में भीष्मपितामह की स्थिति में पहुंच गए पूर्व उप-प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष व केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह के अलावा केंद्रीय मंत्रियों में सुषमा स्वराज, अरुण जेटली, वैंकया नायडू, नितिन गड़करी, थावरचंद गहलौत, उमा भारती, राधा मोहन सिंह, स्मृति ईरानी चुनाव प्रचार में आएंगे। इसके अलावा वरिष्ठ नेता मुरली मनोहर जोशी, अनंत कुमार, जगतप्रकाश नड्डा, अमित शाह, रामलाल, सौदान सिंह, मुख्तार अब्बास नकवी, शाहनवाज हुसैन, नवजोत सिंह सिद्धू, पूर्व सीएम बीसी खंडूड़ी, भगत सिंह कोश्यारी, रमेश पोखरियाल निशंक, प्रदेश अध्यक्ष तीरथ सिंह रावत, नेता प्रतिपक्ष अजय भट्ट, प्रदेश उपाध्यक्ष मदन कौशिक, सतपाल महाराज, पूर्व अध्यक्ष बची सिंह रावत, बिशन सिंह चुफाल, मनोहरकांत ध्यानी, प्रदेस महामंत्री प्रकाश पंत व नरेश बंसल, सांसद तरुण विजय, अजय टम्टा, रानी राज्यलक्ष्मी शाह केअलावा सुरेश जोशी, हरबंश कपूर व केदार जोशी के नाम भी शामिल है। वहीं अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी द्वारा उत्तराखण्ड राज्य की तीन विधानसभा क्षेत्रों मे होने वाले उपचुनाव हेतु स्टार प्रचारकों की सूची जारी की गई है। अखिल भारतीय कांगे्रस कमेटी के कोषाध्यक्ष श्री मोतीलाल बोरा की ओर से जारी पत्र में 40 स्टार प्रचारकों की सूची प्रदेश कांग्रेस कमेटी को भेजी गई है। कांग्रेस पार्टी के स्टार प्रचारकों में प्रदेश प्रभारी अम्बिका सोनी, मुख्यमंत्री हरीश रावत, पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा, प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय सहित प्रकाश जोशी, संजय कपूर, डाॅ0 इन्दिरा हृदयेश श्री यशपाल आर्य, डाॅ0 हरक सिह रावत, प्रीतम ंिसह, दिनेश अग्रवाल, सुरेन्द्र सिंह नेगी, महेन्द्र ंिसह महरा, महेन्द्र ंिसह पाल, प्रदीप टम्टा, शूरवीर सिंह सजवाण, नवप्रभात, राजेेन्द्र भण्डारी, गणेश गोदियाल, मयूख महर, मदन बिष्ट, सुबोध उनियाल, हरीश धामी, डाॅ0 जीतराम, सरिता आर्य, हेमेश खर्कवाल, ललित फस्र्वाण, मनोज तिवारी, नारायण राम आर्य, शैला रानी रावत, तिलकराज बेहड, रणजीत ंिसह रावत, जोत सिंह घुनसोला, सरोजनी कैन्तूरा, भुवन कापडी, रामविलास रावत, सुमित्र भुल्लर, गगन रजवार, करण महरा तथा प्रयाग भट्ट शामिल हैं।
हाईप्रोफाइल सेक्स रैकेट का भंडाफोड़
देहरादून,5 जुलाई(निस)। उत्तराखंड पुलिस ने हल्द्वानी में हाई प्रोफाइल सेक्स रैकेट का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने शनिवार को रामनगर रोड पर चल रहे इस हाई प्रोफाइल सेक्स रैकेट का खुलासा किया। इस सेक्स रैकेट का खुलासा करने के बाद पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है। काफी समय से पुलिस को हल्द्वानी में सक्रीय सेक्स रैकेट की सूचना मिल रही थी। पुलिस की ह्यूमन ट्रैफिकिंग सेल ने छापामारी कर एक दलाल सहित लखनऊ, दिल्ली, मुरादाबाद और उत्तराखंड की छह लड़कियों को बरामद किया है। शनिवार को पुलिस की ह्यूमन ट्रैफिकिंग सेल के खुलासे के बाद हड़कंप मच गया है। अरेस्ट की गई लड़कियों में एक नाबालिग है।
इसके साथ ही बताया गया कि गिरफ्तार की गई लड़कियों में दो लड़कियां लखनऊ, एक पिथौरागढ़, एक धारचूला, एक दिल्ली और एक मुरादाबाद की है। पुलिस ने बताया कि इस हाईप्रोफाइल रैकेट के कनेक्शन खंगाले जा रहे हैं। जांच के जरिए उत्तराखंड में चल रहे अन्य सेक्स रैकेटों का खुलासा भी हो सकता है।
सूचना अधिकार पर सेमिनार आयोजित
नैनीताल, 5 जुलाई(निस)। उत्तराखण्ड प्रशासन अकादमी में राज्य सूचना आयोग एवं डीओपीटी भारत सरकार के संयुक्त तत्वाधान में एक दिवसीय सूचना का अधिकार अधिनियम विषयक सेमिनार का आयोजन हुआ। सेमिनार का शुभारम्भ पूर्व मुख्य सूचना आयुक्त डा0 आर.एस. टोलिया द्वारा दीप प्रजवल्लित कर किया गया। एक दिवसीय सेमिनार में आरटीआई के संबंध में विषय विशेषज्ञों द्वारा विभिन्न पहलुओुं पर चर्चा की गयी तथा आरटीआई एक्ट के संबंध में डाटा प्रजेन्टेंशन के माध्यम से प्रतिभागियों को विशेष जानकारी दी गयी। सेमिनार में प्रतिभाग कर रहे अधिकारियों की शंकाओं का समाधान भी किया गया। सेमिनार केा सम्बोधित करते हुये डा0 टोलिया ने कहा कि सूचना का अधिकार अधिनियम 15 जून 2005 को आंशिक रूप से तथा 12 अक्टूबर 2005 से समग्ररूप से जम्मूकश्मीर को छोड़कर पूरे देश में प्रभावी है। इस अधिनियम के अन्तर्गत भारत के समस्त नागरिकों को सूचना का अधिकार प्राप्त है। