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उत्तराखंड की विस्तृत खबर (20 मई)

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स्पीकर बोले, गैरसैंण में ढांचा खड़ा होने के बाद सरकार की मजूबूरी होगी स्थायी राजधानी की घोषणा, दून में नहीं नए विधानभवन की कोई जरूरत
  • जून-16 तक गैरसैंण में तैयार हो जाएंगी अवस्थापना सुविधाएं, उसके बाद नए विधानभवन में आहूत किया जाएगा विस सत्र

देहरादून, 20 मई । गैरसैंण में ही सूबे की स्थायी राजधानी के प्रबल पक्षधर रहे विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल का मानना है कि समर कैपिटल की बात तो अस्थायी है। तमाम अवस्थापना सुविधाएं विकसित होने के बाद गैरसैंण को स्थायी राजधानी बनाने की घोषणा करना किसी भी सरकार की सरकार की मजूबरी होगी। कुंजवाल ने साफ लफ्जों में कहा कि देहरादून में नए विधानभवन का अब कोई औचित्य नहीं बचा है। न्यूज वेट से खास बातचीत में स्पीकर ने अपनी बात लफ्जों में कही। उन्होंने कहा कि भले ही सवाल इस समय गैरसैंण को समर कैपिटल बनाने का उठ रहा हो। लेकिन स्थायी राजधानी तो गैरसैंण में ही बनेगी। ऐसा किया जाना उत्तराखंड के आम जनमानस की भावनाओं के अनुकूल ही होगा। कुंजवाल ने कहा कि गैरसैंण में नए विधानभवन के साथ ही विधायकों और अफसरों के लिए आवासीय कालोनियां बन रही है। नया सचिवालय भवन भी बनाया जा रहा है। इन कामों के लिए पर्याप्त बजट की व्यवस्था कर ली गई है। पैसों की कमी की वजह से कोई काम रुकने वाला नहीं है। हर काम को पूरा करने के लिए समयबद्ध योजना तैयार कर ली गई है और उसी के अनुसार सारे काम चल रहे हैं। इतना तय है कि अगले साल जून में विधानसभा का सत्र गैरसैंण में ही आहूत किया जाएगा। क्या सूबे की जनता जनता समर कैपिटल से मान जाएगी, इस सवाल पर स्पीकर से साफ कहा कि जनता की भावनाओं को सम्मान किया जाएगा। गैरसैंण में तमाम अवस्थापना सुविधाओं का विकास होने के बाद गैरसैंण को स्थायी राजधानी का दर्जा देने की घोषणा करना किसी भी सरकार की मर्जी होगी। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने भी इस प्रयास की सराहना की है। केंद्र से राजधानी के लिए मिला पैसा गैरसैंण में भी खर्च हो रहा है। अब इस मामले में कोई हीलाहवाली करना किसी भी सरकार के लिए आसान नहीं होगा। गैरसैंण के साथ ही देहरादून में भी विधानभवन बनने के सवाल पर स्पीकर ने कहा कि अब दून में नए विधानभवन की कोई भी जरूरत नहीं है। अगले साल जून तक गैरसैंण में सारा काम पूरा कर लिया जाएगा और विधानसभा के सभी सत्र वहीं आहूत किए जाएंगे। ऐसे में देहरादून में नए विधानभवन पर पैसा खर्च करने का कोई भी औचित्य नहीं है। राज्य की स्थायी राजधानी गैरसैंण में ही बननी चाहिए। फिलहाल राष्ट्रपति जी के ऐतिहासिक संबोधन में गैरसैंण को समर कैपिटल की बात करने का स्वागत किया जाना चाहिए। : प्रदीप टम्टा, पूर्व सांसद

अंतिम दौर में राजीव के हाथ से फिसली कुर्सी, शहर कांग्रेस अध्यक्ष के लिए तय हो चुका था नाम
  • पार्टी की अंदरूनी खींचतान का शिकार बने दावेदार, मुख्यमंत्री की मीडिया टीम के अहम सदस्य हैं जैन

देहरादून, 20 मई (निस)। मुख्यमंत्री हरीश की मीडिया टीम के अहम सदस्य राजीव जैन के हाथ से महानगर कांग्रेस अध्यक्ष पद की कुर्सी अंतिम समय में फिसल गई। माना जा रहा है कि कांग्रेस में चल रही धड़ेबाजी के चलते ही राजीव इस दौड़ में पीछे रह गए। किशोर उपाध्याय के कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष बनने के साथ ही महानगर कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए राजीव जैन का नाम तेजी से चल रहा था। बताया जा रहा है कि मुख्यमंत्री हरीश रावत खुद भी चाहते थे कि राजीव को ही अध्यक्ष बनाया जाए। इस पर किशोर उपाध्याय भी अपनी सहमति दे चुके थे। ऐसे में राजीव का महानगर अध्यक्ष बनना तय माना जा रहा था। बताया जा रहा है कि राजीव के नाम पर कांग्रेस के कुछ गुटों को अंदरखाने आपत्ति थी। इसके चलते उनके नाम का औपचारिक ऐलान नहीं किया जा रहा था। पार्टी सूत्रों ने बताया कि कांग्रेस अध्यक्ष महानगर अध्यक्ष के नाम की घोषणा के लिए माकूल वक्त का इंतजार कर रहे थे। इस बीच धड़ेबाजी इतनी ज्यादा बढ़ गई कि अध्यक्ष ने सभी गुटों की ओर चलाए जा रहे नामों को दरकिनार करके अपनी पसंद के व्यक्ति तो महानगर अध्यक्ष की कुर्सी थमा दी। कहने को तो कार्यकारी अध्यक्ष बनाया गया है। लेकिन माना यही जा रहा है कि अब पृथ्वीराज की महानगर कांग्रेस के अध्यक्ष बने रहेंगे।

राजीव पहले से थे आशंकित
महानगर अध्यक्ष पद के लिए नाम तय होने के बाद भी राजीव जैन खासे आशंकित थे। पिछले दिनों कुछ लोगों ने उन्हें महानगर अध्यक्ष पद के लिए मुबारकबाद दी तो उनका कहना था कि भाई यह कांग्रेस हैं। जब तक औपचारिक घोषणा न हो जाए। कुछ कहना ठीक नहीं होगा।

आम आदमी पार्टी में घमासान, ऋषिकेश निवासी एक चर्चित डाक्टर को शामिल करने का विरोध
  • जिला संयोजक ने हाईकमान को भेजा एक खत, ड्रग्स के मामले में जेल में रह चुका है डाक्टर

देहरादून, 20 मई (निस)। इन दिनों देहरादून जिले की आम आदमी पार्टी में घमासान मचा हुआ है। इसकी एक बड़ी वजह ऋषिकेश निवासी एक चर्चित डाक्टर आरके गुप्ता को पार्टी में शामिल करना है। विरोध करने वालों का कहना है कि यह डाक्टर ड्रग्स के मामले में तीन साल तक जेल में रह चुका है। ऐसे में उत्तराखंड में पार्टी की छवि को नुकसान हो रहा है। जिला संयोजक संजय भट्ट ने इस बारे में पार्टी हाईकमान को एक खत भी भेजा है।
सूत्रों ने बताया कि विवाद की शुरुआत पार्टी के सह प्रभारी विवेक यादव ने मनोनयन के बाद सबसे पहले ऋषिकेश स्थित नीरज भवन में एक बैठक की। इसी बैठक के दौरान डाक्टर आरके गुप्ता को पार्टी में शामिल कर लिया गया। इसके बाद से ही पार्टी में घमासान मचा है। ऋषिकेश के नगर इकाई का बैठक में डा. गुप्ता को पार्टी में शामिल करने का विरोध किया गया। जिला संयोजक संजय भट्ट ने तो इस बारे में पार्टी हाईकमान को एक खत भी भेजा है। जिला संयोजक का कहना है कि ड्रग्स के मामले में तीन साल तक जेल में रहने वाले डाक्टर आरके गुप्ता को पार्टी में उनकी सहमति के बगैर ही शामिल किया गया है। इस तरह की छवि वालों को पार्टी में शामिल करने से आम आदमी पार्टी की स्वच्छ छवि को नुकसान पहुंचाया जा रहा है। इस प्रदेश को कांग्रेस और भाजपा ने पहले ही भ्रष्टाचार के दलदल में डुबो दिया है। अब प्रदेश की जनता आम आदमी पार्टी की ओर आशा भरी निगाहों से देख रही है। अगर आप में भी इस तरह की छवि वाले लोगों को शामिल किया जाएगा तो जनता का विश्वास इस पार्टी से भी उठ जाएगा। खत में डाक्टर गुप्ता को पार्टी से बाहर करने की अपील की गई है। इस बारे में जिला संयोजक संजय भट्ट ने कहा कि हाईकमान को पूरी बात से अवगत करा दिया गया है। अगर इसके बाद भी कोई एक्शन नहीं लिया जाता है तो भी डाक्टर गुप्ता के खिलाफ उनका विरोध जारी रहेगा।

आबकारी में करोड़ों का घोटाला, सात पैसे कीमत वाले सिक्योरिटी होलोग्राम की खरीद अब तीस पैसे में इस तरह किया खेल
  • टेंडर की शर्तों में नामी कंपनियों को दिखाया गया बाहर का रास्ता, सिक्योरिटी होलोग्राम की बजाय होलोग्राफिक कंपनी को दिया काम 
  • शराब बनाने वाली कंपनी को दे दिया होलोग्राम सप्लाई का ठेका, किसी भी नामचीन कंपनी से विभाग ने नहीं की प्री-बिड मीटिंग
  • एक बड़ी कंपनी की लिखित शिकायत पर भी कोई एक्शन नहीं

देहरादून, 20 मई (निस)। एफएल-टू की नई नीति को लेकर चर्चा में रहने वाले आबकारी विभाग का एक और घोटाला सामने आया है। आबकारी विभाग के अफसरों ने मिलीभगत करके सात पैसे में खरीदा जाने वाला सिक्योरिटी होलोग्राम इस बार 28 पैसे में खरीदने का करार किया है। अफसरों के इस कारनामे से आबकारी विभाग को पिछली साल की तुलना में करोड़ों रुपये ज्यादा खर्च करके होलोग्राम खरीदने होंगे। अहम बात यह है कि इस मामले की शिकायत के बाद भी किसी भी स्तर से कोई कदम नहीं उठाया गया। प्रदेश में बिकने वाली अंग्रेजी या देशी किसी भी तरह की शराब की हर बोतल, अद्धा या फिर पौव्वे पर एक सिक्योरिटी होलोग्राम लगाया जाता है। इसके पीछे मकसद एक तो राजस्व की किसी भी तरह की हानि की संभावना को दरकिनार करना है और फिर शराब की गुणवत्ता पर नियंत्रण भी है। पिछले वित्तीय वर्ष में आबकारी विभाग इस होलोग्राम को सात पैसा प्रति की दर से खरीदता रहा है। इस बार विभाग ने इसी सात पैसे वाले होलोग्राम को तीस पैसे में खरीदने का करार किया है। सूत्रों का कहना है कि अफसरों के इस कारनामे से विभाग को करोड़ों रुपये के राजस्व की हानि होगी। सूत्रों ने बताया कि एक खास कंपनी को यह ठेका देने के लिए अफसरों ने योजनावद्ध ढंग से काम किया। होलोग्राम बनाने वाली एक कंपनी कंटास ने इस पूरे खेल का खुलासा करते हुए शुरू में ही इसकी शिकायत आला अफसरों के साथ ही मुख्यमंत्री, वित्त मंत्री और नेता प्रतिपक्ष तक से की। लेकिन किसी भी स्तर से कोई एक्शन नहीं लिया गया। इस कंपनी की शिकायत के मुताबिक प्रतिष्ठित कंपनियों को बाहर रखने के लिए टेंडर में वन-सी,डी,ई और एफ शर्तों को बेवजह जोड़ा गया। इससे मौजूदा समय में विभिन्न राज्यों को होलोग्राम सप्लाई करने वाली कंपनियां बाहर हो गईं। इसी तरह टेंडर के बिंदु टू (बी) में जोड़ दिया गया कि शराब बनाने वाली कंपनियां भी सप्लाई कर सकती हैं। ऐसे में सवाल यह भी खड़ा हो रहा है कि होलोग्राम सप्लाई करने वाली कंपनी क्या राजस्व की चोरी नहीं कर सकेगी। शिकायत में कहा गया है कि जिस कंपनी को ठेका दिया जा रहा है वह कंपनी होलोग्राम मैन्युफैक्चरिंग एसोसिएशन आफ इंडिया या फिर इंडस्ट्रीरियल होलोग्राम मैन्युफैक्चरिंग एसोसिएशन की सदस्य नहीं है। केंद्र सरकार की संस्था एसपीएमसीआईसी भी अपने लिए सिक्योरिटी होलोग्राम इन्हीं दो संस्थाओं की सदस्य कंपनियों से ही खरीदती है। इतना ही नहीं, जिस कंपनी को ठेका दिया गया है,वह कंपनी होलोग्राफिक का काम करती है। यानि कंपनी सजावटी होलोग्राम बनाती है। लेकिन उत्तराखंड के आबकारी विभाग ने उसे सिक्योरिटी होलोग्राम बनाने का ठेका दे दिया है। एक अहम बात यह भी है कि इतने बड़े काम का ठेका देने के लिए विभागीय अफसरों ने प्री-बिड मीटिंग करने तक की जहमत नहीं उठाई। साफ दिख रहा है कि सात पैसे में मिलने वाले होलोग्राम को तीस पैसे में खरीदने से विभाग को करोड़ों रुपये का सीधा नुकसान हो रहा है। इसके बाद भी सरकारी तंत्र इस गंभीर वित्तीय अनियमितता पर मौन साधे बैठा है।  

राश्ट्रपति का 100 दिन विधान सभा चलाना अनिवार्य वाला बयान स्वागतयोग्य : ःसतपाल महाराज

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देहरादून, 20 मई,(निस): पूर्व केन्द्रीय मंत्री एवं भाजपा नेता सतपाल महाराज ने बुधवार को  बयान में महामहिम राश्ट्रपति जी द्वारा जन समस्याओं के निदान व प्रदेष के विकास के लिए विधानसभा 100 दिन चलाने का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि लोक सभा में उनके द्वारा पहले ही इस संबंध में एक प्राईवेट मेंबर बिल रखा गया था। पूर्व केन्द्रीय मंत्री महाराज ने आगे कहा कि महामहिम जी द्वारा यह कहना कि विकास में राज्य पिछड़ गया है यह अपने आप में यह बताता है कि प्रदेष सरकार विकास के प्रति संवेदनषील नहीं है। राज्य में पैट्रोल, डीजल की कमी की वजह से दैनिक उपभोग की वस्तुओं की कमी हो गई है। पी.डी.एस. व्यवस्था चरमरा गई है। जिससे जनता त्रस्त है उन्होंने कहा कि आज प्रदेष में अवैध खनन, भू व षराब माफिया का राज हो गया है। भाजपा राश्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य सतपाल महाराज ने कहा कि महामहिम राश्ट्रपति जी द्वारा यह कहना कि विधायिका की कार्यप्रणाली से जनता वाकिफ होना चाहिए यह दर्षाता है कि प्रदेष में पारदर्षिता की कमी है। आज भी राज्य के आपदा प्रभावित क्षेत्रों के लोग विकास व पुर्ननिर्माण की बाट जोह रहे हैं परन्तु सरकार को विकास से नहीं, जनता से नहीं माफिया से सरोकार है।

संसदीय सचिवों की नियुक्ति पर आप सरकार से जवाब तलब

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दिल्ली उच्च न्यायाल ने राज्य में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की सरकार से संसदीय सचिवों के रूप में आम आदमी पार्टी (आप) के 21 विधायकों की नियुक्ति पर जवाब मांगा है। न्यायालय ने दिल्ली की आप सरकार द्वारा की गई इन नियुक्तियों के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए यह जवाब मांगा। मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति जी. रोहिणी एवं न्यायमूर्ति आर. एस. एंडलॉ की खंडपीठ ने सरकार के आदेश पर रोक लगाने से इंकार करते हुए कहा कि इस पर और विचार किए जाने की जरूरत है। खंडपीठ ने दिल्ली सरकार के वकील से इस मुद्दे पर रुख स्पष्ट करने के लिए कहा और मामले की सुनवाई के लिए पहली जुलाई की तारीख तय की।

उच्च न्यायालय में आप सरकार के खिलाफ यह जनहित याचिका एक गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) राष्ट्रीय मुक्ति मोर्चा ने दायर की है। इसके लिए एनजीओ ने आप के 21 विधायकों को संसदीय सचिव नियुक्त किए जाने के दिल्ली सरकार के निर्णय को चुनौती दी है। खंडपीठ ने कहा, "हम इस आदेश पर स्थगन नहीं लगा सकते..दिल्ली सरकार ने अतिरिक्त समय मांगा है, पहले उन्हें जवाब देने दें।"दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, केंद्र सरकार और संसदीय सचिव बनाए गए विधायकों के खिलाफ दायर की गई याचिका में नियुक्ति की वैधता पर सवाल उठाते हुए इन्हें रद्द करने का आग्रह किया गया है। 

केजरीवाल सरकार ने फरवरी में दिल्ली की सत्ता संभालने के बाद सरकारी मंत्रालयों में संसदीय सचिवों की नियुक्ति की थी। दिल्ली सरकार का दावा है कि मंत्रालय के कार्यो के सुचारू रूप से संचालन के लिए संसदीय सचिवों की नियुक्ति की गई। साथ ही यह भी स्पष्ट किया गया कि सचिवों को इस पद और काम के लिए कोई वेतन या विशेष सुविधा नहीं दी जाएगी, जिसका मतलब यह हुआ कि राजकोष पर अतिरिक्त भार नहीं होगा। हालांकि सचिवों को मंत्रालय के काम के सिलसिले में सरकारी वाहनों के इस्तेमाल की अनुमति होगी और काम करने के लिए मंत्रियों के कार्यालय में उन्हें अलग कमरा दिया जाएगा।

