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सीधी (मध्यप्रदेश) की खबर (23 जुलाई)

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फसल कटाई प्रयोग पर जिला स्तरीय प्रशिक्षण का आयोजन 6 एवं 7 अगस्त को

सीधी 23 जुलाई 2014   यहां कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आगामी 6 अगस्त 2014 को प्रातः 11 बजे से संभावित न्यादर्श पद्धति से फसल कटाई प्रयोग तथा अन्य सांख्यिकी योजनाओं एवं नई राष्ट्रीय कृषि बीमा योजना पर केन्द्रित सैद्धांतिक विषय पर जिला स्तरीय प्रशिक्षण का आयोजन रखा गया है। जबकि यहीं 7 अगस्त 2014 को प्रातः 8.30 बजे से व्यावहारिक प्रशिक्षण होगा। कलेक्टर स्वाति मीणा ने उक्ताशय की जानकारी देते हुए बताया कि प्रथम दिवस 6 अगस्त 2014 को विभिन्न योजनाओं के अन्तर्गत आयोजित फसल कटाई प्रयोगों एवं अन्य कृषि सांख्यिकीय योजनाओं, फसल बीमा योजना एवं नई राष्ट्रीय कृषि बीमा योजना आदि के सम्बन्ध में शैद्धांतिक प्रशिक्षण दिया जायेगा। इसके साथ ही फसलों के विपुल पैदावार देने वाले बीज एवं रासायनिक खादों के सम्बन्ध में प्रशिक्षण जिले के उप संचालक कृषि द्वारा दिया जावेगा। प्रशिक्षण के समय उन्नत बीजों के नमूने भी प्रदर्शित किए जायेंगे। दूसरे दिन 7 अगस्त 2014 को प्रातः 8.30 बजे फसल कटाई प्रयोग सम्बन्धी व्यावहारिक प्रशिक्षण दिया जावेगा। जिला स्तरीय प्रशिक्षण में उपस्थित होने के लिए अपने तहसील अन्तर्गत अतिरिक्त तहसीलदार/नायब तहसीलदार, राजस्व निरीक्षक, तहसील कानूनगो, समस्त पटवारी एवं कृषि मजदूर एवं बाजार भाव के प्रतिवेदक, पटवारियों को अपने स्तर से निर्देशित करने के कलेक्टर ने तहसीलदारों को निर्देश दिए हैं। कलेक्टर ने निर्देश दिए हैं कृषि एवं सांख्यिकीय विभाग के कार्यालय प्रमुख द्वारा अपने स्तर से प्रशिक्षण में उपस्थित रहने हेतु विभागीय अधिकारियों को सूचित किया जायेगा। उन्होंने कहा है कि राजस्व निरीक्षक एवं मण्डल मुख्यालय पटवारी फसल कटाई प्रयोगों की पंजी एवं नस्तियाॅ अपने साथ प्रशिक्षण के दिन अनिवार्य रूप से लायें जिससे अप्राप्त पत्रकों की जानकारी प्राप्त की जा सके। प्रशिक्षण जिला स्तरीय नई राष्ट्रीय फसल बीमा योजना एवं अन्य योजनाओं से सम्बन्धित है। समस्त सम्बन्धित अधिकारी/कर्मचारियों को निर्देश दिए गए हंै कि निर्धारित प्रशिक्षण दिवसों में समय पर अनिवार्य रूप से उपस्थित हों। बिना सक्षम प्राधिकारी के अनुमति प्राप्त किए प्रशिक्षण में अनुपस्थित रहने वाले अधिकारी/ कर्मचारी के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही की जावेगी।

जिले में अब तक 251.9 मि.मी. औसत वर्षा

सीधी 23 जुलाई 2014  जिले में इस साल अब तक 251.9 मि.मी. औसत वर्षा रिकार्ड की गई है। अधीक्षक भू-अभिलेख से प्राप्त जानकारी के अनुसार इस साल जिले में तहसीलवार रामपुर नैकिन में 131.8 मि.मी., चुरहट में 138.2 मि.मी., गोपद बनास में 320 मि.मी., सिहावल में 375.7, मझौली में 244 मि.मी. एवं कुसमी में 302 मि.मी. वर्षा रिकार्ड की गई है।    