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में भी सूचना का अधिकार लागू हूये लगभग 09 वर्ष पूर्ण हो चुके हैं। इस अधिनियम से जनसाधारण में सूचनायें हासिल करने के प्रति जागरूकता बढ़ी है तथा विभागों तथा सरकार की कार्यप्रणाली में पारदर्शिता उजागर होने लगी है वहीं लोंगों को आरटीआई के माध्यम से अपने कार्यो को सुगमतापूर्वक संपन्न कराया जा रहा है। उन्होंने कहा कि आरटीआई सुशासन की दिशा में एक महत्वपूर्ण शस्त्र के रूप में सामने आया है जिसका मुख्य उद्देंश्य राज्य के कार्यो में पारदर्शिता एवं जनसहभागिता सुनिश्चित करना है। उन्होंने कहा कि कोई भी नागरिक निर्धारित शुल्क के साथ लिखित रूप में आवेदन करके किसी भी भाषा में इलैक्ट्रानिक तकनीकों के माध्यम से जिसमें आवदेन किया जा रहा है सूचना हेतु अनुरोध कर सकता है। सेमिनार में आरटीआई कार्यकर्ता डा0नदीमउद्दीन, डा0 चारूचन्द्र ढौंडियाल, डा0 एनके0गर्ग, डा0 देवराज मिश्रा, डा0 भारत सिंह, डा0 भगवती प्रसाद पुरोहित, डा0 प्रशात कुमार सिंह, डा0 एम0पी0शर्मा, डा0 डी0वी0सिंह, डा0 एस0एस0 धपोला, डा0 रंजना साह, सविता कर्नाटक, सुरेश चन्द्र भट्ट, आरके0पांडे, डा0 एन0के0जोशी, तथा डा0 अंजना शर्मा, ने आरटीआई कि विभिन्न आयामों पर व्याख्यान दिये। सेमिनार में बड़ी संख्या में कुमाऊ मण्डल के विभिन्न जनपदों के प्रशासनिक अधिकारियों ने हिस्सा लिया।
पाॅलीथीन व कूड़ा-कचरा हटवाने के निर्देश
नैनीताल, 5 जुलाई(निस)। पर्यावरण में जहर घोलने वाली पाॅलीथिन से मानवजाति के साथ ही पूरा प्राणाी वर्ग प्रभावित हुआ है। सरोवर नगरी के साथ ही जिला नैनीताल के अन्य कस्बों में पाॅलीथिन का इस कदर प्रयोग हो रहा है कि नदी-नालांे-झीलों का अस्तित्व खतरे में पड़ गया है वहीं पाॅलीथिन के प्रचलन से अनेकों संक्रामक बिमारियों ने भी घेर रखा है, तथा सरोवर नगरी की सुन्दरता में भी पाॅलीथिन एक बदनुमा दाग है। एक जनहित याचिका के संदर्भ में माननीय उच्च न्यायालय द्वारा दिये गये आदेशों का जनसाधारण ने स्वागत किया है। माननीय उच्च न्यायालय ने स्थानीय प्रशासन को आदेशित किया है कि शहर की सुन्दरता को बरकरार रखने के लिये आगामी 15 जुलाई से नैनीताल शहर के अलावा जिले के तमाम कस्बों में पाॅलीथिन को तत्काल प्रतिबन्धित कर दिया जाय। माननीय उच्च न्यायालय के आदेशों के क्रम में आयुक्त कुमाऊ मण्डल अवनेन्द्र सिंह नयाल ने कहा है कि 15 जुलाई से पाॅलीथिन का प्रयोग पूणतः निषिद्ध रहेगा। उन्होंने कहा कि नैनीताल शहर के अलावा किसी भी स्थान पर या किसी भी शहर में पाॅलीथिन का प्रयोग करता पाया जायेगा तो मौके पर ही उसको पाॅच सौ रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया जायेगा। आयुक्त ने सभी नगरपालिकाओं, नगर पंचायता के तथा नगरनिगमों के अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे एक विशेष अभियान चलाकर गली, मोहल्लों, नालों, गधेरों, झीलों, झीलों, सार्वजनिक स्थानों से पाॅलीथिन के साथ ही अन्य कूड़ा कचरा हटवाने की कार्यवाही सुनिश्चित करें। उन्होंने जनसाधारण से भी अपील है कि वे शहरों की सुन्दरता एवं पर्यावरण की सुरक्षा के लिये पाॅलीथिन संस्कृति का प्ररित्याग करें तथा केैनवास, जूट व सूती थैलों का प्रयोग करें। शहरों को सुन्दर बनाये रखने में स्थानीय प्रशासन को अपना सहयोग दें। यह शहर आपका और हमसबका हैं, इसकी सुन्दरता बनाये रखना हम सबका नैतिक दायित्व है।
एफ.डी कराने के नाम पर लाखों की धोखाधड़ी
देहरादून, 5 जुलाई(निस)। एफ.डी कराने के नाम पर बैंककर्मी ने लाखों रूपये क धोखाधड़ी कर दी। इस धोखाधड़ी की जानकारी मिलने के बाद बैंक प्रबन्धक की ओर से थाने में मुकदमा दर्ज कराया गया है। मामला कैंट थाना क्षेत्र का है। जहंा एसबीआई की आईएमए शाखा की मुख्य प्रबन्धक संगीता जालान की ओर से कैंट थाने में बैंक के पूर्व कर्मी मंगलसिंह पंवार पुत्र सोबत सिंह निवासी पण्डितवाड़ी के खिलाफ बैंक में नौकरी के दौरान 27 लाख 94 हजार 550 रूपये की धोखाधड़ी करने का मुकदमा दर्ज कराया है। बैंक की मुख्य प्रबन्धक ने पुलिस को बताया कि मंगल सिंह पंवार ने बैंक में नौकरी के दौरान 2006 से 2013 तक कई लोगो से एफ.डी कराने के नाम पर लाखों रूपये लिये तथा उसने लोगों को इस एफ.डी के कागज भी दिये पर वह पैसे मंगल सिंह ने बैंक में जमा नहीं करवाया। 2013 में जब मंगल सिंह रिटायर्ड हो गया तो तब बैंक को इसकी जानकारी मिली। बताया जा रहा है कि मंगल सिंह का पता भी गलत है। पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