उधर, याचिका में कहा गया कि ये नियुक्तियां असंवैधानिक, गैरकानूनी और अधिकार क्षेत्र के बाहर हैं। मुख्यमंत्री के पास संसदीय सचिवों को शपथ दिलाने का अधिकार या शक्ति नहीं है। आप के जिन विधायकों को संसदीय सचिव बनाया गया है, उनमें प्रवीण कुमार (शिक्षा), शरद कुमार (राजस्व ), आदर्श शास्त्री (सूचना प्रौद्योगिकी), मदन लाल (सतर्कता), चरण गोयल (वित्त), संजीव झा (परिवहन), सरिता सिंह (रोजगार), नरेश यादव (श्रम), जरनैल सिंह (विकास) और राजेश गुप्ता (स्वास्थ्य) प्रमुख हैं।

पूर्व सॉलिसिटर जनलर गोपाल सुब्रमण्यम आप के समर्थन में

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पूर्व सॉलिसिटर जनरल गोपाल सुब्रमण्यम ने बुधवार को कहा कि दिल्ली के उपराज्यपाल राज्य के मुख्यमंत्री के फैसले को रद्द नहीं कर सकते, क्योंकि यह संवैधानिक व्यवस्था का उल्लंघन है। सर्वोच्च न्यायालय के वकील सुब्रमण्यम ने सचिवों की नियुक्ति एवं स्थानांतरण को लेकर दिल्ली सरकार एवं उपराज्यपाल के अधिकारों के मुद्दे पर आम आदमी पार्टी (आप) सरकार को कानूनी सलाह दी। सुब्रमण्यम ने कहा, "दिल्ली सरकार के फैसलों को उपराज्यपाल रद्द नहीं कर सकते, क्योंकि यह संवैधानिक व्यवस्था का उल्लंघन है।"

उन्होंने कहा, "विशेष रूप से यह अनुच्छेद 14 एवं अनुच्छेद 239 ए ए का उल्लंघन है और संविधान की आधारभूत संरचना के अनुसार गलत है, क्योंकि यह लोकतंत्र एवं सरकार के मंत्रिमंडल के स्वरूप की अवहेलना करती है।"दूसरे प्रावधानों में, अनुच्छेद 239 ए ए के अनुसार, "उपराज्यपाल और उनके मंत्रियों के बीच किसी मसले पर मतभेद होने की स्थिति में उपराज्यपाल मुद्दे को राष्ट्रपति के समक्ष रख सकता है और राष्ट्रपति के फैसले पर अमल कर सकता है। वहीं, फैसले में देर होने पर मसले में अपने विवेक के आधार पर निर्देश दे सकता है।"

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एवं उपराज्यपाल नजीब जंग के बीच वरिष्ठ नौकरशाह शकुंतला गैमलिन को दिल्ली का कार्यवाहक मुख्य सचिव नियुक्त किए जाने के मसले पर ठन गई है। मुख्यमंत्री ने गैमलिन पर बिजली वितरक कंपनियों के लिए लॉबिंग करने का आरोप लगाया है।

झाबुआ (मध्यप्रदेश) की खबर (20 मई)

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समाजोत्थान की दिषा में युवा कलाल संगठन की अभिनव पहल, बैठक में पावर प्रोजेक्ट से दी जानकारी
  • समाज की नई वेब साईट लांच की गई 

jhabua news
झाबुआ---श्री मेवाडा कलाल समाज झाबुआ के बहु आयामी उद्देष्यों को लेकर मेवाडा कलाल समाज सभा जिला झाबुआ एवं आलीराजपुर के बैनर तले मेवाडा कलाल संगठन ने पूरी उर्जा के साथ अपने उद्देष्यों को लेकर  सक्रियता दिखाना शुरू कर दिया है । इसी कडी में मेवाडा  युवा कलाल संगठन जो पिछले 6 माह से अस्तित्व में आया है, उसके द्वारा सदस्यता अभियान चलाकर 150 से अधिक  समाज के सदस्य बना कर इन सदस्यों में से  सक्रिय कार्यकर्ताओं को स्वेच्छिक तौर पर समग्र समाज के सर्वागिण उत्थान की जिम्मेवारियो के लिये 60 सदस्यों को चिन्हित कर कोर कमेटी का गठन किया गया है । इस कोर कमेटी की विषेषता यह है कि  इसकी कार्यकारिणी में अध्यक्ष,उपाध्यक्ष,सचिव जैसे अस्तित्व की लडाई पैदा करने वाले पदों का प्रावधान नही किया गया है । कोर कमेटी का हर सदस्य अपने आपकों अपनी सक्रियता के अनुरूप जिम्मेवारी का वहन करेगा । ऐसी कोर कमेटी ने अपने 6 माह की उपलब्धियों  को सांझा करने के लिये समाज के ही वरिष्ठ संगठन को अमन्त्रित कर एक सामुहिक बैठक निर्माणाधीन  मेवाडा कलाल समाज के मांगलिक भवन मिंडल पर बैठक आयोजित की जिसमें युवा समिति ने समाज के वरिष्ठ पदाधिकारी अध्यक्ष जयंतीलाल बसेर, उपाध्यक्ष चन्दूलाल पडियार,सचिव एजनलाल भानपुरिया, ट्रस्टीगण कन्हैयालाल बसेर, जमुनालाल भानपुरिया,, जीवन पडियार, दिनेष भानपुरिया, रामचन्द्र पडियार, अंबालाल भटेवरा, आदि ने भगवान श्री सहस्त्रबाहू के चित्र पर माल्यार्पण कर बैठक का शुभारंभ किया । तत्पष्चात युवा संगठन ने समाज की वेबसाईड लांच की तथा बेवसाईट की विस्तृत जानकारी पावर प्रोजेक्ट के माध्यम से उपस्थित जनों को दी । समाज की इस वेबसाईट का विमोसमाजचन भी लेपटाप के इंटर बटन को दबाकर किया गया । बैठक जिस मूल उद्देष्य को लेकर बुलाई गई थी उसमें समाज में फैली रूढिवादिता एवं कुरूतियों  जिसकी वजह से समाज अमीरी गरीबी का अंतर स्पष्ट नजर  आने लगा  वं समाज के विकास में एवं एकता में  जो अवरोध का कारण बना हुआ है, ऐसी सभी रूढिवादी कुरूतियों को बिंदूवार अलग अलग बना कर एक एक विषय पर गहन चिंतन कर किस परंपरा को ,नियमबद्ध करके अंकुष लगाया जावे इस पर विस्तृत विचार विमर्ष किया गया । इस विचार मंथन में पधारे हुए हर युवा साथी वं वरिष्ठ पदाधिकारियों ने बढ-चढ कर पूरी गर्मजोषी के साथ विचारो के आदन प्रदान में  सहभागिता की । तदुपरान्त इन बिन्दूओं पर विचार मंथन को प्रस्ताव के रूप  में जिले में समाज के हर परिवार एवं सदस्य तक उनके विचार जानने के लिये एवं सहमति प्राप्त करने के लिये निर्धारित प्रपत्र भेजा जावेगा । सभी प्रपत्रों को संकलित करके सबकी सहमति को सर्वमान्यता के आधार पर उसे नियम के रूप  में लागू किया जावेगा । साथ इन नियमों को तोडने या उल्लंघन करने पर दण्ड के प्रावधान के बारे में भी विचार किया जावेगा । समाज के  युवा साथियों को उत्साहित करने के लिये अध्यक्ष जयंतीलाल बसेर ने उर्जावान उदबोधन से युवाओं का मार्ग प्रषस्त किया । चन्दूलाल पडियार , जीवन पडियार,, युवा वर्ग की ओर से संजय भटेवरा , पंकज भटेवरा, पवन भटेवरा, ओम प्रकाष गेहलोत, राकेष गेहलोत एवं कुषलगढ राजस्थान से पधारे युवा साथियों ने भी अपने विचार व्यक्त किये ।  मिटिंग का सफल संचालन निलेष भानपुरिया द्वारा किया गया ।

पटेलिया आदिवासी समाज के ब्लाक अध्यक्षों की नियुक्तिया हुई, समाज को आगे बढाने के लिये एकजुट होकर काम करेगा समाज 

झाबुआ---पटेलिया आदिवासी समाज जिला झाबुआ के जिला अध्यक्ष शैलेन्द्र सोलंकी ने जानकारी देते हुए बताया कि पटेलिया आदिवासी समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं प्रदेषाध्यक्ष रामसिंह पटेल के निर्देषानुसार जिला झाबुआ में पटेलिया आदिवासी समाज के सर्वांिगण उत्थान एवं पूरे समाज को रूढीवादी परम्परा  की बजाय समाज की मुख्यधारा में जोड कर उनके समग्र विकास की दृष्टि से प्रदत्त अधिकारों का उपयोग करते हुए जिले के सभी 6 विकासखण्डों में पटेलिया आदिवासी समाज के बलाक अध्यक्षों का मनोनयन किया गया है। मदनुसार नाथुभाई रोझ गा्रम मांडलीनाथु को रानापुर ब्लाक अध्यक्ष, करणसिंह परमार गा्रम झीरी को रामा ब्लाक अध्यक्ष, दिनेष मोरी गा्रम खेडी कल्याणपुरा को झाबुआ ब्लाक का अध्यक्ष, संजय सोलंकी मेघनगर को ब्लाक मेघनगर का अध्यक्ष ,पप्पुलाल भूरा गा्रम गोरिया खांदन को ब्लाक थांदला का अध्यक्ष एवं मुन्ना राठौर  गा्रम गोपालपुरा को ब्लाक पेटलावद का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है ।  समाज  के जिलाध्यक्ष शेलेन्द्र सोलंकी ने कहा कि इन ब्लाक अध्यक्षों को निर्देषित किया गया है  िकवे 27 मई तक अधिकतम 51 सदस्यों की समिति का ्रगठन कर उनके नाम जिलाअध्यक्ष को अनिवार्यरूप  से भिजवायें । समाज का कार्य सुचारू तरिके से चले तथा समय समय पर ब्लाक एवं जिला संगठन को आवष्यक मार्गदर्षन दिये जाने के लिये प्रो.जवसिंह भूरिया कंजावानी झाबुआ को सरंक्षक एवं संयोजक का दायित्व सौपा गया है । श्री भूरिया एवं जिला अध्यक्ष समन्वय स्थापित करके गठित समितियों को प्रषिक्षण एवं मार्गदर्षन देने के लिये आवष्यक महल करेगें । श्री सोलंकी ने बताया कि झाबुआ जिले में करीब 25 से 30 प्रतिषत पटेलिया समाज गा्रमीण अंचलों में निवास रत होकर कई कुरूतियों से दूर रह कर सात्वीक जीवन व्यतित कर रहा है तथा अन्यों के लिये अनुकरण एवं आदर्ष उदाहरण प्रस्तुत कर रहा है ं जिला अध्यक्ष के अनुसार जिला स्तरीय पदाधिकारियों एवं कार्यकारिणी की यथाषीघ्र घोषणा की जारही है । जिले के विभिन्न स्थानों के पटेलिया आदिवासी समाज के प्रमुखों ने जिले के सभी दन नियुक्त ब्लाक अध्यक्षों को बधाईया देते हुए उनके मार्गदर्षन में समाज के उततरोत्तर विकास एवं उन्नति की आकांक्षा व्यक्त की है ।

21 मई 2014 को आंतकवाद विरोधी दिवस मनाया जाएगा

झाबुआ---आतंकवाद विरोधी दिवस मनाया जाएगा। आतंकवाद विरोध दिवस मनाने का उद्देश्य यह दर्शाना है कि आतंकवाद राष्ट्रीय हितों के प्रतिकूल है, तथा युवकों को आतंकवादी/हिंसावादी गतिविधियों से पृथक करना है। सभी सरकारी कार्यालयों, सार्वजनिक क्षैत्र के उपक्रमों और अन्य सार्वजनिक संस्थाओं में आतंकवाद/हिंसा विरोधी शपथ 21 मई को प्रातः 11 बजे दिलाई जायेगी।

शपथ
‘‘हम भारतवासी अपने देश की अंहिसा एवं सहनशीलता की परंपरा में दृढ विश्वास रखते हैं तथा निष्ठापूर्वक शपथ लेते हैं कि हम सभी प्रकार के आतंकवाद और हिंसा का डटकर विरोध करेगे। हम मानव जाति के सभी वर्गो के बीच शांति, सामाजिक सद्भावना तथा सूझबूझ कायम करने और मानव जीवन मूल्यों को खतरा पहुंचाने वाली और विघटनकारी शक्तियों से लडने की भी शपथ लेते है।‘‘

प्रभारी मंत्री श्री आर्य जिले के भ्रमण पर

झाबुआ---जिले के प्रभारी मंत्री एवं मंत्री श्रम,पिछडा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण विमुक्त धुमक्कड एवं अर्धधुमक्कड जनजाति कल्याण विभाग मध्यप्रदश्ेा शासन श्री अंतरसिंह आर्य 22, 23, 24 एवं 25 मई को जिले के भ्रमण पर रहेगे। प्रस्तावित कार्यक्रम के अनुसार श्री आर्य 22 मई को सायं 6.30 बजे झाबुआ पहुंचकर रात्रि विश्राम करेगे। अगले दिन 23 मई को प्रातः 10 बजे थांदला में प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना, प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना एवं अटल पेंशन योजना का शुभारंभ करेगे। 24 मई को प्रातः 10 बजे झाबुआ में प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना, प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना एवं अटल पेंशन योजना का शुभारंभ करेगे। 25 मई को प्रातः 10 बजे पेटलावद में प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना, प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना एवं अटल पेंशन योजना का शुभारंभ करेगे। एवं कृषि महोत्सव के लिये कृषि क्रांति रथ को रवाना करेगे।

9 स्वास्थ्य सेवक रथानांतरित

झाबुआ---प्रभारी मंत्री जिला झाबुआ श्री अंतरसिंह आर्य के अनुमोदन उपरान्त 9 स्वास्थ्य सेवको के स्वैच्छिक एवं प्रशासकीय स्थानान्तरण आदेश मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डाॅ. रजनी डाबर ने जारी किये है।
जारी आदेशानुसार श्रीमती मंजुला डामोर म.स्वा.कार्यकर्ता को उपस्वाकेन्द्र बावडी सामुस्वाके पेटलावद से उप स्वा केन्द्र तलावली सामुस्वाके कल्याणपुरा, श्रीमती विद्या कामलिया म.स्वास्थ्य कार्यकत्र्ता को उपस्वाके देवली सामुस्वाकेन्द्र पेटलावद से उपस्वाकेन्द्र बावडी सामुस्वाके. पेटलावद, श्रीमती दीप्ती डामोर म0स्वा0कार्यकत्र्ता को उपस्वाके. रताम्बा सामुस्वाके पेटलावद से उप स्वाकेन्द्र छोटी धामनी सामुस्वाके. थांदला, श्रीमती लतिका खडिया म.स्वा.कार्यकत्र्ता को उपस्वाके पथबरोली सामुस्वाके. पेटलावद से उपस्वाके पलासडोर सामस्वाके. थांदला, श्री आर के शिवहरे ड्रेसर को प्रास्वाके. सारंगी सामुस्वाके पेटलावद से सिविल अस्पताल पेटलावद, श्री अमृतलाल राठौर एमपीडब्ल्यू को उपस्वाके. बनी सामस्वाके पेटलावद से उपस्वाके मोहनकोट सामुस्वाके पेटलावद, एवं श्रीमती बंदना डामोर म.स्वा.कार्यकत्र्ता को उपस्वाके बलोलाबडी सामुस्वाके रामा से उपस्वाके गोलाछोटी सामुस्वाके कल्याणपुरा तथा श्री प्रवीण धमानिया एमपीडब्ल्यू को उपस्वाके बालवासा सामुस्वाके थांदला से उपस्वाके आमलीफलिया सामुस्वाके कल्याणपुरा,  एवं श्री प्रदीप नायक कम्पाउण्डर को सामुस्वाके मेघनगर से सामुस्वाके कल्याणपुरा स्थानांतरित किया गया है।

गेहूॅ खरीदी की तिथि 26 मई तक बढी

झाबुआ ---सरकार द्वारा समर्थन मुल्य पर गेहूॅ खरीदी के लिए तिथि बढा कर 26 मई कर दी गई है। जिले के शेष पंजीकृत किसान जो अपना गेहू खरदी केन्द्र पर बेेचना चाहते है वे अपना गेहूॅ 26 मई तक विक्रय केन्द्र पर ला सकते है। उक्त जानकारी जिला आपूर्ति अधिकारी श्री खानं ने प्रदान की।