श्री पटेल को इंस्पायर अवार्ड योजना का सहायक नोडल अधिकारी बनाया गया

सीधी 23 जुलाई 2014   जिला शिक्षा अधिकारी सीधी ने श्री के.पी.पटेल प्राचार्य शा0 उ0मा0वि0क्रमांक-2 सीधी को इंस्पायर अवार्ड योजना का सहायक नोडल अधिकारी नियुक्त किया है। उनका दूरभाष क्रमांक 07822-252280 एवं मो0नं0 9826165908 है।

जिले में स्वर्णा धान के बीज के भण्डारण एवं क्रय-विक्रय पर प्रतिबन्ध

सीधी 23 जुलाई 2014   बीज अनुज्ञापन अधिकारी एवं पदेन उप संचालक कृषि कल्याण तथा कृषि विकास सीधी ने छत्तीसगढ़ राज्य बीज एवं कृषि विकास मरोद के स्वर्णा धान का बीज अमानक स्तर का पाए जाने के कारण सीधी जिले में इस बीज के भण्डारण एवं क्रय-विक्रय पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगा दिया है। 

निर्देशानुसार तय समय सीमा में कार्यवाही पूर्ण करे- स्वाति मीणा
  • ग्रामीण विकास विभाग की समीक्षा बैठक में कलेक्टर ने दिए निर्देश

sidhi news
सीधी 23 जुलाई 2014   कलेक्ट्रेट सभागार में ग्रामीण विकास विभाग की योजनाओं कीे मैदानी अमले सहित गहन समीक्षा बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में कलेक्टर स्वाति मीणा ने कार्ययोजना अनुसार लक्ष्य प्राप्ति सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होने कहा कि मैदानी अमला पूर्ण तत्परता से कार्य करे। सौपे गए दायित्वों में लापरवाही बरतने वालों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जावेगी। बैठक में प्रभारी मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत श्री अनिल खरे सहित मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत व मैदानी अमला तथा सबंधित अधिकारी उपस्थित रहे। कलेक्टर द्वारा महात्मा गाॅधी नरेगा अंतर्गत लेबर बजट अनुसार रोजगार की उपलब्धता तथा राशि व्यय की समीक्षा की गई। उन्होने लक्ष्य अनुसार कार्य कराये जाने के निर्देश दिए। सुश्री मीणा ने कहा कि मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत मनरेगा योजना क्रियान्वयन के लिए पूूर्णतया जबावदार है। तकनीकी अमले के साथ समन्वय स्थिापित कर समस्याओं का निराकरण करते हुए कार्य कराये। पुराने कार्यो को यथाशीघ्र प्राथमिकता के साथ पूर्ण कराते हुए पूर्णता प्रमाण पत्र जारी करावे। समस्त कार्याे के डीपीआर पोर्टल पर फ्रीज हो। विवाद के कारण कार्यो की प्रगति बाधित न हो। शिकायतों पर त्वरित जाॅच तथा कार्यवाही सुनिश्चित की जावे। वित्तीय अनियमितता की शिकायतों की जाॅच दल बनाकर की जाये। ई-मस्टर जारी करने तथा समय पर मूल्यांकन उपरांन्त वापसी की नियमित माॅनीटरिंग की जावे। कराये जा रहे कार्यो का नियमित भ्रमण किया जाए। मनरेगा योजना अंतर्गत किये जा रहे कार्यो के तीन स्तर के फोटोग्राफ पोर्टल पर अपलोड किये जावे। कार्य कराये जाने के पहले, कार्य चलते हुए तथा कार्य पूर्ण होने के पश्चात के फोटोग्राफ अवश्य लिए जाये। मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत सुनिश्चित करे कि एफटीओं जारी करते समय कार्यो के विभिन्न स्तर के फोटोग्राफ लेकर पोर्टल पर अपलोड हो। योजनांतर्गत हितग्राही मूलक योजनाओं का लाभ व रोजगार की सहज उपलब्धता सुनिश्चित करे। जारी एफटीओं का समय-सीमा में भुगतान हो। मर्यादा अभियान अंतर्गत जनपदवार जारी राशि का उपयोगिता प्रमाण पत्र तीन दिवस के भीतर पूर्ण सत्यापन के साथ लिया जावे। सुनिश्चित करे कि राशि का उपयोग कर गुणवत्तायुक्त शौचालय का निर्माण किया जाये। मध्यान्ह भोजन कार्यक्रम का व्यवस्थित संचालन हो। हर पंचायत में स्वसहायता समूहों का गठन किया जावे ताकि आवश्यक्ता अनुसार उनका उपयोग सुनिश्चित हो। बनाये जा रहे समूह शासन के निर्देश तथा बचत व बैठक प्रक्रिया का पूर्ण पालन कर संगठित हो। क्षेत्र के भ्रमण के दौरान विद्यालयों का भी निरीक्षण किया जाए। शिक्षकों के अनुपस्थित पाये जाने पर सबंधित के विरूद्ध कार्यवाही की जावे।  जनपद कुशमी तथा मझौली के वनाधिकार हक प्रमाण पत्र धारियों को वनाधिकार आवास स्वीकृत किये जाने की कार्यवाही की जावे। इंदिरा आवास योजना अंतर्गत ग्राम पंचायतवार लक्ष्य अनुसार वार्षिक एवं पंचवर्षीय कार्ययोजना एक सप्ताह के भीतर पोर्टल पर अपलोड की जावे। बैठक में समग्र के माध्यम से पंेशन योजनाओं के भुगतान तथा खाद्यन्न वितरण की समीक्षा भी की गई। समग्र पोर्टल में एससी एवं एसटी सत्यापन तथा डुप्लीकेट एन्ट्री को विलोपित करने के निर्देश दिए गए। बैठक में जनसुनवाई तथा विभिन्न स्तर से प्राप्त शिकायतों के निराकरण की समीक्षा की गई। बैठक में सबंधित अधिकारी उपस्थित रहे। 