जला पंचायत सदस्य हेमा पुरोहित ने कांग्रेस छोडी
देहरादून, 5 जुलाई(निस)। मियांवाला से जिला पंचायत सदस्य हेमा पुरोहित ने निर्दलीय जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए तैयारी करने की बात कही है। उनके साथ ही कांग्रेस के अन्य सदस्यों ने भी पार्टी से इस्तीफा दे दिया है। शनिवार को परेड ग्राउण्ड स्थित एक रेस्टोरेंट में पत्रकारों से वार्ता करते हुए जिला पंचायत सदस्य मियांवाला हेमा पुरोहित ने कहा कि उन्होंने इस सीट से दोबारा अच्छे मार्जन से जीत हासिल की है। हालांकि उन्हें हरवाने के लिए कांगे्रस के कुछ नेताओं ने लामबद्ध हो कर उनके खिलाफ और भाजपा प्रत्याशी के समर्थन कांग्रेस से इस्तीफा दिया। इस बारे में क्षेत्रीय विधायक और अन्य नेताओं को सबकुछ पता था लेकिन उन्होंने इस ओर से आंखे मंूद ली क्योंकि वे स्वयं नहीं चाहते थे कि वहां से भाजपा प्रत्याशी के अलावा और कोई जीते। पुरोहित ने कहा कि कांग्रेस विधायक के प्रतिनिधि ने भाजपा के बैनर तले भाजपा प्रत्याशी के लिए वोट मांगे और घर-घर जा कर उनके साथ मीटिंग की। इसके बावजूद जीत उन्हीं को हासिल हुई। उन्होंने बताया कि वे कांग्रेस हाईकमान को अपना इस्तीफा भेज रही हैं। इसके साथ ही उन्होंने निर्दलीय जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए तैयारी करने की बात भी कही है। उनके साथ क्षेत्र पंचायत सदस्य नथुवावाला प्रीति उनियाल, प्रवीण पुरोहित, विकास पुरोहित, राकेश नौटियाल, पूनम पुरोहित, मनीष राणा, नरेन्द्र कार्की, अजयपंवार, त्रिलोक कार्की, साधूराम यादव, जयसिंह राणा ने भी कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया है।
सांगवान की जमानत अर्जी कोर्ट ने की खारिज
देहरादून, 5 जुलाई(निस)। सहस्त्रधारा रोड स्थित जाॅय पार्क की महिला कर्मी के यौन उत्पीड़न के आरोपी व जाॅय पार्क के स्वामी प्रदीप सांगवान की जमानत अर्जी कोर्ट ने खारिज कर दी है। पर्यटक स्थल सहस्त्रधारा स्थित एम्यूजमेंट पार्क की एक महिला कर्मचारी ने वहां के मालिक कांग्रेसी नेता प्रदीप सांगवान पर यौन शोषण का आरोप लगाते हुए उनके खिलाफ राजपुर थान ेमें मुकदमा दर्ज कराया था। सांगवान की गिरफ्तारी के लिए जब दून पुलिस पर दबाव बढ़ता गया तो पुलिस ने उसके खिलाफ कार्यवाही करने की बजाय आरोप लगाने वाली युवती पर जांच को फोकस कर दायरा आगे बढ़ाया। उस पर संदेह होने पर जांच हुई तो वह स्वयं ब्लैकमेलिंग में पकड़ी गयी। जिसके बाद युवती और उसके साथी को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। वहीं सांगवान ने कोर्ट में अर्जी डाली थी जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने 02 जुलाई को फैसला दिया था कि सांगवान को 15 दिनों तक गिरफ्तारी में संरक्षण मिलेगा। सांगवान को तीन दिन के भीतर देहरादून की अदालत में जमानत अर्जी डालने का समय भी दिया गया था। जिस पर प्रदीप सांगवान ने दून की अदालत में जमानत के लिए अर्जी डाली थी। आज सीजेएम-3कोर्ट में उसकी जमानत अर्जी पर सुनवाई हुई। कोर्ट ने जमानत अर्जी खारिज कर दी। इस दौरान प्रदीप सांगवान स्वयं कोर्ट में मौजूद था।
अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के चुनाव 13 जुलाई से पहले कराने की मांग
देहरादून, 5 जुलाई(निस)। जिला पंचायत सदस्य लाडपुर ने प्रदेश में पंचायतों के गठन को लेकर गंभीर लापरवाही बरते जाने और संवैधानिक संकट को देखते हुए तत्काल प्रभाव से जिला पंचायत अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के चुनाव 13 जुलाई से पहले कराने की मांग राज्यपाल से की है। शनिवार को ईसी रोड स्थित एक होटल में पत्रकारों से वार्ता करते हुए जिला पंचायत सदस्य सुभाष शर्मा ने कहा कि उन्होंने राज्यपाल को अवगत कराया है कि पिछली जिला पंचायत का कार्यकाल समाप्त होने के बाद सरकार ने जिला पंचायतों में जनप्रतिनिधियों के स्थान पर प्रशासक नियुक्त कर दिये थे। 