नदी पुर्नजीवन अभियान में किया गुलाबी नदी पर श्रमदान

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झाबुआ---जन अभियान परिषद् की प्रस्फुटन समिति कल्याणपुरा द्वारा नदी पुर्नजीवन कार्यक्रम के अन्तर्गत चयनित गुलाबी नदी पर जल संरक्षण अभियान को लेकर श्रमदान किया गया। नदी पुर्नजीवन कार्यक्रम के अन्तर्गत जिले में चयनित सात नदियों में से गुलाबी नदी पर प्रस्फुटन समिति ने श्रमदान कार्य प्रारंभ किया । इस दौरान परिषद् के संभाग समन्वयक श्री अमित षाह ने श्रमदानियों के साथ बैठक में नदी पुर्नजीवन अभियान की जानकारी देते हुए नदियों के संरक्षण एवं उसकी उपयोगिता पर चर्चा की, वही साप्ताहिक या प्रतिदिन श्रमदान की कार्ययोजना बनाकर कार्य करने पर समिति सदस्यों से चर्चा की, चयनित नदी पर पुर्व से निर्मित स्टापडेम , चेकडेम के संरक्षण एवं मरम्मतीकरण को लेकर के ग्रामीणों से सहयोग हेतु चर्चा की । समिति द्वारा किए गए श्रमदान कार्य में परिषद् के जिला समन्वयक , ब्लाक समन्वयक सहित ग्राम सरपंच षंकरभाई , नवांकुर संस्था के दिनेष मोरी सहित अन्य प्रस्फुटन ग्रामों के कार्यकर्ता षामिल हुए । श्रमदान कार्य के पुर्व परिषद् के जिला समन्वयक द्वारा नदी पुर्नजीवन अभियान की त्रैमासिक कार्ययोजना पर विस्तृत जानकारी ग्रामीणों को दी वही परिषद् के ब्लाक समन्वयक द्वारा नदी पर पुर्व से निर्मित स्टापडेम एवं चेकडेम पर समय पर गेट लगाने एवं उनके संरक्षण के लिए ग्रामवार जलप्रहरियों की जानकारी भी बैठक दी गई। नदी पर किए जा रहे श्रमदान कार्य की योजना पर ग्राम सरपंच षंकरभाई द्वारा प्रस्ताव निर्माण किया गया। श्रमदान कार्यक्रम में कल्याणपुरा पंचायत के उपसरंपच प्रकाष राठोर , सचिव घनष्याम राठोर, मूलसिंग बामनिया, खुमानसिंग , गोपाल कटारा सहित समिति सदस्य एवं ग्रामीणजन मौजूद रहे। करीब 1 घण्टें तक चले श्रमदान में 2 ट्राली मोरम निकालकर श्रमदान अभियान का षुभारंभ किया गया।

परख वीडियो कांॅन्फ्रेस आज 21 मई को

झाबुआ---परख वीडियो काॅन्फ्रेन्सिंग का आयोजन 21 मई को प्रातः 11 बजे से आयोजित होगा। जिले में हैण्डपम्प का संचालन एवं संधारण की स्थिति, उपार्जन की प्रगति, जिले में शुद्ध पेयजल की स्थिति, असामयिक वर्षा एवं ओलावृष्टि से फसलों आदि को हुए नुकसान के लिए राहत राशि वितरण की स्थिति, जाति प्रमाण-पत्र बनाए जाने के विशेष अभियान की प्रगति एवं आधार पंजीयन की स्थिति, की जानकारी लेकर नियत समय पर एनआईसी के विडियो क्रांफ्रेंस कक्ष में संबंधित अधिकारियों को अनिवार्यतः उपस्थित रहने के लिये प्रभारी कलेक्टर श्री धनराजू एस. द्वारा निर्देश जारी किए गए हैं।

25 मई से 15 जून तक कृषि मह¨त्सव मनाया जायेगा

झाबुआ---प्रभारी कलेक्टर श्री धनराजू एस. ने बताया कि कृषि मह¨त्सव प्रदेश में 25 मई से 15 जून तक मनाया जायेगा। कृषि संबंधि सभी विभागों को इसमें सक्रिय भागीदारी निभाना होगी। कृषि मह¨त्सव में अविवादित नामान्तरण, अविवादित बंटवारा, सीमांकन, किसान क्रेडिट कार्ड का वितरण आदि कार्य संपादित किए जाएंगे। साथ ही इस दौरान प्रधानमंत्री बीमा सुरक्षा य¨जनाअ¨ं के तहत जिले के प्रत्येक नागरिक क¨ लाभ दिलवाने का अभियान चलाया जाएगा। ग्रामों में कृषि क्रांति रथ रवाना किए जाएंगे। इसके माध्यम से किसान¨ं क¨ कृषि की नवीनतम तकनीक अ©र श¨ध के बारे में जागरूक किया जायेगा। किसानों के खेतों की मिट्टी का परीक्षण भी किया जाएगा। कृषि क्रांति रथ में जीपीएस सिस्टम लगा होगा, जिससे रथ की सतत निगरानी हो सकेगी। हितग्राहियों की सूची विकासखण्डवार तैयार कर उपलब्ध कराने के निर्देश प्रभारी कलेक्टर श्री धनराजू एस ने कृषि विभाग राजस्व विभाग एवं कृषि सबंधि विभागो के कार्यालय के प्रमुखों को दिये।

प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना एव जीवन ज्योति बीमा योजना, के लिए 23 24 एवं 25 को लगेगे शिविर

झाबुआ----प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना एवं जीवन ज्योति बीमा योजना में बीमा योजना के फार्म भरवाने के लिए लीड बैंक मैनेजर श्री पाण्डे के नेतृत्व में 23 मई को थांदला में, 24 मई को झाबुआ में एवं 25 मई को पेटलावद में शिविर लगाये जायेगे।

भुकंप पीडितों के लिए स्वास्थ्य विभाग ने जमा किये 3 लाख

झाबुआ---नेपाल में आये भीषण भूकंप से पीडित व्यक्तियों की सहायता के लिए स्वास्थ्य विभाग के शासकीय सेवको नें मुख्यमंत्री राहत कोष में 3 लाख रूपये जमा किये।

जनसुनवाई में सुनी गई समस्याएं

झाबुआ---शासन के निर्देशानुसार प्रातः 11 बजे से जनसुनवाई कार्यक्रम आयोजित किया गया। जनसुनवाई में जनसमस्या सें संबधित आवेदन प्राप्त हुवे। जनसुनवाई में आवेदन संयुक्त कलेक्टर श्री एन.एस. राजावत ने लिये। आवेदन निराकरण के लिये संबंधित विभागों को आॅनलाइन भेज दिये गये है।

संगीता ने आॅपरेशन फैल होने पर मांगी आर्थिक मदद
जनसुनवाई में श्रीमती संगीता पति मोहन निवासी सेमलिया नारेला तहसील थांदला ने नसबंदी आपरेशन फैल हो जाने पर आर्थिक सहायता दिलवाने के लिए आवेदन दिया। संगीता ने बताया कि ढेड वर्ष पूर्व पेटलावदके शासकीय हास्पिटल में उसने दो बच्चो के बाद नसबंदी आॅपरेशन करवाया था किंतु आपरेशन फैल हो जाने से वह पुनः गर्भवती हो गई। सुकराम पिता वाला निवासी सागडिया तहसील पेटलावद ने कपिल धारा योजनांतर्गत स्वीकृत कूप की राशि का भुगतान करवाने के लिए आवेदन दिया। सुकिया पिता जाम्बु निवासी कुन्दनपुर तहसील रानापुर ने मुख्य मंत्री आवास के लिए आवेदन दिया। वरसिंह पिता मांगू निवासी ग्राम सागडिया तहसील पेटलावद ने सरपंच सचिव द्वारा शासकीय योजनाओ में लाभ नहीं दिलवाने एवं उचित मूल्य की दुकान के संचालक द्वारा खाद्य सामाग्री नहीं देने की शिकायत की। जगदीश पोरवाल निवासी लुनेरा तहसील रतलाम ने ग्राम पंचायत नारेला, ग्राम पंचायत कुकडीपाडा, नौगांवा एवं भामल में मनरेगा योजना में किये गये ब्लास्ंिटग कार्य का भुगतान करवाने के लिए आवेदन दिया। कमली पिता लाला कटारा निवासी पन्नास तहसील पेटलावद ने पनास तालाब की नहर में गई भूमि के मुआवजा राशि के चेक की अवधि बढवाने के लिए आवेदन दिया। तेरू पिता फुलजी एवं अन्य ग्रामीण निवासी सजेली नानिया साथ ने कपिल धारा कूप तक विद्युत पेाल लगवाने हेतु आवेदन दिया। सेवानिवृत्त शासकीय सेवक शांतिलाल जैन निवासी रानापुर ने शेष पेंशन राशि व एरियर का भुगतान करवाने के लिए आवेदन दिया। अनसिंह पिता भीला निवासी खेडी तहसील झाबुआ ने इंदिरा आवास स्वीकृत करवाने के लिए आवेदन दिया। जोगडा पिता वालू निवासी नेगडिया तहसील झाबुआ ने एक बत्ती कनेक्शन दिलवाने के लिए आवेदन दिया। 

आवेदक स्वयं भी देख सकते है निराकरण
आवेदक किसी विषय के संबंध में एक बार आवेदन प्रस्तुत करने के पश्चात उसी विषय पर या वही आवेदन पुनः प्रस्तुत न करे। पूर्व में दी गई रसीद प्रस्तुत करे। ऐसा करने में निराकरण शीघ््रा हो सकेगा। आवेदक द्वारा प्रस्तुत आवेदन/शिकायत के निराकरण हेतु झाबुआ जिले की वेबसाईट ूूूण्रींइनंण्दपबण्पद  पर जनसुनवाई पर क्लिक करें तथा अपना जिला झाबुआ चयन करे। आपका युजर नेम हनमेज है एवं पासवर्ड हनमेज’123 है। उक्त यूजरनेम एवं पासवर्ड के माध्यम से एक विन्डों ओपन होगी जहाॅ पर आप अपना जनसुनवाई पंजीयन क्रमांक डालकर आपके आवेदन/शिकायत पर की गई कार्यवाही की स्थिति जान सकते है। यदि किए गए निराकरण से आप संतुष्ट नहीं है तो रंदेनदूंपरींइनं/हउंपसण्बवउ  पर  म.उंपस  कर सकते हे। ई-मेल में आपका जनसुनवाई पंजी क्रमांक अनिवार्यतः अंकित करे।

मिशन इन्द्र धनुष का तीसरा चरण 7 जून से 15 जून तक चलेगा

झाबुआ---मिशन इन्द्रधनुष अभियान का द्वितीय चरण 07 मई 2015 से 14 मई 2015 तक आयोजित किया गया जिसमें लक्षित महिलाएॅ 1559 में से 995 टीकाकृत हुई जिसका टीकाकरण 64 प्रतिशत रहा एवं लक्षित बच्चों 6467 में से 4568 का टीकाकरण 71 प्रतिशत रहा इस अभियान की उपलब्धि में अंतर्विभागीय सहयोग व समस्त स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं का सामुहिक परिणाम रहा है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डाॅ. रजनी डावर ने जनता से अपील की है की आगामी तृतीय चरण 07 जून से 15 जून 2015 हेतु निकटतम स्वास्थ्य केन्द्र पर निःशुल्क टीकाकरण हेतु पंजीयन करवा लें स्वास्थ्य कार्यकत्र्ता को पुनः हेडकाउण्ट का सर्वे करने के लिए निर्देशित किया है। जिससे की शत-प्रतिशत गर्भवती माताओं व शिशुओं को टीके लगाए जाने हेतु विस्तृत कार्य योजना बनाई जा सके।

21 एवं 22 मई को आयोजित होगा रोजगार मेला

झाबुआ---जिले के बेरोजगार आवेदकों को विभिन्न निजी संस्थानों में रोजगार का लाभ दिलाने के लिए 21 एव 22 मई 2015 को दो दिवसीय रोजगार मेले का आयोजन जिला रोजगार कार्यालय झाबुआ के तत्वाधान में आई टी आई.अनास नदी के पास झाबुआ में होगा। इस संबंध में जिला रोजगार अधिकारी के एस ठाकुर ने बताया कि झाबुआ जिले के आवेदक जो 18 से 35 वर्ष तक आयु के हो एवं 8 वी, हाईस्कूल, हायर सेकेन्डरी, स्नातक, स्नातकोत्तर, आई टी आई उत्तीर्ण हो, शैक्षणिक योग्यताओं की अंकसूची, रोजगार कार्यालय का पंजीयन जाति एवं मूल निवासी के प्रमाण पत्रों की छायाप्रति एवं पासपोर्ट साइज फोटो लेकर रोजगार मेले का लाभ उठा सकते है। इस रोजगार मेले में लगभग 10 औद्योगिक संस्थान एमफासीस इन्दौर, डेक्कन जाॅब साॅल्यूशन्स इन्दौर, एलआईसी झाबुआ, चेकमेट सिक्यूरिटी कंपनी अहमदाबाद, शिवालीक एपरल्स प्रायः लि.पीथमपुर, सी एल एज्युकेट लिमि. भोपाल, प्रतिभा सिन्टेक्स पीथमपुर, सोनालिका ट्रेक्टर्स पीथमपुर,क्राॅम्पटन ग्रीव्स पीथमपुर, नवकिसान फर्टिसाइजर्स भोपाल उपस्थित हो रहे है। उक्त संस्थानों द्वारा लगभग 200-250 आवेदकों की भर्ती संस्थान अपने मापदण्डों के अनुसार करेगे।

प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना एवं जीवन ज्योति बीमा योजना में 32000 खाता धारक जुडे, लगाए गे षिविर

झाबुआ---लीड बैंक मैनेजर श्री पाण्डे ने बताया कि जिले में प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना एवं जीवन ज्योति बीमा योजना में 32 हजार से अधिक उपभोक्ता बीमा योजना से जुड चुके है। केन्द्रीय सहकारी बैंक मर्यादित झाबुआ के महाप्रबंधक श्री कुर्मी ने बताया कि बैंक के बचत बैक खाता धारको में से प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना में 1344 एवं जीवन ज्योति बीमा योजना में 907 खाता धारको द्वारा बीमा योजना के फार्म भर दिये गये है। 

प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना एव जीवन ज्योति बीमा योजना के लिए 23 24 एवं 25 को लगेगे शिविर   प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना एवं जीवन ज्योति बीमा योजना में बीमा योजना के फार्म भरवाने के लिए लीड बैंक मैनेजर श्री पाण्डे के नेतृत्व में 23 मई को थांदला में, 24 मई को झाबुआ में एवं 25 मई को पेटलावद में शिविर लगाये जायेगे।

जुआ खेलते आठ आरोपी गिरफतार नगदी जप्त 

झाबुआ--- पुलिस अधीक्षक जिला झाबुआ श्रीमती कृष्णा वेणी देसावतु ने बताया कि आरोपी दिनेश पिता मोहन अन्य 05 निवासीगण खवासा 02 कानवन जिला धार को ताश पत्ते से हार जीत का जुआ खेलते गिरफतार कर ताश पत्ते व नगदी 53470 रू0 जप्त कर अपराध पंजीबद्ध किया। प्रकरण में थाना थांदला में अपराध क्रमांक 130/15, धारा 3/4क जुआ एक्ट भादवि का कायम कर विवेचना में लिया गया।

जहरीली दवाई पीने से मौत
        
झाबुआ---फरियादी हकरिया पिता दिलीया डामोर उम्र 40 वर्ष निवासी सीएचसी झाबुआ ने बताया कि मृतिका रेतु उर्फ रेबु तुषार वसुनिया उम्र 18 वर्ष निवासी घोसलिया की जहरीली दवाई पिने से ईलाज के दौरान मृत्यु हो गयी। प्र्रकरण में थाना मेघनगर में मर्ग क्रमांक 16/15, धारा 174 जाफौ का कायम कर विवेचना में लिया गया।

बहला फुसला कर किया बलात्कार 
        
झाबूआ--- फरियादिया ने बताया कि वह गांव में वाना देखने गयी थी वहां आरोपी राजु पिता कालु मेडा निवासी अमरपुरा का आया औरत बनाने की नियत से बहला फुसलाकर ले गया व बलात्कार किया बाद गुजरात ले जाकर रखा मोका देखकर भाग कर अपने घर आयी व आने पर कायमी की गयी। प्र्रकरण में थाना कल्याणपुरा में अपराध क्रमांक 97/15, धारा 366,376 भादवि का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया।

बुरी नियत से हाथ पकडा
  
झाबुआ---फरियादिया ने बताया कि वह घर के आंगन में खटिये पर सोयी थी, आरोपी  पिंजु पिता कालिया हटीला निवासी समोई आया व बुरी नियत से हाथ पकड़ा व साथ में सो गया, चिल्लाने पर भाग गया। प्र्रकरण में थाना रानापुर में अपराध क्रमांक 236/15, धारा 354 भादवि का कायम कर विवेचना में लिया गया।

लूट का अपराध पंजीबद्ध
         
झाबुआ---फरियादी मुकेश पिता प्यारचंद चैधरी उम्र 48 वर्ष निवासी रानापुर ने बताया कि वह अपनी मोसा0 टीवीएस क्र0 एमपी 45 एमई 5691 से अपने घर आ रहा था, तीन अज्ञात बदमाश मो0सा0 लेकर आये व उसकी मो0सा0 रूकवाई व मोसा0 छीनकर भाग गये, प्र्रकरण में थाना रानापुर में अपराध क्रमांक 235/15, धारा 392 भादवि का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया।

पत्नि बनाने के लिए किया अपहरण 

झाबुआ---फरियादी निर्मला पति जितेन्द्र भूरिया, उम्र 22 निवासी पिपलीपाड़ा ने बताया कि अपर्हता संजू पिता भूरिया अपने गांव में शादी होने पर घर अकेली थी। आरोपी मो0सा. पर आये व संजू को आरोपी मुकेश की पत्नि बनाने की नीयत से जबरन पकडकर अपहरण कर मो0सा0 बैठाकर ले गये। प्र्रकरण में थाना कोतवाली झाबुआ में अपराध क्रमांक 348/15, धारा 363,366 भादवि एवं 7/8 लैगिक अप0 से बालकों का संरक्ष्ण अधि0 का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। 

चोरी का अपराध पंजीबद्ध 

झाबुआ---फरियादी धुडा पिता जहू खराडी उम्र 40 वर्ष निवासी बडी हिडी ने बताया कि उसके घर में रखे डिब्बे की आवाज आने पर देखा तो अज्ञात आरोपी डिब्बा लेकर भाग रहा था चिल्लाने पर डिब्बा व एक मो0सा0 छोडकर भाग गया, डिब्बे में रखी एक चांदी की साकली व एक जोड चांदी की वाहठीया नही मिली, चुराकर ले गया। प्र्रकरण में थाना कालीदेवी में अपराध क्रमांक 68/15, धारा 380 भादवि का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया।