वन भूमि पर हो सकेगे मनरेगा से आमजन के उपयोग के कार्य 

सीधी 23 जुलाई 2014   वामपंथी उग्रवाद से प्राभावित जिलों में शासकीय विभागों को अधिकतम 05 हैक्टेयर की वनभूमि पर आमजनता के उपयोग के लिए संरचनाओं के निर्माण की अनुमति भारत सरकार द्वारा प्रदाय की गई है। भारत सरकार वन एवं पर्यावरण मंत्रालय ने बन संरक्षण अधिनियम 1980 के अनुच्छेद 2 में वर्ष 2010 में संशोधन करते हुए शासकीय विभागों को विभिन्न गतिविधियों के संचालन के लिए अधिकतम 2 हैक्टेयर वन भूमि को डायर्वसन करने की अनुमति दी थी। अब वामपंथी उग्रवाद से पीडि़त जिलों में वन भूमि की 2 हैक्टेयर की सीमा को बढ़ाते हुए 5 हैक्टयर किया गया है। भारत सरकार ने वन संरक्षण अधिनियम 1980 के अनुच्छेंद 2 में संशोधन करते हुए वामपंथी उग्रावद से पीडि़त जिलों में अधिकतम 5 हैक्टेयर वन भूमि को छायवर्सन करते हुए 13 प्रकार की गतिविधियों के क्रियान्वयन की अनुमति जारी की गई है। भारत सरकार द्वारा प्रदेश के प्रभावित 10 जिलों की सूची उपलब्ध कराई है। उक्त सूची में सीधी जिला भी शामिल है। अब 5 हैक्टेयर जमीन पर शासकीय विभागों द्वारा संरचनाओं के निर्माण किये जा सकेगे। चयनित गतिविधियों में पेयजल, लघु सिचाई नहरे तथा ग्रामीण सड़क सम्पर्क शामिल किया गया है। महात्मा गाॅधी नरेगा के प्रावधानों तथा निर्देशों अनुसार ग्रामीण जनता के हितार्थ पेयजल, लघु सिंचाई नहरे तथा ग्रामीण सड़क सम्पर्क के सबंधी कार्य कराये जा सकते है।  

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