13 अप्रैल 2014 तक भी सरकर ने पंचायत चुनाव कराने में गंभीरता नहीं दिखाई जिस कारण समय पर जिला पंचायतों का गठन नहीं हो पाया। उन्होंने कहा कि इस दौरान सरकार ने प्रशासकों का कार्यकाल एक माह के लिए बढ़ा दिया लेकिन इस दौरान सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका पर यह सूचित किया गया कि 29 जून 2014 तक जिला पंचायतों का गठन विधिवत् करलिया जायेगा। प्रशासकों का कार्यकाल 13 जुलाई को समाप्त हो रहै और इसे अब किसी भी परिस्थिति में आगे नहीं बढ़ाया जा सकता है। इसके बावजूद सरकार पंचायतों के अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के चुनाव कराने में गंभीर नहीं है और इसे अगस्त माह तक टालना चाहती है। उन्होंने कहा कि जिला पंचायतों के विधिवत् गठन न होने से गंभीर संवैधनिक संकट पैदा हो जायेगा और जिला पंचायतों का अस्तित्व ही समाप्त हो जायेगा। उन्होंने कहा कि इस तरह से सरकार व जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा एक आपराधिक षड़यंत्र रचा जा रहा है। उन्होंने राज्यपाल से अनुरोध किया है कि वे तत्काल प्रभाव से हस्तक्षेप कर 13 जुलाई 2014 से पहले अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के चुनाव कराने के लिए राज्य सरकार को निर्देशित करने की मांग की है।
एमडीडीए की कार्यवाही गैरकानूनी: प्रेमचंद
- वैडिंग प्वाईट संचालकों को मिली राहत
देहरादून, 5 जुलाई(निस)। नैनीताल हाईकोर्ट में मसूरी देहरा विकास प्राधिकरण को झटका देते हुए सीलिंग की कार्यवाही को अवैध घोषित करते हुए उसे तत्काल बंद करने के आदेश दिए हैं। हाईकोर्ट ने भी माना है कि एमडीडीए द्वारा की जा रही है कार्यवाही पूरी तरह से गैर कानूनी है। अदालत के इस आदेश के बाद वैडिंग प्वाइंट स्वामियों को बड़ी राहत मिली है। हरिद्वार रोड़ स्थित एक होटल में वरिष्ठ अधिवक्ता पे्रमचंद्र शर्मा ने कहा है कि एमडीडीए द्वारा राजधानी के वैडिंग प्वाइंट के खिलाफ की जा रही सीलिंग की कार्यवाही को नैनीताल हाईकोर्ट ने अवैध घोषित किया है। उन्होंने कहा कि एमडीडीए के अधिकारी राजधानी के वैडिंग प्वाइंट स्वामियों नव निर्माण भवनो ंके मालिकों को डरा धमका कर पैसे वसूली कर रहे हैं और एक मंत्री पर कार्यवाही करने का दबाव बताकर लोगों का उत्पीड़न कर रहे है। अधिवक्ता प्रेमचंद्र शर्मा ने कहा है कि प्रदेश में ऊड़ा कानून 05 अप्रैल 2013 से लागू हो गया है जिसका पूर्ण नाम उत्तराखण्ड नगर है, ग्राम नियोजन तथा विकास (संशोधन) विधेयक 2013 लागू हो गया। इस कानून की तहत एमडीडीए को इस प्रकार की कार्यवाही करने का कोई अधिकार नहीं है लेकिन एमडीडी के अधिकारी इस कानून को छुपाकर अवैध रूप से कार्यवाही कर रहे हैं। उन्होंने कहा है कि नैनीताल उच्च न्यायालय में विमल ठाकुर द्वारा एक जनहित याचिका दायर की गई थी जिसमें संविधान में 73 व 74 संशोधन के तहत नगर पालिका, नगर निगम आदि को मानचित्र पास करने सहित कई अधिकार दिए जाने की बात कही गई थी। अधिवक्ता प्रेमचंद्र शर्मा ने कहा कि इस जनहित याचिका का हवाला देते हुए वैडिंग प्वाइंट खिलाफ की गई सीलिंग की कार्यवाही नैनीताल हाईकोर्ट में याचिका दायर की गई थी जिस पर अदालत ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद आदेश दिए हैं कि एमडीडीए द्वारा की सीलिंग की कार्यवाही गैर कानूनी है और प्राधिकरण को इस प्रकार की कार्यवाही करने को कोई भी अधिकार नहीं है।
अनशन पर बैठी महिला को कराया अस्पताल में भर्ती, छुट्टी
- एसएसपी के आदेश पर हुई थी कार्यवाही
हरिद्वार 5 जुलाई(निस)। सरकारी भूमि पर हो रहे अवैध कब्जे को रूकवाने के लिये मध्य हरिद्वार के हनुमान मंदिर पर तीन दिन से भूख हड़ताल पर बैठी शिवसेना महिला मोर्चा की शहर प्रमुख शोभा पाहवा को वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के आदेश पर ज्वालापुर के कोतवाल ने अनशन स्थल से उठाकर राजकीय जिला चिकित्सालय में भर्ती करा दिया जहां से आज दोपहर बाद उनको छुट्टी दे दी गई। शिवसेना जिला प्रमुख अशोक कुमार शर्मा ने बताया कि तीन दिन से भूख हड़ताल पर बैठी शोभा पाहवा की देर रात्रि अचानक तबियत खराब हो गयी जिनका जिला चिकित्सालय की महिला एवं पुरूष चिकित्सकों की टीम ने परीक्षण किया तथा स्वास्थ्य में अत्यधिक गिरावट को देखते हुए उन्हें अनशन स्थल से उठाकर जिला चिकित्सालय में भर्ती करा दिया तथा फोर्स फीडिंग एवं ग्लूकोज इत्यादि देने के बाद आज अपराहन उनको घर भेज दिया गया। विदित हो कि गत दिवस शिव सेना के दूसरे गुट ने अनशन स्थल पर तोड़ फोड़ कर गाली गलौच एवं जान से मारने की धमकी दी थी जिसकी रिपोर्ट दर्ज करने के लिये वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एवं प्रभारी निरीक्षक ज्वालापुर को प्रार्थना पत्र दिया गया था। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने गुण्डागर्दी करने वालों के विरूद्ध सख्त कार्यकारी करने का आश्वासन दिया तथा यह भी आश्वासन दिया कि कहीं खाली पड़ी सरकारी जमीन पर किसी को भी अवैध कब्जा नहीं करने दिया जायेगा तथा धर्म के नाम पर सरकारी भूमि कब्जाने वालों के विरूद्ध कड़ी कानूनी कार्यवाही की जायेगी।