खवासा आदीम जाती सेवा सहकारी संस्था मे 15 लाख का गबन

झाबुआ---फरियादी रामप्रकाश पिता रधुनाथ त्रिपाठी, उम्र 47 निवासी प्रभारी शाखा पर्यवेक्षक जिला सहकारी बैंक झाबुआ शाखा बामनिया ने बताया कि आरोपी जगदीश पिता नदंराम पाटीदार संस्था प्रबंधक आ0जा0सेवा सह0 संस्था मर्यादित खवासा द्वारा 15,14,293/-रूपये के फर्जी चालान व दस्तावेज तैयार कर हेराफेरी कर गबन किये गये व स्वंय द्वारा अनैतिक लाभ प्राप्त किया गया। आवेदन प्राप्त होने पर कायमी कर विवचेना में लिया गया। प्र्रकरण में थाना थांदला में अपराध क्रमांक 131/15, धारा 420,467,468,471,409 भादवि का पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। 

विदिशा (मध्यप्रदेश) की खबर (20 मई)

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निकाय निर्वाचन की समीक्षा बैठक आज

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विदिशा नगरपालिका के आम निर्वाचन के लिए की गई अब तक की तैयारियों का जायजा राज्य निर्वाचन आयोग के आयुक्त, सचिव एवं अन्य पदाधिकारियों के द्वारा लिया जाएगा। उनके द्वारा 21 मई गुरूवार को विदिशा में बैठक भी आहूत की गई है। यह बैठक कलेक्टेªट के सभाकक्ष में प्रातः 11 बजे से प्रारंभ होगी।कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी (स्थानीय निर्वाचन) श्री एमबी ओझा ने निकाय निर्वाचन कार्यो के लिए गठित प्रकोष्ठोें के नोड्ल अधिकारियों से कहा है कि वे निकाय निर्वाचन संबंधी समुचित जानकारियों सहित बैठक में उपस्थित होना सुनिश्चित करें।

मतदान केन्द्रों पर पुख्ता प्रबंध सुनिश्चित करें

कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी (स्थानीय निर्वाचन) श्री एमबी ओझा ने विदिशा नगरपालिका के आम निर्वाचन के मतदान केन्द्रोें पर आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश संबंधितों को दिए है। जारी आदेश में उल्लेख है कि मतदान केन्द्रों पर मतदाताओं को आवश्यक मूलभूत सुविधाएं यथा स्वच्छ पेयजल, शौचालय, रेम्प, विद्युत, छायादार स्थल, फर्नीचर, हेल्प डेस्क एवं मतदाताओं को आने जाने के लिए अलग-अलग दरवाजे मतदान केन्द्रों में उपलब्ध हो। उन्होंने सभी मतदान केन्द्रों का भौतिक सत्यापन कर संबंधितों से प्रमाण पत्र उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिए है। उन्होंने कहा है कि इस बात का विशेष ध्यान रखा जाए कि मतदान दिवस पर मतदान केन्द्रों पर मतदाताओं को कोई भी असुविधा ना हो।

जिला स्तरीय स्टेडिंग कमेटी का गठन

कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी (स्थानीय निर्वाचन) श्री एमबी ओझा ने विदिशा नगरपालिका के आम निर्वाचन प्रक्रिया को सुव्यवस्थित एवं निष्पक्ष सम्पन्न कराए जाने के उद्धेश्य से जिला स्तरीय स्टेडिंग कमेटी का गठन करने के आदेश जारी कर दिए है। कलेक्टर स्वंय इस समिति के अध्यक्ष होंगे जबकि समिति में बीस सदस्य शामिल किए गए है। जिला स्तरीय स्टेडिंग कमेटी के सदस्य के रूप में शामिल किया गया है उनमंे पुलिस अधीक्षक, जिला पंचायत सीईओ, अपर कलेक्टर, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक, अध्यक्ष इंडियन नेशनल कांग्रेस शाखा विदिशा या उनके द्वारा अधिकृत प्रतिनिधि, अध्यक्ष भारतीय जनता पार्टी शाखा विदिशा या उनके द्वारा अधिकृत प्रतिनिधि, अध्यक्ष बहुजन समाज पार्टी शाखा विदिशा या उनके द्वारा अधिकृत प्रतिनिधि, अध्यक्ष नेशनलिस्ट कांग्रेस शाखा विदिशा या उनके द्वारा अधिकृत प्रतिनिधि, जिला सचिव कम्युनिष्ट पार्टी आफ इंडिया शाखा विदिशा या उनके द्वारा अधिकृत प्रतिनिधि, जिला सचिव कम्युनिष्ट पार्टी आफ इंडिया (माक्र्सवादी) शाखा विदिशा या उनके द्वारा अधिकृत प्रतिनिधि, अध्यक्ष राष्ट्रीय जनता दल जिला शाखा विदिशा, अध्यक्ष समाजवादी पार्टी, शाखा विदिशा, उप जिला निर्वाचन अधिकारी, अनुविभागीय अधिकारी, जिला कोषालय, परियोजना अधिकारी जिला शहरी विकास अभिकरण, जिला योजना अधिकारी, जिला संयोजक आदिम जाति कल्याण विभाग, जिला जनसम्पर्क अधिकारी और विदिशा नगरपालिका निर्वाचन 2015 के समस्त अभ्यर्थीगण जिला स्तरीय स्टेडिंग कमेटी के सदस्य होंगे।

प्रकोष्ठों का गठन

कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी (स्थानीय निर्वाचन) श्री एमबी ओझा ने विदिशा नगरपालिका के आम निर्वाचन की तैयारी एवं कार्यो के सम्पादन के लिए विभिन्न प्रकोष्ठों का गठन करने के आदेश जारी कर दिए है। संबंधित प्रकोष्ठ के बेहतर संचालन के लिए जिला स्तरीय नोड्ल अधिकारी भी उनके द्वारा नियुक्त किए गए है। नोड्ल अधिकारियों की मदद के लिए सहयोगी अधिकारी एवं कर्मचारी भी तैनात किए गए है। जिला निर्वाचन अधिकारी के द्वारा गठित प्रकोष्ठ में ईव्हीएम प्रबंधन प्रकोष्ठ, कार्मिक प्रबंधन प्रकोष्ठ, प्रशिक्षण प्रकोष्ठ, कानून एवं व्यवस्था सेल, सामग्री प्रबंधन सेल, निर्वाचन कत्र्तव्य मत पत्र प्रबंधन सेल, रूट चार्ट, परिवहन प्रबंधन सेल, आदर्श आचरण संहिता का क्रियान्वयन प्रकोष्ठ, मतपत्र का प्रबंधन, मीडिया मैनेजमेंट और पेड न्यूज नियंत्रण प्रकोष्ठ, मतगणना प्रबंधन, कम्युनिकेशन प्लान प्रबंधन, आईटी प्रबंधन, सामग्री प्रदान एवं वापसी प्रबंधन, निर्वाचन व्यय लेखा प्रबंधन, वित्तीय प्रबंधन, शिकायतों की माॅनिटरिंग सेल, सेन्स, सांख्यिकी आंकडों का प्रबंधन, मतदान केन्द्रों पर व्यवस्था प्रबंधन और वाहन व्यवस्था सेल शामिल है।कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी ने गठित प्रकोष्ठो के नोडल अधिकारियों से कहा है कि निर्वाचन आयोग के दिशा निर्देशानुसार नगरपालिका विदिशा के आम निर्वाचन 2015 के अंतर्गत सौंपे गए दायित्वों का पूर्ण ईमानदारी एवं समय सीमा में निर्वहन करते हुए निर्वाचन से संबंधित सभी व्यवस्थाएं, आयोग एवं जिला निर्वाचन कार्यालय से समय-समय पर प्राप्त होने वाले निर्देश पत्रादि को फोल्डर, फाईल में सुरक्षित रखे और निर्देशो के अनुरूप कार्यवाही करना सुनिश्चित करें और समीक्षा बैठकों में की गई कार्यवाही से अवगत कराएं। 

आतंकवाद विरोधी दिवस आज

प्रतिवर्ष 21 मई को आतंकवाद विरोधी दिवस मनाया जाता है इस दिन प्रातः 11 बजे आतंकवाद विरोधी दिवस की शपथ अधिकारी, कर्मचारियो को दिलाई जाती है। सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा आतंकवाद विरोधी दिवस मनाए जाने के संबंध में आवश्यक दिशा निर्देश जारी किए गए है जिसमें विद्यालय, महाविद्यालयों में आतंकवाद राष्ट्रीय हितों के प्रतिकूल है तथा युवकों को आतंकवादी, हिंसावादी गतिविधियों से पृथक रखने के उद्धेश्य से शैक्षणिक संस्थाओं में विविध कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। जिसमें मुख्यतः परिचर्चा, सेमीनार, व्याख्यान जो आतंकवाद और हिंसा के खतरे के संबंध में आयोजित की जाएगी। इसी प्रकार स्वंयसेवी संगठनों, सामाजिक एवं सांस्कृतिक निकायों को भी व्याख्यानों, चर्चाओं, परिचर्चाओं, संगीत और काव्य पाठ इत्यादि कार्यक्रम समारोह के दौरान आयोजित किए जाएंगे।

राहत राशि जारी 

नटेरन तहसील में ओलावृष्टि से जिन किसानों की फसलों की क्षति हुई है उन्हें  कलेक्टर श्री एमबी ओझा ने आरबीसी के प्रावधानो के तहत राहत राशि 45 हजार 859 रूपए जारी कर दी है। नटेरन तहसीलदार को ततसंबंध मंे निर्देश दिए गए है कि उप कोषालय में बिल प्रस्तुत कर ई-पेमेन्ट के माध्यम से पीडि़त कृषकों के खाते में राशि जमा कराते हुए उपयोगिता प्रमाण पत्र जिला कार्यालय को भिजवाना सुनिश्चित करें।

पेंशनधारी बैंको में खाते खुलवाएं

जिले के ऐसे पेंशनधारी जिन्हें पोस्ट आफिस के माध्यम से राशि प्रदाय की जा रही है उन सभी पेंशनधारियों से सामाजिक न्याय एवं निःशक्त कल्याण विभाग के उप संचालक ने आग्रह किया है कि वे अपने पेंशन खाते नजदीक की बैंक में खुलवाए ताकि शासन द्वारा प्रारंभ की गई नवीन अटल पेंशन योजना, प्रधानमंत्री सुरक्षा पेंशन योजना, प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना इत्यादि से सीधे लिंक कराए जा सकें। जिला पंचायत के सीईओ श्री चन्द्रमोहन मिश्र ने समस्त जनपदो के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों और निकायों के अधिकारियों से कहा है कि वे चिन्हित ऐसे पेंशनधारी जिनके खाते पोस्ट आफिसों में है उनके खाते बैंको में खुलवाने की कार्यवाही शीघ्र करें और संबंधित हितग्राही का नाम, बैंक का नाम, खाता नम्बर, आईएफएससी कोड या बैंक पासबुक की फोटो काॅपी सामाजिक न्याय विभाग को उपलब्ध कराए ताकि हितग्राहियों को पूर्व उल्लेखित योजनाओं से जोडा जा सकें। 

तकनीकी दलो का गठन

कृषि महोत्सव आयोजन के अंतर्गत कृषि क्रांति रथों के साथ तकनीकी क्षेत्र में माहिर अधिकारियों एवं कर्मचारियों को संलग्न करने के लिए कलेक्टर श्री एमबी ओझा के द्वारा विकासखण्डवार तकनीकी दल गठित करने के आदेश जारी कर दिए है। कृषि क्रांाति रथ हर दिन तीन ग्रामों का भ्रमण कर चैथे ग्राम में रात्रि विश्राम करेगा। तकनीकी सहयोग के लिए प्रत्येक विकासखण्ड के दल में कृषि, पशुपालन, उद्यानिकी, मत्स्य और प्रगतिशील कृषकों को शामिल किया गया है। दल के सदस्य भ्रमण के दौरान विभागीय योजनाओं के क्रियान्वयन में हुए नवाचार से अवगत कराएंगे। तकनीकी दल के सदस्यों को स्पष्ट निर्देश दिए गए है कि बिना किसी पूर्व अनुमति के रथ को छोड़कर अन्यत्र नही जाएंगे। 

ऍफ़ डी आई रिटेल पर जेटली के बयान का कैट ने किया स्वागत

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  • ऍफ़ डी रिटेल नोटिफिकेशन को वापिस लेने की मांग
  • देश भर के व्यापारी नेताओं की बैठक 8  जून को नागपुर में

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केंद्रीय वित्त मंत्री श्री अरुण जेटली के बयान की बहु ब्रांड खुदरा कारोबार नें ऍफ़ डी आई के पक्ष में कभी नहीं रही भाजपा का कॉन्फ़ेडरेशन ऑफ़ आल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने स्वागत किया है और कहा है की श्री जेटली के बयान से स्पष्ट है की भाजपा और सरकार दोनों मल्टी ब्रांड रिटेल में विदेशी निवेश के खिलाफ हैं ! कैट ने मांग की है की क्योंकि भाजपा और सरकार दोनों ही इस नोटिफिकेशन के विरोध में है अत : सरकार को तुरंत इस नोटिफिकेशन को वापिस लेना चाहये!

कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री बी.सी.भरतिया एवं राष्ट्रीय महामंत्री श्री प्रवीन खण्डेलवाल ने कहा की जिस नोटिफिकेशन का वर्ष 2012 में समस्त विरोधी दलों ने विरोध किया था उस नोटिफिकेशन को तुरंत वापिस लेना चाहिए क्योंकि वैसे भी यह नोटिफिकेशन श्री जेटली द्वारा दिए गए बयान के विपरीत है ! वर्तमान सरकार के अंतर्गत यह नोटिफिकेशन ऍफ़ डी आई पालिसी का अभी तक हिस्सा है और श्री जेटली के बयान के मुताबिक भाजपा और सरकार दोनों ही मल्टी ब्रांड रिटेल में ऍफ़ डी आई के विरोध मैं है इस दृष्टि से इस नोटिफिकेशन का सरकार की नीति के अंतर्गत जारी रहना कतई तर्कसंगत नहीं है 

इस मुद्दे पर कैट शीघ्र ही वित्त मंत्री और वाणिज्य मंत्री से मिलने का समय मांगेगा और इस नोटिफिकेशन के सभी पहलुओं से उनको अवगत कराते हुए एवं देश के व्यापारियों द्वारा इसे स्वीकार नहीं किया जाने का निर्णय बताते हुए इस नोटिफिकेशन को वापिस लेने की मांग करेगा !

उन्होंने यह भी कहा की देश के रिटेल व्यापार को व्यवस्थित करने की बेहद जरूरत है ! वर्तमान में रिटेल व्यापार कई वर्गों में विभाजित है जिसमें मुख्य रूप से व्यापारी, ई कॉमर्स, होलसेल कैश एंड कैर्री तथा डायरेक्ट सेल्लिंग प्रमुख है ! अफ़सोस है की जहाँ व्यापारियों को अनेक प्रकार के कानूनों की पलना करनी पड़ती है वहीँ दूसरी ओर ई कॉमर्स व्यापार के लिए कोई स्थापित नियम एवं कानून नहीं है ! ई कॉमर्स व्यापार करने वाली कंपनियां नियम कानून के आभाव में अपने हिसाब से व्यापार कर रही हैं ओर विदेशी निवेश प्राप्त कर रही हैं तथा लगत से भी काम मूल्य पर माल बेच कर रिटेल व्यापार पर अपना आधिपत्य जमाने की कोशिश में लहि हुईं है ! इसका विपरीत असर व्यापारियों के व्यापार पर पड़ रहा है ! अनेकों बार ध्यान दिलाने के बाद भी अभी तक सरकार की ओर से इस बारे मैं कोई कदम नहीं उठाया गया है !

दूसरी तरफ होलसेल कॅश एंड कैर्री के अंतर्गत व्यापार करने वाले स्टोर सीधे उपभोक्ताओं को माल बेच रहे हैं जो वो इस पालिसी के अंतर्गत नहीं कर सकते ! इसी प्रकार डायरेक्ट सेल्लिंग व्यापार में भी बड़े पैमाने पर कर कानूनों का मखौल उड़ाया जा रहा है जिसका बुरा असर व्यापारियों के व्यापार पर पड़ रहा है !