सनातन धर्म का अपमान करने वालों को बक्शा नहीं जायेगा: पायलट बाबा
हरिद्वार 5 जुलाई(निस)। स्वामी पायलट बाबा जी महाराज ने कहा है कि सनातन धर्म का अपमान करने की छूट किसी को नहीं दी जायेगी और सांई बाबा सबका मालिक एक बताकर सनातन धर्म के 33 करोड़ देवताओं एवं श्रीहरि के अवतारों का अपमान कर रहे है। सांई भक्तों को अपना प्रपंच स्वयं बन्द कर देना चाहिये अन्यथा संत समाज को इसे रोकने के लिये प्रयास करने होगें। वे आज जगजीतपुर रोड स्थित महायोगी पायलट बाबा आश्रम में गुरू पूर्णिमा के अवसर पर 9 से 14 जुलाई तक होने वाले धार्मिक कार्यक्रमों की आयोजन समिति की बैठक को संबोधित कर रहे थे। जगद्गुरू शंकराचार्य को शंकर का स्वरूप बताते हुए उन्होंने कहा कि धर्म के सर्वोच्च पद पर बैठे शंकराचार्य का अपमान सहन नहीं कर सकता संत समाज और देश का समस्त संत समाज उनके साथ है। सांई भक्तों पर सनातन धर्म के अनुयायियों की भावनायें भड़काने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि सांई बाबा संत या फकीर हो सकते हैं लेकिन उनकी प्रतिमाओं को मंदिर में स्थापित कर भगवान की भांति नहीं पूजा जा सकता। महामण्डलेश्वर साध्वी चेतना गिरी ने सांई बाबा की टांग उठाकर बैठने की मुद्रा को दोषपूर्ण बताते हुए कहा कि सनातन धर्म में टांग उठाकर बैठना निषिद्ध है जिस व्यक्ति की बैठने की मुद्रा दोषपूर्ण हो उसकी पूजा कदापि नहीं करनी चाहिये। उन्होंने सभी सनातन धर्म प्रेमियों को धर्मान्धता एवं चमत्कारों के चुंगल से ऊपर उठकर केवल शास्त्र सम्मत पूजा करने का आवाहन किया। पायलट बाबा आश्रम के प्रवक्ता स्वामी प्रेमानंद गिरी ने बताया कि गुरू पूर्णिमा पर आयोजित होने वाले कार्यक्रमों में श्री गुरू दत्तात्रेय की मूर्ति प्राण प्रतिष्ठा हेतु 9 जुलाई से गुरू दत्तात्रेय महायज्ञ तथा शिवमहापुराण कथा का आयोजन होगा जो 13 जुलाई तक चलेगा इसी अवधि में 9 जुलाई को कुमारी अर्चना द्वारा भरतनाट्यम, 12 जुलाई को भजन गायक अनूप जलोटा की भजन संध्या, तथा 13 जुलाई को सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन होगा। प्रमुख कार्यक्रम 12 जुलाई को होगा जिसमें महायोगी पायलट बाबा 10 से 12 बजे तक भक्तों को संबोधित करेगें इसके साथ ही 10 एवं 11 जुलाई को क्रमशः संस्कार दीक्षा एवं संकल्प दीक्षा द्वारा सनातन संस्कृति के संवर्द्धन हेतु चल रहे सतत प्रयासों को आगे बढ़ाया जायेगा। बैठक में स्वामी नारायण गिरी, स्वामी चतुरानंद गिरी, महामण्डलेश्वर श्रद्धा गिरी, स्वामी शिवानंद गिरी एवं स्वामी सिद्धार्थ गिरी इत्यादि ने विचार व्यक्त किया। तथा स्वामी प्रेमानंद गिरी ने सभी का आभार व्यक्त किया।
केदारनाथ के बाद बदरीनाथ भी दे रहा कुदरती चेतावनी, दिनोंदिन खराब हो रहा नेशनल हाईवे
चमोली/देहरादून, 5 जुलाई (राजेन्द्र जोशी )।केदारनाथ में प्रकृति ने पिछले दिनों जिस तरह की तबाही मचाई उसे देश कभी भूल नहीं सकता। केदारनाथ त्रासदी के बाद हिमालय की पर्वत श्रृंखलाओं,उनकी आयु,उनके प्रकार और भारी संख्या में पहुंचने वाले यात्रियों के चलते वहां के पर्यावरण पर पड़ने वाले प्रभाव पर खूब चर्चा हुई। लेकिन समय बीतने के साथ वे चर्चाए भी समाप्त हो गई। अब चमोली जिले में स्थित बदरीनाथ से भी केदारनाथ की तरह ही संकेत मिल रहे है। बदरीनाथ मार्ग यानी देश का नेशनल हाईवे लामबगड़ और सिरोबगड़ में दिनोदिन खराब होता जा रहा है। इन क्षेत्रों से गुजरने वाला पूरा का पूरा एनएच दलदल बनता जा रहा है। पिछले साल की तबाही के बाद इस साल हालांकि केदारनाथ और बदरीनाथ धाम पहुंचने वाले तीर्थ यात्रियों की संख्या में बेहद कमी आई है। लेकिन इसके बावजूद बड़ी संख्या में श्रद्धालु इस साल भी बाबा का दर्शन करने पहुंचे। आपदा प्रभावित क्षेत्रों में पुर्ननिर्माण कार्यो के पूरा होने के सरकारी दावो की पोल इन यात्रियों ने तो खोली ही साथ ही प्रीमानसून बारिश ने भी सरकारी दावों को धोकर रख दिया। पिछले दिनों मात्र कुछ घंटो की बारिश ने ही लामबगड़ में ऐसी तबाही मचाई की वहां का 20 मीटर से अधिक नेशनल हाईवे बह गया और उन क्षेत्रों में तकरीबन 430 यात्री फंस गए। बाद में बीआरओ यानी बाॅर्डर रोड आॅर्गेनाईजेशन ने कड़ी मसक्कत कर मार्ग को दोबारा बहाल किया। हाईवे बहने के बाद बीआरओ ने पहाड़ी को काट कर रास्तेे तो जरूर खोल दिये लेकिन रोड पर लगातार आ रहा गदेरे के पानी ने रोड को दलदल में तब्दील कर दिया है। इस बारे में पूछे जाने पर बीआरओ के पीपलकोटी चमोली के कमान अधिकारी मेजर राहुल श्रीवास्तव ने बताया कि लागबगड़ और सिरोबगड़ में रास्तो की दिक्कत बहुत पहले से है लेकिन फिर भी बीआरओ किसी भी तरह से रास्ते को बंद होने से रोके हुए है। उन्होंने अपने बयान में विस्तार से रास्तों की हकीकत बताई। इस बारे में पूछे जाने पर डीएम एसए.