इन मुद्दों पर भविष्य की रन नीति तय करने के लिए कैट ने देश के सभी राज्यों के प्रमुख व्यापारी नेताओं की एक विशेष बैठक आगामी 8 जून को नागपुर में बुलाई है

भूमि विधेयक के कारण आत्महत्या कर रहे किसान : पायलट

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नरेंद्र मोदी सरकार पर जनता से किए गए वादों को पूरा करने के लिए प्रयास न करने का आरोप लगाते हुए कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने बुधवार को कहा कि भूमि अधिग्रहण विधेयक के कारण किसान आत्महत्या करने को मजबूर हो रहे हैं। पायलट ने कहा, "इस सरकार ने पूरे देश में फसल नष्ट होने के कारण परेशान हो रहे किसानों की सहायता के लिए कुछ भी नहीं किया है। किसानों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य में भी वृद्धि नहीं की गई है। सब्सिडी में कमी कर दी गई और इससे भी बड़ी बात तो यह है कि भूमि अधिग्रहण विधेयक किसान के सिर पर तलवार की तरह लटक रहा है।" राजस्थान प्रदेश कांग्रेस समिति के अध्यक्ष सचिन पायलट ने कहा, "किसान आर्थिक असुरक्षा के कारण नहीं बल्कि दीर्घकालिक कृषि संबंधी तनाव के कारण आत्महत्या कर रहा है। ऊपर से किसान को इस बात का डर है कि बिना उनकी अनुमति के उनसे जमीन ली जा सकती है।"

सामाजिक सुरक्षा के क्षेत्र में 66,250 करोड़ रुपये के बजटीय आवंटन को कम करने पर मोदी सरकार पर हमला करते हुए पायलट ने कहा कि प्रधानमंत्री लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान जनता से किए गए वादों को पूरा करने के लिए प्रयास भी नहीं कर रहे हैं। उन्होंने कहा, "यह समय है कि हम उनके दल द्वारा किए जा रहे प्रचार की बजाय मोदी सरकार के एक साल के कामकाज की सच्चाई देखें।"उन्होंने कहा, "सामाजिक क्षेत्र की योजनाओं में इस सरकार ने 66,250 करोड़ रुपये के बजटीय आवंटन की कमी की है। इन योजनाओं में आईसीडीएस, मध्यान्ह भोजन, स्वास्थ्य, शिक्षा, आदि शामिल हैं। पूरे समाजिक सुरक्षा क्षेत्र के बजटीय आवंटन में सरकार ने कमी की है।"

राजस्थान कांग्रेस के अध्यक्ष ने कहा, "जब बात विफलता की होती है तो मोदी सरकार पूर्ववर्ती सरकार को जिम्मेवार ठहराती है। लेकिन जब बात सफलता की होती है तो यह सरकार उसका श्रेय ले लेती है। चाहे चंद्रयान हो, मंगल मिशन हो अथवा कश्मीर में रेलवे लाइन हो मोदी सरकार ने इन परियोजनाओं में लेस मात्र भी काम नहीं किया लेकिन श्रेय पूरा ले लिया।"उन्होंने कहा, "इस सरकार के पिछले एक साल के कार्यकाल के दौरान ईंधन की कीमतों में आठ बार वृद्धि हुई है। रसोई गैस, रेलवे किराया, सेवा कर वैट आदि सभी में वृद्धि ही हुई है। यह सरकार अपने वादे पूरे नहीं कर पा रही है।"पायलट ने कहा, "यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि प्रधानमंत्री का एजेंडा जनता का कल्याण नहीं बल्कि राजनीति चमकाना है।"उन्होंने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर अपनी मूल विचारधारा से समझौता करने का भी आरोप लगाया। 

उन्होंने कहा, "भाजपा का समझौता करने का इतिहास रहा है। चुनाव के दौरान पार्टी कहती थी कि वह धारा 370 के साथ कोई समझौता नहीं करेगी, लेकिन जम्मू एवं कश्मीर में उप मुख्यमंत्री की कुर्सी के लिए पार्टी ने अपने मूल सिद्धांतों के साथ समझौता किया।"

सुनंदा हत्याकांड : थरूर के सहायकों का पॉलीग्राफ परीक्षण होगा

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राजधानी की एक अदालत ने यहां पर बुधवार को दिल्ली पुलिस को सुनंदा पुष्कर हत्याकांड मामले में तीन संदिग्धों का पॉलीग्राफ परीक्षण कराने की अनुमति दे दी है। इन तीनों संदिग्धों को सुनंदा के पति और पूर्व केंद्रीय मंत्री शशि थरूर का करीबी माना जाता है। महानगर दंडाधिकारी सुनील कुमार शर्मा ने बंद कमरे में सुनवाई के दौरान तीनों युवकों की सहमति के बाद दिल्ली पुलिस को उनके पॉलीग्राफ परीक्षण की अनुमति दे दी।  पुलिस ने पिछले सप्ताह सुनंदा हत्याकांड मामले में तीनों संदिग्धों की सत्य परीक्षण जांच (लाइ डिटेक्शन टेस्ट) की मांग करते हुए अदालत में एक प्रार्थना पत्र दिया था। इन तीन संदिग्धों में थरूर के घरेलू सहायक नारायण सिंह, चालक बजरंगी और उनके दोस्त संजय दीवान का नाम शामिल है। 

सूत्रों के मुताबिक अदालत ने पुलिस को आदेश दिया है कि वह सत्य परीक्षण जांच करने से दो दिन पहले संदिग्धों को सूचित कर दे।  अदालत ने पुलिस को यह भी आदेश दिया कि वह संदिग्धों के वकील को इस परीक्षण के दौरान मौजूद रहने की अनुमति दे।  अदालत ने कहा कि तीनों संदिग्धों के वकील उस परिसर में मौजूद रहेंगे जहां पर उनकी सत्य परीक्षण जांच की जाएगी, ताकि वे अपने मुवक्किलों के बयान सुन सकें।  तीनों युवकों के वकील ने अदालत में कहा कि वे यह परीक्षण कराने के लिए तैयार हैं लेकिन पुलिस को इस दौरान सर्वोच्च न्यायालय और राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) द्वारा जारी दिशानिर्देशों का पालन करना होगा।  अदालत ने पुलिस से दिशानिर्देशों का पालन करने के लिए कहा। 
 
पुलिस तीनों आरोपियों से इस मामले में पहले भी पूछताछ कर चुकी है।  पुलिस ने ताजा याचिका में कहा था कि संदिग्ध सुनंदा पुष्कर के शरीर पर चोट के निशान सहित मामले से संबंधित कुछ महत्वपूर्ण तथ्य छिपा रहे हैं। धवन के वकील अमन सरीन ने कहा कि उनके मुवक्किल इस परीक्षण के लिए तैयार हैं साथ ही उन्होंने अदालत को बताया कि वे जांच एजेंसी का पूरा सहयोग करेंगे।  परीक्षण के लिए सहमति जताते हुए बचाव पक्ष के वकील ने अदालत में कहा कि सर्वोच्च न्यायालय ने व्यवस्था दी है कि पॉलीग्राफ परीक्षण सबूतों पर भरोसा कर नहीं किया जाना चाहिए, लेकिन अगर पुलिस यह परीक्षण करना चाहती है तो वे इसके लिए तैयार हैं।  

वकील ने अदालत से आग्रह किया कि वह पुलिस को आदेश दे कि परीक्षण के दौरान पूछे गए सवालों के बारे में अदालत को सूचित करे। सुनंदा पुष्कर दिल्ली के एक आलीशान होटल में 17 जनवरी 2015 को मृत मिली थीं। पुलिस ने एक जनवरी 2015 को हत्या का मामला दर्ज किया था। 

फोटो प्रेमी रहा मोदी सरकार का यह कार्यकाल : सिंधिया

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केंद्र में मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने बुधवार को नरेंद्र मोदी सरकार के पहले वर्ष के कार्यकाल को फोटो-प्रेमी सरकार की संज्ञा दी और सामाजिक हित वाली योजनाओं के फंड में कटौती करने का आरोप लगाया। कांग्रेस नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, "सामाजिक हित वाली योजनाओं में पिछले एक वर्ष में 1.8 लाख करोड़ रुपयों की कटौती की गई है।" सिंधिया ने कहा कि पिछड़े क्षेत्रों के फंड में जहां 100 फीसदी की कटौती की गई, वहीं मध्याह्न भोजन योजना में 25 फीसदी की, पंचायती राज मंत्रालय के फंड में 99 फीसदी की तथा समन्वित बाल विकास योजना के फंड में 55 फीसदी की कटौती की गई है।

उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की केंद्र सरकार सिर्फ 'तस्वीरें खिंचाने वाली सरकार'है। सिंधिया ने कहा, "यह सिर्फ पैकेजिंग और मार्केटिंग वाली सरकार है।"सिंधिया ने कहा कि मोदी सरकार ने मनरेगा के बजट मे भी कटौती की है। उन्होंने कहा कि अब तक मनरेगा के तहत 13,000 करोड़ रुपयों का आवंटन भी रुका हुआ है। उन्होंने कहा, "ऐसा लग रहा है कि सरकार देश को किसानों से रहित करने पर तुली है और भूमि अधिग्रहण विधेयक और बेमौसम बारिश की मार झेल रहे किसानों को मुआवजा न देने के बाद यह साबित भी हो चुका है।"

सिंधिया ने कहा, "प्रधानमंत्री एक तरफ तो कहते हैं कि मनरेगा उपयोगी योजना नहीं है और दूसरी ओर उनकी अपनी ही पार्टी की सरकार वाले राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने मनरेगा के लिए जल्द से जल्द बजट की धनराशि मुहैया कराने के लिए कहा है।"उन्होंने केंद्र सरकार पर स्वास्थ्य एवं शिक्षा के क्षेत्र में केंद्र से मिलने वाली सहायता राशि कम करने का आरोप भी लगाया। सिंधिया ने कहा, "ऐसे देश में जहां अभी भी 2.5 करोड़ बच्चे कुपोषित हैं, इसका भविष्य पर क्या असर होगा मुझे नहीं पता।"

सिंगापुर से नगर प्रबंधन सीख सकता है भारत : मोदी

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को कहा कि भारत नगर प्रबंधन के क्षेत्र में सिंगापुर के अनुभव से काफी कुछ लाभ उठा सकता है। प्रधानमंत्री ने भारत और सिंगापुर के बीच रणनीतिक वार्ताकारों से मुलाकात की तथा सिंगापुर से नगर प्रबंधन के लिए मानव संसाधन तैयार करने के लिए क्षमता निर्माण में सहयोग मांगा।

प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा जारी विज्ञप्ति के अनुसार, टॉमी कोह की संयुक्त अध्यक्षता में वार्ताकारों ने केंद्र सरकार द्वारा स्मार्ट शहर के निर्माण के लिए की गई पहल की सराहना की।

विज्ञप्ति के अनुसार, "वार्ताकारों से बातचीत के दौरान प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत नगर प्रबंधन, नगर विकास एवं नगर प्रशासन के क्षेत्र में सिंगापुर की विशेषज्ञता का लाभ लेना चाहेगा। उन्होंने सिंगापुर से नगर प्रबंधन और नगर प्रशासन के लिए मानव संसाधान तैयार करने के लिए क्षमता निर्माण में सहयोग की मांग भी की।"

अमेठी के साथ भेदभाव कर रही मोदी सरकार : राहुल गांधी

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कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने अपने तीन दिवसीय दौरे के आखिरी दिन बुधवार को कहा कि मोदी सरकार अमेठी के साथ भेदभाव कर रही है। एक-एक कर यहां की कई योजनाओं को सरकार ने छीन लिया है। सरकार ने नया भी कुछ नहीं किया है। चाहे व प्रधानमंत्री की अगुवाई वाली योजनाएं हों अथवा अन्य दूसरी। उन्होंने जिला कार्य समिति की बैठक में हिस्सा लेने के बाद बुधवार को यह बातें कही। इसके बाद वह दिल्ली के लिए रवाना हो गए।

यहां पर उन्होंने मोदी के राइजिंग इंडिया पर तंज कसते हुए कहा कि आई एम प्राउड इंडिया। राहुल ने कहा कि मोदी सरकार अमेठी के विकास को पैसा न देकर अमेठी की जनता से बदला ले रही है, जबकि उसे हमसे लड़ाई करनी चाहिए न कि अमेठी की गरीब जनता से। 

उन्होंने एक बार फिर से दोहराया कि यह सूट बूट की सरकार है। इसमें उद्योगपति मौज कर रहे हैं। जबकि गरीब जनता मर रही है। इससे पूर्व राहुल को काले झंडे दिखाने जा रहे कुछ किसानों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया। भाजपा किसान मोर्चा के बैनर तले किसान गौरीगंज जिलाधिकारी कार्यालय के पास इकट्ठा हुए थे।

विशेष : मनुष्य की वास्तविक पहचान के मायने

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मानव धर्म का हार्द है मनुष्य का मनुष्य के प्रति तादात्म्य भाव, एक-दूसरे के प्रति संवेदनशीलता और नैतिक एवं चारित्रिक उज्ज्वलता। जो धर्म मनुष्य को दुर्गति, हीनता और चारित्रिक भ्रष्टता से मुक्त करता है, जो हर इंसान की आत्मा को तेजोदीप्त बनाता है, हर हृदय को परदुःखकातर और संवेदनशील बनाता है, उसे मानव धर्म कहा जा सकता है। मानव धर्म पूरी मनुष्यता के साथ धड़कने और एकाकार होने का गीत गाता है। इसीलिए प्रायः देखने में आता है कि श्रीकृष्ण के किसी वाक्य की व्याख्या बाइबिल में मिलती है तो जीसस के किसी अनमोल कथन की व्याख्या गीता में। कुरान की आयतें वेद में विभिन्न रूपों में गूंजती हैं तो वेद के जीवन-सूत्रों का सार कोई मौलवी व्यक्त करता है। कभी महावीर की वाणी जापान में सुनाई देती है तो जेन ध्यान पद्धति को भारतीय साधक अपनी साधना में शामिल करते हैं। बुद्ध का वचन चीन के लोग जीवन शैली का अभिन्न अंग बनाते हैं तो लाओत्से के कहे हुए शब्द कबीर, रहीम, सूरदास समझाते हैं। यही तो मानव धर्म है दरअसल इस सृष्टि का निर्माण हुआ तो धरती पर न कोई जाति थी, न कोई धर्म था, न कोई वर्ण था, न कोई वर्ग था, न कोई भाषा थी और न कोई सीमा थी। इंसान ने ही कागज के नक्शे बनाकर समस्त मानव जाति को भिन्न-भिन्न जाति, वर्ग, वर्ण, सीमा, राष्ट्र एवं संप्रदायों में बांट दिया। आज जरूरत है मानव धर्म को पुनः समझने, परिभाषित करने और उसे जीवन का अभिन्न हिस्सा बनाने की। इसी सन्दर्भ में गौतम बुद्ध ने कहा है किबअउदार मन वाले विभिन्न धर्मों में सत्य देखते हैं। संकीर्ण मन वाले केवल अंतर देखते हैं । - 

असल में, मनुष्य प्राणधारियों में श्रेष्ठ प्राणी है। उसकी श्रेष्ठता का आधार है आत्मिक गुणों की पहचान और उन तक पहुंचने की अभिलाषा। आज मनुष्य ने अनंत आकाश का पता लगाया है, अपरिमित भूमि की खोज की है और महासागरों की गहराइयों में डूबकियां लगायी हैं। वह पाताल तक पहुंचा है। उसकी पहुंच वास्तव में असीम है। अपनी जागतिक सुख-सुविधाओं के लिए उसने विभिन्न आविष्कार किए हैं। उसने संपूर्ण प्रकृति को वैज्ञानिक आंख से आंका है, उसने अपने संपूर्ण जीवन को सुविधावादी नजरिये से देखा है, और ऐसा करते हुए वह अपनी जड़ों से, अपनी नींवों से दूर भी हुआ है। यही कारण है कि मनुष्य ने अपने आस-पास खड़े, अपने ही समान, अपने साधर्मी बंधु-बांधव को नहीं पहचाना है। जबतक मनुष्य मनुष्य को पहचान नहीं लेता तबतक उसकी सारी पहचान और सारे प्रयत्न निरर्थक ही हैं। हेलन केलर ने सटीक कहा है कि हो सकता है कि विज्ञान ने अधिकांश बुराइयों का इलाज खोज लिया हो लेकिन उन सबसे घातक बुराई का इलाज विज्ञान आज तक नहीं खोज पाया है और वह है- मानवीय उदासीनता।

मनुष्य की वास्तविक पहचान लिबास नहीं है, भोजन नहीं है, भाषा नहीं है और उसकी साधन-सुविधाएं नहीं हैं। वास्तविक पहचान तो मनुष्य में व्याप्त उसके आत्मिक गुणों के माध्यम से की जाती है। जीवन की सार्थकता और सफलता का मूल आधार व्यक्ति के वे गुण हैं जो उसे मानवीय बनाते हैं, जिन्हें संवेदना और करुणा के रूप में, दया, सेवा-भावना, परोपकार के रूप में हम देखते हैं। असल मंे यही गुणवत्ता बुनियाद है, नींव हैं जिसपर खड़े होकर मनुष्य अपने जीवन को सार्थक बनाता है। जिनमें इन गुणों की उपस्थिति होती है उनकी गरिमा चिरंजीवी रहती है। स्वामी विवेकानन्द का मार्मिक कथन है कि मनुष्य की महानता उसके कपडों से नहीं बल्कि उसके चरित्र से आँकी जाती है ।  

गुणीजन सदा दूसरों की ही चिंता करते हैं, अपनी नहीं। उनमें दया होती है इसलिए उनकी भावना में मानवता भरी होती है। यही मानवता उनमें संवेदना की और मित्रता की पात्रता पैदा करती है। एक गुणी दूसरे गुणी से मिलकर गुणों को विकसित करता है जबकि वही निर्गुण को पाकर दोष बन जाता है। गुणों की पात्रता के लिए स्वयं को गुणी बनाना जरूरी है। नदियों का जल बहता है वह अत्यंत स्वादिष्ट होता है किंतु समुद्र को प्राप्त कर वही जल अपेय अर्थात् खारा बन जाता है। 

भारतीय संस्कृति का मूलाधार अनुभूतियां हैं। उसने सिद्धांत का निरुपण किया, परंतु उतने तक ही अपने को सीमित नहीं रखा। ज्ञान को अनुभूत किया अर्थात सिद्धांत को व्यावहारिक जीवन में उतारा। यही कारण है कि उसकी हस्ती आजतक नहीं मिटी। उसकी दृष्टि में गुण कोरा ज्ञान नहीं है, गुण कोरा आचरण नहीं है। दोनों का समन्वय है। जिसकी कथनी और करनी में अंतर नहीं होता वही समाज मंे आदर के योग बनता है। इसलिए कहा गया है कि गुणाःसर्वत्र पूज्यंते-गुण की सब जगह पूजा होती है। आज के युग में इस ओर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। आज मानव मूल्यों का हृास हो गया है, नैतिकता चरमरा रही है, और इन्सानियत की नींवें कमजोर और खोखली होती जा रही है। चारों ओर भौतिक मूल्य छा गए हैं। यही वजह है कि नाना प्रकार के विकृतियों से मानव, समाज और राष्ट्र आक्रांत हो गया है। 