मुरूगेशन ने कहा कि खराब मौसम और प्राकृतिक चुनौतियों के बाद भी चारधाम यात्रा को जारी रखा गया है। उन्होंने कहा कि जैसे ही खतरे का कोई संकेत होगा यात्रियों को सुरक्षित जगह रोक लिया जाएगा। हाईवे की हालात बताने से उन्होंने इंकार कर दिया। डीएम ने कहाकि सभी जगह मार्गो की स्थिति ठीक है। राज्य के एक पर्यावरण विशेषज्ञ ने बताया कि बदरीनाथ हाईवे पर लागबगड़ और सिरोबगड़ बड़े डेंजर जोन के तौर पर उभर रहे है। उन्होंने कहा कि हालांकि सिरोबगड़ पिछले 40 साल से और लामबगड़ तकरीबन 20 साल से बेहद खतरनाक और संवेदनशील केन्द्र के तौर पर उभरे है। ये ऐसे क्षेत्र है जहां बिना बरसात के भी भूस्खलन होता है। 2010 से सिरोबगड़ में दोबारा भूस्खलन का सिलसिला जारी हुआ जो आज भी चल रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले वर्ष आई आपदा में बदरीनाथ हाईवे का 400 मीटर हिस्सा मंदाकिनी नदी में समा गया था। उन्होंने कहा कि अब वहां मलबे पर ही सड़क बना दी गई जो आगे चलकर खतरनाक साबित हो सकती है। उन्होंने बताया कि सिरोबगड़,नैलगांव और नौलापानी में अचानक पत्थर गिरने से अभी तक कई लोग अपनी जान गवां चुके है। बताते चले कि बदरीनाथ हाईवे का चारधाम यात्रा मार्ग धार्मिक दृष्टि से तो महत्वपूर्ण है ही यह देश की सीमा सुरक्षा के लिए भी अत्यन्त महत्वपूर्ण है। इसी मार्ग से देश की सीमाओं पर तैनात सैनिको के लिए खाद्य एवं रसद सामाग्री भी आपूर्ति की जाती है। उत्तराखंड से नेपाल,चीन और तिब्बत की सीमाएं लगती है। इस दृष्टि से यह क्षेत्र देश की सामरिक मजबूती के लिहाज से भी बहुत महत्वपूर्ण हैं।
हस्ताक्षर अभियान से की मुख्यमंत्री के ठीक होने की कामना
देहरादून, 05 जुलाई (निस)। मुख्यमंत्री हरीश रावत का देहरादून से दिल्ली जाते समय हवाई यात्रा के दौरान चोटिल होने के बाद दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान में उपचार चल रहा है, मुख्यमंत्री हरीश रावत के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ हेतु ‘‘उत्तराखंड पीपल ईनियसेटिव’’ द्वारा मुख्य द्वार गांधी पार्क, में उत्तराखंड के सभी आम नागरिको के सहयोग से आयोजित हस्ताक्षर अभियान कार्यक्रम चला। कार्यक्रम का प्रातः वरिष्ठ समाजसेवी डाॅ. एस. फारूख ने शुभारम्भ किया, इसके पश्चात तिब्बती धर्मगुरू कर्मा शेरिंग ने अपने शिष्यों के साथ मुख्यमंत्री के स्वास्थ्य की मंगल कामना के लिए प्रार्थना की साथ ही ब्रहमकुमारी संगठन से ओर से सुशील, सोनिया और माला जी ने भी प्रार्थना में भाग लिया, सिख, मुुस्लिम धर्मगुरू, इसाईं धर्मगुरूओं के साथ विभिन्न समप्रदाय के धर्म गुरूओं एवं विभिन्न सामाजिक संस्थाओं, गैर सरकारी संस्थाओं, अनेक स्कूलों एंव काॅलेजों के छात्र/छात्राओं, शिक्षकों, विभिन्न वरिष्ठ समाजसेवियों, महिला मंगलदलों एवं अनेक राजनैतिक पार्टियों के कार्यकर्ताओं ने बढ़ चढ़कर हस्ताक्षर अभियान मंे भाग लिया।
इस हस्ताक्षर अभियान की कवरेज करने आये मीडियाकर्मियों ने भी हस्ताक्षर कर अपनी संवेदनाये व्यक्त की। विभिन्न क्षेत्रों से जुड़े कलाकारों, साहित्यकारों ने भी हस्तारक्षर अभियान में शामिल होकर अपनी भागीदारी सुनिश्चित तथा मुख्यमंत्री के स्वास्थ्य लाभ के लिए अपनी शुभकामनाये दी, इस अवसर पर स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का भी आयोजन किया गया, ‘‘उत्तराखंड पीपल ईनिसेटिव’’ की ओर से अनिरूद्ध काला, शैलेन्द्र कुमार कागरा, शशांक कृपाल, माहन भुलानी, मून भारद्वाज, अतुल अनियाल, सौरभ सक्सेना, राहुल कश्यप, नितिन गुप्ता, हितेश भारद्वाज एवं अन्य कार्यकत्र्ताओं ने भाग लिया।
जिलाधिकारी ने ली कांवड़ मेला सम्बंध्ति बैठक