कनफ्यूशियस ने कहा है कि जब तुम्हारे खुद के दरवाजे की सीढि़याँ गंदी हैं तो पड़ोसी की छत पर पड़ी गंदगी का उलाहना मत दीजिए। कनफ्यूशियस की यह पंक्ति हमें आत्मावलोकन को प्रेरित करता है। आज का मनुष्य अपने ही स्वार्थ की पूर्ति चाहता है। लगता है जैसे स्वार्थ ने नींवों को खोखली करने की ठान रखी है उसी की आराधना में सब लिप्त हैं। यह जानते हुए भी कि हम गिरावट की ओर बढ़ रहे हैं, अपनी गति और मति को हम रोक नहीं पा रहे हैं। जीवन भार बन गया है। धनी-निर्धन, छोटे-बड़े सब दुखी हैं। इस स्थिति से उबरने का एक ही मार्ग है और वह यह है कि हम अपने आप को टटोलें, अपने भीतर के काम, क्रोध, लोभ, मोह, मद, मत्सर आदि कषायों को दूर करंे और उसी मार्ग पर चलें जो मानवता का मार्ग है। हमंे समझ लेना चाहिए कि मनुष्य जीवन बहुत दुर्लभ है, वह बार-बार नहीं मिलता। समाज उसी को पूजता है जो अपने लिए नहीं दूसरों के लिए जीता है। इसी से गोस्वामी तुलसीदासजी ने कहा है -‘परहित सरिस धरम नहीं भाई’। ऐसे ही भावों की प्रेरणा को लेकर हमें समाज को नई दिशा देनी है। दरअसल हमंे हर पल इस बात का ध्यान रखना है कि असल में हम सब एक ही धागे से जुड़े हुए हैं। वह धागा न तो धर्म का है, न मजहब का है, न भाषा का है, न जातीयता का है, न सांप्रदायिकता का है। वह धागा है तो केवल इंसानियत का, मानवता का। बहती हुई नदियां, लहराता पवन और हमारी यह पावन धरा, आसमान में चमकते हुए चांद और सितारे, सूर्य का तेजे-ये सब प्रकृति की मनुष्य को अनमोल देन है लेकिन ये सब सांझा है। मनुष्य ने धरती पर लकीरें खींचकर दिलों को बांट दिया है, इंसानों को बांट दिया है और इंसानियत को बांट दिया है। जबकि जरूरत है उन्नत और आदर्श जीवन के लिए भाईचारे की, प्रेम की, आनंद की, परोपकार की। क्योंकि यही हमारी वास्तविक अनुभूतियों का संसार है। मनुष्यता ने अब तक इन्हीं अनुभूतियों से समस्त विश्व को आलौकिक किया है और उसी से यह सृष्टि, यह संसार कायम है। जैसे-जैसे हम इन अनुभूतियों का विकास करते जाएंगे हमारा जीवन अधिक सार्थक और उपयोगी बनता जाएगा। संभवतः वही सच्ची मानवता भी है और जीने का सही तरीका भी। प्रेषक:






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(ललित गर्ग)
पटपड़गंज, दिल्ली-92
फोन: 22727486, 9811051133

हॉलीवुड सिट्कॉम सेंस 8 में अनुपम खेर की बेटी हैं टीना देसाईं

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साइ फाइ और एक्शन के चहितों के लिए 5 जून से एक और नया शो सेंस 8 शुरू होने जा रहा है. वैकॉस्की द्वारा निर्मित यह नेटफ्लिक्स सीरिज़ है. भारतीय नायिका टीना देसाईं के अभिनय से सजे इस शो का पहला ट्रेलर दर्शकों के सामने आ चुका है. इस शो के ट्रेलर में अनुपम खेर टीना देसाईं के पिता की भूमिका में नज़र आ रहे हैं. शो के पहले कट में सभी कलाकारों से मिलवाया गया है जिससे यह बात पता चलती है कि इसका कॉंसेप्ट काफी लुभावना है. जिस तरह प्लॉट के ज़रिये इसकी कहानी का वर्णन किया है वह दर्शकों के मन में कहानी को लेकर जिज्ञासा पैदा करती है. इसकी कहानी विश्व के अलग अलग देशों में रहनेवाले आठ लोगों की कहानी पर आधारित है जो एक घटना के तहत मानसिक तथा भावनात्मक स्तर पर एक दूसरे से जुड जाते हैं. जैसा कि शो के ट्रेलर को देखकर इस बात का अन्दाज़ा लगाया जा सकता है कि इंटेंस ड्रामा के साथ इसका एक्शन लाजवाब है. इसमें लोगों की पहचान, लैंगिकता, विश्वास तथा मान्यताओं के विस्तृत स्वरूप पर ध्यान केंद्रित करने की कोशिश की गयी है जिसे हमनें मन के अतल गहराइयों में कहीं दफन कर दिया है. 

इसमें विशेष रूप से दिखाया गया है कि हम अजनबियों के साथ कैसे रहते हैं, अपने प्यारों के साथ कैसे रहते हैं और जब अकेले रहते हैं तो कैसे रहते हैं. सिर्फ यही नहीं इसमें यह भी दिखाया गया है कि तब हमारी प्रतिक्रिया क्या होती है जब हमारी प्राइवेसी पर हमला होता है. इस सिलसिले में जब हमनें टीना से बात की तो टीना ने कहा, ‘’सेंस 8 के ट्रेलर को देखकर पूरे विश्व की सांसे थम गयी हैं. सभी इसे देखने के लिए बेताब हैं. इसमें दो राय नहीं कि इसका प्लॉट काबिले तारीफ है. इस ट्रेलर को देखकर मुझे जिस तरह की प्रतिक्रिया मिल रही है उससे मैं बेहद खुश हूं. फिलहाल इसका शुरूआती भाग जितना बेहतरीन है, आगे की कहानी उससे भी अधिक अमेज़िंग होगी.’’ गौरतलब है कि इससे पहले टीना देसाईं वर्ष 2011 में आई अपनी पहली फिल्म ‘यह फासले’ में अनुपम खेर की बेटी के रूप में नज़र आ चुकी हैं.   

आलेख : मानवीय संवेदनओं को हिला देने वाला है अरुणा की दास्ता

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जी हां, एक दो नहीं पूरे बयालिस साल तक अरुणा की दुखभरी कहानी मानवीय संवेदनाओं को झकझोर देने वाला नहीं और क्या है? इससे बड़ी त्रासद गाथा और क्या हो सकता है कि उसके संग मूंहकाला करने वाले को मात्र सात साल की सजा और पीडि़त अरुणा को बयालीस साल तक घूट-घूटकर बीताना पड़ा, वह भी बेहोसी हाल में। मतलब साफ है समाज बनाने में अगर हम लगातार फेल हो रहे हैं, तो इसकी बड़ी वजह कुछ अरुणा जैसी ही है। अरुणा शानबाग की ग्लानि भरी दास्तान तबतक चुनौती की चट्टान बनकर खड़ी रहेगी, जबतक स्त्रियों के लायक हम दुनिया नही ंबना पाते। जो भी हो इतना तो कहा ही जा सकता है कि अरुणा की जिदंगी से स्त्री जाति को जागृत होने का सीख तो दे ही दी है 

aruna shanbag
बेशक अरुणा शानबाग की जिंदगी में जो कुछ हुआ उसे कहीं से भी जायज नहीं ठहराया जा सकता। 23 बरस की युवा उम्र में उसके सपनों की बगिया को जिस हबसी ने उजाड़ दिया, उसे मात्र सात साल की सजा और पीडि़त अरुणा को 42 साल तक बेहोसी की हालात में दुनिया से रुखसत होना पड़ा। यह एक ऐसी दास्तान है जो मानवीय संवेदनाओं के साथ-साथ न्याय प्रणाली पर सवालिया निशान लगाने के लिए काफी तो है ही सभ्य मानव समाज की संवेदनशीलता को भी झकझोरने वाला है। अरुणा शानबाग और हाल के बरसों में दिल्ली के निर्भया कांड का शिकार बनी लड़की के रूप में सामने आए हादसे दरअसल हमारी सामाजिक संस्कृति के ऊसर में उग आए ऐसे कंटीले झाड़ से उलझकर पैदा हुए लहूलुहान प्रतीक हैं, जिनके सामने हमारा समाज शर्मशार हो जाता है। कहा जा सकता है अगर आज भी हम स्त्री को गरिमापूर्ण, स्वतंत्र, सुरक्षित जीवन जीने का वातावरण मुहैया नहीं करा पाए तो यह विचारणीय प्रश्न तो है ही। इससे बड़ी सामाजिक विकृति और क्या हो सकती की कंटीली झाडि़यों के निर्मूल होने के बजाय और भी पनपती जा रही हैं। महिलाओं के साथ होनेवाली यौन हिंसा विराम लेने का नाम ही नहीं ले रही।

इसके बावजूद यह सवाल अपनी जगह प्रासंगिक है कि जिन व्यक्तियों के ठीक होने की बिल्कुल संभावना न हो, उन्हें बेहद कष्ट में जिंदा रखना कितना सही होगा? क्या इस बारे में कोई ऐसी व्यवस्था बन सकती है, जिससे इस प्रावधान के दुरुपयोग की गुंजाइश न रहे? अरुणा शानबाग ने अचेतावस्था में 42 साल गुजारे। इस दौरान उनके अपने परिजनों ने साथ छोड़ दिया। इस अवधि में उनकी देखभाल चम्पा मौसी के नाम से मशहूर पूर्व सफाईकर्मी ने की। यही वो परिस्थितियां हैं, जिनकी वजह से अरुणा शानबाग के मामले में इच्छा-मृत्यु की बहस खड़ी हुई। उनकी वजह से इस मामले में कुछ प्रगति हुई। इसे उनका महत्वपूर्ण परोक्ष योगदान समझा जाएगा। आगे इस बारे में और चर्चा की जरूरत बनी रहेगी। खासकर ऐसे हालात में जब एक जीवित शव की भांति 42 साल तक कोमा में रहते हुए अरुणा ने उसी केईएम अस्पताल में आखिरी सांस ली, जहां वह नर्स थी। और जहां उसकी जिंदगी को तहस-नहस करने वाला वह दानवी दरिंदा अस्पताल के ही वार्डब्वाय के रूप में उस पर कहर बनकर टूट पड़ा था। केईएम अस्पताल की नर्स अरुणा शानबाग बयालिस साल पहले अपने ही सहकर्मी वार्ड ब्वाय की क्रूर यौन हिंसा का शिकार होकर इतने बरसों तक कोमा में पड़ी हुई थी। कह सकते हैं कि सांस की डोर टूटने से उसे अब मुक्ति मिल गई। लेकिन दिन-प्रतिदिन दोजख बनते जा रहे समाज में क्या सचमुच स्त्रियों के लिए मुक्ति के दरवाजे खुल रहे हैं? यह सवाल यक्ष प्रश्न बनकर खड़ा हो गया है। 

यहां जिक्र करना जरुरी है कि यह वही अरुणा है जिनके लिए इच्छा मृत्यु की मांग किए जाने के बाद पूरे देश में इस पर पक्ष-विपक्ष में बहस चली थी। गौर करने वाली बात यह है कि सुप्रीम कोर्ट ने इच्छा मृत्यु की मांग तो नहीं मानी, लेकिन परोक्षतः यह व्यवस्था जरूर दे दी कि ऐसी स्थिति में पीडि़त यानी मरीज को जीवन रक्षक प्रणाली से हटाया जा सकता है। असली सवाल यह है कि पिंकी विरानी ने अरुणा शानबाग की दास्तान अपनी जिस किताब अरुणाज स्टोरी में बताई, मराठी लेखक दत्त कुमार देसाई ने 1995 में कथा अरूणाची नामक नाटक लिखा, जिसका 2002 में विनय आप्टे के निर्देशन में मंचन भी किया गया, इन सब प्रयासों का क्या कुछ भी सकारात्मक असर हमारे समाज पर पड़ा है? आखिर आज भी महिलाएं क्यों यौन हिंसा का शिकार बनाई जा रही हैं? महिलाओं के लिए एक मानवीय समाज बनाने में हम क्यों लगातार फेल हो रहे हैं? अरुणा शानबाग की ग्लानि भरी दास्तान तबतक चुनौती की चट्टान बनकर खड़ी रहेगी, जबतक स्त्रियों के लायक हम दुनिया नही ंबना पाते। अरुणा शानबाग भारत की अंतर्चेतना पर एक प्रश्न थीं। अपने समाज में महिलाओं के प्रति कितनी गंदी दृष्टि रखी जाती है और उनसे क्रूरता किस हद तक हो सकती है, वे हमें इसकी याद दिलाती रहीं। 

बता दें, कर्नाटक में जन्मीं अरुणा मुंबई के सरकारी केईएम अस्पताल में नर्स थीं। वह कुत्तों पर दवाई का प्रयोग करने वाले विभाग में नर्स रहते हुए कुत्तों को दवाई देती थीं। 27 नवंबर 1973 को अरुणा ने ड्यूटी पूरी की और घर जाने से पहले कपड़े बदलने के लिए बेसमेंट में गईं। वार्डब्वॉय सोहनलाल वाल्मीकि पहले से वहां छिपा बैठा था। उसने अरुणा के गले में कुत्ते बांधने वाली चेन लपेटकर दबाने लगा। छूटने के लिए अरुणा ने खूब ताकत लगाई। पर गले की नसें दबने से बेहोश हो गईं। अत्यंत घायल अवस्था में भी वार्डबॉय ने उनसे अप्राकृतिक यौनाचार किया। सोहनलाल पर अरुणा से दुष्कर्म के भी आरोप लगे। लेकिन कोर्ट में साबित नहीं हो सके। उसे सिर्फ 7 साल की सजा हुई। छूटने के बाद अस्पताल जाकर हमला किया पर नाकाम रहा। तब से वह 18 मई 2015 सुबह तक वे कोमा में रहीं। गौर करने वाली बात यह है कि अरुणा की केईएम अस्पताल के ही डॉक्टर संदीप सरदेसाई से उसी साल दिसंबर में शादी होने वाली थी। डॉ. संदीप ने सालभर अरुणा की सेवा की। पर जब वह कोमा से बाहर नहीं आईं तो चार साल बाद उन्होंने शादी कर ली। अरुणा की बहन के अलावा किसी ने सुध नहीं ली। किताब अरुणा की बात लिखने वाली पिंकी विराणी ने 2009 में अरुणा के लिए सुप्रीम कोर्ट में इच्छा मृत्यु की अर्जी लगा दी। दो साल तक बहस चली। 2011 में कोर्ट ने इच्छा मृत्यु की मांग खारिज कर दी। पर फैसला दिया कि परिवार चाहे तो जिंदा रखने के सपोर्ट सिस्टम हटाया जा सकता है। फिर सवाल आया परिवार कौन? पिंकी ने खुद को अरुणा का दोस्त बताया। कोर्ट ने केईएम अस्पताल को अरुणा का परिवार बताया। और मृत्यु की मांग खारिज कर दी। 

इस सबके बीच कोमा से उन्हें स्वस्थ करने में मेडिकल साइंस नाकाम रहा, लेकिन आधुनिक उपकरणों के सहारे उनकी सांस जरूर चलाई जाती रही। ऐसे में सवाल उठता रहा कि जब किसी के ठीक होने की आस न हो, तब उसे इतने कष्ट में जीवित रखना क्या मानवीय और उचित है? धीरे-धीरे अरुणा भारत में इच्छा-मृत्यु के अधिकार से जुड़ी बहस का प्रतीक बन गईं। मुद्‌दा सुप्रीम कोर्ट में भी गया। मगर माननीय जजों ने दवा देकर अरुणा की जीवनलीला समाप्त करने की अनुमति देने से इनकार कर दिया। हालांकि, जब डॉक्टर जवाब दे चुके हों, तब सपोर्ट सिस्टम हटा कर मृत्यु का समय आगे लाने का सशर्त प्रावधान न्यायालय ने किया। नतीजतन भारत में इच्छा-मृत्यु के अधिकार की बहस कुछ आगे बढ़ी। यह वाजिब अंदेशा है कि इच्छा-मृत्यु के प्रावधान का दुरुपयोग हो सकता है। इच्छा-मृत्यु के बारे में व्यावहारिक रूप से फैसला परिजनों या रिश्तेदारों को ही लेना होगा। मुमकिन है कि इलाज का बोझ उठाने या सेवा-सुश्रुषा से बचने के लिए ऐसा निर्णय जल्दबाजी में ले लिया जाए। यह भी संभव है कि संपत्ति पर अधिकार के लिए कुछ मामलों में दुर्भावनापूर्ण फैसले हों। 