हरिद्वार, 5 जुलाई (निस)। मेला नियंत्रण कक्ष में कांवड़ बैठक लेते हुए जिलाधिकारी डी. सेंथिल पांडियन ने कहा कि ड्यूटी स्थल पर अनुपस्थित पाए जाने को गम्भीरता से लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि अपनी ड्यूटी अपने अधीनस्थों को भी सौंपी नहीं जा सकती। जिलाधिकारी ने कहा कि बिना पूर्वानुमति के कोई कर्मचारी मुख्यालय नहीं छोडेगा और न ही स्थानांतरण की दशा में कर्मचारी को कार्यमुक्त किया जाएगा। कांवड़ तैयारियों की समीक्षा करते हुए जिलाधिकारी ने कहा कि सभी सेक्टर मजिस्ट्रेट तथा पुलिस अफसर आपसी समन्वय से कार्य करेंगे। उन्होंने मेला नियंत्राण कक्ष में कंट्रोल रूम में 01334-223999 स्थापित करने का निर्देश देते हुए कहा कि पानी, बिजली, सड़क, चिकित्सा से संबंधित अधिकारी 24 घंटे मेला नियंत्रण कक्ष में रहेंगे। उन्होंने यह भी निर्देश दिया गया कि समस्त जोनल मजिस्ट्रेट प्रतिदिन अपने सेक्टर मजिस्ट्रेट की उपस्थिति कंट्रोल रूम में दर्ज करायेंगे। उन्होंने कांवड़ यात्रियों के बायोमेट्रिक रजिस्ट्रेशन के लिए नारसन, श्यामपुर व भगवानपुर के अतिरिक्त हरिद्वार रोडवेज व रेलवे स्टेशन पर भी सुविधा देने को कहा। उन्होंने इस स्थल पर सेक्टर मजिस्ट्रेट व पुलिस अफसर तैनात करने का भी निर्देश दिया। इस रजिस्ट्रेशन का प्रारम्भ 10 जुलाई से कर दिया जाएगा। उन्होंने निर्देश देते हुए कहा कि समस्त एसडीएम अपने क्षेत्र के सेक्टर मजिस्ट्रेट, आपूर्ति विभाग, खाद्य सुरक्षा विभाग, पानी, बिजली, सड़क की बैठक कर व्यवस्था सुनिश्चित कर लें। उन्होंने 08 जुलाई तक कांवड़ पटरी की समस्त व्यवस्था दुरूस्त करने का निर्देश दिया। कांवड़ मेला के संचालन हेतु 2 सुपरजोन, 22 जोन तथा 89 सेक्टर में बांटा गया है। इस अवसर पर सीडीओ वीएस धनिक, एडीएम जे.एस. नगन्याल, नगर मजिस्ट्रेट के.के. मिश्रा, एसपी सिटी सुरजीत सिंह पंवार, डीएसओ महेंद्र सिंह बिसेन, प्रशिक्षु आईएएस मयूर दीक्षित उपस्थित थे।
ग्रामीणों की मेहनत ने दिखाया रंग वीरान पड़े बर्सू गांव में लहलहाने लगी टमाटर की फसल
रुद्रप्रयाग, 5 जुलाई (निस)। जिला मुख्यालय से सटे बर्सू गांव मंे लुक सोसाइटी व ग्रामीणों की मेहनत रंग दिखाने लगी है। कुछ महीने पहले तक वीरान पड़े बर्सू गांव में आज सब्जियों का उत्पादन शुरू हो गया है। हालांकि अभी कुछ ग्रामीणों द्वारा ही यहां सब्जी उत्पादन किया जा रहा है, मगर गांव में सब्जी उत्पादन को देखते हुए अन्य ग्रामीण भी उत्साहित दिख रहे हैं। मालूम हो कि आपदा के बाद लुक सोसाइटी ने बर्सू गांव को माॅडल विलेज के रूप में विकसित करने का जिम्मा उठाया था। इसके तहत वीरान पड़े बर्सू गांव में सोसाइटी ने कुछ ग्रामीणों के साथ मिलकर सब्जी उत्पादन का कार्य शुरू किया। अब सोसाइटी व ग्रामीणों की मेहनत धरातल पर दिखने लगी है। गांव की क्यारियों में टमाटर की फसल तैयार हो गई है। जिससे न केवल गांव में रौनक दिख रही है, बल्कि ग्रामीणों को भी आजीविका का साधन मिल गया है। संस्था से जुड़ी सीमा डिमरी ने बताया कि संस्था का मुख्य उद्देश्य ग्रामीणों को गांव से जोड़कर स्वरोजगार के साधन उपलब्ध कराना है, जिससे गांवों से पलायन पर अंकुश लग सके। उन्होंने कहा कि संस्था के साथ काम कर रहे ग्रामीणों की मेहनत को देखते हुए अन्य ग्रामीण भी अब इसके लिए उत्साहित दिख रहे हैं। शीघ्र ही अन्य ग्रामीणों को साथ लेकर सब्जी उत्पादन कार्य को वृहद रूप में किया जाएगा।
ग्रामीणांे ने सराहा संस्था का काम
रुद्रप्रयाग, 5 जुलाई (निस)। शनिवार को बर्सू गांव में स्थानीय ग्रामीणों की बैठक आयोजित की गई। बैठक में गांव में लुक संस्था द्वारा किए जा रहे कार्यो पर चर्चा की गई। इस अवसर पर सभी संस्था के कार्यो व इससे जुड़े ग्रामीणों के कामों की सराहना की। बैठक में कुशलानंद नौटियाल, चक्रधर सेमवाल, दुर्गा नौटियाल, महेश ड्यंूडी, यमुना प्रसाद, दिनेश सेमवाल आदि उपस्थित थे।
ग्राम पंचायत प्रधान और सदस्य लेंगे दस को शपथ
रुद्रप्रयाग, 5 जुलाई (निस)। जिलाधिकारी डाॅ राघव लंगर ने बताया कि ग्राम पंचायतों के प्रधानों एवं ग्राम पंचायत सदस्यों को शपथ दिलाने का कार्य सम्पन्न कराया जाना है। उत्तर प्रदेश पंचायत राज नियमावली में निर्दिष्ट प्राविधानों के अनुसार निर्वाचित प्रधानों को अपने पद की शपथ संबंधित खण्ड विकास अधिकारी द्वारा विकासखण्ड सभागार तथा ग्राम पंचायत के सदस्यों को अपने पद की शपथ संबंधित विकास खण्ड के सहायक विकास अधिकारी स्तर से अधिकारियों द्वारा न्याय पंचायत मुख्यालय पर दस जुलाई को प्रातः ग्यारह बजे दिलायी जायेगी। जिलाधिकारी ने जिले के सभी खण्ड विकास अधिकारियों को निर्देशित किया कि शपथ ग्रहण करने के पश्चात हस्ताक्षर युक्त शपथ पत्रों की जांच करने के उपरान्त ग्राम सभा प्रधानों के शपथ पत्र जिला पंचायत राज अधिकारी कार्यालय को पे्रषित करना सुनिश्चित करें तथा ग्राम पंचायत के सदस्यों के शपथ पत्र विकासखण्ड स्तर पर सुरक्षित रखे जांय। उन्होंने खण्ड विकास अधिकारियों को यह भी निर्देश दिये कि वे निर्वाचित प्रधानों एवं ग्राम पंचायत सदस्यों को शपथ का स्थान, समय व दिनांक की सूचना भी अपने स्तर से ग्राम पंचायत विकास अधिकारी के माध्यम से देना सुनिश्चित करें एवं शपथ उपरान्त सूचना निर्धारित प्रारूप पर ग्यारह जुलाई पूर्वान्ह में जिला पंचायत राज अधिकारी कार्यालय को देना सुनिश्चित करेंगें। जिलाधिकारी ने ग्राम पंचायतों के संघटन की अधिसूचना जारी करने के संबंध में बताया कि पंचायती राज अधिनियम में दी गई व्यवस्था के अनुसार उन्हीं ग्राम पंचायतों के गठन की अधिसूचना जारी की जानी है, जिनमें प्रधान एवं कम से कम दो तिहाई सदस्य निर्वाचित हुए है। इस संबंध में सभी खण्ड विकास अधिकारियों को ग्राम पंचायत गठन की अधिसूचना का प्रारूप भेजा गया है और निर्देश दिये गये कि निर्धारित प्रारूप पर ग्राम पंचायतों के संगठन की कार्यवाही करते हुए संघठित ग्राम पंचायतों की अधिसूचना की कम्प्यूटराईज्ड प्रति जिला पंचायत राज अधिकारी को नौ जुलाई को पूर्वान्ह में विशेष पत्र वाहक के माध्यम से उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। उन्होंने बताया कि शासन के निर्देशानुसार दस जुलाई तक ग्राम पंचायतों का गठन कर ग्राम पंचायतों के सदस्यों एवं प्रधानों को शपथ दिलाकर 14 एवं 15 जुलाई तक सभी ग्राम पचायतों की प्रथम बैठक कराने के निर्देश दिये गये हैं। अतः सभी खण्ड विकास अधिकारी पंचायतीराज अधिनियम में दी गई व्यवस्था के अनुसार ग्राम पंचायतों 14 एवं 15 जुलाई को निर्धारित समय पर प्रथम बैठक सम्पन्न कराने के लिए विकास खण्ड में कार्यरत ग्राम पंचायत विकास अधिकारी सहित विकास खण्ड स्तरीय अन्य विभागों तथा बाल विकास विभाग की आंगनवाडी कार्यकत्री, कृषि, सिंचाई, समाज कल्याण, स्वास्थ्य विभाग के ग्राम स्तरीय कर्मचारियों को ग्राम पंचायत की बैठक के लिए सचिव नामित करते हुए ग्राम पंचायत का आवंटन करना सुनिश्चित संबंधित ग्राम पंचायत की प्रथम बैठक के लिए कार्यवाही पंजिका एवं एजेन्डा पंजिका आदि नामित सचिव को बैठक से पूर्व उपलब्ध करा दें। सभी खण्ड विकास अधिकारी ग्राम पंचायतवार सम्पन्न प्रथम बैठक के लिये निर्धारित प्रारूप पर सूचना जिला पंचायत राज अधिकारी कार्यालय को 15 जुलाई तक उपलब्ध कराना भी सुनिश्चित करेंगे। जिलाधिकारी ने बताया कि ग्राम पंचायत के निर्वाचित सदस्यों को शपथ दिलाने जाने हेतु न्याय पंचायतवार प्रभारी अधिकारी नामित किये गये है।
बरसात से पूर्व ही ढही पुल की सुरक्षा दीवार पुल के अस्तित्व पर मंडराया खतरा
रुद्रप्रयाग, 5 जुलाई (निस)। काकड़ागाड़-फेगू पैदल मार्ग पर मंदाकिनी नदी पर बने झूलापुल की सुरक्षा दीवार का निर्माण कार्य शुरूआत में ही धराशायी हो गया है। सुरक्षा दीवार के धराशायी होने से आने वाले बरसात में पुल के अस्तित्व पर खतरा मंडराने के साथ ही लोनिवि की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान खड़े होने लगे हैं।विगत वर्ष 16-17 जून को केदारघाटी में हुए जलप्रलय से मंदाकिनी नदी के काकड़ागाड़-फेगू पैदल संपर्क मार्ग पर बने झूलापुल की दीवारें आपदा की भेंट चढ़ गई थी। पुल की दीवारों के आपदा की भेट़ चढने से ग्रामीणों ने कई महीनों तक जान जोखिम में डालकर लकड़ी के खंबों से आवाजाही की। विगत दिनों लोनिवि द्वारा दैवीय आपदा मद से लगभग पांच लाख रूपये की लागत से आपदा की भेंट चढ़े पुल की सुरक्षा दीवारों का निर्माण करवाया गया था, मगर सुरक्षा दीवारों का निर्माण होते ही दीवारें धराशायी होने लगी हैं। जिससे आने वाले बरसात में पुल का अस्तित्व खतरे की जद में आ गया है। इसके साथ ही लोनिवि की कार्यप्रणाली भी सवालों के घेरे में आ गई है। सामाजिक कार्यकर्ता शिव सिंह रावत का कहना है कि सुरक्षा दीवारों के निर्माण में गुणवत्ता नहीं बरती गई है, जिस कारण दीवारें बनने के बाद से ही धराशाई होने लगी हैं। उन्होंने कहा कि सुरक्षा दीवार के ढहने से पुल को फिर से खतरा पैदा हो जाएगा, जिससे ग्रामीणों की आवाजाही फिर से प्रभावित हो सकती है। उन्होंने लोनिवि से सुरक्षा दीवार निर्माण की जांच कर पुनः कार्य शुरू कराने की मांग की है।