फिरहाल उनकी मौत के बाद अब उनकी प्रापर्टी व सैलरी पर चर्चा होने लगा है। सुप्रीम कोर्ट के मुताबिक किसी मरीज के डॉक्टर और परिजन अगर पैसिव यूथेनेशिया चाहते हों तो उन्हें हाईकोर्ट में इसकी अर्जी डालनी पड़ेगी। हाईकोर्ट उनका पक्ष सुनने के बाद इस पर आखिरी फैसला लेगा। अरुणा ने पैसिव यूथेनेशिया यानी अप्रत्यक्ष इच्छामृत्यु का कानून दिया। इसके तहत अगर कोई व्यक्ति वेजिटेटिव स्टेट या वेंटिलेटर पर है तो परिजनों की सहमति से लाइफ सपोर्ट को हटा सकते हैं। अरुणा के निधन की खबर देते हुए अस्पताल प्रशासन की ओर से अपील की गई कि यदि कोई उनके रिश्तेदार को जानता हो या रिश्तेदारों को यह सूचना मिल गई हो तो अस्पताल से संपर्क करें। इसके बाद अरुणा के दो भांजे सामने आए और दावा किया कि वे अरुणा के परिजन हैं। यहां जिक्र करना जरुरी है कि अरुणा तीन भाई-बहनों में सबसे छोटी थीं। बड़ी बहन शांता और भाई बालकृष्ण का भी कुछ साल पहले निधन हो गया। शांता ने बताया था कि वे 15 साल अरुणा से मिलने अस्पताल जाती रही थीं। वहीं डॉ. ओक ने इस दावे को झूठा कहा। बोले- कोर्ट के भेजे पत्र भी उन्होंने नहीं स्वीकारे। हालांकि अर्चना के मुताबिक उन्होंने अरुणा के लिए इच्छामृत्यु की मांग करने वाली पिंकी का विरोध किया था। तब उन्होंने कह दिया था, जब तक उनका अंत नहीं आ जाता, तब तक हम उनकी सेवा करेंगे। हमारी अरुणा यहीं रहेंगी। हर आधे घंटे में हम जाकर उन्हें देखते हैं कि कहीं उन्हें कुछ चाहिए तो नहीं। अस्पताल के पूर्व डीन संजय ने बताया कि नर्सिंग के छात्रों के हर नए जत्थे को अरुणा से मिलवाते थे। अक्टूबर 2008 में पदभार संभालने के बाद उन्होंने उसी दिन अरुणा को देखा। 2011 में उन्होंने कहा था कि मुझे ऐसा लगा कि उनका आशीर्वाद मिला है। ताकि यहां अच्छा काम जारी रहे। 30 साल से काम कर रहीं नीला ने बताया, नर्सों और स्टाफ ने सुख-दुख में अरुणा को साथ रखा है। कभी-कभी अरुणा रोतीं तो हमें बहुत बुरा लगता। उनसे कहते- तुम मत रोना, हम हैं न इधर। वो समझें न समझें, पर नजर ऊपर की ओर रहती थी। हमें लगता वो समझ रही हैं। 56 साल की अर्चना 1973 में केईएम अस्पताल में नौकरी शुरू की थी। उन्हें याद है कि अस्पताल ने 1980 में अरुणा को घर ले जाने का आदेश दे दिया था। नर्सों ने तीन दिन तक हड़ताल कर दिया। आखिरकार अस्पताल प्रशासन को झुकना पड़ा। नया आदेश जारी हुआ कि अरुणा वहीं रहेंगी। 




सुरेश गांधी

विशेष आलेख : आसान नहीं सफर जिंदगी का

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विकलांगता एक ऐसी परिस्थिति है जिससे आप चाहकर भी पीछा नहीं छुड़ा सकते। एक आम आदमी छोटी छोटी बातों पर झुंझला उठता है तो ज़रा सोचिए कि उन बदकिस्मत लोगों का जिनका षरीर उनका साथ छोड़ देता है, फिर भी जीना कैसे हैं कोई इनसे सीखे। कई लोग हैं जिन्होंने विकलांगता जैसी कमज़ोरी को अपनी ताकत बनाया है तो कई लोग ऐसे भी हैं जिन्होंने  जिंदगी से निराष होकर इसी कमज़ोरी पर सिर्फ आंसू बहाया है। सबसे बड़ा प्रष्न यह है कि विकलांग लोगों को बेसहारा और अछूत क्यों समझा जाता है? उनकी भी दो आंखे, दो कान, दो हाथ और दो पैर हैं और अगर इनमें से अगर कोई अंग काम नहीं करता तो इसमें इनकी क्या गलती.....यह तो नसीब का खेल है। जम्मू एवं कष्मीर के सीमावर्ती जि़ले पुंछ की तहसील मंडी का अड़ाई पंचायत भी विकलांगता का दंष झेल रहा है। यहां पर विकलांगों की एक फौज नज़र आती है। विकलांग होने के बावजूद भी यहां के लोगों में कुछ कर गुज़रने का जज़्बा रखते हैं। अड़ाई के रहने वाले मोहम्मद असलम, अब्दुल बाकी, मोहम्मद दाऊद, मोहम्मद फारूक, षहनाज़, नसीम और इनके साथी षारीरिक विकलांगता का षिकार है। विकलांगता के कारण बेबसी और लाचारी इनकी जिंदगी का हिस्सा बन गयी है। मोहम्मद दाऊद 50 प्रतिषत, मोहम्मद असलम और अब्दुल बाकी 90 प्रतिषत विकलांगता का षिकार हैं। षारीरिक रूप से बुरी विकलांगता का षिकार होने के बावजूद भी इनके हौंसले पस्त नहीं हुए हैं बल्कि इनमें कुछ करने का जज़्बा है। इनमें भी एक स्वस्थ इंसान की तरह एक धड़कता हुआ दिल है। यह लोग बैठे बैठे भी कुछ कर सकते हैं। दिमाग तेज़ है, मगर षरीर विकलांग है। विकलांगता के बारे में यहां के स्थानीय निवासी 

फारूक (39) कहते हैं कि-‘‘मेरे घर के पास ही मस्जिद है लेकिन विकलांग होने के कारण मैं नमाज़ पढ़ने के लिए नहीं जा सकता। मैं पांच साल की उम्र में भी इस बीमारी का षिकार हो गया था। मैंने किसी तरह पांचवी की परीक्षा तो हासिल कर ली थी लेकिन मैं इस बीमारी के चलते आगे की पढ़ाई हासिल नहीं कर पाया। इस हालत में बड़ी मुष्किल से मैं सिलाई कर अपना गुज़ारा करता हंू।’’ 

एक लंबे से विकलांगता का दंष झेल रहे अब्दुल बाकी (70) का कहना है कि- ‘‘ विकलांगता की वजह से मुझे बहुत परेषानी का सामना करना पड़ता है। अगर मेरे पास स्कूटर होता तो मैं बाज़ार जाकर भीख मांगकर अपना गुज़ारा कर सकता था।’’ इसी गांव के रहने वाले इस्हाक कहते हैं कि-‘‘मेरे दोनों पैर विकलांगता का षिकार हैं। मैंने किसी तरह दसवीं की परीक्षा तो पास कर ली। लेकिन विकलांगता की वजह से मैं आगे की पढ़ाई नहीं कर सका।’’ एक टांग से विकलांग नसीम (23) कहती हैं कि-‘‘मैं किसी तरह रोटिया ंतो बना लेती हंू लेकिन किसी दूसरे को आटा और दूसरी चीज़े पास में रखनी पड़ती हैं।’’ अपने घर की चारपाई पर पड़ी हुई षहनाज़ (26) दूसरों की बातें सुनती रहती हैं मगर बोलती बहुत कम हैं। षहनाज़ पांच साल की उम्र में ही इस बीमारी का षिकार हो गयी थीं। किसी तरह उसने तीसरी कक्षा तक षिक्षा हासिल की है। कुछ इसी तरह की कहानी है अड़ाई मलकां की है जो एक लंबे अर्से से विकालांग का दंष झेल रहा है। गौरतलब है कि अकेले इस पंचायत में 26 लोग अपंग हैं। यह लोग अपने घर से अंदर बाहर जाने में भी दूसरे लोगों पर निर्भर हैं। इनमें से जब कोई बीमार हो जाता है तो यह लोग 4 सौ रूपये मज़दूर को मज़दूरी देकर डाक्टर के पास जाते हैं। इन लोगों को सरकार की ओर से 4 सौ रूपये मासिक पेंषन के मिलते हैं जो इन्हें कई महीने बाद जाकर मिलते हैं। ऐसे में आप समझ सकते हैं कि महंगाई के इस दौर में 4 सौ रूपये से इनका कितना भला होता होगा। राज्य समाज कल्याण विभाग इन लोगों की ओर काफी ध्यान दे रहा है और विकलांग लोगों के लिए सरकार की बहुत सारी योजनाएं भी चल रही हैं। लेकिन बहुत ज़्यादा औपचारिकताओं के चलते इनका फायदा इन लोगों तक नहीं पहुंच पा रहा हैै। विकलांग व्यक्ति जो बहुत ज़्यादा औपचारिकताएं पूरी नहीं कर सकता इन योजनाओं के लाभ से वंचित होता जा रहा है। 
           
लेखक जब अपने एक साथी के साथ इन विकलांगों से मिला और उनसे बात कर रहा था तो इनके चेहरों पर इतना आत्मविष्वास था जितना एक स्वस्थ आम इंसान के चेहरे पर होता है। जब इन लोगों ने हमें अपनी परेषानियां दिल खोलकर बतायीं तो इनकी परेषानियां सुनकर दिल हमें लगा कि भगवान ने हमें कितने अच्छे हालत में रखा है। मोहम्मद असलम जो 90 प्रतिषत विकलांग हैं और बैठकर अपने आप को घसीटते हुए चलते हैं, उनको देखकर दिल में एक दर्द सा उठता है। पाठक को इस बात का अंदाज़ा लगाना ज़रा भी मुष्किल नहीं हो रहा होगा कि जिस व्यक्ति की उम्र (30)  साल हो जब वह अपने आप को एक नवजात बच्चे की तरह घसीटते हुए चले तो उस पर क्या गुज़रती होगी? मोहम्मद असलम की तरह इस क्षेत्र के दूसरे विकलांग लोग षौचालय जाने के अलावा और दूसरे काम किस तरह करते होंगे? सरकार की ओर से आज तक इन लोगों किसी तरह की कोई खास मदद नहीं मिली है। इन लोगों में से ज़्यादातर के घरों में षौचालय की कोई भी विषेश सुविधा नहीं हैं। ऐसे में आप अंदाज़ा लगा सकते हैं कि सर्दी, गर्मी, बरसात और बर्फबारी के दिनों में यह लोग अपनी ज़रूरत के लिए किस तरह बाहर निकलते होंगे। खासकर इस मामले में हमारी सरकार और देष के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी काफी गंभीर हैं और उन्होंने स्वच्छ भारत जैसी योजनाएं भी षुरू की हैं। जम्मू एवं कष्मीर में विधान सभा चुनाव के दौरान प्रधानमंत्री जी ने रैली को संबोधित करते हुए कहा था कि-‘‘ आप हमें पूर्ण बहुमत दीजिए, मैं आपको संपूर्ण विकास दूंगा। आज़ादी से आज तक जितना विकास नहीं हुआ उतना मैं पांच सालों में करके दिखाऊंगा।’’ राज्य में पीडीपी और बीजेपी की मिली जुली सरकार है। ऐसे में क्या प्रधानमंत्री के द्वारा पुंछ की जनता से किए गए वादे पूरे हो पाएंगे? क्या इन विकलांग लोगों को षौचालय की सुविधा नसीब हो पाएगी? इन लोगों के घरोें में षौचालय की सुविधा न होने की वजह से इन्हें रात के अंधेरे का इंतेज़ार का करना पड़ता है।
             
ऐसे में आप समझ सकते हैं कि इन विकलांगों को अंधेरे में षौच करने के लिए जाने के लिए कितनी परेषानियों का सामना करना पड़ता होगा। इन बेचारों को तो रोषनी की भी ज़रूरत है। अगर अंधेरे में घर से बाहर निकलेंगे तो पहाड़ी इलाके होने की वजह से गिर भी सकते हैं। इस कमी को पूरा करने के लिए एक जागरूक अभियान भी चलाया गया है। सरकारी और गैर सरकारी संगठनों के द्वारा बैनर लगाकर जनता को जागरूक करने के लिए उन पर यह लिखा हुआ है ‘‘ औरत का पर्दा हर घर में हो बैतुलखुला (षौचालय)।’’ लिहाज़ा सरकार को इस ओर ध्यान देने की ज़रूरत है कि विकलांग लोगों के साथ-साथ दूसरे लोगों को भी यह समस्या न झेलनी पड़े। सरकार की योजनाओं का फायदा इन लोगों तक पहुंचाया जाए जो सच में इसके हक़दार हैं। इसके अलावा इन लोगों को कोई हैंडीक्राफ्ट सेंटर भी दिया जाए ताकि यह हाथ से काम कर अपना जीविकोपार्जन कर सकेें। 







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अनीस उल हक़
(चरखा फीचर्स)

धर्म त्यागने के आरोप में पत्रकार की हत्या

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आतंकवादी संगठन इस्लामिक स्टेट (आईएस) ने अपना धर्म छोड़ने के आरोप में इराक के पत्रकार फेरास यासिन की बेरहमी से हत्या कर दी। इराक के पत्रकारों के एक संघ ने यह जानकारी दी। पत्रकार संघ के एक सदस्य सुफियान अल-मशादनी के अनुसार, आईएस ने उत्तरी इराक के मोसुल में मंगलवार की रात यासिन की हत्या कर दी और बुधवार की सुबह परिवार वालों को एक फोरेंसिक संस्थान पर उनका शव सौंपा। आईएस ने चूंकि पत्रकार को धर्म का त्याग करने के आरोप में मारा इसलिए उसने यासिन के परिवार वालों से उनका अंतिम संस्कार करने से मना किया है।

फेरास अल बहर के नाम से मशहूर पत्रकार यासिन को अप्रैल के मध्य में मोसुल से सटे अल-कायदेसिया शहर में स्थित उनके घर से अगवा किया गया था। मोसुल पिछले वर्ष जून में आईएस के कब्जे में चला गया। उससे पहले यासिन निनेवेह ऑफ टुमारो नामक टेलीविजन चैनल में प्रोड्यूसर के पद पर डेढ़ वर्षो से काम कर रहे थे। इस चैनल के मालिक निनेवेह प्रांत के गवर्नर एथिल अल-नेजिफी हैं तथा मोसुल निनेवेह प्रांत की राजधानी है।

अल-मशादनी ने शिकायत की है कि आईएस के आतंकवादी जिस तरह मोसुल में पत्रकारों को अगवा कर उनकी हत्या कर रहे हैं वह संदिग्ध, भयावह एवं चिंताजनक है। इससे पहले 27 अप्रैल को आईएस के आतंकवादियों ने समाचार पत्र राय अल-नास के प्रधान संपादक थाएर अल-अली को 20 दिनों तक कैद में रखने के बाद हत्या कर दी थी। आईएस के कब्जे में अभी भी सात पत्रकार हैं, जिनमें समा अल-मोसुल के संवाददाता कायस तलाल और कैमरामैन अशरफ अल-अबादी तथा अल-मोसुलिया टेलीविजन चैनल के रिपोर्टर मोहनद अल-ओकिदी शामिल हैं।

यमुना एक्सप्रेसवे पर उतरा लड़ाकू विमान

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भारतीय वायु सेना (आईएएफ) का लड़ाकू विमान मिराज-2000 गुरुवार को यमुना एक्सप्रेसवे पर उतरा। आईएएफ ने कहा कि यह लड़ाकू विमानों की राजमार्गो पर उतर सकने की क्षमता दर्शाने के लिए किया गया अभ्यास था। आईएएफ के एक अधिकारी ने बताया, "आईएएफ लड़ाकू विमानों को आपात स्थिति में राजमार्गो पर उतारने को लेकर विचार कर रहा है।"

अधिकारी ने कहा कि लड़ाकू विमान की राजमार्ग पर उतरने की क्षमता मिराज-2000 के माध्यम से दर्शाई गई, जिसने मध्य भारत के एक शिविर से उड़ान भरी थी।  अधिकारी ने यह भी बताया कि यह अभ्यास आगरा एवं मथुरा के जिला प्रशासन के संयोजन के साथ किया गया और अभ्यास के मद्देनजर सुरक्षा के सभी आवश्यक एहतियाती कदम उठाए गए थे।

मांझी को भी जनता दल परिवार में साथ लाएंगे : लालू

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राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के अध्यक्ष लालू प्रसाद ने यहां गुरुवार को कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को हराने के लिए सभी गैर-भाजपाई पार्टियों को एकसाथ मिलकर चुनाव लड़ना चाहिए। वह पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी को भी जनता दल परिवार गठबंधन या विलय में साथ लाने का प्रयास करेंगे। पटना से दिल्ली रवाना होने के पूर्व लालू ने पत्रकारों से कहा कि दिल्ली में उनकी मुलाकात समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव से होने वाली है, जिसमें जनता दल परिवार के विलय को लेकर चर्चा होगी। 

उन्होंने कहा, "गठबंधन और विलय की बात चल रही है, जिसमें मांझी को भी शामिल किया जाएगा।" उन्होंने कहा कि भाजपा को हराने के लिए बड़ा गठबंधन तैयार करने का प्रयास चल रहा है। उल्लेखनीय है कि मांझी ने पूर्व में ही स्पष्ट कर दिया है कि जिस गठबंधन में नीतीश कुमार शामिल होंगे, उसमें उनकी पार्टी हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा शामिल नहीं होगी। जनता दल परिवार के विलय पर बात करने के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी गुरुवार को दिल्ली जाने वाले हैं। 

सीहोर (मध्यप्रदेश) की खबर (21 मई)

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कृषकों को कृषि एवं उद्यान विभाग योजनाओं का मिले लाभ - अध्यक्ष 
  • जिला पंचायत सामान्य सभा की बैठक संपन्न

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जिला पंचायत सामान्य सभा की बैठक अध्यक्ष जिला पंचायत श्रीमती उर्मिला मरेठा की अध्यक्षता में संपन्न हुई। बैठक में जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्री मोहन चैयरमेन, विधायक आष्टा, श्री रंजीतसिंह गुणवान, जिला पंचायत सदस्य, श्रीमती बबीताबाई, श्री राजेश गौर, श्री लक्ष्मीनारायण, श्री तुलसीराम पटेल, श्रीमती त्रिसला, श्री अंबाराम मालवीय, श्री हरिसिंह देवड़ा, श्री गोपालसिंह इंजीनियर, अध्यक्ष जनपद पंचायत आष्टा, श्री धारासिंह पटेल, के साथ मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत डाॅ.आर.आर.भोंसले सहित समस्त विभागों के जिला प्रमुख उपस्थित थे।   

कृषकों को करें प्रशिक्षित
बैठक में सोयाबीन के घटते उत्पादन एवं बढ़ती लागत पर विधायक श्री रंजीतसिंह गुणवान ने चिंता व्यक्त करते हुये कहा की कृषकों को कम तथा अधिक वर्षा एवं कम लागत पर अधिक पैदावर के लिये प्रशिक्षित किया जाएं। बैठक में उपसंचालक कृषि श्री अवनीष चतुर्वेदी ने बताया कि कृषकों को अत्यधिक लाभ तथा जागरूक बनाने के लिये कलेक्टर डाॅ.सुदाम खाड़े के निर्देशानुसार 25.मई से 15 जून तक कृषि महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है। इस महोत्सव में कृषि क्रांति रथ प्रत्येक जनपद पंचायत के एक-एक गावं में कृषि जागरूकता के लिये भ्रमण करेगा। कृषि महोत्सव में किसानों की समस्याओं के निदान के लिये कृषि क्रांति रथ के साथ राजस्व, पंचायत एवं ग्रामीण विकास, महिला एवं बाल विकास, पशुपालन, सहकारिता, उर्जा विभाग, मंडी बोर्ड, वन, जल संशाधन, मत्स्य पालन, कृषि अभियांत्रिकी, आदित जाति कल्याण विभाग के संबंधित अधिकारी/कर्मचारी भ्रमण कर स्थल पर लाभ पंहुचाएंगे। 

फलोद्यान के लिये सहमति पत्र देकर उठाएं लाभ
बैठक में सहायक संचालक उद्यानिकी श्री पुरूषोत्तम जोशी ने बताया कि उद्यानिकी विकास के लिये कई लाभकारी योजनाएं संचालित है जिसमें कृषक आगे आकर लाभ उठाएं तो उन्हे अत्यधिक लाभ हो सकता हैं। राज्य पोषित योजनाओं के साथ एकीकृत उद्यानिकी मिशन, नेशनल मिशन आॅफ सस्टेनेबल एग्रीकल्चर, एमपीडब्ल्यूएसआरपी, नेशनल वेजीटेबल इनिसियेटीव फाॅर अर्बन कलस्टर योजना जिले में लागू है। फलोद्यान लगाने के लिये कृषक की सहमति पर 18,000/- रूपये का अनुदान प्रथम वर्ष तथा द्वितीय एवं तृतीय वर्ष में छः-छः हजार का अनुदान दिया जाता है। सब्जी क्षेत्र एवं मसाले क्षेत्र विस्तार योजना के तहत कृषकों को 12,500/- रूपये के बीज एवं रसायन उपलब्ध कराया जाता हैं। 

सर्वे कर लगाएं ट्रांसफार्मर
बैठक में ग्रामीण क्षेत्रों में ट्रांसफार्मर की गड़बड़ी से विद्युत अवरोध होने की समस्या का मुद्दा सदस्यों द्वारा उठाया जाने पर अध्यक्ष जिला पंचायत द्वारा विद्युत विभाग के अधिकारियों को निर्देशित किया कि तत्काल सर्वे कराकर उच्च क्षमता वाले ट्रांसफार्मर स्थापित किये जाएं तथा जहां 50 प्रतिशत राशि जमा हो चुकी है उन ग्राम पंचायतों में तत्काल विद्युत की उपलब्धता सुनिश्चित करायी जाये। 

नवीन बीमा योजनाओं से हुये अवगत लिया लाभ
बैठक में प्रधानमंत्री द्वारा नागरिकों के प्रारंभ की गई प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना एवं जीवन ज्योति योजना से सदस्यों को अवगत कराया गया तथा उनके द्वारा योजनाओं का फार्म भर कर लाभ उठाया गया साथ ही प्रत्येक नागरिक को इन योजनाओं से जोड़े जाने की बात रखी गई। 

मृदा स्वास्थ्य अभियान का आयोजन 

सी. आर. डी. ई. कृषि विज्ञान केन्द्र, सेवनियाॅ, जिला सीहोर व नेषनल फर्टीलाइजर्स लिमिटेड, भोपाल के संयुक्त तत्वाधान में 22 मई,2015 तक मृदा स्वास्थ्य अभियान चलाया जा रहा है जिसका मुख्य उद्देष्य कृषकों को मृदा स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करना व मृदा परीक्षण के आधार पर पोषक तत्वों का संतुलित मात्रा में फसलों में उपयोग करना है। इस अभियान के दौरान कृषकों में मृदा परीक्षण की वर्तमान समय में आवष्यकता व मृदा परीक्षण हेतु मृदा नमूना एकत्र करने की विधि सें अवगत कराते हुए विधि प्रदर्षन की जानकारी वैज्ञानिकों द्वारा दी जा रही है। इस अभियान के अन्तर्गत विकासखण्ड - इछावर में गोलूखेडी, तोरन्या, गोयलखेडी, वीरपुरा, नादान, कोलूखेडी, विकासखण्ड - आष्टा में बफापुर, विकासखण्ड - सीहोर में बिछिया, ष्यामपुर, महुंआखेडी, निपानिया, धनखेडी, में लगभग 700 से अधिक नमूनंे एकत्र किए जा चुके है। इस अभियान अन्तर्गत 500 से अधिक कृषक बंधुओ ने अपनी भागादारी सुनिष्चित की एवं 705 नमूने एकत्रित किये गये। कृषक में मिट्टी परीक्षण के प्रति काफी उत्सुकता देखी गई। कार्यक्रम के दौरान कृषि विज्ञान केन्द्र, सेवनियाॅ जिला सीहोर के विषेषज्ञों द्वारा मृदा स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करने हेतु मिट्टी परीक्षण की आवष्यकता एंव संतुलित उर्वरक उपयोग पर विषेष बल दिया गया। मृदा नमूना लेने की विधि का प्रदर्षन समस्त ग्रामों में कराया गया जो किसानांे हेतु काफी ज्ञानवर्धक रहा। इस अभियान में नेषनल फर्टीलाइजर्स लिमिटेड की चलित मृदा परीक्षण वैन के माध्यम से नमूनांे का परीक्षण कर संतुलित उर्वरक उपयोग की जानकारी कृषकों को दी गई। जिन ग्रामों से नमूने एकत्रित किए गये है वहाॅ मिट्टी जाॅच उपरान्त संपूर्ण गाॅव हेतु फसल अनुसार खाद की सिफारिश ग्राम पंचायत भवन में भी चस्पा की जावेगी।

विदिशा (मध्यप्रदेश) की खबर (21 मई)

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निःषुल्क बेसिक कम्प्यूटर प्रषिक्षण

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विदिषा-21 मई 2015 समाज सेवा एवं जन कल्याण क्षेत्र में कार्यरत संस्था माँ शारदा एजूकेषनल एण्ड वेलफेयर सोसायटी विदिषा द्वारा वर्तमान में कम्प्यूटर की महत्ता को ध्यान मे रखकर स्वरोजगार से जोड़ने हेतु विदिषा जिले के 20 निर्धन छात्र-छात्राओं को कार्यालयों में उपयोग किए जाने वाले कम्प्यूटर प्रोग्रामों की जानकारी हेतु 15 दिन का निःषुल्क बेसिक कम्प्यूटर का प्रषिक्षण नियमित रूप से दिया गया। संस्था के संचालक षिवेन्द्र सिंह राजपूत ने बताया कि आगे भी इस प्रकार के प्रषिक्षण कार्यक्रम आयोजित किये जाएंगे।

राज्य निर्वाचन आयुक्त द्वारा तैयारियों का जायजा

राज्य निर्वाचन आयुक्त श्री आर परशुराम ने गुरूवार को विदिशा नगरपालिका निर्वाचन के परिपेक्ष्य में अब तक की गई तैयारियों का जायजा लिया। कलेक्टेªट के एनआईसी कक्ष में सम्पन्न हुई इस बैठक में राज्य निर्वाचन आयोग के उप सचिव श्री दीपक सक्सेना, अवर सचिव शीला दाहिमा, लेखा अधिकारी श्री प्रदीप शुक्ला और आईटी प्रभारी श्री आरएल शास्त्री, कलेक्टर श्री एमबी ओझा, पुलिस अधीक्षक श्री धर्मेन्द्र चैधरी अपर कलेक्टर श्रीमती अंजू पवन भदौरिया एवं विभिन्न प्रकोष्ठों के जिला नोड्ल अधिकारी मौजूद थे। राज्य निर्वाचन आयुक्त श्री परशुराम ने पंचायत एवं निकायों के निर्वाचन को सुव्यवस्थित रूप से सम्पन्न कराए जाने पर अधिकारी कर्मचारियों को बधाई दी एवं उन्हें सम्मानित किया। उन्होंने विदिशा नगरपालिका निर्वाचन के लिए की गई तैयारियों की बिन्दुवार जानकारी भी प्राप्त की। उन्होंने कहा कि निर्वाचन कार्यो के सम्पादन हेतु जिन अधिकारियों, कर्मचारियों को राज्य निर्वाचन के दिशा निर्देशानुसार मानदेय प्रदाय किया जाना है उन्हें अविलम्ब मानदेय राशि दी जाए। आयुक्त श्री परशुराम ने कहा कि विदिशा नगरपालिका के निर्वाचन हेतु जो मतदान केन्द्र बनाएं गए हैं उनका शत प्रतिशत भौतिक सत्यापन कराना सुनिश्चित करंे और मतदान केन्द्रों पर मतदाताओं के लिए उपलब्ध कराई जाने वाले बुनियादी सुविधाओं का विशेष ध्यान रखा जाए। श्री परशुराम ने कहा कि निकाय अंतर्गत यदि किसी मतदान केन्द्र में संशोधन करना है तो अविलम्ब उसका प्रस्ताव प्रेषित किया जाए ताकि समय सीमा में कार्यवाही पूर्ण की जा सके। आयुक्त श्री परशुराम ने कहा कि निकाय निर्वाचन के लिए जिन्हें विशेष पुलिस का दर्जा मुहैया कराया जाएगा उन्हें भी मानदेय दिया जाएगा। उनके द्वारा निर्वाचन प्रक्रिया में उपयोग लाई जाने वाली ईव्हीएम मशीनों की जानकारी प्राप्त की गई। कलेक्टर श्री ओझा ने बताया कि जिले में पर्याप्त संख्या में ईव्हीएम मशीने उपलब्ध हैं। कलेक्टर श्री एमबी ओझा ने इससे पहले विदिशा नगरपालिका के निर्वाचन प्रक्रिया को सुव्यवस्थित रूप से सम्पादित कराए जाने हेतु की गई तैयारियों की जानकारियां दी। वही अपर कलेक्टर श्रीमती अंजू पवन भदौरिया ने पावर प्रेजेन्टेशन के माध्यम से तैयारियों की रूपरेखा से अवगत कराया। पुलिस अधीक्षक श्री धर्मेन्द्र चैधरी ने निकाय निर्वाचन के लिए किए गए सुरक्षा प्रबंधों से अवगत कराया। उन्होंने कहा कि जिले में पर्याप्त बल उपलब्ध है। प्रत्येक मतदान केन्द्र पर दो-दो वर्दीधारी तैनात किए जाएंगे। इसके अलावा आपराधिक गतिविधियों पर प्रतिबंधात्मक कार्यवाही जारी है। 
विदिशा नगरपालिका
बैठक में बताया गया कि विदिशा नगरपालिका के कुल 39 वार्डों के लिए कुल 136 मतदान केन्द्र बनाए गए है। मतदाता सूची का प्रारंभिक प्रकाशन 20 मई को किया गया है और इसी दिन से दावे आपत्तियां प्राप्ति का कार्य एक जून तक जारी रहेगा। दावे आपत्तियां प्राप्ति के लिए 41 केन्द्रों पर अधिकृत कर्मचारी तैनात किए गए हैं। मतदाता जागरूकता के लिए जगह-जगह विशेष शिविरों का आयोजन किया जा रहा है इसके अलावा नवीन मतदाताओं को मतदान के लिए अभिप्रेरित किया जा रहा है। 

सम्मान
मध्यप्रदेश राज्य निर्वाचन आयोग के आयुक्त श्री आर परशुराम ने विदिशा जिले में पंचायत एवं निकाय के निर्वाचन प्रक्रिया को सुव्यवस्थित रूप से संपादित कराए जाने पर कलेक्टर श्री एमबी ओझा, पुलिस अधीक्षक श्री धर्मेन्द्र चैधरी, आरईएस के ई श्री पीसी गुप्ता और मास्टर टेªनर श्री मणी मेहता, श्री परता अहिरवार, श्री राकेश बरसैया का प्रशंस्ति पत्र प्रदाय किया और उन्होंने संबंधितों को बधाई दी।

सुपात्रों का बीमा कराना सुनिश्चित करें-कलेक्टर श्री ओझा

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प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना और प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना के तहत जिले में अब तक क्रियान्वित कार्यवाही की गुरूवार को कलेक्टर श्री एमबी ओझा ने समीक्षा की। बैठक में जिला पंचायत के सीईओ श्री चन्द्रमोहन मिश्र, लीड़ बैंक आफीसर श्री उमेश गुप्ता समेत समस्त निकायों एवं जनपदों के अधिकारी मौजूद थे। कलेक्टेªट सभाकक्ष में सम्पन्न हुई इस बैठक में कलेक्टर श्री ओझा ने कहा कि सरकार द्वारा सस्ती दर पर बीमा योजना प्रारंभ की गई है। सभी शासकीय अधिकारी, कर्मचारी एवं वे अपने परिजनों को इन बीमा योजनाओं से पंजीकृत कराएं। उन्होंने योजनाओं के प्रचार-प्रसार पर बल देेते हुए कहा कि जिले की समस्त आंगनबाडी कार्यकर्ता, पंचायत सचिवों और रोजगार सहायकों के माध्यम से निचले स्तर तक जानकारी प्रेषित की जाए। कलेक्टर श्री ओझा ने कहा कि जिन व्यक्तियों के खाते बैंको में हंै वे बीमा से वंचित ना हांे के पुख्ता प्रबंध सुनिश्चित किए जाएं। उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रो में जनपदांे के सीईओ और शहरी क्षेत्रो में नगरपालिका अधिकारी को ततसंबंध में आवश्यक जबावदेंही सौंपी। श्री ओझा ने कहा कि रोजगार सहायक ग्रामीण क्षेत्रो के हितग्राहियों से सम्पर्क कर इस बात का पता लगाए कि उनके खाते बैंको में खुले है कि नही। ऐसे व्यक्ति जिनके खाते नही खुले है उनके खाते खुलवाने की कार्यवाही करे और बैंको से सम्पर्क कर बीमा के निर्धारित आवेदनों की पूर्ति समय सीमा में कराएं। जिला पंचायत के सीईओ श्री मिश्र ने कहा कि प्रधानमंत्री जनधन योजना के तहत जिले में जो बैंकों में खाते खोले गए है उन्हें कम से कम पचास रूपए जमा कराने के लिए अभिप्रेरित करें ताकि उन्हें प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना से जोडा जा सकें और उन्हें बैंको की पासबुक की प्राप्ति हो सकें। इसी प्रकार उन्होंने ग्रामीण अमले को भी बीमा योजना से जोड़ने का आग्रह किया है। श्री मिश्र ने कहा कि जिले के ऐसे पेंशनधारी जिनके बैंकों में खाते है और वे बीमा योजना की पात्रता रखते है उन्हें भी इसका लाभ दिलाया जाए। उन्होंने जनपदो के सीईओ से कहा कि बीमा संबंधी कार्यो को सर्वोच्च प्राथमिकता से समय सीमा में पूरा कराया जाना सुनिश्चित करें ताकि जिला प्रदेश में अव्वल हो सकें। लीड़ बैंक आफीसर श्री उमेश गुप्ता ने इस दौरान जानकारी दी कि प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना और प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना के लिए आवेदक का किसी भी बैंक में सेविंग खाता होना अनिवार्य है। खाताधारी के द्वारा सहमति सहघोषणा फार्म भरकर देने पर उनके बैंक खाते से अपने आप बीमा राशि की कटौती की जाएगी। दोनो बीमा योजनाओं के लिए आवेदन करने की अंतिम तिथि 31 मई 2015 नियत की गई है। श्री गुप्ता ने बताया कि प्रधानमंत्री अटल पेंशन योजना जो एक जून से प्रारंभ होगी के लिए भी प्रीमियर दर 12 रूपए नियत की गई है।प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के लिए प्रीमियर राशि 12 रूपए है आवेदक की आयु 18 से 70 वर्ष होना चाहिए। बीमित को दुर्घटना में मृत्यु होने पर दो लाख रूपए की राशि मिलेगी। अंगो की अपंगता होने पर एक लाख रूपए की राशि दी जाएगी। प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना के लिए वार्षिक प्रीमियम राशि 330 रूपए है आवेदक की आयु 18 से 50 वर्ष होनी चाहिए। किसी भी स्थिति में मृत्यु होने पर दो लाख रूपए की राशि प्रदाय की जाएगी।

एड्स पर कार्यशाला का आयोजन

एचआईवी एड्स के संक्रमण को रोकने और कारगर उपायो से अवगत कराने के लिए एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन गुरूवार को मानस सेवा न्यास में किया गया था। जिसमें ब्लाक स्तर के समस्त चिकित्सा अधिकारी और पैरामेडीकल स्टाफ मौजूद था। यूनिसेफ के प्रतिनिधि ने चर्चा के दौरान एड्स होने के कारणो को रेखांकित किया। उन्होंने कहा कि माता-पिता से होने  वाले बच्चे में एचआईवी एड्स के संक्रमण को सुगमता से रोका जा सकता है। इसके लिए किन-किन बातों का विशेष ध्यान रखे की विस्तृत जानकारी दी गई। राज्य स्तर के कन्सलटेंट डाॅ अग्निश्वर ने भी कार्यशाला को सम्बोधित किया। इस अवसर पर डीपीएम, सिविल सर्जन और प्रशिक्षणार्थी मौजूद थे। आगंतुकों के प्रति आभार आईसीटीसी काउंसलर श्रीमती ज्योति दुबे ने व्यक्त किया।
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